#रक्तचाप
Explore tagged Tumblr posts
Text
B.P. कंट्रोल किट

🌿 प्राकृतिक संतुलन प्राप्त करें 🌿
उच्च रक्तचाप से परेशान हैं? हमारे B.P. कंट्रोल किट के साथ आयुर्वेद की शक्ति का अनुभव करें! 🌱 यह प्राकृतिक उपाय आपके रक्तचाप को नियंत्रित करने में मदद करता है और समग्र स्वास्थ्य को बढ़ावा देता है। चिंता को अलविदा कहें और एक स्वस्थ जीवन की ओर कदम बढ़ाएं!
आयुर्वेद की समृद्धि को अपनाएं और आज ही अपने स्वास्थ्य पर नियंत्रण पाएं। 💚
ऑनलाइन ऑर्डर के लिए हमारी वेबसाइट पर जाएँ- https://www.shrichyawanayurved.com/products/best-medicine-for-bp-bp-control-kit 📞📞 95162 64444
1 note
·
View note
Text
अपने स्वास्थ्य संबंधी महत्वपूर्ण संकेतों को रिकॉर्ड करने के लिए मेडुगो ऐप डाउनलोड करें
मेडुगो ऐप से अपने परिवार के स्वास्थ्य की निगरानी करें। रक्त परीक्षण रिपोर्ट,बुखार,रक्तचाप,रक्त शर्करा स्तर,नाड़ी, स्कैन रिपोर्ट, टीकाकरण रिपोर्ट और मासिक धर्म चक्र को सहेजने का सरल तरीका।
#मेडुगो ऐप से अपने परिवार के स्वास्थ्य की निगरानी करें। रक्त परीक्षण रिपोर्ट#बुखार#रक्तचाप#रक्त शर्करा स्तर#नाड़ी#स्कैन रिपोर्ट#टीकाकरण रिपोर्ट और मासिक धर्म चक्र को सहेजने का सरल तरीका।#medugo#मेडुगो
0 notes
Text
थायरॉइड के आयुर्वेदिक उपचार: एक पूर्ण जानकारी
थायरॉइड क्या है?
थायरॉइड एक ग्रंथि है जो गर्दन के सामने, गले के नीचे हिस्से में स्थित होती है। यह ग्रंथि थायरॉइड हार्मोन (टी3 और टी4) का उत्पादन करती है, जो शरीर के मेटाबोलिज़्म को नियंत्रित करता है। ये हार्मोन शरीर की ऊर्जा के उपयोग, तापमान को नियंत्रित करने, और मस्तिष्क, हृदय, और अन्य अंगों के सामान्य कार्य में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
#थायरॉइड के विभिन्न प्रकार होते हैं#थायरॉइड के प्रकार#जिनमें सबसे आम रूप से देखे जाने वाले प्रकार निम्नलिखित हैं:#अत्यधिक थायरॉइड (हाइपरथायरॉइडिज़म)#अत्यंत कम थायरॉइड (हाइपोथायरॉइडिज़म)#ग्रेव्स रोग#गठिया#थायरॉइड के लक्षण#थायरॉइड के विभिन्न प्रकार के लक्षणों में थकान#तेज दिल की धड़कन (टैकीकार्डिया)#अधिक पसीना आना#तनाव#उच्च रक्तचाप#मूड स्विंग्स#बालों का झड़ना#थायरॉइड के कारण#जिससे हार्मोन का अधिक उत्पादन होता है। इसके अलावा#थायरॉइड नोड्यूल्स भी हाइपरथायरॉइडिज़्म का कारण बन सकते हैं#थायरॉइड के आयुर्वेदिक उपचार#आयुर्वेदिक दवाओं का उपयोग#थायरॉइड के लिए जीवनशैली संशोध��#नियमित व्यायाम करना#अपने शरीर को संतुलित रख सकते हैंर सकते हैं।
1 note
·
View note
Text
रक्तचाप क्या है? What is blood pressure in Hindi?
