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तैलीय बालों से पाएं छुटकारा, करें ये 3 घरेलू सरल उपाय
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तैलीय बालों की देखभाल:- अगर आपके बाल ऑइली हैं तो गर्मी के मौसम में बालों में चिपचिपापन होना आम समस्या है। इससे निजात पाने के कुछ टिप्स –
इस मौसम में तैलीय ग्रंथियां ज्यादा सक्रिय होती हैं, जिसके कारण बाल चिपचिपे हो जाते हैं। इसलिए सिर की सफाई पर विशेष ध्या�� दें और तौसरे-चौथे दिन शैंपू करते रहें।
बालों के लिए माइलड शैपू का इस्तेमाल करें। इसके अलावा आप घर पर नींबू के रस को एक भाग में लेकर शैंपू…
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दो मुंहे बालों के कारण और घरेलू उपाय – Split Ends Causes and Home Remedies in Hindi
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दो मुंहे बालों के कारण और घरेलू उपाय – Split Ends Causes and Home Remedies in Hindi
दो मुंहे बालों के कारण और घरेलू उपाय – Split Ends Causes and Home Remedies in Hindi Bhupendra Verma Hyderabd040-395603080 December 31, 2019
बालों से जुड़ी समस्याएं आम होती जा रही हैं। इसके पीछे अनियंत्रित जीवनशैली और बालों का सही से ध्यान न रखना हो सकता है। बालों से जुड़ी समस्याएं कई प्रकार की हो सकती हैं, जिनमें बालों का दो मुंहे होना भी शामिल है। अगर आप भी इस समस्या से परेशान हैं, तो स्टाइलक्रेज का यह लेख आपके लिए मददगार साबित हो सकता है। इस लेख में दो मुंहे बालों के कारण से लेकर दो मुंहे बाल का घरेलू उपचार भी बताया गया है। ये उपचार कुछ हद तक दो मुंहे बालों की समस्या से राहत दिला सकते हैं।
लेख में आगे बढ़ने से पहले आइए जान लेते हैं कि दो मुंहे बाल क्या हैं।
विषय सूची
दो मुंहे बाल क्या हैं? – What is Split Ends in Hindi
यह समस्या बालों के अंतिम छोर पर देखने को मिलती है। इसमें एक बाल के दो छोर बन जाते हैं, जिसे ‘ट्राइकोप्टिलोसिस’ के नाम से भी जाना जाता है। इस समस्या के क्या-क्या कारण हो सकते हैं और इसे ठीक करने के उपाय क्या हैं, ये सब आगे लेख में बताया गया है।
आइए, जानते हैं कि दो मुंहे बाल होने के पीछे कौन-कौन से कारण जिम्मेदार होते हैं।
दो मुंहे बालों के कारण – Causes of Split Ends in Hindi
दो मुंहे बालों के लिए कई कारण जिम्मेदार हो सकते हैं, जो इस प्रकार हैं (1):
बालों में ब्लीच का प्रयोग।
बालों का ड्राई रहना।
स्ट्रेटनर की वजह से।
कभी कभी अधिक धूप के कारण।
ज्यादा जोर लगाकर कंघी करने से।
बालों के केमिकल उत्पाद का दुष्प्रभाव।
दो मुंहे बालों के कारण जानने के बाद आगे जानिए इससे निजात पाने के घरेलू नुस्खे।
दो मुंहे बालों के लिए घरेलू उपाय – Home Remedies for Split Ends in Hindi
दो मुंहे बालों की समस्या को कम करने के लिए निम्नलिखित घरेलू उपचार का सहारा लिया जा सकता है –
1. नारियल तेल
सामग्री:
दो से तीन चम्मच नारियल तेल
इस्तेमाल की विधि:
सबसे पहले तेल को ��ालों की जड़ों से लेकर सिरे तक अच्छी तरह से लगा लें।
फिर बालों को शॉवर कैप की मदद से कवर कर लें और रातभर के लिए छोड़ दें।
सुबह बालों को शैम्पू से अच्छे से धो लें।
बालों को सुखाने के लिए तौलिए का इस्तेमाल करें।
आप इस प्रक्रिया को हर दो से तीन दिन के बाद कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
नारियल तेल का उपयोग कर बालों को पोषण दिया जा सकता है। साथ ही नारियल तेल के प्रोटेक्टिव प्रभाव हेयर डैमेज को रोकने में भी मदद कर सकते हैं। इस आधार पर कहा जा सकता है कि नारियल तेल का प्रयोग दो मुंहे बालों से छुटकारा दिलाने में एक सहायक भूमिका निभा सकता है (2)।
2. आर्गन का तेल
सामग्री:
आधा चम्मच आर्गन का तेल
इस्तेमाल की विधि:
सुबह नहाने के बाद बालों को तौलिए से सुखाएं और इस तेल को लगाएं।
इसे सामान्य तेल की तरह बालों में लगे रहने दें।
इसे हफ्ते में दो से तीन बार लगा सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
आर्गन का तेल बालों से संबंधित कई समस्याओं से राहत दिलाने का काम कर सकता है। जैसा कि ऊपर बताया गया है कि दो मुंहे बालों की समस्या बालों के अधिक सूखने की वजह से हो सकती है। यहां आर्गन के तेल के फायदे देखे जा सकते हैं, क्योंकि यह ड्राई हेयर की समस्या को कम करने में मदद कर सकता है (3)।
3. अरंडी का तेल
सामग्री:
दो चम्मच अरंडी का तेल
दो चम्मच नारियल का तेल
इस्तेमाल की विधि:
सबसे पहले दोनों तेलों को मिला लें।
फिर तेल को थोड़ा-थोड़ा हाथों में लेकर बालों में अच्छे से लगाएं।
फिर बालों को शॉवर कैप से कवर कर लें।
एक या दो घंटे के लिए बालों में तेल को लगा रहने दें।
इसके बाद बालों को शैम्पू से धो लें।
इस उपाय को हफ्ते में एक या दो बार किया जा सकता है।
कैसे है फायदेमंद:
अरंडी के तेल का उपयोग करने से दो मुंहे बालों की समस्या से राहत पाई जा सकती है। दरअसल, अरंडी के तेल में मोनोअनसैचुरेटेड फैटी एसिड पाया जाता है, जो बालों को मॉइस्चराइज करने का काम कर सकता है। जैसा कि ऊपर बताया गया है कि सूखे बालों के कारण दो मुंहे बालों की समस्या उत्पन्न हो सकती है। ऐसे में कैस्टर ऑयल के मॉइस्चराइजिंग गुण सूखे बालों की समस्या को कम करने में मदद कर सकते हैं (4)।
4. बादाम का तेल
सामग्री:
दो से चार चम्मच बादाम का तेल
इस्तेमाल की विधि:
सबसे पहले बादाम तेल को हल्का गर्म कर लें।
फिर इस तेल को बालों की जड़ों से लेकर सिरे तक लगाएं।
कुछ मिनट तक उंगलियों से हल्की मालिश करें।
फिर बालों को शॉवर कैप से कवर कर, दो से तीन घंटे या रातभर के लिए छोड़ दें।
इसके बाद शैम्पू से बालों को धो लें।
यह ध्यान रखें कि बालों को सुखाने के लिए हेयर ड्रायर का उपयोग न करें।
हफ्ते में एक बार इस उपाय को कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
बादाम तेल कई पोषक तत्वों से भरपूर होता है। इनमें विटामिन-ई और विटामिन-डी मुख्य हैं। इसमें मैग्नीशियम और आयरन की भी अच्छी मात्रा पाई जाती है। साथ ही इसमें वो प्राकृतिक तत्व भी पाए जाते हैं, ��ो बालों को सुरक्षित रखने का काम करते हैं। इसलिए, कहा जा सकता है कि ये सभी गुण मिलकर हेयर डैमेज से रोकने का काम कर सकते हैं, जिससे कुछ हद तक दो मुंहे बालों की समस्या से राहत मिल सकती है (5)। हालांकि, यह सीधे तौर पर किस तरह दो मुंहे बालों पर काम करता है, इस पर अभी और शोध की आवश्यकता है।
5. एवोकैडो हेयर मास्क
सामग्री:
आधा एवोकैडो
दो चम्मच बादाम का तेल
इस्तेमाल की विधि:
पहले एक कटोरी में एवोकेडो को अच्छे से मैश कर लें।
फिर इसमें बादाम के तेल को डालकर मिक्स कर लें।
फिर इस मास्क को अपने बालों की जड़ों से लेकर सिरे तक लगाएं।
बाल को शॉवर कैप से कवर कर दें और लगभग एक घंटे के लिए छोड़ दें।
अंत में बालों को शैम्पू से धो लें।
हफ्ते में एक बार इस विधि का उपयोग किया जा सकता है।
कैसे है फायदेमंद:
एवोकैडो का इस्तेमाल त्वचा और बालों में लगाने के लिए भी इस्तेमाल किया जा सकता है। दरअसल, एवोकैडो बालों को कंडीशनिंग करने का काम कर सकता है। जैसा कि ऊपर बताया गया है कि बालों के रूखे होने के कारण भी बाल दो मुंहे हो सकते हैं। ऐसे में बालों को कंडीशन कर इससे बचा जा सकता है (6)। इसलिए, ऐसा माना जा सकता है कि एवोकाडो से दो मुंहे बाल का घरेलू उपचार किया जा सकता है।
6. हनी हेयर मास्क
सामग्री:
दो से तीन चम्मच शहद
एक चम्मच नारियल का दूध
तीन चम्मच दूध
इस्तेमाल की विधि:
सभी सामग्रियों को मिलाकर हेयर मास्क बनाएं।
फिर इस मास्क को पूरे बालों में अच्छे से लगा लें।
फिर एक से दो घंटे के लिए सिर को शॉवर कैप से कवर कर छोड़ दें।
इसके बाद बालों को शैम्पू से धो लें।
इस प्रक्रिया को हफ्ते में दो बार किया जा सकता है।
कैसे है फायदेमंद:
जैसा कि हमने ऊपर बताया कि दो मुंहे बाल की समस्या नमी की कमी के कारण भी हो सकती है। यहां शहद के लाभ देखे जा सकते हैं। दरअसल, बालों में शहद का इस्तेमाल नमी की पूर्ति का काम कर सकता है, जिससे दो मुंहे बालों की समस्या को बहुत हद तक कम की जा सकती है (7)। फिलहाल, इस पर अभी और शोध की आवश्यकता है।
7. पपीते का हेयर मास्क
सामग्री:
आधा कप कटा हुआ पपीता (पका हुआ)
एक चम्मच दही
एक चम्मच बादाम का तेल
इस्तेमाल की विधि:
सबसे पहले पपीते को अच्छी तरह मैश कर लें।
फिर इसमें दही और बादाम तेल को मिलाएं।
इस मिश्रण को बालों में लगाएं और बालों को शॉवर कैप से कवर कर लें।
लगभग एक घंटे के लिए बालों को ऐसे ही छोड़ दें।
फिर बालों को शैम्पू से धो लें।
इसे हफ्ते में एक से दो बार तक लगाया जा सकता है।
कैसे है फायदेमंद:
पपीता बालों को कंडीशनिंग करने का काम कर सकता है। पपीते में मौजूद कंडीशनिंग गुण दो मुंहे बालों की समस्या को कम करने में मदद कर सकते हैं। ध्यान रखें कि हमेशा पके हुए पपीते का ही इस्तेमाल करें, क्योंकि पपीता अगर सही से पका न हो, तो इसमें से लैक्टेस तरल निकलता है, जो जलन और एलर्जी का कारण बन सकता है (8) (9)।
8. बनाना हेयर मास्क
सामग्री:
एक पका हुआ केला
दो चम्मच नारियल का दूध
इस्तेमाल की विधि:
केले को काटकर अच्छे से मैश करें।
फिर इसमें नारियल का दूध डालें और अच्छी तरह मिलाएं।
इस पेस्ट को अपने बालों में अच्छी तरह लगा लें।
फिर एक-दो घंटे के लिए बालों को ऐसे ही छोड़ दें।
इसके बाद शैम्पू से बालों को धो लें।
इसका उपयोग हफ्ते में एक बार कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
केले को बालों की समस्या दूर करने के लिए भी उपयोग में लाया जा सकता है। दरअसल, केले में पोटैशियम, नेचुरल ऑयल, कार्बोहाइड्रेट और विटामिन पाए जाते हैं। ये सभी पोषक तत्व बालों को मुलायम बनाने, इलास्टिसिटी में सुधार करने और दो मुंहे बालों की समस्या को ठीक करने में मदद कर सकते हैं (10)।
9. एग हेयर मास्क
सामग्री:
एक अंडा
एक चम्मच नारियल तेल
एक चम्मच शहद
इस्तेमाल की विधि:
अंडे को तोड़कर उसके सफेद वाले भाग को नारियल तेल और शहद के साथ मिला लें।
फिर इस मिश्रण को अपने बालों में पूरी तरह लगा लें।
एक घंटे के लिए बालों को ऐसे ही छोड़ दें।
अंत में शैम्पू से बालों को धो लें।
इसे हफ्ते में एक से दो बार उपयोग किया जा सकता है।
कैसे है फायदेमंद:
अंडे में कई तरह के पोषक तत्व मौजूद होते हैं, जिनमें से एक सल्फर अमीनो एसिड भी है। यह बालों को कंडीशनिंग करने का काम कर सकता है, जिससे दो मुंहे बालों की समस्या बहुत हद तक कम हो सकती है (11)।
10. बियर
सामग्री:
लगभग चार चम्मच बीयर
एक चम्मच शहद
इस्तेमाल की विधि:
सबसे पहले बीयर और शहद को मिला लें।
इस मिश्रण को पूरे बालों में लगा लें।
फिर 30 मिनट के लिए बालों को ऐसी ही छोड़ दें।
अंत में बालों को शैम्पू से धो लें।
बालों को सुखाने के लिए तौलिए का इस्तेमाल करें।
कैसे है फायदेमंद:
अक्सर कई लोगों से यह सुना होगा की बियर से बाल धोए जाते हैं। यह बात एकदम सच है। बियर को बालों के कंडीशनर की तरह इस्तेमाल किया जा सकता है, जो बालों को कंडीशनिंग करने का काम कर सकती है। वहीं, हम ऊपर बता ही चुके हैं कि कंडीशनर दो मुंहे बालों की समस्या से बचाव व इनसे छुटकारा दिलाने में मदद कर सकता है (12)। इसलिए, बियर को दो मुंहे बालों के लिए फायदेमंद माना जा सकता है।
11. अखरोट का तेल
सामग्री:
लगभग चार चम्मच अखरोट का तेल
इस्तेमाल की विधि:
तेल को हल्का गर्म करें।
इस तेल को स्कैल्प और बालों में लगाकर कुछ मिनट के लिए मालिश करें।
फिर बालों को शॉवर कैप से कवर कर रातभर के लिए छोड़ दें।
सुबह शैम्पू से बालों को धो लें।
इसे हफ्ते में दो से तीन बार तक उपयोग कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
अखरोट के तेल को भी दो मुंहे बालों के लिए फायदेमंद माना जाता है। इस तेल को स्कैल्प पर लगाने पर बालों का झड़ना रुक सकता है। साथ ही यह बालों को पोषण देकर बालों के विकास को बढ़ावा दे सकता है, जिसका सकारात्मक प्रभाव दो मुंहे बालों पर भी हो सकता है (13)। इसलिए, ऐसा कहा जा सकता है कि दो मुंहे बालों से छुटकारा पाने के लिए अखरोट तेल का उपयोग सहायक सिद्ध हो सकता है।
12. टी ट्री ऑयल
सामग्री:
ट्री टी ऑयल की कुछ बूंदें
बादाम के तेल की कुछ बूंदें
नारियल तेल की कुछ बूंदें
एक चम्मच एलोवेरा जेल
इस्तेमाल की विधि:
सबसे पहले सभी सामग्रियों को मिलाएं।
फिर इस मिश्रण को अपने बालों में लगाएं।
लगभग एक से दो घंटे के लिए बालों को ऐसे ही छोड़ दें।
फिर बालों को शैम्पू से धो लें।
इसे हफ्ते में दो से तीन बार इस्तेमाल किया जा सकता है।
कैसे है फायदेमंद:
टी ट्री ऑयल बालों के लिए फायदेमंद हो सकता है। इस तेल की कम मात्रा का उपयोग बालों में नमी के लिए किया जा सकता है, जिससे सूखे बालों के कारण होने वाली दो मुंहे बालों की समस्या कम हो सकती है। इसके साथ ही यह तेल स्कैल्प को स्वस्थ र��ने का काम भी कर सकता है (5)।
13. एलोवेरा जेल
सामग्री:
चार चम्मच एलोवेरा जेल
दो चम्मच नींबू का रस
इस्तेमाल की विधि:
दोनों सामग्रियों को मिला लें।
इस मिश्रण को बालों की जड़ों से लेकर सिरे तक लगा लें।
फिर लगभग एक घंटे के लिए छोड़ दें।
इसके बाद बालों को शैम्पू से धो लें और तौलिए से सूखा लें।
इसे हफ्ते में दो बार उपयोग किया जा सकता है।
कैसे है फायदेमंद:
एलोवेरा का उपयोग बाल झड़ने की समस्या के साथ-साथ रूसी की समस्या के लिए भी किया जा सकता है। इसमें मौजूद एंजाइम बालों को झड़ने से बचाने का काम कर सकते हैं। एलोवेरा का नियमित उपयोग बालों को फिर से बढ़ने में मदद कर सकता है, जिसका सकारात्मक प्रभाव दो मुंहे बालों की समस्या पर भी दिख सकता है (14)। इस संबंध में अभी और शोध किए जाने की जरूरत है।
14. कोकोनट मिल्क
सामग्री:
तीन चम्मच नारियल का दूध
इस्तेमाल की विधि:
इस दूध को बालों की जड़ों से लेकर सिरे तक लगा लें।
इसके बाद इसे एक से दो घंटे के लिए छोड़ दें।
फिर शैम्पू से बालों को धो लें।
बालों को सुखाने के लिए तौलिए का इस्तेमाल करें।
इसे हफ्ते में दो से तीन दिन उपयोग कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
नारियल के तेल के साथ-साथ नारियल का दूध भी बालों के लिए उपयोगी साबित हो सकता है। माना जाता है कि नारियल का दूध बालों को कंडीशनिंग करने का काम कर सकता है, जिससे दो मुंहे बालों की समस्या बहुत हद तक कम हो सकती है (15)।
15. दही
सामग्री:
चार चम्मच दही
एक चम्मच जैतून का तेल
एक चम्मच शहद
इस्तेमाल की विधि:
सबसे पहले सभी सामग्रियों को मिलाएं।
फिर इस मिश्रण को बालों में लगाएं।
इसके बाद एक घंटे के लिए बालों को ऐसे ही छोड़ दें।
फिर शैम्पू से बालों को धो लें।
हफ्ते में एक बार इसका उपयोग किया जा सकता है।
कैसे है फायदेमंद:
