ललितपुर में सो रहे पिता-पुत्री को सांप ने डसा, पिता गंभीर हालत में झांसी रेफर, बेटी की मौत
Lalitpur News : ललितपुर के नाराहट में रात में सोते समय पिता-पुत्री को सांप ने डस लिया, जिसके चलते पुत्री की मौत हो गई, जबकि पिता की हालत गंभीर होने पर उपचार के लिए झांसी रेफर किया गया। गुरयाना निवासी राजकुमार गुरुवार की रात अपनी 4 वर्षीय पुत्री करिश्मा व पत्नी के साथ कमरे में जमीन पर लेटा हुआ था। तभी रात सांप ने करिश्मा के गले में डस लिया। इसके बाद पिता राजकुमार के कंधे में डस लिया।
सांप के डसते…
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Jamshedpur rural snake bite - चाकुलिया खेत में काम कर रही महिला को सांप ने डसा, अस्पताल में भर्ती
चाकुलिया : चाकुलिया प्रखंड की कुचियाशोली पंचायत के कुचियाशोली गांव निवासी सोमवारी हांसदा नामक महिला को मंगलवार की सुबह सांप ने दाहिने पैर में डस लिया. परिजनों ने बताया कि वह खेत में धान की रोपनी कर रही थी तभी सांप ने काट लिया. परिजनों ने इलाज के लिए उसे सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचाया गया. यहां चिकित्सकों ने उसका इलाज किया. महिला को किस सांप ने डसा है, यह स्पष्ट नहीं हो पाया है. उसे 12 घंटे…
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8 वर्षीय बच्चे को सांप ने डंसा तो सांप को पकड़कर अस्पताल पहुंचे परिजन
8 वर्षीय बच्चे को सांप ने डंसा तो सांप को पकड़कर अस्पताल पहुंचे परिजन
Bihar: नालंदा जिले के नूरसराय थाना क्षेत्र अंतर्गत रामदीहा गांव में रविवार को सर्पदंश का शिकार हुए एक बच्चे को परिजन सांप के साथ पकड़कर इलाज के लिए अस्पताल पहुंचे जैसे ही परिजनों ने स्वास्थ्य कर्मियों को यह बात बताई तो वहां मौजूद सभी लोग हैरान रह गए हालांकि सांप डिब्बे में बंद था इस कारण डर जैसी कोई बात नहीं थी।
जानकारी के अनुसार रामदीहा गांव के महेश यादव के 8 वर्षीय पुत्र अनुश कुमार पढ़ाई करने…
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सांप ने डसा तो बच्ची को आया गुस्सा, दांत से काटकर कर दिए दो टुकड़े
सांप ने डसा तो बच्ची को आया गुस्सा, दांत से काटकर कर दिए दो टुकड़े
सांप को देखकर अच्छे-अच्छों की हालत खराब हो जाती है. लेकिन एक मासूम बच्ची ने सांप का जो हाल किया, उसे देखकर हर कोई हैरान रह गया. दरअसल, पहले सांप ने बच्ची को काट लिया था, इसके बाद बच्ची को इतना गुस्सा आया कि उसने सांप को अपने दांतों से चबा डाला.
घटना तुर्की के एक गांव की है. दो साल की बच्ची को उसके पड़ोसियों ने सबसे पहले देखा था. पड़ोसी उसकी चीख-पुकार सुनकर मौके पर पहुंचे थे. लेकिन जब उन्होंने उसे…
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2 वर्षीय बच्ची को तुर्किये में सांप ने डसा, बच्ची ने 'दांत से सांप के दो टुकड़े कर' उसे मारा तुर्किये के बिंगोल में एक 2-वर्षीय बच्ची के होंठ पर एक सांप ने डंस लिया जिसके बाद बच्ची ने कथित तौर पर अपने दांतों से सांप के दो टुकड़े कर उसे मार डाला। घटना के बाद बच्ची को अस्पताल ले जाया गया जहां उसकी हालत स्थिर है। बच्ची के पिता के अनुसार, बच्ची ने प्रतिक्रिया स्वरूप सांप को काटा था। https://www.instagram.com/p/ChPnoWuILux/?igshid=NGJjMDIxMWI=
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सर्पदंश के दो गम्भीर बच्चो का एनएमडीसी अपोलो अस्पताल में सफल इलाज। गम्भीर हालत में अलग अलग समय मे अस्पताल ...