प्रिय पाठकों, नील ज्ञान सागर ब्लॉक की आज की इस पोस्ट में मैं आप लोगों को रक्तचाप के बारे में सामान्य जानकारी देने जा रहा हूं। रक्तचाप क्या है? What is blood pressure in Hindi? वर्तमान युग में अनुचित खानपान एवं खराब जीवनशैली के कारण उत्पन्न समस्याओं में सबसे प्रमुख समस्या ब्लड प्रेशर अर्थात रक्तचाप संबंधित है। रक्तचाप के कारण मनुष्य के जीवन में कई बीमारियों का प्रवेश हो जाता है। तो आइए इस पोस्ट…

View On WordPress
0 notes
Text






























लखनऊ, 01.12.2024 | विश्व एड्स दिवस 2024 के अवसर पर हेल्प यू एजुकेशनल एंड चैरिटेबल ट्रस्ट एवं राणा होम्यो क्लीनिक के संयुक्त तत्वावधान में बालागंज चौराहा, लखनऊ में “नि:शुल्क होम्योपैथिक परामर्श, निदान एवं दवा वितरण शिविर” का आयोजन किया गया | शिविर में परामर्शदाता चिकित्सक डॉ॰ संजय कुमार राणा एवं उनकी टीम द्वारा 144 रोगियों की नि:शुल्क जांच कर, रोगियों को सीने में दर्द होना, भूख न लगना, सांस फूलना, हृदय व गुर्दे की बीमारी, मधुमेह (Diabetes / Sugar), रक्तचाप (Blood Pressure), उलझन या घबराहट होना, पेट में दर्द होना, गले में दर्द होना, थकावट होना, पीलिया (Jaundice), थाइरोइड (Thyroid), बालों का झड़ना (Hair Fall) के लिए एक सप्ताह की निःशुल्क होम्योपैथिक दवाइयां वितरित की गई | हेल्प यू एजुकेशनल एंड चैरिटेबल ट्रस्ट के स्वयंसेवकों ने डॉ॰ संजय कुमार राणा एवं उनकी टीम के साथ शिविर में आए सभी लाभार्थियों को लाल रिबन लगाकर एड्स के प्रति जागरूक किया ।
शिविर का शुभारंभ डॉ संजय कुमार राणा, परामर्शदाता चिकित्सक, उनकी टीम से श्री संतोष कुमार राणा, फार्मासिस्ट श्री राहुल राणा, नर्सिंग स्टाफ सुश्री दीपिका वर्मा, सुश्री सविता चौधरी ने दीप प्रज्वलन कर किया |
डॉ॰ संजय कुमार राणा ने कहा कि, “एचआईवी/एड्स एक गंभीर स्वास्थ्य समस्या है, लेकिन इसे सही जानकारी, सावधानी और उपचार के माध्यम से नियंत्रित किया जा सकता है । एड्स से जुड़े भेदभाव को समाप्त करना हमारा सामूहिक दायित्व है । जागरूकता और संवेदनशीलता ही वे आधार हैं, जिनसे हम इस ��ुनौती का सामना कर सकते हैं । नि:शुल्क होम्योपैथिक दवाइयों का वितरण इस दिशा में एक सराहनीय प्रयास है, जो समाज में स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता बढ़ाने और प्रभावित व्यक्तियों की मदद के लिए उठाया गया एक महत्वपूर्ण कदम है । आइए, हम सभी यह संकल्प लें कि न केवल हम स्वयं एड्स के प्रति जागरूक रहेंगे, बल्कि समाज में भी जागरूकता फैलाने का कार्य करेंगे तथा एक एड्स-मुक्त समाज के निर्माण में अपना योगदान देगे ।“
हेल्प यू एजुकेशनल एंड चैरिटेबल ट्रस्ट के स्वयंसेवकों द्वारा शिविर में आए लाभार्थियों को पुस्तक 'गीता गर्ल मरियम' का वितरण किया गया |
शिविर में परामर्शदाता चिकित्सक डॉ॰ संजय कुमार राणा, उनकी टीम से श्री संतोष कुमार राणा, फार्मासिस्ट श्री राहुल राणा, श्री रामासन साहू, नर्सिंग स्टाफ सुश्री दीपिका वर्मा, सुश्री सविता चौधरी एवं ट्रस्ट के स्वयंसेवकों की गरिमामयी उपस्थिति रही l
#विश्व_एड्स_दिवस2024 #Worldaidsday #HIV #FreeHomeopathicCamp #Homeopathicmedicine #Homeopathyheals #HIVAwareness #Aidsawareness #Fightagainstaids #Healthyliving
#NarendraModi #PMOIndia
#YogiAdityanath #UPCM
#DrSanjayRana #RanaHomeoclinic
#SantoshRana
#RahulRana #RamasanSahu
#DeepikaVerma #SavitaChoudhary
#GitaGirlMaryam
#HelpUTrust #HelpUEducationalandCharitableTrust
#KiranAgarwal #DrRupalAgarwal #HarshVardhanAgarwal
#Followers #Highlight #Topfans
www.helputrust.org
@narendramodi @pmoindia
@MYogiAdityanath @cmouttarpradesh
@Gitagirlmaryam
@HelpUEducationalAndCharitableTrust @HelpU.Trust