दो मुंहे बालों की समस्या को दूर करने के लिए घरेलू उपचार का सहारा भी लिया जा सकता है, जिनमें दही भी शामिल है। दही हेयर डैमेज में सुधार के साथ-साथ दो मुंहे बालों की समस्या को भी ठीक करने में मदद कर सकता है। साथ ही यह बालों को कंडीशनिंग करने का काम भी कर सकता है (16)। वहीं, इस मिश्रण में इस्तेमाल किया जाने वाला जैतून का तेल दो मुंहे बालों से राहत दिलाता है, बालों का झड़ना कम करता है और बालों की कंडीशनिंग में भी मदद कर सकता है (17)।
16. गुलाब जल
सामग्री:
चार चम्मच गुलाब जल
एक चम्मच नींबू का रस
एक चम्मच शहद
आठ चम्मच पानी
इस्तेमाल की विधि:
सभी सामग्रियों को एक बाउल में मिला लें।
फिर तैयार मिश्रण को बालों में अच्छी तरह लगा लें।
फिर एक घंटे के लिए इसे बालों में लगा रहने दें।
इसके बाद शैम्पू से बालों को धो लें।
इसे हफ्ते में दो बार इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
गुलाब जल के इस्तेमाल से दो मुंहे बालों की समस्या से छुटकारा पाया जा सकता है। दरअसल, गुलाब जल हर्बल मॉइस्चराइजर की तरह काम कर बालों में नमी बनाए रखने में मदद कर सकता है, जिससे दो मुंहे बालों की समस्या कुछ हद तक कम हो सकती है (18)। इस संबंध में भी अभी और मेडिकल रिसर्च किए जाने की जरूरत है।
17. कटिंग और ट्रिमिंग
दो मुंहे बालों की समस्या को प्रत्येक समयांतराल पर कटिंग और ट्रिमिंग के जरिए भी ठीक किया जा सकता है। इससे न सिर्फ दो मुंहे बालों से छुटकारा मिलता है, बल्कि बाल सुंदर भी नजर आते हैं। साथ ही उनकी ग्रोथ भी अच्छी तरह से होती है।
लेख के अंत में जानिए दो मुंहे बालों की समस्या से कैसे बचा जाए।
दो मुंहे बालों से बचाव – Prevention Tips for Split Ends in Hindi
दो मुंहे बालों की समस्या से बचे रहने के लिए निम्नलिखित बातों का जरूर ध्यान रखें।
एक ही ब्रांड व केमिकल रहित तेल का इस्तेमाल करें।
अच्छी क्वालिटी का हेयर ब्रश यानी कंघी का इस्तेमाल करें।
बालों के अनुकूल समय-समय पर शैम्पू ��र कंडीशनर का इस्तेमाल करें।
नियमित रूप से बालों ��ें तेल लगाएं।
हमेशा बालों में कंघी धीरे-धीरे करें।
उम्मीद करते हैं कि इस लेख को पढ़ने के बाद अब आप दो मुंहे बालों की समस्या और इसके कारणों से परिचित हो गए होंगे। साथ ही आप इस समस्या से बचाव व इन्हें कुछ हद तक ठीक करने के लिए दो मुंहे बालों का घरेलू उपचार भी जान गए होंगे। साथ ही इस लेख में दो मुंहे बालों से छुटकारा पाने के जरूरी टिप्स भी बताए गए हैं। अगर दो मुंहे बालों की समस्या ठीक होने का नाम नहीं ले रही है, तो आप संबंधित डॉक्टर से संपर्क कर सकते हैं। आशा करते हैं कि लेख में दी गई जानकारी आपके लिए उपयोगी साबित होगी। इसके अलावा, लेख से जुड़ी अन्य जानकारी के लिए आप नीचे दिए गए कमेंट बॉक्स की मदद से अपने सवाल हमसे पूछ सकते हैं।
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भूपेंद्र वर्मा ने सेंट थॉमस कॉलेज से बीजेएमसी और एमआईटी एडीटी यूनिवर्सिटी से एमजेएमसी किया है। भूपेंद्र को लेखक के तौर पर फ्रीलांसिंग में काम करते 2 साल हो गए हैं। इनकी लिखी हुई कविताएं, गाने और रैप हर किसी को पसंद आते हैं। यह अपने लेखन और रैप करने के अनोखे स्टाइल की वजह से जाने जाते हैं। इन्होंने कुछ डॉक्यूमेंट्री फिल्म की स्टोरी और डायलॉग्स भी लिखे हैं। इन्हें संगीत सुनना, फिल्में देखना और घूमना पसंद है।
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Source: https://www.stylecraze.com/hindi/do-muhe-baalo-ke-karan-aur-gharelu-upay-in-hindi/
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Hair Transplant सर्जरी के बारे में जानें सबकुछ, कैसे ये गंजेपन से छुटकारा पाने का है असरदार तरीका नई दिल्ली: बालों के झड़ने और गंजेपन की समस्या से बहुत लोग परेशान रहते हैं. तमाम तेल, शैम्पू और नुस्ख अपनाने के बाद कई लोग बालों की सर्जरी का रुख करते हैं. क्योंकि आजकल बाज़ार में हर जगह सिर्फ Hair Transplants या Hair Implants के बही विज्ञापन देखने को मिलते हैं. इस वजह से भी लोग इस सर्जरी को अपनाते हैं. अगर आप भी इस सर्जरी के बारे में सोच रहे हैं तो पहले ये जरूर पढ़ें कि हेयर ट्रांसप्लांट आखिर है क्या? आपको बता दें कि 50 वर्ष की उम्र तक पहुंचते-पहुंचते करीब 50 फीसदी पुरुषों और महिलाओं को बालों की कमी की समस्या का सामना करना पड़ता है, इनमें से ज्यादातर मामलों की वजह जेनेटिक होती है. पुरुषों में बालों को पहुंचने वाले नुकसान को 'मेल पैटर्न हेयर लॉस' कहते हैं. इससे सिर का अगला और ऊपरी हिस्सा ही प्रभावित होता है. अपोलो अस्पताल में वरिष्ठ चिकित्स�� डॉ. अनूप धीर ने कहा कि हेयर इंप्लांटेशन सर्जरी के अंतर्गत सिर के पिछले और अगल बगल के हिस्से से बालों के कोश को स्थानांतरित किया जाता है जहां गंजेपन वाले क्षेत्रों के मुकाबले मजबूत बाल होते हैं. इस अनूठी दवा से रूक सकता है बालों का झड़ना उन्होंने कहा कि हेयर इंप्लांटेशन खोपड़ी में आपके बाल की कुल संख्या को नहीं बढ़ाता है, क्योंकि यहां हम सिर के पिछले हिस्से से बाल का वितरण इस तरह से करते हैं ताकि गंजेपन वाले हिस्से में भी पर्याप्त मात्रा में बाल अच्छे से दिखाई दें और जिस जगह से बाल लिया गया है, वह भी खराब न दिखाई दे. हेयर फॉल को रोकने और बालों को मज़बूत बनाने के 7 Tips डॉ. धीर ने कहा, "हम इसमें स्थायी बाल की जड़ों का इस्तेमाल करते हैं और उन्हें उन जगहों पर रोपते हैं. इसके लिए एफयूटी और एफयूई, दो विधियों का प्रयोग किया जा सकता है." गर्मियों में बनाए रखनी है बालों और स्किन की चमक, तो ट्रा�� करें ये ऑयल उन्होंने कहा कि एफयूटी हेयर इंप्लांटेशन या स्ट्रिप विधि पुराना तरीका है जिसमें सिर के पिछले हिस्से से बाल वाली त्वचा के एक बारीक अंश को निकालकर ऐसे हिस्से में इस्तेमाल किया जाता है जहां बहुत कम बाल या ना के बराबर बाल होते हैं. एक छुरी की मदद से त्वचा के हिस्से को हटाने के बाद सर्जन सिर की त्वचा को बंद कर देते हैं. इस क्षेत्र को तत्काल ही आसपास के बालों से ढक दिया जाता है. डॉ. धीर ने कहा कि अगले चरण में निकाली गई त्वचा के अंश को विभिन्न छोटे हिस्सों में विभाजित किया जाता है, जिसमें से प्रत्येक में एक या कुछ बाल होते हैं. इस्तेमाल किए गए अंशों की संख्या और बालों के प्रकार, गुणवत्ता और रंग के साथ उस जगह के आकार पर भी निर्भर करता है जहां इसे इंप्लांटेशन किया जाना है. उन्होंने कहा कि इसके बाद सर्जन उस क्षेत्र को साफ करते हैं और सुन्न करते हैं जहां बाल को इंप्लांट किया जाएगा, एक सुई या छुरी के साथ छेद बनाए जाते हैं और प्रत्येक छिद्र में बहुत ही सावधानी से प्रत्येक बाल को इंप्लांट किया जाता है. डॉ. धीर ने बताया कि एफयूई या फालिक्यूलर यूनिट एक्सट्रैक्शन या रूट एक्सट्रैक्शन सबसे कम नुकसानदायक बाल इंप्लांटेशन तकनीक है, जिसमें फालिक्यूलर यूनिट ग्राफ्ट (हेयर फालिसल्स) को एक-एक कर मरीज के उस क्षेत्र से निकाला जाता है और इसके बाद एक-एक कर कम बाल वाली जगहों पर इंप्लांट किया जाता है. खूबसूरत बालों का भी एलोवेरा में छुपा है राज, ये समस्याएं हो जाएंगी दूर उन्होंने कहा कि इसका सबसे बड़ा फायदा यह है कि जिस जगह से बाल निकाले जाते हैं वहां न के बराबर दाग धब्बे या निशान देखने को मिलते हैं. कोई निशान नहीं होता, इसलिए टांकों की भी जरुरत नहीं होती है, इसलिए जिस जगह से बाल निकाले जाते हैं वह कुछ ही दिनों के भीतर सामान्य हो जाती है और ��ह तकनीक उन लोगों के लिए लाभदायक है जो अपने बालों को छोटा रखना चाहते हैं. टिप्पणियां
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Amla For Hair Growth Tips in Hindi / Urdu
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Amla For Hair Growth Tips in Hindi / Urdu
Amla for Hair Growth Tips in Hindi – आज इस लेख में आंवला फॉर हेयर ग्रोथ टिप्स के बारे में जानेंगे। वैसे तो आंवला के कई सारे फायदे है। इसको बेहतरीन औषधि भी कहना गलत नहीं होगा। इसके गुणकारी गुणों के कारन आयुर्वेद में कई जगह पर इसका उल्लेख किया गया है। अगर आप बालों की समस्या से परेशान है, तो आपको आंवले का उपयोग शुरू कर दबा चाहिए।
Hair Growth Tips in Hindi – बालों के लिहाज से देखा जाये, तो यह एक उत्तम प्राकृतिक उपचार है। यह हेयर ग्रोथ के लिए मददगार होता है। आंवला आपके रुसी (Dandruff) की समस्या को भी दूर करता है। चूँकि आंवले में एंटी-ऑक्सीडेंट और विटामिन सी भरपूर मात्रा में होता है। जो बालों के विकास में सहायक होता है। रोजाना आंवला का सेवन करने के साथ-साथ इसे बालों में भी लगाने से लाभ मिलता है।
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Amla for Hair Growth Tips in Hindi / Urdu
Best Hair Growth Tips in Hindi – आप चाहे तो आंवला तेल का भी उपयोग कर सकते है। इससे बालों में हलके हाथों से मसाज करने पर ब्लड सर्कुलेशन तेज हो जाता है। आंवला का उपयोग करने पर भूरे बालों को समस्या नहीं रहेगी। आवला दो मुहे बालो की शिकायत को भी ठीक करता है। आंवले को बालों को समस्या का रामबाण ईलाज कहा जा सकता है। आंवला के द्वारा बाल को पोषण मिलता है, जिससे बाल जड़ों से मजबूत होते है। इसमें फैटी एसिड होता है, जो बालों को मजबूती प्रदान करता है। तो चलिए जानते है “Amla for Hair Growth in Hindi” के बारे में।
Amla for Hair Growth Tips in Hindi / Urdu
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1. Amla for Hair Growth Tips – Gharelu Upchar
सबसे पहले 2 कटोरी दही लीजिये। अब उसमे जामुन के पत्ते का रस, आंवला चूर्ण, मेहँदी पाउडर और मैथी पाउडर इत्यादि मिला लीजिये। अब उस मिश्रण को अच्छे से लुच देर फेंटे। अब उस पैक को बालों की जड़ में अच्छे से लगाये। अब लगभग 1 से 2 घंटे तक के लिए छोड़ दें। उसके बाद बालों को गुनगुने पानी से अच्छे से धो लीजिये। इससे आपके बालों की नेचुरल चमक बढ़ेगी।
2. Amla for Hair Growth Tips in Hindi –
सबसे पहले 1 कप पानी लें। अब उसमे 1 चम्मच चायपत्ती डालकर कुछ देर उबालें। उबलने के बाद उसे छान लीजिये। अब उस पानी में लगभग 4 चम्मच मेंहदी पाउडर और 2 चम्मच आंवला पाउडर मिलाकर बालों अच्छे से लगाये। कुछ देर लगभग 60 मिनट तक के लिए छोड़ दें। उसके बाद बालों को साफ़ पानी धो लीजिये। इससे आपके बाल चमकदार दिखेगा और सफ़ेद बालों की समस्या से भी छुटकारा मिलेगा। ऐसा आप हफ्ते में दो बार तक कर सकते है।
3. Amla for Hair Growth Tips – Dadi ma ke nuskhe
सुखा आवंला, भृंगराज, मिश्री और काला तिल इत्यादि को समान मात्रा में लेकर पीस लीजिये। रोजाना 1 चम्मच गुनगुने दूध में मिलाकर पिए। इससे आपके बाल घने, मजबूत और काले हो जायेंगे।
Amla for Hair Growth Tips in Hindi – आंवला हेयर ग्रोथ टिप्स
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4. Amla for Hair Growth Tips – Gharelu Nuskhe
सबसे पहले रीठा, सुखा आंवला और शिकाकाई इत्यादि बराबर मात्रा में लीजिये। अब तीनो को मिलाकर उसका चूर्ण बना लीजिये। अब लगभग 3 कप पानी में 3 चम्मच चूर्ण मिलाकर कुछ देर तक उबालिए। अब ठंडा करके पानी को छान लीजिये। उस पानी से आप अपने बालों को धोये। इससे रुसी की समस्या दूर होगी और बाल भी साफ़ रहेंगे।
5. Amla for Hair Growth Tips in Hindi –
अपने बालों को अगर नैचुरली काला बनाना चाहते है। तब यह विधि अपनाये। सबसे पहले सुखा आंवला और मेहंदी लीजिये। अब पानी मिलाकर बारीक़ पीस लीजिये। अब उस हेयर पैक को बालों में लगाकर कुछ समय के लिए रहने दें। फिर बाल को साफ़ पानी से धो लें। इससे आपके बाल काले हो जायेंगे।
6. Amla for Hair Growth Tips – Natural Remedies
आंवला के द्वारा आप अपने बालों का झड़ना रोक सकते है। सबसे पहले 250 ml पानी लीजिये। अब उस पानी में लगभग 50 ग्राम सुखा आंवला को डालकर रातभर के लिए छोड़ दें। अब उस पानी से बाल को धो लीजिये। इससे बालो का झाड़ना रुक जायेगा और बाल जड़ से मजबूत बनेंगे।
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7. Amla for Hair Growth Tips in Hindi –
सबसे पहले आंवला पाउडर लीजिये। अब उसमे पीसा हुआ तुलसी का पत्ता और निम्बू का रस मिलाकर उसका लेप तैयार कर लें। बालों की जड़ों में उस लेप को लगाये। अब लगभग 25 से 30 मिनट तक रहने दें। उसके बाल को धो लीजिये। ऐसा करने से बाल मोटा और घना बनेगा।
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8. Amla for Hair Growth Tips – Ayurveda in Hindi
आंवला को पानी में डालकर उबाल लें। अब आंवले की गुठली को निकालकर उसमे काली मिर्च, जीरा और नमक मिलाकर खाए। हो सके तो आंवला का जूस बनाकर पिए। आपको लाभ मिलेगा।
Amla for Hair Growth Tips in Hindi – Ayurveda
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9. Amla for Hair Growth Tips – Ayurveda
केमिकल युक्त शैम्पू का इस्तेमाल करना पूरी तरह से बंद कर दें। प्राकृतिक शैम्पू का प्रयोग करें। प्राकृतिक शैम्पू बनाने के लिए सबसे पहले 100-100 ग्राम शिकाकाई, आंवला, रीठा और 200 ग्राम काला जैतून इत्यादि लीजिये। अब लगभग 2 लीटर पानी में डालकर उबालें। पानी आधा होने तक उबाले। अब उसे छानकर उपयोग करें। आपको लाभ मिलेगा।
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10. Amla for Hair Growth Tips in Hindi –
सबसे पहले बराबर मात्रा में आंवला और शिकाकाई लें। अब उसे पीसकर उसका पाउडर बना लें। अब लगभग ½ लीटर पानी में 7 से 8 चम्मच पाउडर को डालकर रात भर के लिए छोड़ दीजिये। सुबह बालों में अच्छे से लगाये। फिर 10 से 15 मिनट के बाद साफ़ पानी से बाल को धो लें। इससे आपके बाल मुलायम और चमकदार बनेंगे।
11. Amla for Hair Growth Tips – Home Remedies
सबसे पहले ताजे आंवले का रस निकाल लीजिये। अब उस रस में लगभग 1 या 2 चम्मच नारियल तेल मिलाये। अब उस मिश्रण को जड़ो में लगाये और कुछ समय के लिए छोड़ दें। फिर बालों धो लीजिये। ऐसा करने से रुसी की परेशानी दूर हो जाएगी।
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12. Amla for Hair Growth Tips in Hindi –
आंवला एक अच्छा हेयरवाश कके रूप में काम करता है। सबसे पहले आंवला के छोटे-छोटे भाग में काट लीजिये। अब उन टुकड़ों को पानी में डालकर कुछ समय उबालिए। अब पानी को ठंडा करके, उस पानी से बाल को धो लीजिये। इससे बाल गिरने की समस्या से छुटकारा मिलेगा।
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(via https://www.youtube.com/watch?v=jTCqHw4zDWQ)