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. दृढ़ता और विश्वास
भक्त प्रहलाद को उसके पिता राजा हिरण्यकश्यपु अक्षर ज्ञान और भक्ति ज्ञान के लिए शहर से बाहर एक पाठशाला में भेजा करते थे। वहां साना और मुर्का नाम के दो आचार्य धर्म की शिक्षा दिया करते थे। हिरण्यकश्यपु के आदेश से सबको हिरण्यकश्यपु हिरण्यकश्यपु नाम जाप करने का मंत्र बताते थे। कहते थे कि राम विष्णु नाम नहीं जपना है, न ही किसी देव का नाम जपना है, हिरण्यकश्यपु ही परमात्मा है। प्रह्लाद भी अपने पिता का नाम जाप करते थे। यदि कोई हिरण्यकश्यपु के स्थान पर राम-राम या अन्य प्रभु के नाम जप ले तो उसे सबके सामने मौत की सजा दी जाती थी।
एक बार पाठशाला जाते समय मटकों को पकाने वाली आवे की भयंकर आग से बिल्ली के बच्चों को सुरक्षित देख प्रह्लाद को परमात्मा पर दृढ़ विश्वास हो गया कि ऐसी विकट परिस्थिति में मानव कुछ नहीं कर सकता केवल परमात्मा ही बचा सकता है, वही समर्थ है। यदि भगवान ने बिल्ली के बच्चे बचा दिए तो मैं भी परमात्मा का ही नाम जपा करूँगा। अपने पिता का नाम जाप नहीं करूँगा। उस दिन के पश्चात् प्रहलाद भक्त राम का नाम जाप करने लगा। यह घटना सतयुग की है। श्री रामचन्द्र पुत्र दशरथ जी का तो जन्म भी नहीं हुआ था।
जब साना तथा मुर्का अध्यापकों को पता चला कि प्रहलाद राम का जाप करता है तो उसे बहुत समझाया कि आप हिरण्यकश्यपु राजा का नाम जाप करो। लेकिन प्रह्लाद नहीं माना, उन्हें प्रभु की महिमा सुनाने लगता। साना-मुर्का पंडितों ने राजा को बताया कि आपका पुत्र राम का नाम जाप करता है। हमारी बात नहीं मानता। हम शिक्षा देते हैं तो हमारे को ही ज्ञान सुनाने लगता है। हिरण्यकशिपु ने बुलाकर राम का नाम न जपने को कहा तो प्रहलाद ने स्पष्ट कहा, पिताजी! परमात्मा ही समर्थ है।
प्रत्येक कष्ट से परमात्मा ही बचा सकता है। मानव समर्थ नहीं है। यदि कोई भक्त साधना करके कुछ शक्ति परमात्मा से प्राप्त कर लेता है तो वह सामान्य व्यक्तियों में तो उत्तम हो जाता है, परंतु परमात्मा से उत्तम नहीं हो सकता। परमात्मा ही श्रेष्ठ है। वही समर्थ है। यह बात भक्त प्रहलाद से सुनकर अहंकारी हिरण्यकशिपु क्रोध से लाल हो गया और नौकरों सिपाहियों से कहा कि इसको ले जाओ मेरी आँखों के सामने से और जंगल में सर्पों में डाल आओ। सर्प के डसने से यह मर जाएगा। ऐसा ही किया गया। परंतु प्रहलाद मरा नहीं, सर्पों ने डसा नहीं। आराम से सो रहा था। सुबह धूप से बचाने के लिए सर्प प्रहलाद भक्त पर अपने फन फैलाकर छाया किए हुए थे।