@KIRANHELPU
@HarshVardhanAgarwal.HVA @HVA.CLRS @HarshVardhanAgarwal.HelpUTrust
@HelpUTrustDrRupalAgarwal @RupalAgarwal.HELPU @drrupalagarwal
@HelpUTrustDrRupal
@followers @highlight @topfans
9 notes
·
View notes
Text

शिरोधारा: आयुर्वेदिक चिकित्सा की अद्वितीय विधि
शिरोधारा एक प्राचीन आयुर्वेदिक चिकित्सा पद्धति है, जिसमें लगातार धारा की तरह एक विशेष औषधीय तेल या तरल पदार्थ को माथे पर डाला जाता है। यह उपचार न केवल शारीरिक, बल्कि मानसिक और भावनात्मक संतुलन को भी पुनः स्थापित करने में सहायक है। शिरोधारा का शाब्दिक अर्थ होता है "सिर पर धार"।
शिरोधारा के लाभ
तनाव और चिंता में राहत: शिरोधारा तनाव, चिंता और अवसाद को कम करने में मदद करता है। यह मस्तिष्क को शांत करता है और मानसिक शांति प्रदान करता है।
नींद की गुणवत्ता में स���धार: यह अनिद्रा और नींद से संबंधित समस्याओं के उपचार में अत्यधिक प्रभावी है। शिरोधारा के बाद अच्छी और गहरी नींद आती है।
माइग्रेन और सिरदर्द में राहत: नियमित शिरोधारा सत्र माइग्रेन और लगातार सिरदर्द को कम करने में सहायक होते हैं।
मस्तिष्क की कार्यक्षमता में वृद्धि: शिरोधारा मानसिक स्पष्टता, स्मरण शक्ति और एकाग्रता को बढ़ावा देता है।
चमकती त्वचा: यह त्वचा को पोषण प्रदान करता है और चेहरे की चमक को बढ़ाता है।
रक्तचाप को नियंत्रित करना: यह उच्च रक्तचाप को नियंत्रित करने में मदद करता है और संपूर्ण स्वास्थ्य को बेहतर बनाता है।
नर्वस सिस्टम की उत्तेजना को शांत करना: शिरोधारा नर्वस सिस्टम की उत्तेजना को शांत करता है और पूरे शरीर में एक आरामदायक अनुभव पैदा करता है।
शिरोधारा का अनुभव
शिरोधारा का सत्र अत्यंत आरामदायक होता है, जहाँ आप एक आरामदायक स्थिति में लेटे रहते हैं। एक विशेष औषधीय तेल या तरल पदार्थ का धीमी गति से और लगातार आपके माथे के बीचोबीच डाला जाता है। यह प्रक्रिया आमतौर पर 30-60 मिनट तक चलती है और इसके बाद आप तरोताजा और पुनःजीवित महसूस करते हैं।
आइए, शिरोधारा के अद्वितीय लाभों का अनुभव करें और अपने शारीरिक, मानसिक और भावनात्मक स्वास्थ्य को पुनः संतुलित करें। शिरोधारा के लिए आज ही अपॉइंटमेंट बुक करें और आयुर्वेद की इस प्राचीन चिकित्सा विधि से अपने जीवन को नई दिशा दें।
#dehradun#आयुर्वेद#ayurvedic treatment#healthcare#ayurveda#uttarakhand#india#panchakarma#शिरोधारा के लाभ#शिरोधारा#शिरोधारा की प्रक्रिया#शिरोधारा का अर्थ#शिरोधारा चिकित्सा विधि#best ayurvedic hospital in dehradun#best panchakarma center in dehradun#best panchakarma center in nehru colony in dehradun#best ayurvedic clinic in nehru colony dehradun#sheathveda#sheathveda ayurveda clinic and panchakarma center dehradun
2 notes
·
View notes
Text
हमारे स्वास्थ्य प्रणाली का अंधा आदमी
कुछ वर्षों बाद मूल्यांकन के लिए एक अत्यधिक सुविधाजनक परिणाम प्राप्त किए गए हैं, यह प्राथम��क देखभाल में उच्च रक्तचाप के नियंत्रण के लिए देखा गया था। जबकि सर्वाइकल कैंसर की स्क्रीनिंग प्राथमिक देखभाल के स्तर पर प्रभावी रही है, पर्याप्त संदर्भ कनेक्शन की कमी और तृतीयक केंद्रों में मुक्त उपचार सुनिश्चित करने में असमर्थता […]हमारे स्वास्थ्य प्रणाली का अंधा आदमी

View On WordPress
0 notes
Text
ध्यान क्या है?
ध्यान एक मानसिक प्रक्रिया है जिसमें व्यक्ति अपनी चेतना को केंद्रित करता है और विचारों को नियंत्रित करके आत्मिक शांति प्राप्त करता है। यह हजारों वर्षों से योग और आध्यात्मिक साधना का अभिन्न हिस्सा रहा है।
ध्यान करने के फायदे
1. मानसिक शांति – ध्यान करने से मन की बेचैनी और नकारात्मक विचारों में कमी आती है।
2. एकाग्रता बढ़ती है – यह ध्यान शक्ति को तेज करता है और निर्णय लेने की क्षमता को सुधारता है।