बालो को लम्बा व् मजबूत बनाने के लिए अचूक है यह नुस्खा Fast Hair Growth treatment in Ayurveda बालो को लंबा करने के अचूक आज़माए हुए नुस्खे Home Remedy for Fast Hair Growth दोस्तों बालो का सूंदर व घना होना हर औरत व पुरुष की चाहत होती |क्योकि बाल उनकी सुंदरता में चार चाँद लगाता | आजकल हम देखते वक़्त से पहले ही लोगो के बाल झड़ने लगते और वो डॉक्टर के पास पहुंचते की बाल ट्रांसप्लांट कर दो और डॉक्टर भारी फीस वसूल करते और कितना पैन होता बस वो ही जानता पर सूंदर तो दिखना ही है चाहे कुछ हो |सालो पहले लोगो के सिर पर इतने बाल थे क्योकि उस समय इतने शैम्पू और केमिकल युक्त प्रोडक्ट नहीं थे लेकिन आज बाज़ारो में ऐसे बहुत प्रोडक्ट है जिनका हम काफी यूज़ करते |ये हमे फायदे की बाजए नुक्सान देते | FGor More Visit https://onlyinayurveda.com
आजकल तो बालो का स्टाइल बनाने के लिए भी काफी प्रोडक्ट आते इनको यूज़ करने के बाद जब हम कंघी करते तो बाल उनके हाथ में आ जाते |पहले बालो की खूबसूरती देखकर ही लड़की से शादी करते थे |आजकल की भागदौड़ की जिंदगी व बिजी लाइफ में किसी के पास इतना वक़्त नहीं की वो अपने बालो पर ध्यान दे |
दोस्तों बालो को लंबे व घने बनाने के लिए हमे अपने खानपान के बारे में भी धयान रखना पड़ेगा |पर 80 % महिलाये बेचारी जिनके पास वक़्त ही नहीं होता की वो अपनी किसी भी बात पर धयान नहीं देती |पर अगर हम थोड़ा सा समय अपने बाली की और धयान दे तो वो खूबसूरत लंबे व घने बन सकते |हमे अपने बालो की सफाई पर बहुत धयान देना चाहिए |और इसके लिए हम बताते आपको एक देसी नुष्का जिससे आपके बाल लंबे व खूबसूरत बन जायेगे |तो आइये देखते क्या है वो उपाय :
इसके लिए आपके पास होना चाहिए :
#आठ चम्मच शहद जो बहुत गुणकारी है |
#चार चम्मच दालचीनी
#आठ चम्मच ओलिव आयल
#दो चम्मच नारियल तेल |
अब हम आपको इसकी बनाने की विधि बताते : आप गैस पर एक पैन रखे और उसमे नारियल व ओलिव आयल डालो फिर सारी दालचीनी इसमें डाल दे अब इसको आग से उतारकर थोड़ा ठंडा होने पर इसमें शहद मिला दो अब सर्रे मिश्रण को अच्छे से मिला दो |आपका तेल तैयार अब आपने इस मिश्रण को थोड़ा सा गरम ही सिर पर मालिश करनी |और एक घंटे तक लगाकर रखना |अब गुनगुने पानी से सिर धो देना सिर पर तौलिया 15 मिनट तक लपेट कर रखना |इस उपाय को अपने हफ्ते में तीन बार तो जरूर करना |जब भी आप इस मिश्रण को लगाए गर्म करके ही लगाए |
देखा दोस्तों कितना आसान व जल्दी बनने वाला उपाय है जिसे यूज़ करने पर आपके बाल लंबे घने व सूंदर हो जायेगे |लेकिन कुछ बत्तो का धयन भी रखना चाहिए| जैसे संतुलित आहार ले पोषक तत्वो से भरा ,पानी की बहुत जरुरत होती हमारे शरीर को पानी भरपूर मात्रा में पिए |बल्लो में रसायन से युक्त कलर न लगाए इससे बाल जल्दी रूखे व बेजान हो जायेगे |
अपनी जिंदगी में आप तनावमुक्त रहिये नहीं तो बाल जल्दी सफ़ेद हो जायेगे |बल्लो की सफाई पर पूरा धयान दे |साथ में उपाय करे तो आपके बाल लंबे चमकदार व घने हो जायेगे बालो को लंबा करने के अचूक आज़माए हुए नुस्खे,Home Remedy for Fast Hair Growth,crazy desi nuskhe,health solution,health tips,www.onlyinayurveda.com,how to stop hair loss, hair growth home remedy in ayurveda,ayurveda treatment for fast hair growth,ayurveda for healthy life,amazing home remedy for hair growth,how to get rid from hair problems in ayurveda,how to cure health problems solution in ayurveda, Video Link :- https://youtu.be/jTCqHw4zDWQ Channel Link :- https://youtube.com/healthsolutionkarnal
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इस आयुर्वेदिक शैम्पू से कीजिये अपने बालों को घना और मजबूत
इस आयुर्वेदिक शैम्पू से कीजिये अपने बालों को घना और मजबूत
आज के इस पोस्ट में हम आपके लिए एक बहुत ही लाजवाब नुस्खा लेकर आए हैं आज के इस पोस्ट में हम आपके लिए एक आयुर्वेदिक शैंपू बनाने की विधि लेकर आए हैं। इस आयुर्वेदिक शैंपू की मदद से आप अपने बालों को लंबा और घना बना सकते हैं। और सबसे अच्छी बात यह है कि यह एक आयुर्वेदिक शैंपू है। जिसको बनाने में किसी भी केमिकल का प्रयोग नहीं किया जाएगा,चलिए जानते हैं इसको बनाने की विधि। विधि: आयुर्वेदिक शैंपू बनाने के…
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आयुर्वेदिक नुस्खा 100% बालो को जड़ से लम्बा घना और काला बना देगा आंवला और रीठा से तैयार है ये
आयुर्वेदिक नुस्खा 100% बालो को जड़ से लम्बा घना और काला बना देगा आंवला और रीठा से तैयार ये #Hair black #Men's hair thick #Thin hair #Latte latte hair #Ways to condense
आये दिन हम सभी किसी ना किसी बीमारी या समस्या से परेशान रहते है| हम सभी जानते है की आज सबसे ज्यादा लोग कमजोर और झाड़ते बालो से परेशान है| जिसका कारण गलत आदत, गलत खान पान इत्यादि है| आज सिर्फ पुरुष ही नहीं बल्कि महिलाए भी अपने झाड़ते बालो से परेशान है| जिससे ठीक करने के लिए वह आये दिन कई तरह के उपाय करते है साथ ही कई लोग दवाइयों का इस्तेमाल करते है जिसमे उन्हें काफी पैसे खर्च करने पड़ते है
इस उपाय…
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#१० दिन में#घना करने के उपाय#घना बनाने के उपाय#पतले बालों को#पुरुषों के बालों को घना#बाल लंबे करने का शैम्पू#बाल लंबे करने की विधि#बालों को काला#बालों को घना#बालों को लंबा करने के टिप्स#लंबे करने का तरीका#लेटे लेटे बाल
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इस आयुर्वेदिक शैम्पू से कीजिये अपने बालों को घना और मजबूत
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आज के इस पोस्ट में हम आपके लिए एक बहुत ही लाजवाब नुस्खा लेकर आए हैं आज के इस पोस्ट में हम आपके लिए एक आयुर्वेदिक शैंपू बनाने की विधि लेकर आए हैं। इस आयुर्वेदिक शैंपू की मदद से आप अपने बालों को लंबा और घना बना सकते हैं। और सबसे अच्छी बात यह है कि यह एक आयुर्वेदिक शैंपू है। जिसको बनाने में किसी भी केमिकल का प्रयोग नहीं किया जाएगा,चलिए जानते हैं इसको बनाने की विधि।
सरकारी नौकरियां यहाँ देख सकते हैं…
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तिल के तेल के 13 फायदे, उपयोग और नुकसान – Sesame Oil Benefits, Uses and Side Effects in Hindi
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तिल के तेल के 13 फायदे, उपयोग और नुकसान – Sesame Oil Benefits, Uses and Side Effects in Hindi
तिल के तेल के 13 फायदे, उपयोग और नुकसान – Sesame Oil Benefits, Uses and Side Effects in Hindi Bhupendra Verma Hyderabd040-395603080 December 24, 2019
तिल को उपयोग करने के कई तरीके हैं, जिनमें तिल के तेल का इस्तेमाल भी शामिल है। यह कई औषधीय गुण से भरपूर होता है। इस कारण इसे स्वास्थ्य के लिए लाभकारी माना जाता है। तिल के तेल को त्वचा और बालों में लगाने के साथ-साथ भोजन बनाने में भी प्रयोग किया जाता है। वहीं, तिल का तेल कुछ रोगों के लक्षणों को कम करने में भी मदद कर सकता है, लेकिन रोगों के पूर्ण इलाज के लिए मेडिकल ट्रीटमेंट आवश्यक है। स्टाइलक्रेज के इस आर्टिकल में हम तिल के तेल के गुण और तिल के तेल के फायदे के बारे में जानकारी देंगे। साथ ही तिल के तेल के नुकसान के बारे में भी बताएंगे।
तिल के तेल के फायदे के बारे में जानने के लिए इस आर्टिकल को पढ़ते रहें।
विषय सूची
तिल के तेल के फायदे – Benefits of Sesame Oil in Hindi
तिल के तेल के फायदे को तीन भागों में समझाया जा रहा है, जिसमें सबसे पहले हम सेहत के लिए तिल के तेल के फायदे जानेंगे।
सेहत/स्वास्थ्य के लिए तिल के तेल के फायदे – Health Benefits of Sesame Oil in Hindi
सेहत के लिए तिल के तेल का ज्यादातर उपयोग आहार के साथ हो सकता है। जिसका असर इसके सेवन के कुछ दिन में नजर आ सकता है।
1. उच्च प्रोटीन आहार
कई खाद्य पदार्थों को तैयार करने में तिल का तेल इस्तेमाल किया जाता है। जो लोग इस तेल को अपने आहार में शामिल करते हैं, वो इसके लजीज स्वाद से भलीभांति परिचित होंगे। तिल के तेल में भरपूर मात्रा में प्रोटीन पाया जाता है। जो शरीर को जरूरी प्रोटीन प्रदान करने का काम करता है (1)। प्रोटीन शरीर की कोशिकाओं में सुधार और कोशिका निर्माण में मदद कर सकता है। इसके अलावा, प्रोटीन बच्चे, किशोर और गर्भवती के विकास में भी मदद कर सकता है (2)।
2. मधुमेह को दूर रखने में
एनसीबीआई (National Center for Biotechnology Information) की वेबसाइट पर प्रकाशित एक शोध के अनुसार, तिल के तेल के लाभ मधुमेह के जोखिम से बचाने में मदद कर सकते हैं। दरअसल, सफेद तिल का तेल ब्लड शुगर (GLU) को रेगुलेट करने का काम करता है। साथ ही मधुमेह के नुकसानदायक प्रभाव को कम करने में मदद करता है (3)। इस कारण यह माना जा सकता है कि तिल का तेल मधुमेह की समस्या से राहत दिला सकता है। हां, अगर कोई मधुमेह से पीड़ित है, तो उसे यह घरेलू उपचार करने से पहले एक बार डॉक्टर से जरूर पूछ लेना चाहिए। साथ ही डॉक्टर की ओर से लिखी गई दवाइयां जरूर लेनी चाहिए।
3. एंटीऑक्सीडेंट से समृद्ध
एनसीबीआई की ओर से प्रकाशित शोध के अनुसार, तिल का तेल कई लाभकारी तत्वों से समृद्ध होता हैं। इसमें सेसमोल और सेसमिनोल नामक तत्व भी शामिल हैं। ये दोनों तत्व शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट की तरह काम करते हैं (4)। वहीं, एक अन्य शोध में इस बात का जिक्र मिलता है कि एंटीऑक्सीडेंट गुण ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस, इस्केमिक हृदय रोग (इसे कोरोनरी धमनी रोग के नाम से भी जाना जाता है), चोट को भरने और मधुमेह जैसी कई समस्याओं को दूर करने में लाभकारी परिणाम प्रदर्शित कर सकता है (5)।
4. हृदय स्वास्थ्य के लिए
हृदय को स्वस्थ रखने में आहार और उसमें इस्तेमाल किए जाने वाले तेल की भी महत्वपूर्ण भूमिका हो सकती है। तिल का तेल हृदय को स्वस्थ रखने का काम कर सकता है। दरअसल, तिल के तेल में एंटीऑक्सीडेंट गुण पाए जाते हैं, जो हृदय को सुरक्षित रखने का काम कर सकते हैं। इसके अलावा, इसमें लिग्नैंस (फाइबर का एक प्रकार) भी होते हैं, जो कोलेस्ट्रॉल को कम करने और रक्तचाप को बढ़ने से रोकने में मदद कर सकते हैं (6)। इस कारण तिल के तेल को हृदय संबंधी जोखिम से राहत दिलाने में सहायक माना जा सकता है।
5. एंटी इंफ्लेमेटरी गुण से भरपूर
तिल के तेल के औषधीय गुणों में से एक एंटी-इंफ्लेमेटरी भी है। इसके एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण के कारण तेल का तेल शरीर की सूजन संबंधी समस्या को दूर रखने का काम कर सकता है। सूजन शरीर के बाहरी और अंदरुनी दोनों भाग में हो सकती है, जिससे तिल के तेल का उपयोग राहत दिला सकता है (7)।
6. दर्द से राहत
एनसीबीआई के एक शोध के अनुसार, तिल के तेल के गुण जिन समस्याओं में फायदेमंद साबित हो सकते हैं, उनमें दर्द से राहत भी शामिल है। दरअसल, तिल के तेल में एंटी-नोसिसेप्टिक (दर्द को कम करने वाला गुण) पाए जाते हैं, जो दर्द को कम करने में मदद कर सकते हैं। इस कारण तिल के तेल का उपयोग जोड़ों के दर्द, दांत दर्द, मासिक धर्म सिंड्रोम, खरोंच और कटने के कारण होने वाले दर्द को कम करने में सहायक साबित हो सकता है (7)।
7. रूमेटाइड अर्थराइटिस
रूमेटाइड अर्थराइटिस एक तरह की समस्या है, जिसे गठिया के नाम से भी जाना जाता है। इसके लिए तिल के तेल में पाया जाने वाला एंटी इंफ्लेमेटरी गुण मदद कर सकता है। दरअसल, एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण सूजन को तो कम करता ही है, साथ ही रूमेटाइड अर्थराइटिस से भी राहत दिला सकता है (8),(7)।
8. बेहतर नींद के लिए
अनिद्रा की स्थिति में तिल के तेल का उपयोग लाभकारी हो सकता है। एनसीबीआई के एक रिसर्च के अनुसार, एंटीऑक्सीडेंट गुण मस्तिष्क में रक्त को सही तरह से प्रवाहित कर नींद की गुणवत्ता को बढ़ाने में मदद कर सकता है (9)। जैसा कि ऊपर आपने पढ़ा कि तिल के तेल में एंटीऑक्सीडेंट गुण मौजूद होते हैं। इसलिए, ऐसा कहा जा सकता है कि तिल के तेल के फायदे नींद में सुधार के लिए भी कारगर साबित हो सकते हैं।
ऊपर आपने सेहत के लिए तिल के तेल के फायदे जाने आगे अब हम त्वचा के लिए इसके फायदे पढ़ेंगे।
त्वचा के लिए तिल के तेल के फायदे – Skin Benefits of Sesame Oil in Hindi
1. हीलिंग प्रॉपर्टीज
��ैसे है फायदेमंद:
अगर शरीर में किसी तरह का घाव है, तो उसके इलाज में तिल का तेल सहायक हो सकता है। ओजोनेटेड सीसम ऑयल (Ozonated Sesame Oil) में हीलिंग प्रॉपर्टीज होती है, जो घाव को भरने में मदद कर सकती है (10)। इसलिए, इस तेल को घाव भरने की समस्या में भी उपयोगी माना जा सकता है।
उपयोग की विधि:
इस तेल को सामान्य तरह से त्वचा पर लगा सकते हैं या इसे हल्का गर्म करके कुछ समय के लिए ठंडा होने दें। फिर त्वचा पर लगा लें।
2. सनबर्न का इलाज
कैसे है फायदेमंद:
अधिक धूप के कारण हुए सनबर्न से छुटकारा पाने के लिए तिल के तेल को प्रभावी माना जा सकता है। तिल के तेल में टोकोफेरॉल नामक खास तत्व पाया जाता है, जो विटामिन-ई का एक प्रकार होता है। टोकोफेरॉल सूरज की अल्ट्रावायलेट किरणों से सुरक्षा प्रदान करने का काम कर सकता है (11), जिससे सनबर्न की शिकायत कम हो सकती है।
उपयोग की विधि:
तिल के तेल को सनस्क्रीन की तरह त्वचा पर लगाया जा सकता है।
3. स्किन डिटॉक्सिफायर की तरह
कैसे है फायदेमंद:
एनसीबीआई में प्रकाशित एक शोध के अनुसार, तिल के तेल में एंटी बैक्टीरियल गुण होते हैं, जो त्वचा से बैक्टीरिया और फंगस को दूर करने में मदद कर सकते हैं, जिससे त्वचा साफ रह सकती है। इसलिए, ऐसा कहा जा सकता है कि तिल का तेल स्किन डिटॉक्सिफायर की तरह भी काम कर सकता है (12) ।
उपयोग की विधि:
सबसे पहले तेल को हल्का गर्म कर लें।
फिर इसे त्वचा पर लगा लें।
इसे त्वचा पर लगे रहने दें।
ऊपर त्वचा के लिए तिल के तेल के फायदे पढ़े, आगे हम बालों के लिए इसके फायदे बता रहे हैं।
बालों के लिए तिल के तेल के फायदे – Hair Benefits of Sesame Oil in Hindi
जिस तरह त्वचा पर लगाने के लिए इस तेल का इस्तेमाल हो सकता है। उसी तरह बालों में लगाने के लिए भी इसका इस्तेमाल किया जा सकता है।
1. स्कैल्प की समस्याओं को रोकने के लिए
कैसे है फायदेमंद:
तिल के तेल स्कैल्प को पर्याप्त पोषण प्रदान करने में मदद कर सकते हैं। तिल का तेल एंटी बैक्टीरियल गुण से समृद्ध होते हैं, जो पैथोजन जैसे जीवाणु को दूर कर स्कैल्प को संक्रमण से छुटकारा दिला सकता हैं। वहीं, इससे स्कैल्प की कई और समस्याओं से भी राहत मिल सकती हैं (13)।
उपयोग की विधि:
सबसे पहले इस तेल को हल्का गर्म कर लें।
फिर पूरे स्कैल्प पर अच्छे से लगा लें।
इसे रातभर के लिए छोड़ दें।
अगली सुबह नहाते समय इसे धो लें।