राजा ने कहा कि जाओ, जंगल से शव उठा लाओ। सिपाही गए तो प्रहलाद सुरक्षित था। सर्प इधर-उधर चले गए। सिपाहियों ने सब देख लिया था। प्रहलाद को मरा जान उठाने लगे तो प्रहलाद अपने आप उठ खड़ा हुआ। प्रहलाद की आयु दस वर्ष थी। फिर पर्वत से फैंकवाया। प्रहलाद फूलों के घने पौधों के ऊपर गिरा, मरा नहीं। फिर प्रहलाद की बुआ होलिका अपने भाई हिरण्यकशिपु की आज्ञा से चिता के ऊपर प्रहलाद जी को गोद में लेकर बैठ गई। होलिका के पास एक चद्दर थी। उसको ओढ़कर यदि अग्नि में प्रवेश कर जाए तो जलता नहीं था। उस चद्दर को ओढ़कर अपने को पूरा ढ़ककर प्रहलाद को उससे बाहर गोडों में बैठा लिया। कहा, बेटा! देख मैं भी तो बैठी हूँ। कुछ नहीं होगा तेरे को।
अग्नि लगा दी गई। परमात्मा ने शीतल पवन चलाई। तेज आँधी आई। होलिका के शरीर से चद्दर उड़कर प्रहलाद भक्त को पूरा ढ़क लिया। होलिका जलकर राख हो गई। भक्त को आँच नहीं आई। प्रहलाद जी का विश्वास बढ़ता चला गया। ऐसे-ऐसे चौरासी कष्ट भक्त को दिए गए, परंतु परमात्मा ने भक्त के विश्वास को देखकर उसकी दृढ़ता से प्रसन्न होकर उसके पतिव्रत धर्म से प्रभावित होकर प्रत्येक संकट में सहायता की।
हिरण्यकशिपु ने श्री ब्रह्मा जी की भक्ति करके वरदान प्राप्त कर रखा था कि मैं सुबह मरूँ ना शाम मरूँ,दिन में मरूँ न रात्रि में मरूँ, बारह महीने में से किसी में ना मरूँ, न अस्त्र-शस्त्र से मरूँ, पृथ्वी पर मरूँ ना आकाश में मरूँ, न पशु से मरूँ, ना पक्षी, ना कीट से मरूँ, न मानव से मरूँ। न घर में मरूँ, न बाहर मरूँ।
हिरण्यकशिपु ने प्रहलाद को मारने के लिए एक लोहे का खम्बा अग्नि से गर्म करके तथा तपाकर लाल कर दिया। प्रहलाद को उस खम्बे के पास खड़ा करके हिरण्यकशिपु ने कहा कि क्या तेरा प्रभु इस तपते खम्बे से भी इससे तेरी जलने से रक्षा कर देगा? हजारों दर्शक यह अत्याचार देख रहे थे। प्रहलाद भक्त भयभीत हो गए कि परमात्मा इस जलते खम्बे में कैसे आएगा?