3. तनाव और चिंता में राहत – नियमित ध्यान से मानसिक तनाव और चिंता में कमी आती है।
4. शरीर को आराम मिलता है – ध्यान करने से रक्तचाप संतुलित रहता है और हृदय संबंधी समस्याओं का ��तरा कम होता है।
5. रचनात्मकता में वृद्धि – ध्यान से मस्तिष्क अधिक रचनात्मक और नई चीज़ों के प्रति खुला बनता है।
ध्यान करने की विधि
http://qtwnews.blogspot.com/2025/03/benefits-of-meditation-method-of.html
0 notes
Text
CIN /स्वास्थ्य शिविर में की गयी निःशुल्क जाँच और फ़िज़ियोथेरापी
पटना, ६ मार्च। इंडियन इंस्टिच्युट ऑफ हेल्थ एडुकेशन ऐंड रिसर्च के तत्त्वावधान में गुरुवार को स्थानीय शिवपुरी पार्क के द्वार पर निःशुल्क स्वास्थ्य शिविर लगाया गया, जिसमें मधुमेह के २०, रक्तचाप के १८, थायरायड के १०, रक्त-समूह के ७ एवं अस्थि-रोग से ग्रस्त १६ मरीज़ों के साथ सवा सौ से अधिक रोगियों की जाँच की गयी और उन्हें उचित परामर्श दिए गए। शिविर में फ़िज़ियोथेरापी, स्पीच थेरापी और नेत्र-जाँच की…
0 notes
Text
तनाव के दुष्प्रभाव: स्वास्थ्य पर इसके प्रभाव को समझें
आधुनिक जीवन में तनाव एक आम समस्या बन गया है, लेकिन जब यह लंबे समय तक बना रहता है, तो यह शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य पर गंभीर प्रभाव डाल सकता है। दीर्घकालिक तनाव कई स्वास्थ्य समस्याओं को जन्म दे सकता है, जिनके लिए चिकित्सकीय हस्तक्षेप की आवश्यकता हो सकती है। Dr. Zaini Ahmed, MBBS, MD (Psychiatry), तनाव के हानिकारक प्रभावों को समझाती हैं और इसे प्रबंधित करने के महत्व पर जोर देती हैं।
1. उच्च रक्तचाप (High Blood Pressure)
तनाव हार्मोन जैसे एड्रेनालाईन और कोर्टिसोल के स्राव को बढ़ाता है, जिससे हृदय गति बढ़ जाती है और रक्त वाहिकाएं संकुचित हो जाती हैं, जिसके परिणामस्वरूप रक्तचाप बढ़ सकता है। लंबे समय तक तनाव ��च्च रक्तचाप का कारण बन सकता है, जिससे स्ट्रोक और हृदय रोग का खतरा बढ़ जाता है।
2. मधुमेह (Diabetes)
लंबे समय तक तनाव रक्त शर्करा के स्तर को प्रभावित कर सकता है और इंसुलिन प्रतिरोध को बढ़ाकर टाइप 2 मधुमेह के विकास की संभावना बढ़ा सकता है। तनाव के कारण होने वाली अस्वस्थ आदतें, जैसे अधिक खाना, व्यायाम की कमी और खराब नींद, इस जोखिम को और बढ़ा देती हैं।
3. सिरदर्द (Headache)
तनाव के कारण बार-बार सिरदर्द होना आम है, जिसमें माइग्रेन और तनाव सिरदर्द शामिल हैं। मांसपेशियों में तनाव, हार्मोनल असंतुलन और दर्द के प्रति बढ़ी हुई संवेदनशीलता इसके लिए जिम्मेदार होते हैं, जिससे दैनिक गतिविधियाँ प्रभावित हो सकती हैं।
4. यौन विकार (Sexual Disorders)
तनाव पुरुषों और महिलाओं दोनों में यौन इच्छा और प्रदर्शन को प्रभावित कर सकता है। यह हार्मोनल संतुलन को बाधित करता है, जिससे स्त्रियों में मासिक धर्म की अनियमितता और पुरुषों में इरेक्टाइल डिसफंक्शन जैसी समस्याएँ हो सकती हैं। इसके अलावा, तनाव से संबंधित चिंता और अवसाद इन समस्याओं को और बढ़ा सकते हैं।
5. हृदय संबंधी समस्याएं (Cardiovascular Problems)
तनाव हृदय स्वास्थ्य पर गहरा प्रभाव डालता है। यह अनियमित हृदय गति, सीने में दर्द और हृदय रोग के बढ़ते जोखिम से जुड़ा है। दीर्घकालिक तनाव धूम्रपान, अत्यधिक शराब सेवन और खराब आहार जैसी अस्वस्थ आदतों को बढ़ावा देता है, जो हृदय के लिए हानिकारक हो सकते हैं।
6. त्वचा संबंधी समस्याएं (Skin Problems)
दीर्घकालिक तनाव के कारण एक्ने, एक्जिमा, सोरायसिस और अत्यधिक बाल झड़ने जैसी समस्याएं हो सकती हैं। तनाव के कारण होने वाली सूजन त्वचा की सुरक्षा को कमजोर कर सकती है, जिससे संक्रमण और जलन की संभावना बढ़ जाती है।
7. मानसिक स्वास्थ्य में गिरावट (Deterioration of Mental Health)