इसे सामान्य तेल की तरह भी दिन में बालों में लगा सकते हैं।
2. रूसी के लिए
कैसे है फायदेमंद:
रूसी की समस्या से निजात दिलाने वाले ज्यादातर प्रोडक्ट में एंटी बैक्टीरियल और एंटी फंगल गुण पाए जाते हैं, जो रूसी को दूर करने का काम कर सकते हैं (14)। वहीं, तिल के तेल में एंटीबैक्टीरियल गुण पाए जाते हैं (13)। इसलिए, तिल के तेल को रूसी की समस्या से राहत पाने के लिए इस्तेमाल में लाया जा सकता है।
उपयोग की विधि:
एक चम्मच तिल के तेल में आधा चम्मच नारियल तेल मिला लें।
फिर उसे बाल और स्कैल्प पर अच्छी तरह लगा लें।
इसे रातभर के लिए लगा छोड़ दें।
अगली सुबह शैम्पू से बालों को धो लें।
आर्टिकल का अगला भाग तिल के तेल के पोषक तत्वों के बारे में है।
तिल के तेल के पौष्टिक तत्व – Sesame Oil Nutritional Value in Hindi
तिल के तेल में मौजूद पोषक तत्वों के बारे में हम यहां टेबल के जरिए विस्तार से बता रहे हैं (15)।
पोषक तत्व मात्रा प्रति 100 ग्राम ऊर्जा 884 g टोटल लिपिड (फैट) 100 g कोलिन 02 mg विटामिन ई (अल्फा-टोकोफेरोल) 1.4 mg विटामिन के 13.6 µg फैटी एसिड, टोटल सैचुरेटेड 14.2 g फैटी एसिड, टोटल मोनोअनसैचुरेटेड 39.7 g फैटी एसिड, टोटल पोलीअनसैचुरेटेड 41.7 g
अब इस आर्टिकल के अगले भाग में तिल के तेल के उपयोग के बारे में जानते हैं।
तिल के तेल का उपयोग – How to Use Sesame Oil in Hindi
तिल के तेल का उपयोग कई प्रकार से किया जा सकता है, जिनमें से कुछ इस प्रकार हैं:
कैसे खाएं:
तिल का तेल का उपयोग सब्जी बनाने में किया जा सकता है।
इसे सलाद में ऊपर से डालकर खाया जा सकता है।
इसे सूप में मिलाकर सेवन किया जा सकता है।
तिल के तेल से फ्राइड राइस तैयार करके खाए जा सकते हैं।
तिल के तेल को विनगेट्रेट (Vinaigrette) की तरह लिया जा सकता है। विनगेट्रेट में तेल को कुछ एसिडिक पदार्थ के साथ मिलाकर तैयार किया जाता है, जैसे सिरका या नींबू का रस।
कब खाएं:
इसे सुबह सलाद में मिलाकर खाया जा सकता है।
तिल के तेल को शाम के सूप के साथ ले सकते हैं।
इसे दोपहर और रात के आहार में शामिल कर सकते हैं।
कितना खाएं: तेल की सीमित और संतुलित मात्रा के बारे में कोई भी वैज्ञानिक प्रमाण उपलब्ध नहीं हैं। इसलिए, अगर आप इसे नियमित इस्तेमाल में लाना चाह रहें, तो इसकी मात्रा के संबंध में आहार विशेषज्ञ से सलाह जरूर करें।
इस आर्टिकल में आगे तिल के तेल से होने वाले नुकसान के बारे में जानेंगे।
तिल के तेल के नुकसान – Side Effects of Sesame Oil in Hindi
कई बार तिल के तेल का उपयोग नुकसानदायक भी हो सकता है, जो इस प्रकार से हो सकता हैं:
कुछ लोगों को तिल के तेल के उपयोग से एलर्जी हो सकती है (16)।
गर्भवती को तिल के तेल का सेवन करने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर ले लेनी चाहिए, ताकि तिल के तेल से होने वाले किसी भी नुकसान से बचा जा सके।
अब यह बात तो स्पष्ट हो गई होगी कि तिल का तेल कई समस्याओं के इलाज में सहायक बन सकता है, लेकिन बीमार का इलाज करने के लिए पूरी तरह से इस तेल पर निर्भर नहीं रहना चाहिए। किसी भी समस्या को यह कुछ समय के लिए ही दूर कर सकता है। रोग के सही उपचार के लिए डॉक्टर से संपर्क करें, ताकि समस्या पूरी तरह से खत्म हो जाए। अगर आपके पास तिल के तेल से संबंधित कोई अन्य रोचक जानकरी हो, तो आप नीचे दिए कमेंट बॉक्स की सहायता से हमारे साथ शेयर कर सकते हैं।
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Bhupendra Verma
भूपेंद्र वर्मा ने सेंट थॉमस कॉलेज से बीजेएमसी और एमआईटी एडीटी यूनिवर्सिटी से एमजेएमसी किया है। भूपेंद्र को लेखक के तौर पर फ्रीलांसिंग में काम करते 2 साल हो गए हैं। इनकी लिखी हुई कविताएं, गाने और रैप हर किसी को पसंद आते हैं। यह अपने लेखन और रैप करने के अनोखे स्टाइल की वजह से जाने जाते हैं। इन्होंने कुछ डॉक्यूमेंट्री फिल्म की स्टोरी और डायलॉग्स भी लिखे हैं। इन्हें संगीत सुनना, फिल्में देखना और घूमना पसंद है।
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Source: https://www.stylecraze.com/hindi/til-ke-tel-ke-fayde-upyog-aur-nuksan-in-hindi/
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एलोपेशीया के कारण, लक्षण और घरेलू उपाय – Alopecia Causes, Symptoms and Home Remedies in Hindi
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एलोपेशीया के कारण, लक्षण और घरेलू उपाय – Alopecia Causes, Symptoms and Home Remedies in Hindi
एलोपेशीया के कारण, लक्षण और घरेलू उपाय – Alopecia Causes, Symptoms and Home Remedies in Hindi Bhupendra Verma Hyderabd040-395603080 November 28, 2019
सिर के बालों का झड़ना आम बात है, लेकिन जब बाल असामान्य रूप से झड़ने लगें, तो यह चिंता का विषय है। बाल अधिक झड़ने की समस्या एलोपेशीया रोग की ओर इशारा करती है। कुछ मामलों में एलोपेशीया के कारण सिर के साथ-साथ शरीर के अन्य हिस्सों से भी बाल झड़ने लगते हैं। इस समस्या की गंभीरता को देखते हुए ही स्टाइलक्रेज के इस आर्टिकल में हम एलोपेशीया क्या है और एलोपेशीया के कारण के साथ-साथ एलोपेशीया के लिए घरेलू उपाय के बारे में संपूर्ण जानकारी देने जा रहे हैं। लेख में बताए जाने वाले उपाय इस समस्या से राहत दिला सकते हैं, लेकिन समस्या को पूरी तरह से ठीक नहीं कर सकते। इसके लिए घरेलू उपायों के साथ-साथ संतुलित खान-पान, योग व दिनचर्या का पालन करना जरूरी है। साथ ही एलोपेशीया की गंभीर अवस्था में बिना देरी किए डॉक्टर से चेकअप भी करवाना चाहिए।
आइए, सबसे पहले एलोपेशीया क्या है, हम थोड़ा इसके बारे में जान लेते हैं।
विषय सूची
एलोपेशीया क्या है? – What is Alopecia in Hindi
एलोपेशीया एक तरह की समस्या है, जिसके कारण बालों का झड़ना शुरू होता है। इस समस्या से पीड़ित पुरुषों के सामने और साइड से बाल झड़ने लगते हैं। वहीं, महिलाओं में सिर के बीच वाले भाग से बालों का झड़ना शुरू होता है। एलोपेशीया के कारण महिलाएं पूरी तरह गंजेपन का शिकार नहीं होती हैं, लेकिन पुरुष एलोपेशीया के कारण पूरी तरह गंजे हो सकते हैं या फिर सिर के पीछे के भाग में कुछ बाल रह सकते हैं। बालों के अधिक झड़ने की इसी समस्या को मेडिकल भाषा में एलोपेशीया कहा जाता है (1)।
इस लेख के अगले भाग में हम एलोपेशीया के प्रकार जानेंगे।
एलोपेशीया के प्रकार – Types of Alopecia in Hindi
एलोपेशीया को मुख्य रूप से छह ��ागों में बांटा गया है, जो कुछ इस प्रकार हैं (1)।
एलोपेशीया एरेटा- एलोपेशीया के इस प्रकार में मुख्य रूप से शरीर का केवल एक भाग प्रभावित होता है। इससे एक निश्चित हिस्से के बाल झड सकते हैं।
एंड्रोजेनिक एलोपेशीया- यह भी एक प्रकार का एलोपेशीया है, जिसमें बाल एक पैटर्न में झड़ने लगते हैं। ऐसा जीन और हार्मोन में बदलाव के कारण संभव है।
टेलोजेन एफ्लुवियम- इस तरह के एलोपेशीया में सिर के बाल झड़ने पर गोल आकर के पैच बनाने लगते हैं। यह हाइपो या हाइपरथायरायडिज्म जैसी बीमारी के कारण उत्पन्न हो सकता है। इसके अलावा तनाव, खराब भोजन और किसी दवाई का दुष्प्रभाव भी इस समस्या का कारण बन सकता है।
ट्रॉमेटिक एलोपेशीया- आमतौर पर बच्चों में होने वाला ट्रैक्शन एलोपेसिया, ट्रॉमेटिक एलोपेशीया का एक प्रकार है, जिसमें रोगी बार-बार अपने बालों को खींचता है।
टिनिआ केपिटिस- इस तरह के एलोपेशीया में स्कैल्प में काले धब्ब्बे दिखाई दे सकते हैं, जो बालों के झड़ने का कारण बन सकते हैं।
ऐनाजेन एफ्फ्लूवियम- एलोपेशीया का यह प्रकार कैंसर के रोगियों में देखा जाता है, जो कीमोथैरेप्यूटिक एजेंट ले रहे होते हैं।
एलोपेशीया की समस्या क्यों होती है, इसके कारण के बारे में हम लेख के अगले भाग में जानेंगे।
एलोपेशीया के कारण – Causes of Alopecia in Hindi
कुछ ऐसे कारण हैं, जो एलोपेशीया जैसी समस्या उत्पन्न कर सकते हैं। ये इस प्रकार से हैं (2):
ऑटोइम्यून कंडीशन (जब इम्यून सिस्टम गलती से स्वस्थ बालों के रोम को नष्ट कर देता है)।
आनुवंशिक।
गर्भवस्था के कारण।
ट्रॉमा (आघात) के कारण।
आगे हम जानेंगे कि एलोपेशीया के लक्षण किस तरह के होते हैं।
एलोपेशीया के लक्षण – Symptoms of Alopecia in Hindi
एलोपेशीया की समस्या होने पर मुख्य रूप से निम्न लक्षण दिखाई दे सकते हैं (2):
बालों का झड़ना एलोपेशीया का मुख्य लक्षण है।
वहीं, कुछ विशेष मामलों में प्रभावित हिस्से में जलन या खुजली भी हो सकती है।
लेख के आगे के भाग में हम एलोपेशीया के लिए घरेलू उपाय जानेंगे।
एलोपेशीया के लिए घरेलू उपाय – Home Remedies for Alopecia in Hindi
एलोपेशीया की समस्या से निजात पाने के लिए कुछ घरेलू उपाय का भी सहारा लिया जा सकता है। जो आपको इस समस्या में काफी हद राहत पहुंचा सकते हैं। आइए, इससे संबंधित कुछ घरेलू उपायों पर एक नजर डालते हैं।
1. प्याज
सामग्री:
एक प्याज
उपयोग की विधि:
सबसे पहले प्याज को पीसक�� उसका रस निकाल लें।
फिर उस रस को अपने स्कैल्प पर लगाएं।
इसे 15 मिनट के लिए छोड़ दें।
फिर बालों को शैम्पू कर धो लें।
इसे हफ्ते में दो बार इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
एलोपेशीया के उपचार में प्याज का रस कारगर औषधि की तरह काम कर सकता है। इसमें पाया जाने वाला जिंक स्कैल्प में प्राकृतिक तेल के उत्पादन (सिक्रीट) में मदद करता है। ��ाथ ही रूसी के समस्या से बचाने में मदद कर सकता है, जिससे बाल झड़ने की समस्या को दूर रखा जा सकता है। वहीं, आयरन शरीर की लाल रक्त कोशिकाओं के ऑक्सीजनेशन (ऑक्सीजन मिलने की प्रक्रिया) में सहायक हो सकता है, जिससे बालों के विकास में मदद मिल सकती है। अगर आहार के माध्यम से आयरन की पूर्ति न कि जाए, तो आयरन की कमी से बाल झड सकते हैं, क्योंकि आयरन की कमी के कारण ऑक्सीजन की कमी हो सकती है (3)। इस कारण माना जा सकता है कि प्याज के रस का उपयोग बालों के विकास में सहायक साबित हो सकता है।
2. नारियल का दूध
सामग्री:
आधा कप नारियल का दूध
उपयोग की विधि:
कुछ सेकंड के लिए नारियल के दूध को हल्का गर्म करें।
फिर उसे स्कैल्प पर लगाकर कुछ मिनट तक मसाज करें।
इसे लगभग आधे घंटे के लिए छोड़ दें।
फिर बालों को शैम्पू से धो लें।
इसे हफ्ते में एक बार उपयोग किया जा सकता है।
कैसे है फायदेमंद:
विशेषज्ञों के मुताबिक, नारियल के दूध से ही ऑर्गेनिक नारियल का तेल तैयार किया जाता है, जो बालों के विकास में सहायक साबित हो सकता है। इस कारण नारियल के दूध को भी बालों के विकास में सहायक माना जा सकता है। वहीं, जैसा कि हम आपको लेख में पहले भी बता चुके हैं कि बालों के झड़ने की समस्या को ही एलोपेशीया कहा जाता है। इस कारण हम कह सकते हैं कि एलोपेसिया की समस्या में नारियल का दूध फायदेमंद साबित हो सकता है (4)।
3. नारियल का तेल
सामग्री:
दो चम्मच नारियल तेल
उपयोग की विधि:
नारियल के तेल को हल्का गर्म कर लें।
फिर इसे अच्छे से स्कैल्प पर लगाकर हल्की मालिश करें और शॉवर कैप लगा लें।
इसे रात में रोने से पहले लगाएं और पूरी रात के लिए छोड़ दें।
अगली सुबह बालों को शैम्पू से धो लें।
इस प्रक्रिया को प्रत्येक रात सोने से पहले उपयोग में ला सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
एलोपेशीया जैसी समस्या से निजात दिलाने में नारियल तेल उपयोगी सिद्ध हो सकता है। दरअसल, नारियल तेल में लौरिक एसिड (lauric acid) की अच्छी मात्रा पाई जाती है, जो बालों के विकास को बढ़ावा देने का काम करता है। इस कारण एलोपेशीया की समस्या में नारियल के तेल को फायदेमंद माना जा सकता है (4)।
4. मेथी
सामग्री:
दो चम्मच मेथी के बीज का पाउडर
एक चम्मच नारियल तेल
उपयोग की विधि:
मेथी के पाउडर में नारियल तेल को मिलाकर पेस्ट तैयार कर लें।
इस पेस्ट को बाल झड़ने से बने गंजेपन वाले क्षेत्र में लगाएं।
फिर पेस्ट को लगभग 20 मिनट तक सूखने दें।
उसके बाद शैम्पू से सिर को धो लें।
इस प्रक्रिया को एक दिन के अंतराल पर उपयोग में लाया जा सकता है।
कैसे है फायदेमंद:
एक शोध के अनुसार, विटामिन-ए, विटामिन-बी, विटामिन-सी, विटामिन-ई, आयरन, सेलेनियम और जिंक की कमी के कारण बालों का झड़ना शुरू हो सकता है। इससे एलोपेशीया होने का जोखिम बढ़ जाता है (5)। चूंकि, मेथी के बीज में इन पोषक तत्वों की अच्छी मात्रा पाई जाती है (6), इसलिए ऐसा कहा जा सकता है कि एलोपेशीया का इलाज मेथी पाउडर के इस्तेमाल से किया जा सकता है।
5. सरसों का तेल
सामग्री:
सरसों का तेल
उपयोग की विधि:
रात में सोने से पहले सरसों के तेल को स्कैल्प और बालों में अच्छी तरह लगा लें।
फिर इसे रात भर के लिए छोड़ दें।
अगली सुबह शैम्पू से सिर को धो लें।
कैसे है फायदेमंद:
सरसों का तेल एलोपेशीया की समस्या में ला��दायक साबित हो सकता है। दरअसल, सरसों के तेल में एंटी डैंड्रफ गुण के साथ-साथ बालों के विकास और बालों के झड़ने की समस्या को रोकने का भी गुण मौजूद होता है। इस कारण यह कहा जा सकता है कि एलोपेशीया की समस्या से राहत पाने में सरसों का तेल फायदेमंद साबित हो सकता है (7)।
6. हिबिस्कस
सामग्री:
एक हिबिस्कस फूल
चार हिबिस्कस के पत्ते
चार चम्मच दही
उपयोग की विधि:
हिबिस्कस के फूल और पत्तियों को अच्छे से पीसकर पेस्ट बना लें।
फिर उसमें दही मिलाएं, जिससे स्मूद पेस्ट बन जाए।
इस पेस्ट को स्कैल्प व बालों में लगाएं और लगभग एक घंटे के लिए छोड़ दें।
उसके बाद बालों को गुनगुने पानी से धो लें।
इस प्रक्रिया को हफ्ते में दो बार इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
एक रिसर्च के अनुसार, हिबिस्कस बालों के झड़ने को रोक कर बालों के विकास में मदद कर सकता है। जैसा कि ऊपर बताया गया है कि बालों के झड़ने की समस्या एलोपेशीया कहलाती है। इसलिए, ऐसा कहा जा सकता है कि हिबिस्कस एलोपेशीया का इलाज करने में मददगार साबित हो सकता है (8)।
7. लहसुन
सामग्री:
आठ लहसुन की कलियां
एक चम्मच शहद
उपयोग की विधि:
लहसुन की कलियों को अच्छे से पीस ���ें।
फिर शहद और लहसुन को मिलाएं।
इस मिश्रण को स्कैल्प पर लगाएं और 20 मिनट के लिए छोड़ दें।
उसके बाद शैम्पू का इस्तेमाल कर सिर को धो लें।
हफ्ते में तीन बार इस उपाय को इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
एक शोध के अनुसार, लहसुन को एलोपेशिया के लिए एक प्रभावी उपचार माना गया है। यह एलोपेशीया की समस्या में किस प्रकार प्रभावी है, फिलहाल इस संबंध में अधिक जानकारी उपलब्ध नहीं है (9)। इसलिए, यह घरेलू नुस्खा प्रयोग करने से पहले एक बार डॉक्टर से जरूर पूछ लेना चाहिए।
8. लीकोरिस रूट
सामग्री:
एक चम्मच लीकोरिस रूट
एक कप पानी
उपयोग की विधि:
लीकोरिस रूट को पानी में डालकर करीब 10 से 15 मिनट तक धीमी आंच पर उबलने दें।
फिर पानी को किसी अलग बर्तन में डाल दें।
