#सपना चौधरी गर्भवती
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mrdevsu · 4 years ago
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In Pics: प्रेग्नेंसी और बेटे को जन्म देने के बाद सपना चौधरी ने कर लिया है काफी वेट गेन, लेटेस्ट तस्वीरों में पहचानना हुआ मुश्किल
In Pics: प्रेग्नेंसी और बेटे को जन्म देने के बाद सपना चौधरी ने कर लिया है काफी वेट गेन, लेटेस्ट तस्वीरों में पहचानना हुआ मुश्किल
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rohtakmedia-blog · 6 years ago
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क्या आप जानते हैं, बच्चों में कैसे फैल रहा है AIDS, बचाव के लिए जानिए ये जरूरी बातें
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क्या आप जानते हैं, बच्चों में कैसे फैल रहा है AIDS, बचाव के लिए जानिए ये जरूरी बातें : चिकित्सकों का कहना है कि एड्स से संबंधित मौतों व नये संक्रमणों में कमी जरूर आ रही है लेकिन इसे खत्म करने की प्रक्रिया तेज नहीं हो पा रही है.  चिकित्सकों के मुताबिक, वायरस का इलाज करने और इसे बड़े बच्चों में फैलने से रोकने संबंधी कार्यक्रम वहां नहीं हैं, जहां उन्हें होना चाहिए.  हार्ट केयर फाउंडेशन (एचसीएफआई) के अध्यक्ष डॉ. के.के. अग्रवाल ने कहा, "एचआईवी वायरस रिजर्वोयर सेल्स में छिपा रहता है.  इस कारण से, एचआईवी संक्रमण, जो एंटीरेट्रोवाइरल दवाओं (एआरटी) के साथ में है, एआरटी बंद होते ही फिर से सक्रिय हो जाता है.  इन छिपी हुई रिजर्वोयर सेल्स को खत्म करना इसलिए आवश्यक है ताकि उपचार हो सके. " इन्हे भी पढ़े :- स्टेज पर सपना चौधरी लगा रही थीं ठुमके, तभी मची भगदड़, पुलिस ने किया लाठीचार्ज उन्होंने कहा, "वैज्ञानिक आज बेहतर तरीके जानते हैं, उनके पास ज्ञान और तकनीक दोनों हैं, जिससे इस रोग के इलाज खोजने की उम्मीदें जागती हैं.  एचआईवी या एड्स विभिन्न जन जागरूकता अभियानों, अत्याधुनिक चिकित्सा हस्तक्षेप और विकसित तकनीक की उपलब्धता के बावजूद भारतीय आबादी को प्रभावित कर रहा है. " डॉ. के.के. अग्रवाल ने कहा, "इसका एक बड़ा हिस्सा उस सामाजिक कलंक के कारण भी है जो हमारे समाज ने इस बीमारी से जोड़ रखा है.  यह भी एक कारण है कि लोग नियमित जांच कराने से बचते हैं.  इस तथ्य के साथ विभिन्न रोग निवारण उपायों के बारे में आम जनता को शिक्षित करने की तत्काल आवश्यकता है, ताकि एचआईवी से पीड़ित लोग सामान्य जीवन जी सकें. "  यूनिसेफ की रिपोर्ट में 2030 तक 14 लाख एचआईवी संक्रमित बच्चों की संख्या में कमी के वैश्विक लक्ष्य का हवाला दिया गया है.  हालांकि, 19 लाख की अनुमानित संख्या से पता चलता है कि दुनिया में लगभग 5,00,000 मामलों की जानकारी नहीं है.   डॉ. अग्रवाल ने कहा, "एचआईवी किसी संक्रमित महिला से उसके बच्चे तक गर्भावस्था और प्रसव के दौरान फैल सकता है.  यह स्तनपान के माध्यम से एक मां से ��सके बच्चे में भी जा सकता है.  सभी गर्भवती म��ताओं को एचआईवी परीक्षण करवाना चाहिए.  यौन पार्टनर या नशा करने वाले पार्टनर के मामले में, गर्भावस्था या स्तनपान के दौरान मां से शिशु तक इस रोग को फैलने से रोकने के लिए जल्द से जल्द एंटीरेटरोवाइरल थेरेपी शुरू की जानी चाहिए. " डॉ. अग्रवाल ने कुछ अन्य तथ्यों पर प्रकाश डाला जो कि निम्नलिखित हैं.   * सुरक्षित सेक्स के लिए एबीसी : एब्सटेन यानी संयम, बी फेथफुल यानी अपने साथी के प्रति वफादार रहें और कंडोम का प्रयोग करें.   * शराब पीने या ड्रग्स लेने से जांच प्रभावित हो सकती है.  यहां तक कि जो लोग एड्स के जोखिमों को समझते हैं और सुरक्षित सेक्स का महत्व भी जानते हैं, वे भी नशे की हालत में लापरवाह हो सकते हैं.  * एसटीआई वाले लोगों को शीघ्र उपचार की तलाश करनी चाहिए और संभोग से बचना चाहिए या सुरक्षित सेक्स का अभ्यास करना चाहिए.  * प्रयुक्त संक्रमित रेजर ब्लेड, चाकू या उपकरण जो त्वचा को काटते या छेदते हैं, उनमें एचआईवी फैलने का कुछ जोखिम भी होता है.  * एचआईवी पॉजिटिव लोगों को खुद चाहे पता न लगे, फिर भी वे अनजाने में वायरस को दूसरों तक पहुंचा सकते हैं.  इन्हे भी पढ़े :- WhatsApp की तरह Messenger ने जारी किया ‘अनसेंड’ फीचर, यह मिलेगी सुविधा क्या आप जानते हैं, बच्चों में कैसे फैल रहा है AIDS, बचाव के लिए जानिए ये जरूरी बातें स्त्रोत : zeenews छायाचित्र भिन्न हो सकता है Read the full article
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