मानसिक स्वास्थ्य पर तनाव का गहरा प्रभाव पड़ता है, जिससे चिंता विकार, अवसाद, मूड स्विंग और नींद संबंधी समस्याएं हो सकती हैं। लंबे समय तक तनाव हार्मोन के उच्च स्तर से मस्तिष्क के कार्यों, स्मरण शक्ति और ध्यान केंद्रित करने की क्षमता को प्रभावित कर सकता है।
आराम तकनीकों, स्वस्थ जीवनशैली में बदलाव और विशेषज्ञ मार्गदर्शन से तनाव के इन दुष्प्रभावों को रोका जा सकता है। तनाव से जुड़ी स्वास्थ्य समस्याओं से जूझ रहे लोगों के लिए चिकित्सकीय परामर्श लेना आवश्यक है।
Dr. Zaini Ahmed, MBBS, MD (Psychiatry), तनाव प्रबंधन और मानसिक स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के लिए विशेषज्ञ परामर्श प्रदान करती हैं। वह सोमवार से शनिवार, दोपहर 12 बजे से 3 बजे तक, सुखून हार्ट एंड माइंड केयर, सैनिक मार्केट, मेन रोड, रांची, झारखंड: 834001 में उपलब्ध हैं। अपॉइंटमेंट के लिए कॉल करें: 6200784486।
#MentalHealth#StressManagement#AnxietyRelief#DepressionSupport#HeartHealth#HighBloodPressure#DiabetesCare#HeadacheRelief#SkinCare#SexualHealth#CardiovascularHealth#MindCare#SelfCare#HealthyLiving#Psychiatrist#DrZainiAhmed#bestpsychiatrist#bestpsychiatristinranchi#neuropsychiatrist#sukoonheartandmindcare#Ranchi
0 notes
Text
सीनियर सिटीजन का निशुल्क स्वास्थ्य परीक्षण कर महत्वपूर्ण टिप्स दिए
इटारसी। वरि���्ठ नागरिक मंच के सदस्यों के स्वास्थ्य परीक्षण के कार्यक्रम का आयोजन डॉ पीएम पहारिया की उपस्थिति में गोठी धर्मशाला के कक्ष में किया गया। मंच अध्यक्ष डॉ एके शुक्ला ने पुष्प गुच्छ एवं डॉ ज्ञानेंद्र पांडे ने स्मृति चिन्ह भेंट कर डॉक्टर पहारिया का स्वागत किया। डॉ पहारिया ने अच्छे-बुरे कोलेस्ट्रॉल, विटामिन बी-12, विटामिन डी, थायराइड, शुगर, सोडियम, यूरिक एसिड, उच्च/निम्न रक्तचाप आदि के…
0 notes
Text

*🌞~ आज दिनांक - 3 मार्च 2025 का वैदिक हिन्दू पंचांग और शारीरिक-मानसिक आरोग्य हेतु संजीवनी बूटी : पैदल भ्रमण ~🌞*
*⛅दिनांक - 3 मार्च 2025*
*⛅दिन - सोमवार*
*⛅विक्रम संवत् - 2081*
*⛅अयन - उत्तरायण*
*⛅ऋतु - बसन्त*
*⛅मास - फाल्गुन*
*⛅पक्ष - शुक्ल*
*⛅तिथि - चतुर्थी शाम 6:02 तक तत्पश्चात पंचमी*
*⛅नक्षत्र - अश्विनी प्रातः 4:29 मार्च 04 तक तत्पश्चात भरणी*
*⛅योग- शुक्ल सुबह 8:57 तक तत्पश्चात ब्रह्म*
*⛅राहु काल - सुबह 08:28 से सुबह 09:56 तक*
*⛅सूर्योदय - 07:03*
*⛅सूर्यास्त - 06:39*
*⛅दिशा शूल - पूर्व दिशा में*
*⛅ब्राह्ममुहूर्त - प्रातः 05:21 से प्रातः 06:10 तक*
*⛅अभिजीत मुहूर्त - दोपहर 12:28 से दोपहर 01:15 तक*
*⛅निशिता मुहूर्त - रात्रि 12:27 मार्च 04 से रात्रि 01:16 मार्च 04 तक*
*⛅व्रत पर्व विवरण - विनायक चतुर्थी*
*⛅विशेष - चतुर्थी को मुली खाने से धन का नाश होता है। (ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)*
*🔹शारीरिक-मानसिक आरोग्य हेतु संजीवनी बूटी : पैदल भ्रमण🔹*
*कैसा भ्रमण है लाभदायी ?*
*🔸पैदल भ्रमण करते समय शरीर सीधा व वस्त्र कम रहें । दोनों हाथ हिलाते हुए और नाक से गहरे गहरे श्वास लेते हुए भ्रमण करना चाहिए । गहरे श्वास लेने से प्राणायाम का भी लाभ मिलता है ।*
*🔸शारीरिक के साथ यह मानसिक स्वास्थ्य में भी लाभदायी है । इससे काम, क्रोध, ईर्ष्या आदि मनोदोषों का शमन होता है । एकाग्रता विकसित होती है ।*
*🔸ओस की बूँदों से युक्त हरी घास पर टहलना अधिक हितकारी हैं । यह नेत्रों के लिए विशेष लाभकारी है । वर्षा के दिनों में भीगी घास पर टहल सकते हैं ।*
*🔸भ्रमण सामान्यरूप से शारिरिक क्षमता के अनुसार मध्यम गति से ही करें । सुश्रुत संहिता (चिकित्सा स्थान : २��.८०) में आता है : यत्तु चङ्क्रमणं नातिदेहपीडाकरं भवेत् । तदायुर्बलमेधाग्निप्रदमिन्द्रियबोधनम् ॥*
*🔸'जो भ्रमण शरीर को अत्यधिक कष्ट नहीं देता वह आयु, बल एवं मेधा प्रदान करनेवाला होता है, जठराग्नि को बढ़ाता है और इन्द्रियों की शक्ति को जागृत करता है ।'*