उसी समयप्रहलाद ने देखा कि उस खम्बे पर बालु कीड़ी बनाकर चल रही थी। ऊपर-नीचे आ-जा रही थी। प्रहलाद ने विचार किया कि जब चीटियाँ नहीं जल रही तो मैं भी नहीं जलूँगा। हिरण्यकशिपु ने कहा, प्रहलाद! इस खम्बे को दोनों हाथों से पकड़कर लिपट, देखूँ तेरा भगवान तेरी कैसे रक्षा करता है? यदि खम्बा नहीं पकड़ा तो देख यह तलवार, इससे तेरी गर्दन काट दूँगा। डर के कारण प्रहलाद जी ने परमात्मा का नाम स्मरण करके खम्बे को पकड़ने के लिए हाथ बढ़ाए।
उसी समय अंदर से खम्भा फोडकर नरसिंह रूप धारण करके पूर्ण परमात्मा प्रकट हुए। गरीबदास जी महाराज कहते है कि अपने भक्तों की रक्षा के लिए एक क्षण में पहुंच जाऊंगा।
पहुंचुगा क्षण एक में, जन अपने के काज।
नरसिंह रूप देखकर हिरण्यकश्यप थर-थर कांपने लगा। नरसिंह प्रभु की दहाड़ तीनों लोको में गुंजायमान हो रही थी। हिरण्यकशिपु भयभीत होकर भागने लगा।नरसिंह प्रभु ने उसे पकड़कर अपने गोडों के पास हवा में लटका दिया। हिरण्यकशिप चीखने लगा कि मुझे क्षमा कर दो, मैं कभी किसी को नहीं सताऊँगा। तब प्रभु ने कहा, क्या मेरे भक्त ने तेरे से क्षमा याचना नहीं की थी? तूने एक नहीं सुनी।
अब तेरी जान पर पड़ी तो डर लग रहा है। हे अपराधी! देख न मैं मानव हूँ, न पशु, न आकाश है, न पृथ्वी पर, न सुबह है न शाम है। न बारह महीने, यह तेरहवां महीना है, न अस्त्र ले रखा है, न शस्त्र मेरे पास है। घर के दरवाजे के मध्यम में खड़े थे। न घर में, न बाहर हूँ। अब तेरा अंत है। यह कहकर नरसिंह भगवान ने उस राक्षस का पेट फाड़कर आँतें निकाल दी और जमीन पर उस राक्षस को फैंक दिया। प्रहलाद को गोदी में उठाया और जीभ से चाटा। उस नगरी का राजा प्रहलाद बना।
गरीब,
जब प्रह्लाद अग्नि में डारे, हम हिरण्यकश्यप के उदर विदारे।
जब प्रह्लाद बांधिया खम्भा, हम नरसिंह रूप धरया प्रचण्डा।
भक्त प्रहलाद विश्वास के साथ अपने धर्म-कर्म पर डटे रहे यानि पतिव्रता धर्म का पालन करके अटल रहे तो परमात्मा ने सहायता की, रक्षा की।
. शास्त्रानुकूल साधना से ही मोक्ष की प्राप्ति की जा सकती है।आज पुरे विश्व में शाशत्रानुकुल साधना केवल संत रामपाल जी महाराज ही बताते है।आप सभी से विनम्र निवेदन है अविलंब संत रामपाल जी महाराज जी से नि:शुल्क नाम दीक्षा लें। अपना जीवन सफल बनाएं। आध्यात्मिक जानकारी के लिए आप संत रामपाल जी महाराज जी के मंगलमय प्रवचन सुनिए।
▶️ नेपाल1चैनल पर प्रतिदिन सुबह 5:30से6:30बजे
▶️ श्रधा चैनल पर प्रतिदिन दोपहर 2:00से 3:00 बजे
▶️ साधना चैनल पर प्रतिदिन शाम 7:30 से 8.30 बजे
सत साहिब जी
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नालंदा - बच्चे को साँप ने डसा तो साँप को पकड़ कर इलाज कराने पहुंचे परिजन अस्पताल।
नालंदा – बच्चे को साँप ने डसा तो साँप को पकड़ कर इलाज कराने पहुंचे परिजन अस्पताल।
नूरसराय थाना इलाके के रामडीहा गांव में बच्चे को सर्पदंश के बाद परिजन ने साँप को पकड़ कर इलाज कराने अस्पताल लेकर चले आए । जैसे ही परिजन ने स्वास्थ्यकर्मी को यह बात बतायी सभी लोग कुछ देर के लिए भौचक्के हो गए । हालांकि साँप डब्बा में बंद था इसलिए कोई डर की बात नहीं थी ।
दरअशल महेश यादव के आठ वर्षीय पुत्र अनुश कुमार पढ़ाई करने के लिए रैक पर रखे कॉपी को निकालने गया उसी वक्त उस पर बैठा साँप ने उसके उंगली…
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दादा के साथ खेत गए पोते को सांप ने डसा तो 2 घंटे तक झाड़-फूंक कराते रहे परिजन, जानें फिर आगे क्या हुआ?