उस पानी से स्कैल्प की हल्की मालिश करें और 2-3 घंटे के लिए छोड़ दें।
उसके बाद सिर को पानी से धो लें।
इस प्रक्रिया को हफ्ते में दो बार इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
जैसा कि ऊपर बताया जा चुका है कि बालों के झड़ने की समस्या को ही एलोपेशिया कहा जाता है। वहीं, लीकोरिस रूट में बालों के विकास को बढ़ावा देने का विशेष गुण मौजूद होता है। इससे यह बाल झड़ने की समस्या के कारणों को कम करने में मददगार साबित हो सकता है (10)। इस कारण यह कहा जा सकता है कि लीकोरिस रूट का इस्तेमाल एलोपेशीया की समस्या से राहत पाने के लिए किया जा सकता है।
9. एलोवेरा
सामग्री:
एलोवेरा जेल
उपयोग की विधि:
एलोवेरा जेल को स्कैल्प और बालों में लगाकर कुछ मिनट के लिए मसाज करें।
फिर इसे 20 मिनट के लिए छोड़ दें।
इसे ठंडे पानी से धोकर शैम्पू करें।
इस प्रक्रिया को एक दिन के अंतराल में इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
एलोपेशिया का इलाज करने के घरेलू उपायों के तौर पर विभिन्न पेड़-पौधों के अलग-अलग हिस्सों को उपयोग में लाया जाता है। उन्हीं में से एक एलोवेरा भी है, जो एलोपेशिया के इलाज में सहायक साबित हो सकता है (11)। एलोवेरा में प्राकृतिक रूप से बालों का विकास करने वाले गुण पाए जाते हैं (12)। इसलिए, ऐसा कहा जा सकता है कि इस समस्या से छुटकारा दिलाने में एलोवेरा मददगार साबित हो सकता है।
10. शहद
सामग्री:
आधा कप शहद
दो चम्मच जैतून का तेल
दो चम्मच छा��
उपयोग की विधि:
शहद और जैतून के तेल को मिलाएं और कुछ सेकंड के लिए गर्म करें।
फिर इसमें छाछ डाल लें।
उसके बाद इस मिश्रण को अपने स्कैल्प पर लगाएं और लगभग 30 मिनट के लिए छोड़ दें।
फिर शैम्पू से सिर को धो लें।
दो सप्ताह में एक बार इस विधि का इस्तेमाल करें।
कैसे है फायदेमंद:
शहद में एंटीमाइक्रोबियल, एंटीफंगल और एंटीऑक्सीडेंट गुण पाए जाते हैं। इन गुणों के कारण यह डैंड्रफ और उसके कारण होने वाली बालों के झड़ने की समस्या को रोकने में यह सहायक साबित हो सकता है। इस कारण हम कह सकते हैं कि एलोपेशिया के उपचार में शहद मदद कर सकता है (13)।
11. ग्रीन टी
सामग्री:
एक चम्मच ग्रीन टी
एक गिलास पानी
उपयोग की विधि:
पानी में ग्रीन टी डालकर कुछ मिनट तक गर्म करें।
फिर इसे छान लें और थोड़ा ठंडा होने दें।
इसके पानी को सिर में लगाकर मालिश करें और 10 मिनट के लिए छोड़ दें।
उसके बाद सिर को ठंडे पानी से धोएं।
इसे हफ्ते में तीन बार इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
ग्रीन टी में एपीगल्लॉकाटेचीन-3-गल्लटे (Epigallocatechin-3-Gallate) मौजूद होता है, जो इसमें पाए जाने वाले पॉलीफेनोल्स का प्रमुख घटक है। यह एंड्रोजेनिक एलोपेशिया के उपचार में मददगार हो सकता है। इसलिए, ग्रीन टी का उपयोग एलोपेशिया की समस्या में लाभदायक माना जा सकता है (14)।
12. नींबू
सामग्री:
आधा नींबू
तीन चम्मच एलोवेरा जेल
उपयोग की विधि:
नींबू के रस को निचोड़ लें और उसे एलोवेरा जेल के साथ मिलाएं।
इस मिश्रण को सिर में लगाएं और आधे घंटे के लिए छोड़ दें।
फिर सिर को शैम्पू से धो लें।
इस विधि को हफ्ते में तीन बार कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
नींबू को साइट्रस फलों की श्रेणी में रखा जाता है, जो विटामिन-सी का अच्छा स्रोत होता है। विटामिन-सी बालों को मजबूत बनाने में और बालों के विकास में मदद कर सकता है। साथ ही इसमें एंटीफंगल गुण भी होते हैं, जो रूसी को दूर करने में सहायक हो सकते हैं। इससे स्कैल्प को स्वस्थ रखा जा सकता है (15)। इसलिए, ऐसा कहा जा सकता है कि नींबू एलोपेशिया से छुटकारा पाने में मदद कर सकता है।
13. अंडा
सामग्री:
एक अंडा
दो चम्मच नारियल का तेल
उपयोग की विधि:
अंडे को तोड़कर अच्छे से फेंट लें और फिर उसमें नारियल तेल मिला लें।
इस मिश्रण को स्कैल्प पर लगाएं और 20 मिनट के लिए छोड़ दें।
फिर ठंडे पानी से स्कैल्प को धो लें और बालों पर कंडीशन कर लें।
इसे हफ्ते में दो बार उपयोग कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
अंडे का उपयोग आपको एलोपेशिया की समस्या से छुटकारा दिला सकता है। अंडे में पेप्टाइड नामक कंपाउंड पाया जाता है, जो बालों के विकास को बढ़ावा देने का काम कर सकता है। इससे एलोपेशिया की समस्या से काफी हद तक राहत पाई जा सकती है (16)।
14. रोजमेरी लीफ
सामग्री:
चार सूखी रोजमेरी लीफ
एक कप पानी
उपयोग की विधि:
पानी में रोजमेरी लीफ को डालें और कुछ मिनट तक उबलने दें।
फिर इस पानी को छान लें और सिर पर लगाकर 15 मिनट के लिए छोड़ दें।
उसके बाद इसे ठंडे पानी से धो लें।
इसे हफ्ते में तीन बार इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
एनसीबीआई (नेशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इंफॉर्मेशन) में प्रकाशित एक शोध के अनुसार, रोसमारिनस (रोजमेरी) ऑफिसिनैलिस लीफ एक्सट्रैक्ट का इस्तेमाल करने पर एलोपेशीया की समस्या से राहत मिल सकती है। यह एंड्रोजेन रिसेप्टर्स (एक तरह का हार्मोन) को डायहाइड्रोटेस्टोस्टेरोन (एक तरह का हार्मोन) के बंधन से रोकने में मदद कर सकता है। दरअसल, इन दोनों हार्मोंस के मिलने से टेस्टोरोन हार्मोन जैसे कई हार्मोन की सक्रियता बढ़ जाती है, जो बालों के झड़ने का कारण बन सकते हैं। ऐसे में रोजमेरी लीफ का अर्क उन हार्मोन की सक्रियता को कम कर सकता है, जो सिर पर तैलीय प्रोटीन पदार्थों का कारण बन सकते हैं। इस कारण यह कहा जा सकता है कि यह उपाय बालों के विकास को बढ़ावा देकर एलोपेशीया की समस्या से निजात दिला सकता है (17)।
15. दालचीनी पाउडर
सामग्री:
तीन चम्मच दालचीनी पाउडर
पानी आवश्यकतानुसार
उपयोग की विधि:
दालचीनी पाउडर में पानी मिलाकर पेस्ट बना लें।
प्रभावित भाग के साथ-साथ इसे पूरे स्कैल्प पर भी लगा लें।
लगभग आधे घंटे के लिए इसे ऐसे ही छोड़ दें।
फिर शैम्पू का इस्तेमाल कर सिर को धो लें।
आप इस प्रक्रिया को एक दिन के अंतराल में इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे है फायदेमंद:
दालचीनी पाउडर का इस्तेमाल कर एलोपेशीया की समस्या से छुटकारा पाया जा सकता है। दालचीनी के उपयोग करने से बालों का झड़ना रोका जा सकता है। साथ ही बालों के विकास को उत्तेजित किया जा सकता है। इसलिए, ऐसा कहा जा सकता है कि दालचीनी को एलोपेशीया के घरेलू उपाय में शामिल करना एक बेहतर विकल्प साबित हो सकता है (18)।
जीवन में कुछ बदलाव करके भी एलोपेशीया से बचा जा सकता है। आगे हम इसी बारे में बता रहे हैं।
एलोपेशीया से बचाव – Prevention Tips for Alopecia in Hindi
निम्न बातों को ध्यान में रखकर एलोपेशीया की समस्या से काफी हद तक बचा जा सकता है।
स्वस्थ आहार के सेवन से इस समस्या से बचा जा सकता है।
बाल धोने के लिए हर्बल शैम्पू का इस्तेमाल करें।
सिर में नियमित तेल का इस्तेमाल करें।
बालों को प्रदूषण से बचाएं।
एलोपेशीया से बचने के लिए इस लेख में बताएं गए घरेलू उपचार कुछ हद तक कारगर साबित हो सकते हैं। वहीं, कुछ लोगोंं की त्वचा अधिक संवेदनशील होती है। ऐसे लोगों को कुछ घरेलू नुस्खों से एलर्जी या अन्य दुष्प्रभाव हो सकते हैं। इसलिए, वो इन घरेलू नुस्खों को प्रयोग करने से पहले विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें। अगर आपके आसपास एलोपेशीया की समस्या से कोई पीड़ित है, तो उनके साथ यह लेख शेयर कर उनके एलोपेशीया के इलाज में सहायक बने। उम्मीद करते हैं कि इस लेख कि जानकारी आपके लिए मददगार साबित होगी। इस विषय से संबंधित किसी अन्य तरह की जानकारी पाने के लिए आप नीचे दिए कमेंट बॉक्स की मदद से हमें संपर्क कर सकते हैं।
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Bhupendra Verma
भूपेंद्र वर्मा ने सेंट थॉमस कॉलेज से बीजेएमसी और एमआईटी एडीटी यूनिवर्सिटी से एमजेएमसी किया है। भूपेंद्र को लेखक के तौर पर फ्रीलांसिंग में काम करते 2 साल हो गए हैं। इनकी लिखी हुई कविताएं, गाने और रैप हर किसी को पसंद आते हैं। यह अपने लेखन और रैप करने के अनोखे स्टाइल की वजह से जाने जाते हैं। इन्होंने कुछ डॉक्यूमेंट्री फिल्म की स्टोरी और डायलॉग्स भी लिखे हैं। इन्हें संगीत सुनना, फिल्में देखना और घूमना पसंद है।
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Source: https://www.stylecraze.com/hindi/alopecia-ke-karan-lakshan-gharelu-upay-in-hindi/
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खाज (स्कैबीज) के कारण, लक्षण और घरेलू उपाय – Scabies Causes, Symptoms and Home Remedies in Hindi
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खाज (स्कैबीज) के कारण, लक्षण और घरेलू उपाय – Scabies Causes, Symptoms and Home Remedies in Hindi
खाज (स्कैबीज) के कारण, लक्षण और घरेलू उपाय – Scabies Causes, Symptoms and Home Remedies in Hindi Soumya Vyas Hyderabd040-395603080 November 26, 2019
हमारे पर्यावरण में कुछ कीटाणु ऐसे हैं, जिनके कारण त्वचा में संक्रमण हो सकता है। मुंहासे, रैशेज, फंगल इंफेक्शन व दाद आदि संक्रमण के ही रूप हैं। ऐसा ही एक संक्रमण है स्कैबीज, जिसे आम भाषा में खाज कहा जाता है। खाज ऐसा संक्रमण है, जो छूने से फैल सकता है (1)। स्टाइलक्रेज के इस लेख में हम स्कैबीज और खाज (स्कैबीज) के लक्षण के बारे में आपको बताने जा रहे हैं। इस लेख के जरिए आप जानेंगे कि खाज दूर करने के घरेलू उपाय क्या हो सकते हैं और उन्हें किस तरह उपयोग किया जा सकता है। स्कैबीज का घरेलू उपचार करके उसके लक्षणों से आराम मिल सकता है। साथ ही इस समस्या को कुछ समय के लिए कम किया जा सकता है। वहीं, अगर किसी की समस्या गंभीर हो, तो उसे साथ में मेडिकल ट्रीटमेंट भी जरूर करना चाहिए।
आइए, सबसे पहले आपको यह बताएं कि खाज (स्कैबीज) क्या होता है।
विषय सूची
खाज (स्कैबीज) क्या है? – What is Scabies in Hindi
खाज (स्कैबीज) त्वचा पर होने वाला एक प्रकार का संक्रमण है, जो सूक्ष्म कीटाणु सरकोप्टस स्कैबी (Sarcoptes scabiei) की वजह से होता है। इस संक्रमण में मादा सरकोप्टस स्कैबी व्यक्ति की त्वचा पर रहती है और वहीं अंडे देती है, जिससे संक्रमण होता है। स्कैबीज आम तरह का संक्रमण है, जो किसी को भी आसानी से प्रभावित कर सकता है। यह ऐसा संक्रमण है, जो छूने से फैलता है और संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने से अन्य किसी को भी हो सकता है (1)।
लेख के अगले भाग में जानिए कि स्कैबीज होने के पीछे अन्य मुख्य कारण क्या हैं।
खाज (स्कैबीज) के कारण – Causes of Scabies in Hindi
स्कैबीज होने का सबसे बड़ा कारण होता है सरकोप्टस स्कैबी (Sarcoptes scabiei) के संपर्क में आना। इसके अलावा, यह समस्या अन्य कारणों से भी हो सकती है, जैसे (1):
यह कीटाणु भीड़ भाड़ वाली जगह में आसानी से फैल सकता है, जैसे : अस्पताल व नर्सिंग होम आदि।
संक्रमित व्यक्ति के साथ किसी भी प्रकार के शारीरिक संपर्क बनाने से।
संक्रमित व्यक्ति के कपड़े, तौलिये या बिस्तर का उपयोग करने से।
आइए, अब आपको बता दे�� कि खाज (स्कैबीज) के लक्षण क्या होते हैं।
खाज (स्कैबीज) के लक्षण – Symptoms of Scabies in Hindi
अगर किसी व्यक्ति को यह संक्रमण पहली बार हुआ है, तो खाज (स्कैबीज) के लक्षण लगभग दो से छह हफ्तों में दिखना शुरू होते हैं। वहीं, अगर किसी को यह संक्रमण पहले भी हो चुका है, तो इसके लक्षण चार दिन के भीतर साफ दिखने लगते हैं। ध्यान रहे कि खाज (स्कैबीज) के लक्षण दिखना शुरू होने से पहले भी यह संक्रमण फैल सकता है।
खाज (स्कैबीज) के लक्षण में त्वचा पर खुजली और रैशेज, खासकर रात को होना, सबसे आम है। यह खुजली और रैशेज कुछ अंगों को अधिक प्रभावित करते हैं, जैसे (2):
उंगलियों के बीच में
कलाई पर
कोहनी
अंडर आर्म्स (armpit)
निप्पल
पुरुषों के गुप्तांग
कमर
कूल्हे
कंधे की हड्डी
खाज (स्कैबीज) के लक्षण जानने के बाद, लेख के अगले भाग में जानिए स्कैबीज दूर करने के घरेलू उपाय के बारे में।
खाज (स्कैबीज) के लिए घरेलू उपाय – Home Remedies for Scabies in Hindi
1. टी ट्री ऑयल
सामग्री :
दो बड़े चम्मच नारियल/जोजोबा ऑयल
तीन से पांच बूंद टी ट्री ऑयल
स्प्रे बोतल
विधि :
एक स्प्रे बोतल में दो बड़े चम्मच नारियल या जोजोबा ऑयल लें।
अब इस बोतल में तीन से पांच बूंद टी ट्री ऑयल डालें और दोनों तेलों को अच्छी से तरह मिला लें।
तेल के इस घोल को दिन में दो बार प्रभावित जगह पर लगाएं।
कैसे काम करता है :
द अमेरिकन जर्नल ऑफ ट्रॉपिकल मेडिसिन एंड हाइजीन के एक शोध के अनुसार, टी ट्री ऑयल में एंटीबैक्टीरियल गुण होते हैं, जो स्कैबीज के कीटाणु को बढ़ने से और खाज को फैलने से रोकते हैं। साथ ही टी ट्री ऑयल में वूंड हीलिंग गुण भी होते हैं, जो घाव को जल्दी भरने में मदद करते हैं। इसके एंटीइन्फ्लेमेटरी गुण सूजन को कम करते हैं और एंटीप्रायटिक गुण खुजली को कम करने में लाभदायक साबित हो सकते हैं (3)। इसमें मौजूद इन गुणों के कारण टी ट्री ऑयल का उपयोग स्कैबीज का घरेलू उपचार करने के लिए किया जा सकता है।
2. नीम
सामग्री :
नीम का तेल (आवश्यकतानुसार)
एक बड़ा चम्मच नारियल का तेल
रूई
विधि :
एक बाउल में दोनों तेलों को अच्छी तरह से मिला लें।
अब संक्रमित अंग को साफ पानी से धोकर साफ कर लें।
फिर रूई की मदद से इस घोल को संक्रमित अंग पर लगाएं और लगभग 30 मिनट के लिए छोड़ दें।
ध्यान रखें कि इस दौरान आप घर से बाहर न निकलें, वरना प्रभावित जगह पर धूल-मिट्टी या गंदगी चिपक सकती है।
आप चाहें को नहाने के लिए नीम का आयुर्वेदिक साबुन, शैम्पू या नीम से बने अन्य आयुर्वेदिक उत्पादों का उपयोग भी कर सकते हैं।
कैसे काम करता है :
खाज के संबंध में नीम किस प्रकार असरदार है, इस संबंध में एनसीबीआई (नेशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इंफॉर्मेशन) की वेबसाइट पर कई रिसर्च पेपर प्रकाशित हुए हैं। इनमें से एक रिसर्च के अुसार, नीम में एसारिसाइडल (acaricidal) गुण होते हैं, जो स्कैबीज फैलाने वाले जीवाणु को मार कर स्कैबीज दूर करने का घरेलू उपाय के रूप में काम कर सकते हैं (4)। एक अन्य शोध में यह भी पाया गया है कि खाज (स्कैबीज) के लक्षणों से पीड़ित डॉग पर नीम का शैम्पू उपयोग करने से बहुत ह��� तक आराम मिला, लेकिन इंसानों पर अभी इस तरह का शोध किए जाने की जरूरत है (5)।
3. एलोवेरा
सामग्री :
एलोवेरा जेल (आवश्यकतानुसार)
विधि :
संक्रमित अंग को साफ पानी से धोकर उसे सुखा लें।
अब हाथों में थोड़ा-सा एलोवेरा जेल लेकर संक्रमित क्षेत्र पर लगाएं।
स्कैबीज का घरेलू इलाज करने के लिए इस प्रक्रिया को दिन में दो बार दोहरा सकते हैं।
कैसे काम करता है :