*🔹भ्रमण है अनेक रोगों में लाभकारी🔹*
*🔸स्नायु दौर्बल्य, मानसिक रोग, अनिद्रा, स्वप्नदोष, सर्दी, खाँसी, सिरदर्द, कब्ज, दुबलापन और कमजोरी आदि में टहलना रामबाण औषधि है ।*
*🔸इन रोगों में प्रातः भ्रमण का लाभ बताते हुए डॉ. कार्नेलिया ई. फिलिप्स, डी.ओ. कहते हैं : "मैं यह बात अपने ३० वर्षों के अनुभव से कह रहा हूँ, जिस अवधि में मैंने इन रोगों से पीड़ित न जाने कितने निराश, हताश और निरुपाय रोगियों को पूर्ण स्वास्थ्य लाभ कराया है । इसलिए मुझे दृढ विश्वास हो गया है कि खोये हुए स्वास्थ्य को फिर से पाने का यह कुदरती तरीका इतना प्रभावशाली है कि इसके बारे में चाहे जितना भी कहा जाय उसमें अतिशयोक्ति नहीं होगी ।"*
*🔸भ्रमण से मोटापा कम होता है, भूख खुलकर लगती है, पुराने कब्ज व अपच में यह उत्तम औषधि भ्रमण सामान्यरूप से अपनी शारीरिक क्षमता का काम करता है। यह युवकों में काम-वासना को नियंत्रित करता है ।*
*🔹आधुनिक अनुसंधानों के परिणाम🔹*
*आधुनिक अनुसंधानों में पाया गया है कि*
*🔸पैदल चलने से संधिवात (arthritis) संबंधी दर्द कम हो जाता है । हर हफ्ते ५-६ मील (८-१० कि.मी.) तक पैदल चलने से संधिवात की बीमारी होने से भी बचा जा सकता है ।*
*🔸 जैसे-जैसे पैदल चलना बढ़ता जाता है । डॉ. जे. बी. स्कॉट ने लिखा है 'मध्यम वैसे-वैसे कोरोनरी हृदयरोगों (हृदय की गति से भ्रमण करना अधिकांश व्यक्तियों के लिए रक्तवाहिनियों में अवरोध) के होने का जोखिम कम होता जाता है । आम जनता में कोरोनरी हृदयरोगों की रोकथाम के लिए भ्रमण को एक आदर्श व्यायाम के रूप में बढ़ावा देना चाहिए ।*
*🔸 पैदल चलने से व्यक्ति की रचनात्मकता में औसतन ६० प्रतिशत तक की वृद्धि होती है ।*
*🔸भ्रमण उच्च रक्तचाप (hypertension) व टाइप-2 डायबिटीज होने के जोखिम को कम करता है ।*
*🔹ध्यान रखें🔹*
*🔸घास न हो तो नंगे पैर भ्रमण न करें । नंगे पैर भ्रमण रोगकारक, नेत्रज्योति व आयु नाशक है । भ्रमण ���्रदूषणरहित स्थान पर करें । यदि यह सु��िधा न हो सके तो अपने घर की छत के ऊपर गमलों में तुलसी, मोगरा, गुलाब आदि लगाकर सुबह- शाम उनके आसपास पैदल चल सकते हैं ।*
⚜️📌✍𝗙a𝗹𝗹𝗼𝘄 𝗨𝘀
📌𝗔𝘀𝘁𝗿𝗼𝗹𝗼𝗴𝘆, 𝗩𝗮𝘀𝘁𝘂𝗦𝗵𝗮𝘀𝘁𝗿𝗮 𝗮𝗻𝗱 𝗡𝘂𝗺𝗲𝗿𝗼𝗹𝗼𝗴𝘆 और सनातन धर्म की रोचक और ज्ञानवर्धक जानकारी पहले पाने के लिए अभी 𝗙𝗼𝗹𝗹𝗼𝘄 करे "𝗔𝘀𝘁𝗿𝗼𝗩𝗮𝘀𝘁𝘂𝗞𝗼𝘀𝗵" को 📌𝗔𝗸𝘀𝗵𝗮𝘆 𝗝𝗮𝗺𝗱𝗮𝗴𝗻𝗶
📌𝟵𝟴𝟯𝟳𝟯𝟳𝟲𝟴𝟯𝟵
📌𝗪𝗵𝗮𝘁𝘀𝗮𝗽𝗽 https://tinyurl.com/276kwcwf
📌𝗪𝗵𝗮𝘁𝘀𝗮𝗽𝗽𝗖𝗵𝗮𝗻𝗻𝗲𝗹
https://tinyurl.com/24v4967v
📌𝗬𝗼𝘂𝘁𝘂𝗯𝗲
https://tinyurl.com/2alwfng7
📌𝗜𝗻𝘀𝘁𝗮𝗴𝗿𝗮𝗺
https://tinyurl.com/2958lafo 📌𝗧𝗲𝗹𝗲𝗴𝗿𝗮𝗺 https://tinyurl.com/2ynvnmea
#motivational motivational jyotishwithakshayg#tumblr milestone#akshayjamdagni#mahakal#panchang#hanumanji#rashifal#nature#ram mandir#youtube
0 notes
Text
अंतरिक्ष में महीनों से फंसी भारतीय मूल की एस्ट्रोनॉट सुनीता विलियम्स, 19 मार्च को लौटेंगी पृथ्वी
भारतीय मूल की अमेरिकी अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स और उनके साथी बुच विल्मोर पिछले साल जून से अंतरिक्ष में हैं। लंबे अंतराल के बाद, दोनों एस्ट्रोनॉट्स 19 मार्च को स्पेसएक्स के स्पेसक्राफ्ट के जरिए पृथ्वी पर वापसी करेंगे।
फैंस उत्साहित, लेकिन स्वास्थ्य को लेकर बढ़ी चिंता
सुनीता विलियम्स की वापसी को लेकर उनके प्रशंसक बेहद उत्साहित हैं, लेकिन विशेषज्ञों का कहना है कि अंतरिक्ष में महीनों बिताने के कारण उनके शरीर को भारी चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है। गुरुत्वाकर्षण में वापस आने पर उन्हें शारीरिक और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से जूझना पड़ सकता है।
पृथ्वी पर लौटने के बाद किन स्वास्थ्य समस्याओं का सामना कर सकती हैं सुनीता विलियम्स?