दादा के साथ खेत गए पोते को सांप ने डसा तो 2 घंटे तक झाड़-फूंक कराते रहे परिजन, जानें फिर आगे क्या हुआ?
गोपालगंज. बिहार के गोपालगंज जिले से एक चौंकाने वाली खबर सामने आई है. यहां दादा के साथ खेत घूमने गए पोते को जहरीले सांप ने डस लिया. इसकी सूचना मिलते ही परिजनों ने तांत्रिक को बुलाया और बच्चे की झाड़-फूंक कराने लगे. अंधविश्वास का यह सिलसिला काफी देर तक चलता रहा. उधर, समय पर इलाज न मिलने की वजह से बच्चे की तबीयत लगातार बिगड़ती जा रही थी. किसी ने इसकी सूचना स्थानीय पुलिस को दे दी. मौके पर पहुंची…
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खेत में दवा छिड़क रहे युवक को विषैले सर्प ने डंसा झाड़-फूंक में लोगों ने भी गंवाया समय, इलाज के दौरान हो गई मौत
खेत में दवा छिड़क रहे युवक को विषैले सर्प ने डंसा झाड़-फूंक में लोगों ने भी गंवाया समय, इलाज के दौरान हो गई मौत
Bihar: कैमूर जिले के भगवानपुर थाना क्षेत्र के ग्राम पंचायत सरैया के धलंगड़ा सिवान में एक व्यक्ति को सब्जी के खेत में दवा छिड़कने के दौरान जहरीला सर्प ने डंस लिया। खेत के आसपास कार्य कर रहे लोगों को जैसे ही सर्पदंश की सूचना प्राप्त हुई तत्काल उक्त युवक को झाड़-फूंक करवाने के लिए यूपी के अमवा के सती माई लेकर चले गए, मगर वहां स्थिति बिगड़ने के दौरान परिजनों के द्वारा तत्काल भभुआ सदर अस्पताल लाया गया…
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west- singhbhum-चाईबासा के गोइलकेरा में जहरीले सांप ने छात्र को डसा, एमजीएम से टीएमएच रेफर,स्थिति गंभीर
west- singhbhum-चाईबासा के गोइलकेरा में जहरीले सांप ने छात्र को डसा, एमजीएम से टीएमएच रेफर,स्थिति गंभीर
चाईबासा: चाईबासा के गोइलकेरा थाना क्षेत्र के सोमा गांव के रहने वाले एक छात्र अनिल बानरा को सांप ने डस लिया. अनिल बानरा की हालत गंभीर बताई जा रही है. परिजनों ने अनिल बानरा को गांव के ही एक डॉक्टर को दिखाया था. उसने अनिल को चाईबासा के अस्पताल में भर्ती कराने की सलाह दी थी. इसके बाद परिजन उसे चाईबासा में सरकारी अस्पताल ले आए. यहां से डाक्टरों ने उसे जमशेदपुर के एमजीएम अस्पताल भेजा. परिजन अनिल को…
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कबीर,नागिन के तो दोये फन, नारी के फन बीस
जाका डसा ना फिर जीये, मरि है बिसबा बीस।
कबीर साहिब जी कहतै है
सांप के केवल दो फंन होते है पर स्त्री के बीस फंन होते है।
स्त्री के डसने पर कोई जीवित नहीं बच सकता है। बीस लोगों को काटने पर बीसों मर जाते है।
कबीर, कामिनि सुन्दर सर्पिनी, जो छेरै तिहि खाये
��ो हरि चरनन राखिया, तिनके निकट ना जाये।
कबीर साहिब जी कहतै है
नारी एक सुन्दर सर्पिणी की भांति है। उसे जो छेरता है उसे वह खा जाती है।
पर जो राम के चरणों मे रमा है उसके नजदीक भी वह नहीं जाती है।
कबीर,कामिनि काली नागिनि, तीनो लोक मंझार
राम सनेही उबरै, विषयी खाये झार।
कबीर साहिब जी कहतै है
एक औरत काली नागिन है जो तीनों लोकों में व्याप्त है। परंतु राम का प्रेमी व्यक्ति
उसके काटने से बच जाता है। वह विषय लोभी लोगों को खोज-खोज कर काटती है।
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My poetry: दास्तानें Tales
कितनी दास्तानें बेदर्दों की सुना रहा ज़माना,
फिर भी आस्तीनों के सांपों से डसा रहा ज़माना...
