#सऊदी अरब
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jubaer01 · 7 months ago
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किसी भी देश की यात्रा करने वाले प्रत्येक व्यक्ति के लिए सरल, तेज़, विश्वसनीय eVisa प्रसंस्करण सेवा।
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Address : A-1, 309, Safdarjung Enclave, Block A 1, Nauroji Nagar, Safdarjung Enclave South West Delhi - 110029
Phone : +91 11 4171 7136
Website : https://www.evisaprime.com/hi/visa/ 
Business Hours : 24/7/365
Owner / Official Contact Name : Bahali Narin Yerong
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livetimesnewschannel · 16 hours ago
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Do You Know Their Names Where New Year is not Celebrated on January1?
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Introduction
10 Countries Where New Year is Not Celebrated: दुनियाभर में न्यू ईयर यानी साल 2025 को लेकर तैयारियां शुरू हो चुकी हैं. नया साल अपने साथ नए अवसर, उम्मीदें, लक्ष्य, रिश्ते और आकांक्षाएं लेकर आता है. यही वजह है कि हर कोई नए साल का जश्न मनाता है, जिसके लिए लोग ग्रेंड पार्टी का आयोजन भी करते हैं. लेकिन आपको यह जानकर आश्चर्य होगा कि दुनिया के कई ऐसे देश भी हैं जहां न्यू ईयर 1 जनवरी को नहीं मनाया जाता. बता दें कि पूरी दुनिया में ग्रेगोरियन कैलेंडर के मुताबिक 1 जनवरी को नए साल का जश्न मनाया जाता है. ऐसे में आज हम आपको बताएंगे कि विश्व के वो कौन-कौन से देश हैं, जहां 1 जनवरी को न्यू ईयर सेलिब्रेट नहीं किया जाता.
Table of Content
चीन
थाईलैंड
श्रीलंका
रूस और यूक्रेन
सऊदी अरब
ईरान
पाकिस्तान
कंबोडिया
मंगोलिया
इथियोपिया
नेपाल
क्यों मनाते हैं 1 जनवरी को ही न्यू ईयर
कैसे बना जनवरी साल का पहला महीना
कैसे बना ग्रेगोरियन कैलेंडर?
चीन
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थाईलैंड
थाईलैंड भी विश्व के उन्हीं देशों में शामिल है, जहां नए साल का जश्न 1 जनवरी को नहीं मनाया जाता. यहां के लोग अप्रैल के महीने में न्यू ईयर सेलिब्रेट करते हैं, जिसे जल महोत्सव के नाम से भी जाना जाता है. बता दें कि थाईलैंड के लोग 13 या 14 अप्रैल को न्यू ईयर मनाते हैं. इस दिन थाईलैंड लोग एक दूसरे को ठंडे पानी से भिगोते हुए नए साल की बधाईयां देते हैं.
श्रीलंका
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रूस और यूक्रेन
रूस और यूक्रेन भी दुनिया के उन्हीं देशों की सूची में शामिल है, जहां 1 जनवरी को नया साल नहीं मनाया जाता. यहां के पूर्वी रूढ़िवादी चर्च के लोग ग्रेगोरियन कैलेंडर की बजाय जूलियन कैलेंडर को फॉलो करते हैं. यही वजह है कि रूस और यूक्रेन में नया साल 14 जनवरी को मनाया जाता है. इस दौरान दोनों देशों में आतिशबाजी और मनोरंजनक गतिविधियां की जाती हैं. इसके साथ ही नए साल पर दोस्तों और परिजनों के बीच मिठाइयां बांटी जाती हैं यानी कि पूरे जोश के साथ नव वर्ष का आगमन किया जाता है.
सऊदी अरब
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ईरान
ईरान भी दुनिया के उन्हीं देशों की लिस्ट में शामिल है, जो 1 जनवरी को नए साल का जश्न नहीं मनाते हैं. ऐसा इसलिए है क्योंकि ईरान में पारसी कैलेंडर को फॉलो किया जाता है, जिसके मुताबिक न्यू ईयर 21 मार्च से शुरू होता है. बता दें कि 21 मार्च वसंत उत्सव का दिन है और इसी दिन नौरोज़ की भी छुट्टी होती है. ऐसे में देखा जाए तो 1 जनवरी क��� दिन ईरान में बेहद सामान्य होता है. वहीं, नवरोज से नव वर्ष की शुरुआत होती है.