अंतरिक्ष में लंबी अवधि तक रहने के कारण एस्ट्रोनॉट्स को कई गंभीर शारीरिक और जैविक परिवर्तनों से गुजरना पड़ता है। विशेषज्ञों के अनुसार, सुनीता विलियम्स को गुरुत्वाकर्षण के अनुकूल होने के लिए विशेष पुनर्वास और चिकित्सा निगरानी की आवश्यकता होगी।
1. गुरुत्वाकर्षण के प्रभाव से शरीर में बदलाव
🔹 शरीर के तरल पदार्थ नीचे की ओर खिंचेंगे, जिससे सूजन और रक्तचाप में गिरावट हो सकती है। 🔹 साधारण गतिविधियां भी क��िन लगेंगी, जैसे एक पेंसिल उठाना भी भारी महसूस हो सकता है।
2. हड्डियों का कमजोर होना (बोन लॉस)
🔹 माइक्रोग्रैविटी में हड्डियों पर भार नहीं पड़ता, जिससे उनका घनत्व कम हो जाता है। 🔹 इससे फ्रैक्चर का खतरा बढ़ सकता है, खासतौर पर रीढ़, कूल्हों और पैरों की हड्डियों में।
3. दिल और रक्त संचार प्रणाली पर प्रभाव
🔹 अंतरिक्ष में दिल को कम मेहनत करनी पड़ती है, जिससे वह धीरे-धीरे कमजोर हो सकता है। 🔹 पृथ्वी पर लौटने के बाद बेहोशी, चक्कर आना और निम्न रक्तचाप जैसी समस्याएं हो सकती हैं। 🔹 लंबे समय तक हृदय संबंधी बीमारियों का खतरा बना रहता है।
4. प्रतिरक्षा प्रणाली और दृष्टि पर असर
🔹 स्पेस रेडिएशन के प्रभाव से प्रतिरक्षा प्रणाली कमजोर हो सकती है। 🔹 तरल पुनर्वितरण के कारण दृष्टि कमजोर हो सकती है। 🔹 कैंसर जैसी गंभीर बीमारियों का खतरा भी बढ़ सकता है।
विशेषज्ञों की राय
हेल्थ एक्सपर्ट्स के अनुसार, अंतरिक्ष में बिताए गए लंबे समय के कारण सुनीता विलियम्स के शरीर में कई महत्वपूर्ण जैविक बदलाव हुए होंगे।
🚀 एक वैज्ञानिक ने कहा:
"अंतरिक्ष में माइक्रोग्रैविटी के कारण मानव शरीर में गहरे स्तर पर परिवर्तन होते हैं। पृथ्वी पर लौटने के बाद सुनीता विलियम्स को धीरे-धीरे सामान्य जीवन में लौटने के लिए मेडिकल निगरानी और पुनर्वास की आवश्यकता होगी।"
वापसी से पहले बढ़ी चिंता
हालांकि सुनीता विलियम्स के प्रशंसक उनकी सुरक्षित वापसी के लिए प्रार्थना कर रहे हैं, लेकिन वैज्ञानिकों का मानना है ��ि उनकी असली चुनौती पृथ्वी पर लौटने के बाद शुरू होगी।
0 notes
Text
Jamshedpur health camp - डिमना के स्वास्थ्य शिविर में 118 लोगो की हुई जांच, बीपी व मधुमेह जांच की सबसे अधिक भीड़
जमशेदपुर: हर रविवार को मानगो डिमना रोड मे सुबह छः बजते ही मधुमेह और उच्च रक्तचाप की जांच कराने वालों की लम्बी लाइन लगने लगती है. मानगो नगर विकास परिषद नामक समाजिक संस्था के बैनर तले मानगो वासियो के लिए निःशुल्क स्वास्थ्य जांच कार्यक्रम विगत तीन माह से आरम्भ किया गया है. जैसे जैसे शिविर की जानकारी लोगो को मिलती जा रही है वैसे वैसे ही जाँच कराने वालों का तांता लगता जा रहा है. (नीचे भी…
0 notes
Text

विश्व एड्स दिवस 2024 के अवसर पर
हेल्प यू एजुकेशनल एंड चैरिटेबल ट्रस्ट एवं
राणा होम्यो क्लीनिक के संयुक्त तत्वावधान में
“निः शुल्क होम्योपैथिक परामर्श, निदान एवं दवा वितरण शिविर”
परामर्शदाता चिकित्सक : डॉ संजय कुमार राणा