स्कैबीज दूर करने के घरेलू उपाय के लिए एलोवेरा का उपयोग किया जा सकता है। नाइजीरिया के ओबाफेमी अवलोविओ विश्वविद्यालय में किए गए एक शोध में पाया गया कि एलोवेरा जेल स्कैबीज के लिए मेडिकल ट्रीटमेंट (बेंजोएट लोशन) की तरह कम कर सकता है (6)। एलोवेरा जेल में एंटीसेप्टिक गुण होते हैं, जो संक्रमण से जल्द राहत पाने में मदद कर सकते हैं। साथ ही एलोवेरा जेल में एंटीइंफ्लेमेटरी और वूंड हीलिंग गुण होते हैं, जो सूजन को कम करने और घाव को जल्दी भरने में मदद कर सकते हैं (7)।
4. लाल मिर्च
सामग्री :
एक छोटा चम्मच लाल मिर्च
तीन चम्मच सरसों का तेल
विधि :
एक बाउल में दोनों सामग्रियों को अच्छी तरह से मिलाकर गर्म कर लें।
जब तेल अच्छी तरह से गर्म हो जाए, तो इसे छान लें।
अब संक्रमित जगह को साफ पानी से धो लें और तौलिए से थपथपा कर पोंछ लें।
फिर संक्रमित अंग पर यह तेल लगाएं।
यह प्रक्रिया दिन में दो बार दोहराना खाज दूर करने का घरेलू उपाय हो सकता है।
कैसे काम करता है :
लाल मिर्च से स्कैबीज का घरेलू उपचार किया जा सकता है। इसके लिए लाल मिर्च में मौजूद कैप्साइसिन फायदेमंद होता है (8)। कैप्साइसिन के गुण शरीर में दर्द कम करने में मदद कर सकते हैं (9)। साथ ही कैप्साइसिन में एंटीमाइक्रोबियल गुण भी पाए जाते हैं, जो कुछ प्रकार के कीटाणुओं को खत्म करने में मदद कर सकते हैं (10) हालांकि, इस बारे में कोई शोध उपलब्ध नहीं है कि यह स्कैबीज दूर करने के घरेलू उपाय के रूप में कितना प्रभावी साबित होगा। ऐसा इसलिए, क्योंकि कुछ मामलों में त्वचा पर लाल मिर्च लगाने से लोगों को जलन और खुजली का एहसास हुआ है (11)। इसलिए, इसका उपयोग करने से पहले एक बार डॉक्टर से परामर्श अवश्य करें।
5. लौंग का तेल
सामग्री :
लौंग का तेल (आवश्यकतानुसार)
रूई
विधि :
थोड़ी-सी रूई की मदद से लौंग का तेल संक्रमित जगह पर लगाएं।
इस प्रयोग को दिन में दो से तीन बार दोहरा सकते हैं।
कैसे काम करता है :
लौंग के तेल को खाज दूर करने के घरेलू उपाय के रूप में उपयोग किया जा सकता है। लौंग के तेल में यूजेनॉल नामक खास तत्व पाया जाता है, जो स्कैबीज फैलाने वाले सरकोप्टस स्कैबी को मारने में प्रभावशाली साबित हो सकता है। इस कीटाणु को मारकर यह खाज को बढ़ने से रोक सकता है और खत्म करने में मदद कर सकता है (12)। साथ ही लौंगे के तेल में एंटीइंफ्लेमेटरी गुण भी होते हैं, जो सूजन को कम करने में मदद कर सकते हैं (13)।
6. नारियल का तेल
सामग्री :
नारियल का तेल (आवश्यकतानुसार)
रूई
विधि :
थोड़ी-सी रूई की मदद से नारियल का तेल संक्रमित जगह पर लगाएं।
इस प्रयोग को दिन में दो से तीन बार दोहरा सकते हैं।
कैसे काम करता है :
खाज दूर करने का घरेलू उपाय करने के लिए नारियल के तेल का उपयोग किया जा सकता है। नारियल के तेल में एंटीबैक्टीरियल गुण होते हैं, जो कई प्र��ार के बैक्टीरिया को खत्म करने में मदद कर सकते हैं। साथ ही इसमें एंटीइंफ्लेमेटरी और वूंड हीलिंग गुण भी होते हैं, जो सूजन को कम करने और घाव को जल्दी भरने में मदद कर सकते हैं (14)। फिलहाल, शोध की कमी की वजह से यह कह पाना मुश्किल है कि नारियल तेल स्कैबीज के जीवाणु को मारने में कितना प्रभावशाली साबित हो सकता है।
नोट : स्कैबीज दूर करने के घरेलू उपाय कोई मेडिकल ट्रीटमेंट नहीं है। ये नुस्खे खाज (स्कैबीज) के लक्षण से कुछ हद तक राहत पाने में तो मदद कर सकते हैं, लेकिन उसे जड़ से खत्म नहीं कर सकते।
आर्टिकल में आगे हम बता रहे हैं कि स्कैबीज के इलाज के लिए डॉक्टर के पास कब जाना चाहिए।
खाज (स्केबीज) होने पर डॉक्टर को कब दिखाएं? – When to see a doctor in hindi
खाज (स्कैबीज) के लक्षण जैसे खुजली या रैशेज आदि नजर आने पर देरी नहीं करनी चाहिए। जल्द से जल्द डॉक्टर से संपर्क कर इलाज करवाना चाहिए (15)।
आइए, लेख के आखिरी भाग में स्कैबीज से बचने के कुछ तरीकों के बारे में जान लेते हैं।
खाज (स्कैबीज) से बचाव – Prevention Tips for Scabies in Hindi
स्कैबीज का घरेलू इलाज करने के अलावा, नीचे बताए गई बातों को ध्यान में रखकर स्कैबीज से बचा जा सकता है (16)।
संक्रमित व्यक्ति की त्वचा से सीधे संपर्क में आने से बचें।
संक्रमित व्यक्ति की वस्तुएं जैसे कपड़े या बिस्तर के संपर्क में आने से बचें।
अगर घर में एक से ज्यादा व्यक्ति संक्रमित हैं, तो दोनों का इलाज एक साथ करवाया जाए, ताकि संक्रमण और न फैले।
संक्रमित व्यक्ति के कपड़ों को वाशिंग मशीन में गर्म पानी में धोएं।
संक्रमित व्यक्ति द्वारा उपयोग किए गए कमरे को वैक्यूम क्लीनर की मदद से अच्छी तरह साफ करें।
अब आप अच्छी तरह समझ गए होंगे कि खाज क्या है और खाज (स्कैबीज) के लक्षण क्या हैं। साथ ही लेख के माध्यम से आप स्कैबीज दूर करने के घरेलू उपाय के बारे में भी अच्छी तरह समझ गए होंगे। ध्यान रखिए कि लेख में स्कैबीज का घरेलू उपचार करने के लिए बताए गए नुस्खे सिर्फ संक्रमण के लक्षणों को कम करने में मदद कर सकते हैं। अतः हम यही सलाह देंगे कि इसका सही ढंग से इलाज करने के लिए डॉक्टर से परामर्श भी जरूर करें और आवश्यक मेडिकल ट्रीटमेंट करवाएं। सही मेडिकल ट्रीटमेंट और घरेलू नुस्खों के उपयोग से स्कैबीज से छुटकारा पाया जा सकता है। लेख से जुड़े किसी भी सवाल या सुझाव के लिए आप नीचे दिए गए कमेंट बॉक्स के जरिए हमें संपर्क कर सकते हैं।
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सौम्या व्यास ने माखनलाल चतु��्वेदी विश्वविद्यालय, भोपाल से इलेक्ट्रॉनिक मीडिया में बीएससी किया है और इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ जर्नलिज्म एंड न्यू मीडिया, बेंगलुरु से टेलीविजन मीडिया में पीजी किया है। सौम्या एक प्रशिक्षित डांसर हैं। साथ ही इन्हें कविताएं लिखने का भी शौक है। इनके सबसे पसंदीदा कवि फैज़ अहमद फैज़, गुलज़ार और रूमी हैं। साथ ही ये हैरी पॉटर की भी बड़ी प्रशंसक हैं। अपने खाली समय में सौम्या पढ़ना और फिल्मे देखना पसंद करती हैं।
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Source: https://www.stylecraze.com/hindi/khaj-ke-karan-lakshan-aur-gharelu-upay-in-hindi/
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अनार के छिलके के 11 फायदे और नुकसान – Pomegranate Peel Benefits and Side Effects in Hindi
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अनार के छिलके के 11 फायदे और नुकसान – Pomegranate Peel Benefits and Side Effects in Hindi
अनार के छिलके के 11 फायदे और नुकसान – Pomegranate Peel Benefits and Side Effects in Hindi Soumya Vyas Hyderabd040-395603080 October 17, 2019
अनार को विश्व के चुनिंदा गुणकारी फलों में गिना जाता है। यह जितना स्वादिष्ट होता है, उतना ही स्वास्थ्य के लिए लाभकारी। उच्च रक्तचाप, कोलेस्ट्रॉल और हृदय रोगों से बचाव के लिए इसका सेवन महत्वपूर्ण माना जाता है (1)। इसके अलावा, अनार के बीज और पत्तियां भी लाभदायक मानी जाती हैं (2)। इनके अलावा भी इस फल का एक और हिस्सा है, जो अपने अंदर कई औषधीय गुण रखता है और वो है अनार के छिलके। अनार के छिलके के फायदे के बारे में कई शोध उपलब्ध हैं, जो इसके विभिन्न शारीरिक लाभों के बारे में बताते हैं। स्टाइलक्रेज के इस लेख में जानिए अनार के छिलकों के स्वास्थ्य लाभ। साथ में जानिए शरीर के लिए अनार के छिलकों का प्रयोग किस प्रकार किया जा सकता है।
लेख के सबसे पहले भाग में जानिये अनार के छिलके के स्वास्थ्य लाभ के बारे में।
विषय सूची
अनार के छिलके के फायदे – Benefits of Pomegranate Peel in Hindi
1. हृदय रोग के लिए
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एक वैज्ञानिक रिपोर्ट के अनुसार, अनार के छिलके के मेथनॉल अर्क में एंटीऑक्सीडेंट गुण होते हैं। इसमें पाए जाने वाले एंटीऑक्सीडेंट खराब कोलेस्ट्रोल को कम कर सकते हैं, जिससे हृदय को स्वस्थ रहने में मदद मिलती है (3)। इसके अलावा, एंटीऑक्सीडेंट शरीर में ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस, विषाक्त तत्वों और फ्री रेडिकल्स के प्रभाव को कम कर हृदय रोग के खतरे से आपको बचा सकता है (4)।
2. विषाक्त पदार्थों को निकाले
जैसा कि हम बता चुके हैं कि अनार के छिलकों में एंटीऑक्सीडेंट गुण होते हैं (3)। शोध में पाया गया है कि एंटीऑक्सीडेंट शरीर से विषाक्त पदार्थ��ं को निकाल कर शरीर को स्वस्थ बनाए रखने में मदद करता है। यह लिवर और किडनी को भी स्वस्थ बनाए रखने में मदद कर सकता है (5)।
3. विटामिन-सी का स्रोत
शायद आपको यह जानकर भी हैरानी हो कि अनार के छिलकों में अनार के दानों से ज्यादा विटामिन-सी पाया जाता है। यह शरीर में एंटीऑक्सीडेंट की तरह काम करता है (6)। विटामिन-सी शरीर के घाव को भरने में मदद करता है और साथ ही शरीर में आयरन के अवशोषण (Absorption) को बढ़ावा देता है। इसके अलावा, यह आपको संक्रमण से बचाता है और हड्डियों व कनेक्टिंग टिश्यू (Connecting Tissue) को स्वस्थ रखने में मदद करता है (7)।
4. मुंह के स्वास्थ्य के लिए
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अनार के छिलके का उपयोग आप अपने मुंह को स्वस्थ रखने के लिए भी कर सकते हैं। इसमें पॉलीफेनोलिक फ्लेवोनोइड्स पाए जाते हैं, जिनमें एंटी-माइक्रोबियल और एंटी-फंगल गुण होते हैं। ये गुण कीटाणुओं और फंगस को खत्म कर संक्रमण को दूर रखने में मदद करते हैं। अनार के छिलके का प्रयोग कर आप घर में ही माउथवॉश बना सकते हैं, लेकिन इसे प्रयोग करने के लिए किसी विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें (8)।
5. खांसी और गले की खराश को कम करे
खांसी और गले की खराश का मुख्य कारण संक्रमण होता है। संक्रमण किसी वायरस या बैक्टीरिया की वजह से हो सकता है (9)। ऐसे में, अनार के छिलके का उपयोग करके आप गले की खराश और खांसी से आराम पा सकते हैं। जैसा कि हम पहले भी बता चुके हैं कि अनार के छिलके में एंटीमाइक्रोबियल गुण होते हैं। ये एंटीमाइक्रोबियल गुण आपको संक्रमण फैलाने वाले बैक्टीरिया से निजात दिलाने में मदद कर सकते हैं (8)।
6. बार-बार पेशाब आने से राहत
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बार-बार पेशाब आने का एक कारण यूरिनरी ट्रैक्ट संक्रमण भी हो सकता है (10)। यह संक्रमण ई-कोली नामक बैक्टीरिया की वजह से होता है। यूरिनरी ट्रैक्ट संक्रमण से ग्रसित व्यक्ति को अनार के छिलके का उपयोग करने से आराम मिल सकता है। अनार के छिलके में एंटीमाइक्रोबियल, बैक्टीरियोस्टेटिक और एंटी-बैक्टीरियल गुण होते हैं, जो ई-काली को खत्म करते हैं और दोबारा पनपने से रोकते हैं (11)।
7. प्रभावी सनब्लॉक एजेंट
एक प्रभावी सनब्लॉक क्रीम या एजेंट का उपयोग न करने से आपकी त्वचा को सूरज की यूवी किरणों के नुकसान झेलने पड़ सकते हैं। इससे बचने के लिए अनार के छिलके का प्रयोग करना लाभदायक साबित हो सकता है। दरअसल, अनार के छिलके में भरपूर मात्रा में विटामिन-सी पाया जाता है, जिसे एक बहुत प्रभावी एंटीऑक्सीडेंट माना जाता है (6)। एंटीऑक्सीडेंट होने के वजह से यह आपकी त्वचा को यूवी किरणों के प्रभाव से होने वाले ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस से बचा सकता है (12)।
8. स्किन कैंसर से बचाए
त्वचा पर यूवी किरणों की वजह से होने वाली क्षति, स्किन कैंसर का एक कारण बन सकती है। यह त्वचा में ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस को बढ़ाती है, कोशिकाओं को नष्ट करती है और त्वचा के कैंसर का खतरा बढ़ाती है। ऐसे में, अनार के गुण आपकी मदद कर सकते हैं। शोध में पाया गया है कि अनार के एंटी-ऑक्सीडेंट गुण यूवी किरणों का प्रभाव कम करके स्किन कैंसर के खतरे को कम कर सकते हैं (13)। यह कहा जा सकता है कि अनार के छिलकों में पाए जाने वाले एंटी-ऑक्सीडेंट गुण भी यह काम कर सकते हैं। हालांकि, इस पर कोई शोध उपलब्ध नहीं है कि यह कितना प्रभावशाली होगा।
9. झुर्रियों और महीन रेखाओं को कम करे
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यूवी किरणें आपकी त्वचा को एक या दो नहीं, बल्कि कई तरह से नुकसान पहुंचा सकती हैं। इनकी वजह से उम्र से पहले चेहरे पर बढ़ती उम्र के लक्षण, जैसे झुर्रियां और महीन रेखाएं दिख सकती हैं। इनसे बचने के लिए आप अनार के छिलके का उपयोग ��र सकते हैं। जैसा कि हमने आपको ऊपर बताया कि अनार के छिलके एंटी-ऑक्सीडेंट गुण से समृद्ध होते हैं और एंटी-ऑक्सीडेंट आपको ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस से तो बचाएगा ही, साथ ही बढ़ती उम्र के लक्षण को कम करने में भी मदद कर सकता है (14)।
10. प्रभावी मॉइस्चराइजर
अगर आपकी त्वचा रूखी और बेजान है, तो आप अनार के दाने खाने के साथ, अनार के छिलकों का भी उपयोग कर सकते हैं। इसमें एललगिक एसिड (Ellagic Acid) नाम का एक एसिड पाया जाता है, जो आपकी त्वचा को नम और निखरा हुआ बनाने में मदद कर सकता है (15) (16)। इसके लिए अनार के छिलकों को पीसकर, उसका पेस्ट बना कर लगाने से फायदा मिल सकता है।
11. बालों के लिए फायदेमंद
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धूप में यूवी किरणों की वजह से त्वचा के साथ, बालों को भी काफी नुकसान पहुंच सकता है। इनसे बाल समय से पहले सफेद हो सकते हैं और ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस बालों के झड़ने का भी एक कारण बन सकता है। इस ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस से बचने में अनार के छिलकों में पाए जाने वाले एंटीऑक्सीडेंट गुण आपकी मदद कर सकते हैं (17) (6)।
अनार के छिलके के स्वास्थ्य लाभ तो आपने जान लिए। आइए, अब आपको बता दें कि आप अनार के छिलके का उपयोग कैसे कर सकते हैं।
अनार के छिलके का उपयोग – How to Use Pomegranate Peel in Hindi
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अपनी सेहत के लिए अनार के छिलके के फायदे उठाने के लिए आप इसका प्रयोग नीचे बताए गए तरीके से कर सकते हैं।
सामग्री :
एक अनार का छिलका
एक गिलास पानी
शहद (वैकल्पिक)
विधि :
अनार के छिलके को धूप में रखकर सुखा लें।
पैन में एक गिलास पानी और अनार के छिलके को डालकर उबाल लें।
जब पानी अच्छी तरह उबल जाए और छिलकों का रंग पानी में उतर जाए, तो गैस बंद कर दें।
पानी को थोड़ा-सा ठंडा (पीने लायक गर्म) होने दें और फिर उसका सेवन करें।
आप चाहें तो स्वाद के लिए उसमें शहद भी मिला सकते हैं।
कब करना है उपयोग :
आप रोज सुबह नाश्ते से पहले इस पेय का सेवन कर सकते हैं।
नीचे बताए गए तरीके से आप त्वचा के लिए अनार के छिलके का उप��ोग कर सकते हैं।
सामग्री :
दो से तीन अनार के छिलके
गुलाब जल
विधि :
अनार के छिलकों को धूप में सुखा लें। ध्यान रहे कि उनमें जरा भी नमी न बचे।