पाकिस्तान
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कंबोडिया
कंबोडिया भी दुनिया के उन देशों में आता है, जो 1 जनवरी को नया साल नहीं मनाते हैं. ऐसा इसलिए क्योंकि कंबोडिया में बौद्ध कैलेंडर फॉलो किया जाता है. बौद्ध कैलेंडर चन्द्र-सौर कैलेंडर का एक समूह है जिसका इस्तेमाल मुख्य रूप से कंबोडिया, भारत, तिब्बत, म्यांमार, श्रीलंका, थाईलैंड, बांग्लादेश, वियतनाम, मलेशिया, सिंगापुर और लाओस आबादी द्वारा धार्मिक और आधिकारिक अवसरों का पता लगाने के लिए किया जाता है. यही वजह है कि कंबोडिया में 13 या 14 अप्रैल को न्यू ईयर सेलिब्रेट किया जाता है.
मंगोलिया
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इथियोपिया
इथियोपिया भी दुनिया के उन्हीं देशों की लिस्ट में आता है, जहां नया साल 1 जनवरी को नहीं मनाया जाता है. ऐसा इसलिए है क्योंकि इथियोपिया आज भी अपने प्राचीन कैलेंडर को फॉलो करता है. इस कैलेंडर के अनुसार, एक साल 13 महीने का होता है. यही वजह है कि यह देश दुनिया के बाकी देशों से 7 साल (Country 7 years behind the world) पीछे है. इस देश के पहले महीनों में 30 दिन होते हैं, इसके बाद आखिरी महीने में 5 दिन के साथ ही लीप ईयर वाले साल में 6 दिन भी शामिल होते हैं. साल के इस आखिरी महीने को पेग्यूम कहा जाता है. इसी के चलते इथियोपिया में 11 या 12 सितंबर को नए साल का जश्न मनाया जाता है. हालांकि, इथियोपिया के कई लोग बाकी देशों की तरह ग्रेगोरियन कैलेंडर को ही फॉलो करते हैं.
नेपाल
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क्यों मनाते हैं 1 जनवरी को ही न्यू ईयर
रोमन कैलेंडर का चलन 45 ईसा पूर्व में हुआ करता था. रोमन कैलेंडर में रोम के तत्कालीन राजा नूमा पोंपिलुस के समय 10 महीने हुआ करते थे. वहीं, हफ्ते में 8 दिन और साल में 310 दिन होते थे. फिर नूमा ने थोड़े समय के बाद कैलेंडर में थोड़े बदलाव कर दिए और जनवरी माह को कैलेंडर का पहना महीना बना दिया. जानकारी के लिए बता दें कि 1582 ई. के ग्रेगेरियन कैलेंडर की शुरुआत के बाद से ही 1 जनवरी को न्यू ईयर मनाने का चलन शुरू हुआ.
कैसे बना जनवरी साल का पहला महीना
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कैसे बना ग्रेगोरियन कैलेंडर?
रोमन के राजा जूलियस सीजर ने नई गणनाओं के आधार पर जीसस क्राइस्ट के जन्म से 46 साल पहले एक नया कैलेंडर बनाया. इसके बाद से ही जूलियस सीजर ने नए साल के शुरुआत 1 जनवरी से करने का एलान किया. धरती सूर्य की परिक्रमा 6 घंटे करती है और साल में 365 दिन होते हैं. ऐसे में जब जनवरी और फरवरी के महीने को कैलेंडर में जोड़ा गया तो सूर्य की गणना के साथ इसका तालमेल ठीक नहीं बैठ सका, जिसके बाद खगोलविदों द्वारा गहन अध्ययन किया गया.
आपको बता दें कि कोई भी कैलेंडर चंद्र या सूर्य चक्र ���ी गणना के आधार पर तैयार किया जाता है. सूर्य चक्र पर बनने वाले कैलेंडर में 365 दिन और चंद्र चक्र पर बनने वाले कैलेंडर में 354 दिन होते हैं. ग्रेगोरियन कैलेंडर सूर्य चक्र पर बेस्ड है और दुनिया के ज्यादातर देशों में ग्रेगोरियन कैलेंडर ही फॉलो किया जाता है.