Td Veervani
Many tales are heard of unkindness of ages,
Still continues the bites of snakes from sleeves of ages ...
Td Veervani
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नागिन के तो दोष फन , नारी के फन बीस
जाका डसा ना फीर जीए , मरी है बीसवा बीस
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शिव मंदिर के पुजारी को नाग ने डसा, खतरे से बाहर
शिव मंदिर के पुजारी को नाग ने डसा, खतरे से बाहर
Sheikhpura: नगर परिषद शेखपुरा के गिरीहिंडा पहाड़ स्थित महाभारत कालीन बाबा कामेश्वर नाथ मंदिर के पुजारी व विश्व हिंदू परिषद के पूर्व जिलाध्यक्ष बाबा रामप्रवेश दास को बुधवार को नाग ने डस लिया। दरअसल बुधवार की सुबह मंदिर की सफाई करते वक़्त उन्हें सांप के काटने का अहसास हुआ। उन्होंने तुरन्त इसकी जानकारी मंदिर में पूजा करने आये श्रद्धालुओं को दी।
आनन-फानन में स्थानीय लोगों की मदद से उन्हें डॉ मृगेंद्र…
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मौलाना सिराज मदनी बोले, अबू आसिम आज़मी को 80 कोड़े मारे जाने चाहिए -
आल इंडिया मजलिस ए इत्तेहादुल मुस्लिमीन बहराइच 286 विधानसभा सदर के प्रभारी मौलाना सिराज मदनी ने कहा है कि समाजवादी पार्टी के महाराष्ट्र अध्यक्ष अबू आसिम आज़मी को 80 कोड़े मारे जाने चाहिए क्योंकि उन्होंने बहराइच के एक गल्र्स इंटर कालेज में अपने सम्बोधन में एआईएमआईएम पर झूठा आरोप लगाया है कि वह आरएसएस के इशारे पर काम कर रही है। उन्होंने कहा कि झूठा आरोप लगाने वालो पर मज़हब ए इस्लाम में 80 कोड़ा लगाने का हुक्म है।
मौलाना सिराज मदनी ने कहा कि अबू आसिम आज़मी को इस्लामी तालीमात का मुताला कर लेना चाहिए कि किसी पर झूठा आरोप लगाने की क्या सज़ा है। मौलाना मदनी ने कहा कि “मोमिन एक सूराख से दो बार नहीं डसा जाता है। ” आज़म खान जेल में हैं उनकी रिहाई के लिए कोई सपाई मैदान में नहीं आया और न ही पार्टी की ओर से धरना प्रदर्शन किया गया। सपा मुर्दों की याद में रैलियां तो निकालती है लेकिन जो जिन्दा लोग जेल में बंद हैं उनके लिए एक लफ्ज़ भी नहीं निकलता है। मौलाना मदनी ने हवाला देते हुए कहा कि जब कुछ पत्रकारों से अखिलेश यादव से आज़म खान पर सवाल किया था तब अखिलेश यादव ने कहा था कि यह छोटे पत्रकार हमारी सभा में न आएं। मौलाना सिराज मदनी ने कहा कि जनता सब जान चुकी है अब जनता इन झूठे और धोखेबाज नेताओं के चक्कर में नहीं आएगी। इंशाअल्लाह 2022 में आल इंडिया मजलिस ए इत्तेहादुल मुस्लिमीन उत्तर प्रदेश में शानदार रिकार्ड दर्ज करने जा रही है। इस बार जनता ने ओवैसी साहब को वोट देने का मन बना लिया है। वह ओवैसी जो जमीन से लेकर संसद तक जनता की आवाज को उठा रहा हो अब ओवैसी ही जनता को उनका हक़ दिला सकते हैं।
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