अच्छी तरह सूख जाने के बाद, छिलकों को ब्लेंडर में डालकर उनका पाउडर बना लें।
एक छोटे बाउल में दो से तीन चम्मच पाउडर निकालें और उसमें आवश्यकतानुसार गुलाब जल डालकर पेस्ट बना लें।
इस पेस्ट को चेहरे पर लगाएं और 15-20 मिनट के लिए छोड़ दें।
अंत में चेहरे को ठंडे पानी से धोकर मॉइस्चराइजर लगा लें।
कब करना है उपयोग :
इस प्रयोग को आप हफ्ते में दो बार दोहरा सकते हैं।
बालों के लिए अनार के छिलके का उपयोग आप नीचे बताए गये तरीके से कर सकते हैं।
सामग्री :
एक अनार का छिलके
नारियल/जैतून का तेल
विधि :
ऊपर बताई गई विधि से अनार के छिलकों का पाउडर बना लें।
एक कटोरी तेल में लगभग आधा चम्मच पाउडर मिला लें और तेल को गुनगुना कर लें।
अब अपने बालों में लगभग 20-25 मिनट इस गुनगुने तेल से मसाज करें।
मसाज करने के बाद, तेल को 25 मिनट के लिए बालों में रहने दें।
अंत में बालों को ठंडे पानी से शैम्पू कर के धो लें।
कब उपयोग करना है:
इस विधि को आप हफ्ते में दो बार दोहरा सकते हैं।
लेख के अगले भाग में जानिये अनार के छिलके के नुकसान के बारे में।
अनार के छिलके के नुकसान – Side Effects of Pomegranate Peel in Hindi
एक शोध में पाया गया है कि अनार के छिलके का उपयोग पूरी तरह से सुरक्षित है और इसमें किसी प्रकार की विषाक्ता नहीं है (2)। इसलिए, आप इसका प्रयोग बिना डरे कर सकते हैं, लेकिन इसका अधिक मात्रा में सेवन नुकसानदायक हो सकता है, लेकिन वो नुकसान क्या हो सकते हैं, इस पर कोई सटीक वैज्ञानिक प्रमाण उपलब्ध नहीं है। इसलिए, हम यही सलाह देंगे कि अनार के छिलके का प्रयोग आप सीमित मात्रा में और डॉक्टरी सलाह पर ही करें।
अब आप अनार के छिलके के बारे में बखूबी समझ गए होंगे। संभवत: आपने अनार के छिलकों के इतने लाभ पहले कभी सुने या पढ़े नहीं होंगे। इसलिए, अगली बार जब भी आप बाजार से अनार लाएं, तो उसके दानों का सेवन करने के बाद, छिलकों को फेंके नहीं, बल्कि अनार के छिलके का उपयोग अन्य फायदों के लिए करें। अनार के छिलके का प्रयोग लगातार करने से आपको जल्द ही उसके लाभ नजर आने लगेंगे। इसके अलावा, अगर अब भी आपके मन में अनार के छिलकों से जुड़ा कोई सवाल या शंका है, तो आप नीचे दिए कमेंट बॉक्स में लिख कर हमसे पूछ सकते हैं।
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सौम्या व्यास ने माखनलाल चतुर्वेदी विश्वविद्यालय, भोपाल से इलेक्ट्रॉनिक मीडिया में बीएससी किया है और इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ जर्नलिज्म एंड न्यू मीडिया, बेंगलुरु से टेलीविजन मीडिया में पीजी किया है। सौम्या एक प्रशिक्षित डांसर हैं। साथ ही इन्हें कविताएं लिखने का भी शौक है। इनके सबसे पसंदीदा कवि फैज़ अहमद फैज़, गुलज़ार और रूमी हैं। साथ ही ये हैरी पॉटर की भी बड़ी प्रशंसक हैं। अपने खाली समय में सौम्या पढ़ना और फिल्मे देखना पसंद करती हैं।
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बालों के लिए गुड़हल के फायदे और घरेलू उपाय – Hibiscus Oil For Hair Growth in Hindi
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बालों के लिए गुड़हल के फायदे और घरेलू उपाय – Hibiscus Oil For Hair Growth in Hindi
vinita pangeni Hyderabd040-395603080 September 18, 2019
गुड़हल का फूल आपके घर के आसपास या आंगन में जरूर नजर आ जाएगा। यह फूल अक्सर पूजा के लिए इस्तेमाल में लाया जाता है, लेकिन, क्या आप जानते हैं कि गुड़हल का फूल और इसकी पत्तियां आपके बालों के लिए लाभकारी साबित हो सकती हैं। यह फूल आपके बालों को मजबूती देने के साथ ही, इनकी ग्रोथ में भी मदद करता है। इसके अलावा, बालों से संबंधित परेशानी जैसे डैंड्रफ आदि से आपको बचाता है। इसके इस्तेमाल से आपके बाल इतने मुलायाम हो जाते हैं कि ये उलझते ही नहीं। गुड़हल के फूल के फायदे के बारे में हम स्ट्राइलक्रेज के इस लेख में सिलसिलेवार बताएं���े। इसके उपयोग के तरीके और गुड़हल हेयर मास्क के बारे में जानने के लिए इस लेख को जरूर पढ़ें।
चलिए, सबसे पहले बात करते हैं बालों के लिए गुड़हल के फायदे की, उसके बाद विभिन्न तरह के हेयर मास्क बनाने की विधि जानेंगे।
विषय सूची
बालों के लिए गुड़हल के फायदे – Benefits of Hibiscus Oil for Hair in Hindi
1. घने व लंबे बाल
गुड़ल का फूल आपके बालों को पोषण देता है। गुड़ल के फूल और इसका अर्क निष्क्रिय हो चुके बालों के रोम (फॉलिकल्स) और सिर के उस हिस्से जहां से बाल जा चुके हैं, वहां बालों को दोबारा उगाने में मदद करता है। इसमें मौजूद विटामिन-सी आपके बालों को घना करने में भी सहायक होता है (1) (2) (3) (4)। इससे बालों का स्वस्थ विकास होता है और बाल घने व लंबे होते हैं।
2. मजबूत बाल
हिबिस्कस तेल बालों के विकास को बढ़ावा देने के साथ ही बालों को जड़ों से मजबूत करता है। इससे आपके बाल चमकदार और स्वस्थ दिखते हैं। विटामिन-सी से समृद्ध गुड़ल का तेल हेयर फॉलिकल्स यानी बालों के रोम को मजबूत बनाता है (2)।
3. डैंड्रफ से राहत
गुड़हल आपकी स्कैल्प का भी ख्याल रखता है। इसमें मौजूद एंटी-फंगल गतिविधि की वजह से इसका इस्तेमाल डैंड्रफ से निजात दिलाने वाले तेलों में भी किया जाता है (5)। इसलिए, आप स्कैल्प में होने वाली खुजली और रूसी से लड़ने के लिए इसका इस्तेमाल कर सकते हैं।
4. रूखे बालों से छुटकारा
हिबिस्कस की पत्तियां आपके बालों को मजबूत, पौष्टिक और हाइड्रेटेड रखती हैं, जिससे दो-मुंहे बालों की समस्या से छुटकारा पाने में मदद मिलती है (6)। इससे बालों का रूखापन कम होता है और उन्हें मुलायम बनाकर उलझने से बचाया जा सकता है।
5. चमकदार बाल
गुड़हल के फूलों में मॉस्चराइजिंग गुण होते हैं (7)। इसके अलावा इसमें मौजूद पोषक तत्व और बालों को एक नया जीवन देने के साथ ही एक नया रंग भी देने में मदद करते हैं। दरअसल, गुड़हल का इस्तेमाल हेयर कलरेंट के रूप में भी किया जाता है, इसके इस्तेमाल से आपके बालों में एक अलग रंग की चमक दिखने लगती है (8)। वहीं, लोगों के अनुभव के आधार पर कहा जाए तो गुड़हल के फूल का पेस्ट बनाकर बालों में लगाने से बाल काफी मुलायम और चमकदार हो जाते हैं।
गुड़हल के फूल बालों के लिए कितने फायदेमंद हैं, यह तो आप जान ही चुके हैं। आगे हम गुड़हल के फूल से बनने वाले हेयर मास्क के बारे में बता रहे हैं।
बालों को बढ़ाने के लिए गुड़हल के फूल के उपयोग – How to Use Hibiscus Flower For Hair Growth in Hindi
1. गुड़हल से बना तेल
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सामग्री :
8 गुड़हल के फूल
8 गुड़हल के पत्ते
1 कप नारियल का तेल
उपयोग का तरीका :
गुड़हल के फूल और पत्तियों को धोकर पीस लें और महीन पेस्ट बना लें।
अब एक सॉस पैन में एक कप नारियल का तेल गर्म करें और इसमें गुड़हल (हिबिस्कस) का पेस्ट डालें।
कुछ मिनट के लिए इसे गरम करके पैन पर ढक्कन लगाकर गैस बंद कर दें।
तेल के ठंडा होने के बाद इसे एक जार या बोतल में स्टोर कर लें।
अब आप आवश्यकतानुसार इस तेल से बालों की मसाज करें।
मसाज करने के 30 मिनट बाद माइल्ड शैम्पू से बालों को धो लें।
आप हफ्ते में तीन बार इसका इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे लाभदायक है :
बालों के लिए गुड़हल का तेल काफी फायदेमंद है। हिबिस्कस यानी गुड़हल से बनाया गया यह तेल आपके बालों को पोषण देने में मदद करता है। दरअसल, इसमें कैल्शियम, फास्फोरस व आयरन जैसे पोषक तत्व भरपूर मात्रा में होते हैं, जो बालों को बढ़ाने में मदद करते हैं (1)। वहीं, नारियल का तेल आपके टूटते बालों को रोकने में मदद करता है (9)।
2. गुड़हल और दही
सामग्री :
1 गुड़हल (हिबिस्कस) का फूल
3-4 हिबिस्कस के पत्ते
4 चम्मच दही
उपयोग का तरीका :
हिबिस्कस के फूल को पत्तियों के साथ बारीक पीस लें।
इसे दही के साथ मिलाएं और अच्छे से फेंट लें।
इस हेयर मास्क को अपने स्कैल्प और बालों पर लगाएं और लगभग एक घंटे तक लगा रहने दें।
अब गुनगुने पानी से इस मास्क को हटाएं और बालों को शैम्पू करें।
आप इस हेयर मास्क को हफ्ते में एक या दो बार इस्तेमाल कर सकती हैं।
कैसे लाभदायक है :
यह हेयर मास्क बालों की जड़ों को मजबूत बनाने और बालों के विकास को बढ़ावा देने के लिए जाना जाता है। यह आपके बालों को मजबूत बनाता है और पोषण भी देता है। दही में मौजूद प्रोटीन बालों के स्वास्थ्य को बनाए रखने में मदद करता है (10) (11)।
3. गुड़हल और मेथी का एंटी डैंड्रफ हेयर मास्क
सामग्री :
हिबिस्कस के कुछ पत्ते
1 बड़ा चम्मच मेथी दाना
1/4 कप छाछ
उपयोग का तरीका :
मेथी के दानों को रात भर के लिए पानी में भिगो दें।
अगली सुबह बीज और हिबिस्कस के पत्तों को पीसकर एक महीन पेस्ट बना लें।
अब इस पेस्ट में छाछ डालकर अच्छे से मिला लें।
इस पेस्ट को अपने स्कैल्प और बालों पर लगाएं और एक घंटे के लिए छोड़ दें।
मास्क के सूखने के बाद गुनगुने पानी से इसे साफ करें और बालों को शैम्पू करें।
कैसे लाभदायक है :
हम आपको इस लेख में बता ही चुके हैं कि गुड़हल डैंड्रफ दूर करने में सहायक है। वहीं, मेथी के बीज में भी एंटी-डैंड्रफ गुण पाए जाते हैं। दरअसल, इसके पेस्ट को स्कैल्प पर लगाने से डैंड्रफ की समस्या से छुटकारा मिल सकता है (12)। ऐसे में गुड़हल और मेथी दोनों का मिश्रण गहराई से आपके स्कैल्प से डैंड्रफ को हटाने में मदद करता है। संभवत यही वजह है कि मेथी का इस्तेमाल एंटी-डैंड्रफ शैंपू बनाने के लिए भी किया जाता है (13)।
4. गुड़हल और मेहंदी का एंटी डैंड्रफ हेयर पैक
सामग्री :
10 गुड़हल के फूल
10 गुड़हल के पत्ते
10 मेहंदी के पत्ते या एक चम्मच पाउडर
1/2 नींबू
उपयोग का तरीका :
मेहंदी के पत्तों, हिबिस्कस के फूलों और पत्तियों को एक साथ पीस लें।
इस मिश्रण में नींबू का रस डालकर अच्छे से मिलाएं।
इस पेस्ट को अब अपने स्कैल्प और बालों पर लगाकर एक घंटे के लिए छोड़ दें।
फिर बालों को माइल्ड शैम्पू से धो लें।
आप इस हेयर मास्क को हफ्ते में दो बार लगा सकती हैं।
कैसे लाभदायक है :
यह हेयर पैक आपके बालों को नमी देने के साथ ही स्कैल्प से डैंड्रफ को खत्म करने में मदद करता है। यह पैक बालों को अच्छी तरह से मॉइस्चराइज करने के साथ ही रूसी को पनपने से रोकता है, क्योंकि गुड़हल की तरह ही मेहंदी यानी हिना में भी एंटीफंगल गुण होता है (14)।
5. गुड़हल और आंवले का हेयर मास्क
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सामग्री :
6 चम्मच हिबिस्कस के फूल और पत्तियों का पेस्ट
3 चम्मच आंवला पाउडर
उपयोग का तरीका :
गुड़हल का पेस्ट और आंवला पाउडर मिलाकर मिश्रण तैयार कर लें।
अब आप पानी की कुछ बूंदें इसमें डालकर अच्छे से मिलाएं।
इस मिश्रण को अब आप अपने स्कैल्प और बालों पर लगाकर करीब 40 मिनट के लिए छोड़ दें।
अब गुनगुने पानी से बालों को धो लें और फिर शैम्पू करें।
हफ्ते में दो बार आप इस मास्क का प्रयोग कर सकती हैं।
कैसे लाभदायक है :
यह हेयर मास्क बालों के रोम को मजबूत करने के साथ ही स्कैल्प के स्वास्थ्य को बनाए रखने में मदद करता है। दरअसल, आंवला और गुड़हल के फूल में विटामिन-सी और अन्य जरूरी खनिज पाए जाते हैं, जो बालों को मजबूत बनाने के साथ ही इनकी ग्रोथ को बढ़ाते हैं (1)। इस हेयर मास्क की मदद से आपके बाल घने और स्वस्थ बने रहेंगे।
6. गुड़हल का शैम्पू
सामग्री :
15 हिबिस्कस के पत्ते
5 हिबिस्कस के फूल
1 कप पानी
1 बड़ा चम्मच बेसन
उपयोग का तरीका :
हिबिस्कस के फूल और पत्तियों को एक कप पानी में डालकर 5 मिनट तक उबालें। पानी के ठंडा होने के बाद इसमें बेसन डालकर अच्छे से मिलाएं।
अब इस मिश्रण को आप अपने बालों को धोने के लिए इस्तेमाल में ला सकती हैं।
यह शैम्पू की तरह ही काम करता है।
हफ्ते में तीन बार आप इसका इस्तेमाल कर सकती हैं।
कैसे लाभदायक है :
अक्सर हर्बल शैम्पू में हिबिस्कस यानी गुड़हल का इस्तेमाल किया जाता है (15)। घर में इसके पत्तों और फूल से शैम्पू बनाकर आप अपने बालों को बाजार में मौजूद उत्पादों के रसायन से बचा सकते हैं। दरअसल, गुड़हल के फूल और इसकी पत्तियों में एक हल्का-सा झाग होता है, जो बालों में मौजूद प्राकृतिक तेलों को नुकसान पहुंचाए बिना बालों को प्रभावी ढंग से साफ करते हैं।
7. हिबिस्कस (गुड़हल) डीप कंडीशनिंग ट्रीटमेंट
सामग्री :
8 हिबिस्कस फूल
आवश्कतानुसार पानी
उपयोग का तरीका :
हिबिस्कस के फूलों को मसले और इसमें पानी मिलाकर एक पेस्ट तैयार कर लें।
अब इस पेस्ट को अपने स्कैल्प और बालों पर लगाकर एक घंटे के लिए छोड़ दें।
अब गुनगुने पानी से बालों को धो लें।
आप हफ्ते में दो बार इस प्रक्रिया को दोहरा सकते हैं।
कैसे लाभदायक है :
माना जाता है कि हिबिस्कस में बालों को डीप कंडीशनिंग करने के गुण होते हैं, जो बालों में नमी बनाए रखने में मदद करते हैं। इसलिए, इसका इस्तेमाल रूखे और दो-मुंहे बालों से छुटकारा पाने के लिए किया जा सकता है।
8. नारियल का दूध और गुड़हल का फूल
सामग्री :
5 चम्मच हिबिस्कस के फूल का पेस्ट
2 चम्मच नारियल का दूध
2 चम्मच शहद
2 चम्मच दही
4 चम्मच एलोवेरा जेल
उपयोग का तरीका :
सभी सामग्रियों को मिलाकर गाढ़ा पेस्ट तैयार कर लें।
अब पेस्ट को अपने स्कैल्प और बालों पर लगाएं और 30 मिनट के लिए छोड़ दें।
अब इस हेयर मास्क को गुनगुने पानी से धो लें। आप शैम्पू भी कर सकते हैं।
हफ्ते में इसे एक बार दोहराएं।
कैसे लाभदायक है :
यह पेस्ट रूखे बालों को नमी देकर उन्हें दो मुंहे होने से बचाता है। इसके अलावा, नारियल के दूध में मौजूद पोषक तत्व जैसे विटामिन, आयरन, जिंक और अन्य खनिज बालों को बढ़ने में मदद करते हैं (16)। दरअसल, पोषक तत्वों की कमी की वजह से बाल गिरते हैं (17)।
9. अदरक और गुड़हल की पत्तियां
सामग्री :
3 चम्मच अदरक का रस
2 चम्मच हिबिस्कस फूल का पेस्ट
उपयोग का तरीका :
एक कटोरी में सभी सामग्रियों को अच्छे से मिला लें।
अब इसे स्कैल्प व बालों पर लगाकर मालिश करें।
इसके ��रीब 20 मिनट बाद बालों को गुनगुने पानी से धोएं।
आप हफ्ते में दो बार इसका इस्तेमालल कर सकते हैं।
कैसे लाभदायक है :
अदरक और हिबिस्कस दोनों बालों के विकास में मदद करते हैं। इससे स्कैल्प की मालिश करने से बल्ड सर्कूलेशन को उत्तेजित (stimulate) करता है। इसके अलावा, अदरक में मौजूद सिलिकॉन केमिकल कंपाउंड बालों के स्वास्थ्य को बढ़ावा देता है (18)।
10. अंडा और गुड़हल
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सामग्री :
2 अंडों का सफेद भाग
3 बड़े चम्मच गुड़हल फूल का पेस्ट
उपयोग का तरीका :
दोनों सामग्रियों को एक कटोरे में मिलाकर मिश्रण तैयार कर लें।
इस मिश्रण को अपने बालों में तब तक लगाएं, जब तक पूरे बाल इससे ढक न जाएं। हेयर मास्क लगाने के 20 मिनट बाद बालों को शैम्पू कर लें।