Conclusion
वैसे तो नया साल हर किसी के जीवन में नई उम्मीद, खुशियां और उल्लास लेकर आता है, लेकिन हर देश की अपनी अलग-अलग संस्कृति और मान्यताएं होती हैं. यही वजह है कि दुनिया के कई देश ऐसे भी हैं जो नए साल की शुरुआत 1 जनवरी की बजाय अपनी-अपनी मान्यता और इतिहास से जुड़े दिनों से करना पसंद करते हैं.
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rightnewshindi · 2 days ago
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अफगानिस्तान की तालिबानी सरकार को एक और देश ने दी मान्यता, काबुल में जल्द शुरू होगा दूतावास
Afghanistan News: दुनियाभर के देशों से मान्यता लेने की कोशिश कर रही अफगानिस्तान की तालिबान सरकार के लिए राहत भरी खबर आई है। सऊदी अरब सरकार ने तीन साल बाद काबुल के साथ एक बार फिर से राजनयिक संबंध बहाल करने का फैसला लिया है। इस फैसले के बारे में रियाद सोशल मीडिया पर पोस्ट करके जानकारी दी। सऊदी अरब सरकार के इस फैसले का अफगान विदेश मंत्रालय ने भी स्वागत किया। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता जिया अहमद ने…
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indlivebulletin · 4 days ago
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Germany में भयानक हमला, मचा मौत का तांडव, Video दिल दहला देगा
क्रिसमस से पहले जर्मनी में बड़ा हमला हुआ है। संदिग्ध ने भीड़ को कार से कुचल दिया है। जिसमें दो लोगों की मौत हो गई है और 50 से ज्यादा लोग घायल बताए जा रहे हैं। पुलिस ने संदिग्ध को गिरफ्तार किया है। आरोपी सऊदी अरब मूल का बताया जा रहा है। 2006 से ये डॉक्टर जर्मनी में रह रहा है। ऐसे में सबसे बड़ा सवाल यही है कि ये कोई हमला था, साजिश थी या हादसा हुआ था। पुलिस की तफ्तीश इस मामले को लेकर तेज हो गई…
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worldplayinfo · 6 days ago
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क्रिकेट सऊद��� अरब – विश्व खेल जानकारी
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presskeeda · 27 days ago
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latestnewsandjokes · 28 days ago
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आईपीएल मेगा नीलामी में देर से थोक खरीदारी के साथ दिल्ली कैपिटल्स ने 'देसी' प्रतिभाओं पर बड़ा दांव लगाया | क्रिकेट समाचार
अजय मंडल, माधव तिवारी और दर्शन नालकंडे नई दिल्ली: इंडियन प्रीमियर लीग फ्रेंचाइजी दिल्ली कैपिटल्स सऊदी अरब के जेद्दा में दो दिवसीय शानदार मेगा नीलामी हुई, जहां उन्होंने भारत के स्टार बल्लेबाज केएल राहुल को बड़े पैमाने पर खरीदकर सुर्खियां बटोरीं।अक्षर पटेल, कुलदीप यादव, ट्रिस्टन स्टब्स और अभिषेक पोरेल को बरकरार रखते हुए, दिल्ली स्थित फ्रेंचाइजी ने राहुल के साथ एक चोरी का सौदा किया क्योंकि उन्हें…
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oyspa · 1 month ago
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बिहार के 13 साल के वैभव सूर्यवंशी आईपीएल की ऑक्शन लिस्ट में शामिल
इंडियन प्रीमियर लीग ऑक्शन (नीलामी) के लिए 574 खिलाड़ियों को शॉर्ट लिस्ट किया गया है, जिनमें से एक नाम बिहार के 13 वर्षीय वैभव सूर्यवंशी का भी है. समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक वह नीलामी के लिए चुने गए 574 खिलाड़ियों में सबसे युवा हैं. आईपीएल 2025 से पहले मेगा ऑक्शन में कुल 574 खिलाड़ियों पर बोली लगाई जाएगी. इस मेगा ऑक्शन का आयोजन सऊदी अरब के जेद्दाह में 24 और 25 नवंबर को किया जाएगा. इन 574…
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danzer91 · 1 month ago
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सऊदी अरब मैं छाया दिवाली की धुन, Diwali celebration 2024 | Pakistani rea...