शिविर में सीने में दर्द होना, भूख न लगना, सांस फूलना, हृदय व गुर्दे की बीमारी, मधुमेह (Diabetes / Sugar), रक्तचाप (Blood Pressure), उलझन या घबराहट होना, पेट में दर्द होना, गले में दर्द होना, थकावट होना, पीलिया (Jaundice), थाइरोइड (Thyroid), बालों का झड़ना (Hair Fall) से पीड़ित रोगी परामर्श हेतु सादर आमंत्रित हैं ।
दिनांक : 01.12.2024
दिन : रविवार
समय : प्रातः 10:00 बजे से दोपहर 02:00 बजे तक
स्थान : बाला गंज चौराहा, लखनऊ
नोट : ट्रस्ट और ट्रस्ट के पदाधिकारीगणों की शिविर में प्रदान किये गए चिकित्सीय परामर्श, निदान एवं दवा आदि के लिए कोई दायित्व व जिम्मेदारी नहीं होगी । जांच में गंभीर रोग की पहचान होने प�� शासकीय / निजी चिकित्सालयों में उचित ढंग से इलाज करवाना श्रेयस्कर होगा ।
*शिविर में आकस्मिक सेवाएं उपलब्ध नहीं है ।
#विश्व_एड्स_दिवस2024 #Worldaidsday #HIV #Aids #FreeHomeopathicCamp #Homeopathy #Homeopathicmedicine #Homeopathyheals #HIVAwareness #Aidsawareness #Aidsday #Healthcareforall #Fightagainstaids #Worldhealth #Mentalhealthawareness #Healthyliving
#NarendraModi #PMOIndia
#YogiAdityanath #UPCM
#DrSanjayRana #RanaHomeoclinic
#HelpUTrust #HelpUEducationalandCharitableTrust
#KiranAgarwal #DrRupalAgarwal #HarshVardhanAgarwal
#Followers #Highlight #Topfans
www.helputrust.org
@narendramodi @pmoindia
@MYogiAdityanath @cmouttarpradesh
@HelpUEducationalAndCharitableTrust @HelpU.Trust
@KIRANHELPU
@HarshVardhanAgarwal.HVA @HVA.CLRS @HarshVardhanAgarwal.HelpUTrust
@HelpUTrustDrRupalAgarwal @RupalAgarwal.HELPU @drrupalagarwal
@HelpUTrustDrRupal
@followers @highlight @topfans
9 notes
·
View notes
Text

हृदय रोगों के जोखिम को बढ़ाने वाले कारक:
1. **उच्च रक्तचाप (हाई ब्लड प्रेशर)** – हृदय पर अधिक दबाव डालता है और धमनियों को नुकसान पहुंचा सकता है।
2. **मधुमेह (डायबिटीज़)** – रक्त शर्करा का स्तर अधिक होने से हृदय रोग का खतरा बढ़ जाता है।
3. **धूम्रपान (स्मोकिंग)** – धमनियों को संकुचित करता है और रक्त प्रवाह को बाधित करता है।
4. **अस्वस्थ आहार** – अधिक वसा, नमक और शर्करा से भरपूर भोजन हृदय को नुकसान पहुंचाता है। 5. **मोटापा (ओबेसिटी)** – अतिरिक्त वजन से हृदय पर अधिक दबाव पड़ता है और अन्य बीमारियों का खतरा बढ़ता है।
6. **शारीरिक निष्क्रियता** – व्यायाम की कमी से हृदय कमजोर होता है और रक्त संचार प्रभावित होता है।
7. **तनाव (स्ट्रेस)** – अधिक मानसिक तनाव रक्तचाप बढ़ा सकता है और दिल की सेहत पर बुरा असर डाल सकता है।
8. **अल्कोहल का अधिक सेवन** – अधिक शराब पीने से रक्तचाप बढ़ सकता है और दिल की मांसपेशियों को नुकसान हो सकता है।
9. **अनुवांशिक कारक (जेनेटिक फैक्टर्स)** – यदि परिवार में किसी को हृदय रोग है, तो जोखिम बढ़ सकता है।
10. **कोलेस्ट्रॉल का उच्च स्तर** – खराब कोलेस्ट्रॉल (LDL) की अधिक मात्रा धमनियों में अवरोध पैदा कर सकती है।
#drgagankhullar#cardiologist#cardiacsurgeon#CardiothoracicSurgeon#cardiothoracicsurgery#cardiothoracic#vascularsurgeon#vascularhealth#vascularsurgery#hamirpur
0 notes