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teesrijungmedia · 2 months ago
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गाजा में जो हो रहा है वह नरसंहार है : सऊदी अरब के विदेश मंत्री #FreePale...
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manvadhikarabhivyakti · 2 months ago
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'इस्राइल की मदद मत करो, वरना...', अमेरिका के तेल समृद्ध सहयोगियों को ईरान की बड़ी चेतावनी
ईरान ने अपने अरब पड़ोसियों और खाड़ी में अमेरिकी सहयोगियों को चेतावनी दी है। तेहरान ने कहा कि अगर इस्राइल की मदद के लिए उनके क्षेत्र या हवाई क्षेत्र का इस्तेमाल किया गया तो उन्हें गंभीर परिणाम भुगतने पड़ेंगे। ‘वॉल स्ट्रीट जनरल’ की रिपोर्ट के मुताबिक, यह चेतावनी गोपनीय राजनयिक चैनलों के जरिए सऊदी अरब, संयुक्त अरब अमीरात (यूएई), जॉर्डन और कतर जैसे सभी तेल समृद्ध देशों को दी गई है, जहां अमेरिकी सैन्य…
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rightnewshindi · 14 days ago
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सीरिया में 50 साल बाद घुसी इजरायली सेना ने कब्जाई जमीन, सऊदी अरब समेत यह मुस्लिम देश भड़के
World News: सीरिया में बशर अल असद के रूस भागने और तुर्की समर्थित एचटीएस विद्रोहियों के कब्‍जा करने के बाद इजरायली सेना 50 साल बाद सीरिया में घुस गई है। यही नहीं इजरायली सेना के टैंक सीरिया की राजधानी दमिश्‍क के करीब देखे गए हैं। इजरायली सेना ने गोलान हाइट्स पर कब्‍जा कर लिया है जो रणनीतिक लिहाज से बेहद अहम है। इजरायल का दावा है कि उसका यह कदम अल्‍पकालिक है लेकिन उसके इस कदम से मुस्लिम देश भड़क गए…
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indlivebulletin · 6 days ago
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सऊदी अरब में प्रवासी महिला मजदूरों की बढ़ी मुश्किलें, घर वापसी का नहीं मिल रहा रास्ता
सऊदी अरब में रहने वाली फातिमा (बदला हुआ नाम) जो केन्या की प्रवासी मजदूर हैं, उन्हें जब लेबर पेन उठा तो वह राजधानी रियाद में करीब के एक अस्पताल गईं. लेकिन अस्पताल के स्टाफ ने पुलिस को कॉल कर बुलाने की धमकी दी. द गार्जियन से बातचीत में फातिमा ने बताया कि, ‘उन्होंने कहा कि वह मुझे जेल भेज देंगे अगर मैंने जरूरी दस्तावेज पेश नहीं किए. मैं लेबर पेन के साथ जेल जाने से काफी डर गई और मैंने अस्पताल के…
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worldplayinfo · 6 days ago
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क्रिकेट सऊदी अरब – विश्व खेल जानकारी
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umakant171991-blog · 3 months ago
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अल-नासर बनाम अल-रायन: मुकाबले की रोमांचक कहानी
फुटबॉल का खेल सदियों से दुनिया के कोने-कोने में अपने प्रशंसकों को मंत्रमुग्ध करता आ रहा है। हर लीग, हर टूर्नामेंट और हर मुकाबला अपने में एक नई कहानी और रोमांचक मोड़ लाता है। इसी कड़ी में, जब भी अल-नासर और अल-रायन के बीच मुकाबले की बात होती है, तो यह मुकाबला सिर्फ दो टीमों के बीच का नहीं बल्कि रणनीति, इतिहास और उत्साह का होता है। सऊदी अरब की प्रसिद्ध टीम अल-नासर और कतर की प्रमुख टीम अल-रायन के बीच…
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presskeeda · 28 days ago
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