आप हफ्ते में एक बार इसे इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे लाभदायक है :
यह पैक प्रोटीन से समृद्ध है। इस मास्क की मदद से आप बालों के झड़ने से रोक सकते हैं। अंडा बालों की ग्रोथ को बढ़ाने में मदद करता है (19)। दरअसल, अंडे में बालों के लिए सभी जरूरी विटामिन और मिनरल्स जैसे आयरन, प्रोटीन व जिंक मौजूद होते हैं (20)।
11. नीम और गुड़हल
सामग्री :
10 नीम के पत्ते
मुट्ठी भर हिबिस्कस के पत्ते
1/4 कप पानी
उपयोग का तरीका :
नीम के पत्तों को पानी के साथ पीस लें और फिर रस को छान लें।
हिबिस्कस के पत्तों को पीसकर एक गाढ़ा पेस्ट बना लें और इसमें नीम का रस मिला लें।
अब इसे अपने स्कैल्प और बालों पर लगाएं।
करीब 20 मिनट बाद अपने बालों को गुनगुने पानी से धो लें।
आप हफ्ते में दो बार इसका इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे लाभदायक है :
नीम आपके स्कैल्प के स्वास्थ्य को ठीक रखने में मदद करता है। दरअसल, इसमें कीटनाशक गुण पाए जाते हैं, जो आपके बालों में मौजूद जूं को खत्म करने में मदद करता है (21)।
12. जैतून या बादाम का तेल और गुड़हल
सामग्री :
1 चम्मच जैतून या बादाम का तेल
5 गुड़हल के पत्ते
5 गुड़हल के फूल
उपयोग का तरीका :
गुड़हल की पत्तियों और फूलों को पीस कर पेस्ट बना लें।
अब इस पेस्ट में जैतून का तेल या बादाम तेल का एक चम्मच मिला दें।
मिश्रण को अपने स्कैल्प और बालों पर लगाएं।
30 मिनट के बाद इसे गुनगुने पानी से धो लें।
अगर बाल चिपचिपे लगें, तो आप शैम्पू भी कर सकते हैं।
सप्ताह में तीन बार आप इस प्रक्रिया को दोहरा सकते हैं।
कैसे लाभदायक है :
यह पेस्ट बालों के विकास को बढ़ावा देने में मदद करता है और आपके रोम व बालों की जड़ों को पोषण प्रदान करता है। यह आपके बालों को मॉइस्चराइज करने में भी मदद करता है (22)। दरअसल, जैतून के तेल में ओलयूरोपिन – Oleuropein तत्व पाया जाता है, जो बालों के विकास में मदद करता है (23)। इससे स्कैल्प की मसाज करने से बालों का झड़ना भी कम होता है (24)। वहीं, बादाम का तेल विटामिन-ई से भरपूर होता है (25), जो बालों की ग्रोथ में मदद करने के साथ ही बालों से संबंधित विकार को दूर करने में मदद कर सकता है (26)।
13. एलोवेरा और गुड़हल
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सामग्री :
2 चम्मच हिबिस्कुस के फूलों का पेस्ट
आधा कप एलोवेरा जेल
उपयोग का तरीका :
एलोवेरा जेल और गुड़हल को मिलाकर पेस्ट तैयार कर लें।
अब इस पेस्ट को अपने बालों और स्कैल्प पर लगाएं।
45 मिनट बाद इसे गुनगुने पानी से धो लें।
आप सप्ताह में तीन बार इसे दोहरा सकते हैं।
कैसे लाभदायक है :
यह मास्क आपके बालों को टूटने, झड़ने और दो-मुंहे होने से बचाता है। दरअसल, एलोवेरा में बालों के लिए जरूरी विटामिन-सी और अन्य मिनरल्स मौजूद होते हैं। इसके अलावा, इसमें मॉइस्चराइजिंग गुण भी होता है (27)। यह गुण बालों को भी नमी देने में मदद कर सकता है। साथ ही यह बालों को टूटने से रोकने में भी मदद कर सकता है (28) (29)।
14. गुड़हल और करी पत्ता
सामग्री :
मुट्ठी भर हिबिस्कस के पत्ते
मुट्ठी भर करी पत्ता
1 चम्मच नारियल का तेल
उपयोग का तरीका :
सभी सामग्रियों को ब्लेंड करके पेस्ट बना लें।
अब इस पेस्ट को अपने स्कैल्प और बालों पर लगाकर 10 मिनट तक मालिश करें।
मालिश के 30 मिनट बाद इसे गुनगुने पानी से धो लें।
हफ्ते में तीन बार आप इस हेयर मास्क को लगा सकते हैं।
कैसे लाभदायक है :
गुड़हल और करी पत्ता आपके बालों में जादुई असर दिखा सकता है। यह आपके बालों को सफेद होने से रोकने के साथ ही बालों के लिए टॉनिक के रूप में काम करता है, जो बा0लों के स्वास्थ्य को बढ़ावा देने में मदद कर सकता है (30)।
15. गुड़हल और प्याज
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सामग्री :
1 प्याज का रस
मुट्ठी भर गुड़हल के पत्तों का रस
1/4 कप पानी
उपयोग का तरीका :
दोनों रसों को अच्छी तरह से मिला लें।
अब इस मिश्रण को अपने बालों और स्कैल्प पर लगाएं।
इसे पूरे बालों में लगाने के बाद 15 मिनट तक सूखने दें।
अब गुनगुने पानी से बालों को धो लें।
आप इसे हफ्ते में तीन बार इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे लाभदायक है :
त्वचा संबंधी रोगों की वजह से अगर आपके बाल झड़ रहे हैं, तो करी पत्ते का यह मास्क आपके बालों के लिए फायदेमंद साबित हो सकता है। यह आपके सिर से खत्म होते बालों को दोबारा से उगाने में मदद करता है (31)।
अक्सर, बालों की देखभाल अच्छे से न होने के कारण ये रूखे होकर झड़ने लगते हैं। इस वजह से आपके बाल बेजान और बिखरे-बिखरे से दिखते हैं। ऐसे में आप इस लेख में दिए गए गुड़हल के हेयर मास्क का इस्तेमाल कर अपने बेजान बालों को मजबूत और चमकदार बना सकते हैं। बेशक, व्यस्त दिनचर्या में बालों की देखभाल इतना आसान नहीं है, लेकिन आप अपने कीमती समय से कुछ मिनट अपनी सुंदरता को बढ़ाने वाले बालों को तो दे ही सकते हैं। अगर आप बालों के संबंध में कुछ और पूछना चाहते हैं, तो नीचे दिए गए कमेंट बॉक्स के माध्यम से हमसे जुड़ सकते हैं।
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थायराइड के कारण, लक्षण, इलाज और घरेलू उपचार – Thyroid Causes, Symptoms, Treatments and Home Remedies in Hindi
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बालों के लिए जैतून तेल के फायदे और घरेलू उपाय – Olive Oil For Hair Care in Hindi
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बालों के लिए जैतून तेल के फायदे और घरेलू उपाय – Olive Oil For Hair Care in Hindi
Soumya Vyas Hyderabd040-395603080 September 5, 2019
फैशन और स्टाइल के चलते हम बालों पर तमाम तरह के केमिकल प्रोडक्ट इस्तेमाल करते हैं। बालों को सीधा या घुंघराले करवाना, कलर करवाना और हर महीने नया हेयरस्टाइल करना, तो जैसे स्टेटस सिंबल बन गया है। क्या आप जानते हैं कि ये सब कराने के चक्कर में बाल जड़ों से किस प्रकार कमजोर और रूखे हो जाते हैं। ऊपर से प्रदूषण की मार बालों को और बेजान कर देती है। ऐसी स्थिति में बालों के लिए प्राकृतिक उपाय से बेहतर और कोई विकल्प नहीं हो सकता। ऐसा ही एक घरेलू इलाज है जैतून तेल के हेयर मास्क। स्टाइलक्रेज के इस लेख में हम आपको बताएंगे कि बालों के लिए जैतून तेल के फायदे किस प्रकार हैं। साथ ही जानिए कि बालों की विभिन्न स्थितियों के लिए जैतून तेल के हेयर मास्क किस प्रकार काम कर सकते हैं।
सबसे पहले आपको बता दें कि जैतून के तेल कितने प्रकार के होते हैं और आपके बालों के लिए किस तरह का जैतून का तेल बेहतर होता है।
विषय सूची
जैतून के तेल के प्रकार – Types of Olive oil in Hindi
जैतून का तेल जैतून के फल से निकाला जाता है। इसके बाद यह अलग-अलग रिफाइंड प्रक्रिया से गुजरता है। नीचे जानिए जैतून तेल के प्रकार (1):
एक्स्ट्रा वर्जिन जैतून का तेल: यह जैतून के तेल का सबसे शुद्ध रूप (प्रीमियम ग्रेड) होता है। इसे बनाने में सबसे कम रसायन और गर्मी का उपयोग किया जाता है।
वर्जिन जैतून का तेल: इसकी गुणवत्ता एक्स्ट्रा वर्जिन जैतून तेल से थोड़ी कम होती है। इसे बनाने में कम रसायन और कम गर्मी का उपयोग होता है।
जैतून का तेल: इसे ‘शुद्ध’ जैतून का तेल माना जाता है। यह नॉन वर्जिन होता है। जैतून के फल से एक्स्ट्रा वर्जिन और वर्जिन तेल निकालने के बाद इसे निकाला जाता है, जिस वजह से इसमें पोषण की मात्रा कम होती है। इसके रंग और फ्लेवर को बरकरार रखने के लिए इसमें थोड़ी मात्रा वर्जिन ऑलिव ऑयल की मिलाई जाती है।
लाइट और एक्स्ट्रा वर्जिन: यह सबसे कम गुणवत्ता वाला जैतून का तेल होता है। इसे निकालने में सबसे ज्यादा रसायन और गर्मी का उपयोग किया जाता है।
बालों के लिए आप एक्स्ट्रा वर्जिन या वर्जिन जैतून के तेल का उपयोग कर सकते हैं, क्योंकि इसमें सबसे ज्यादा गुणवत्ता और पोषण होता है।
नीचे हम बालों के लिए जैतून के तेल के फायदे के बारे में बता रहे हैं।
बालों के लिए जैतून के तेल के फायदे – Benefits of Olive Oil for Hair in Hindi
बालों के लिए जैतून के तेल के फायदे कुछ इस प्रकार हैं:
ऑलिव में पाया जाने ओलयूरोपिन (Oleuropein) नामक तत्व बालों के बढ़ने की प्रक्रिया को बढ़ावा देता है (2)।
जैतून तेल से स्कैल्प की मसाज करने से आपको बालों के झड़ने से भी आराम मिल सकता है (3)।
बालों के लिए जैतून के तेल के फायदे रूसी से निजात दिलाने में भी मदद करते हैं (4)।
यह तेल मॉइस्चराइजिंग गुण से समृद्ध होता है, जिसका सकारात्मक प्रभाव रूखे बालों और रूखे स्कैल्प पर दिख सकता है (5)। फिलहाल, इस पर अभी और शोध की आवश्यकता है।
ऑलिव ऑयल के गुण आपके बालों को फ्री-रेडिकल्स के दुष्प्रभाव से बचाते हैं। इस तरह बाल काले व घने बने रहते हैं और समय से पहले सफेद होने से बच सकते हैं (3)।
बालों के लिए जैतून के तेल के फायदे यह भी है कि इसके इमाल्यन्ट (emollient) और तैलीय गुण की वजह से इसे प्राकृतिक कंडीशनर के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है (6)।
इसके गुणों की वजह से इसे प्री-शैम्पू ट्रीटमेंट की तरह उपयोग किया जा सकता है। इसका मतलब यह है कि आप शैम्पू करने से पहले अपने बालों में इससे मसाज कर सकते हैं या जैतून तेल के हेयर मास्क लगा सकते हैं। इस बारे में हम लेख में आगे विस्तार से बात करेंगे।
जैतून तेल के हेयर मास्क झड़ते और दो मुंहे बालों की समस्या से निजात दिलाने का काम कर सकते हैं (4)।
यह जानने के बाद कि बालों के लिए जैतून के तेल के फायदे क्या हैं, आइए अब आपको बताते हैं कि बालों को बढ़ाने के लिए जैतून के तेल का उपयोग कैसे करें।
बालों बढ़ाने के लिए जैतून तेल के उपयोग – How to Use Olive Oil for Hair Growth in Hindi
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आप बालों को बढ़ाने के लिए जैतून तेल को कुछ इस प्रकार इस्तेमाल में ला सकते हैं:
सामग्री:
चार-पांच चम्मच जैतून का तेल
विधि:
जैतून तेल को हल्का गर्म कर लें।
अब इस तेल से 15-20 मिनट तक स्कैल्प की हल्की मसाज करें।
मसाज करने के बाद बालों में तेल को 30 मिनट के लिए रहने दें।
इसके बाद बालों को शैम्पू से धो लें।
कैसे काम करता है:
एक शोध के अनुसार, स्कैल्प पर जैतून तेल की मसाज करने से बालों के झड़ने की समस्या कम होगी और बाल लंबे व घने बनेंगे (3)।
ये तो हो गई बाल बढ़ाने के लिए जैतून के तेल की बात। लेख के अगले भाग में जानिए कि कैसे जैतून तेल के हेयर मास्क से आप अपने बालों को आकर्षक बना सकते हैं।
जैतून तेल के हेयर मास्क – Olive Oil Hair Masks In Hindi
ऊपर आपने जाना कि जैतून तेल अकेला बालों को किस प्रकार फायदा पहुंचाता है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि दूसरी सामग्रियों के साथ मिल कर यह बालों के लिए और भी चमत्कारी साबित हो सकता है। आइए, आपको बताते हैं कि जैतून तेल के हेयर मास्क को कैसे इस्तेमाल करें।
1. जैतून तेल और नारियल तेल
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सामग्री:
दो चम्मच नारियल तेल
दो चम्मच एक्स्ट्रा वर्जिन जैतून तेल
गर्म तौलिया
विधि:
दोनों तेलों को मिलाकर हल्का गर्म यानी गुनगुना कर लें।
इस तेल को बालों की जड़ों से लेकर सिरे तक लगाएं।
अब 10-15 मिनट तक स्कैल्प की मसाज करें।
इसके बाद एक तौलिये को गर्म पानी में भिगोएं और फिर निचोड़ कर सारा पानी निकाल दें।
अब इस गर्म तौलिये को अपने सिर पर लपेट कर 30 मिनट तक रखें और स्टीम लें।
अंत में शैम्पू लगा कर बालों को ठंडे पानी से धो लें।
इस प्रक्रिया को हफ्ते में दो बार कर सकते हैं।
कैसे काम करता है:
नारियल तेल हल्का होने के कारण बालों की जड़ों तक पहुंच कर उन्हें नमी और पोषण प्रदान करता है। इसमें लोरिक एसिड (एक प्रकार का फैटी एसिड) होता है, जो बालों में प्रोटीन को बरकरार रखने में मदद करता है (7)। बालों के निर्माण में प्रोटीन का अहम योगदान होता है (8)। प्रोटीन की कमी से बालों का झड़ना बढ़ सकता है।
2. शहद और जैतून तेल का हेयर मास्क
सामग्री:
आधा कप शहद
एक चौथाई कप वर्जिन जैतून का तेल
एक विटामिन-ई कैप्सूल
शॉवर कैप
विधि:
एक बाउल में सारी सामग्रियों को मिलाएं और 15 सेकंड के लिए माइक्रोवेव में गर्म कर ले���।
अपने बालों को शैम्पू से धो लें और उन्हें सूखने दें।
अब इस मिश्रण को हल्के गीले बालों में जड़ों से लेकर सिरे तक लगाएं।
पूरे बालों पर लग जाने के बाद बालों को शॉवर कैप से ढक लें।
इस कैप को 30-45 मिनट तक रहने दें और फिर बालों को शैम्पू से धो लें।
इस प्रक्रिया को हफ्ते में एक बार कर सकते हैं।
कैसे काम करता है:
शहद में एंटी-बैक्टीरियल, एंटीफंगल और एंटीऑक्सीडेंट गुण पाए जाते हैं। यह बालों में रूसी और खुजली के साथ बाल झड़ने की समस्या का इलाज करते हैं। इसके अलावा, यह सेबोरिक डर्मेटाइटिस (स्कैल्प पर पपड़ीदार पैच और लाल त्वचा) जैसी समस्याओं से भी आराम दिलाता है (9)। इस तरह शहद और जैतून के तेल के हेयर मास्क से आपके बालों को फायदा हो सकता है।
3. अंडा और ऑलिव ऑयल हेयर मास्क
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सामग्री:
दो अंडों की जर्दी (रूखे बालों के लिए) या दो अंडों का सफेद भाग (तेली बालों के लिए) या एक पूरा अंडा (सामान्य बालों के लिए)
दो चम्मच जैतून का तेल
विधि:
एक बाउल में पूरा अंडा/अंडे की सफेदी/अंडे की जर्दी को अच्छी तरह फेंट लें।
फिर इसमें दो चम्मच जैतून तेल डालें और अच्छी तरह मिलाएं।
अपने बालों को शैम्पू से धो लें और उन्हें सूखने दें।
इस मिश्रण को हल्के गीले बालों में लगाएं।
पूरे बालों पर लग जाए के बाद बालों का जूड़ा बना लें।
20 मिनट बाद बालों को शैम्पू से धो लें।
इस प्रक्रिया को हफ्ते में एक बार कर सकते हैं।
कैसे काम करता है:
अंडे में विटामिन-डी और विटामिन-ए पाए जाते हैं, जिनकी कमी से बाल झड़ सकते हैं (10) (11)। अंडे के साथ जैतून के तेल के हेयर मास्क को लगाने से आपके बालों को पोषक तत्व मिलेंगे, जिससे बालों का झड़ना रुक सकता है।
4. जैतून का तेल और एवोकाडो हेयर मास्क
सामग्री:
एक पका हुआ एवोकाडो
एक चम्मच एक्स्ट्रा वर्जिन ऑलिव ऑयल
शॉवर कैप
विधि:
एवोकाडो के गूदे को ब्लेंडर में डालकर ब्लेंड कर लें।
अगर पेस्ट ज्यादा गाढ़ा हो गया है, तो उसमें दो-तीन चम्मच पानी मिला लें।
अब इस पेस्ट को एक बाउल में निकाल कर उसमें एक चम्मच जैतून का तेल मिलाएं।
अपने बालों को शैम्पू से धो लें और तौलिये की मदद से बालों को अच्छी तरह पोंछ लें।
अब बालों पर एवोकाडो और जैतून तेल का पेस्ट लगाएं।
सारे बालों पर पेस्ट लगा लेने के बाद अपने बालों को शॉवर कैप से ढक लें।
लगभग एक घंटे बाद बालों को ठंडे पानी और शैम्पू से धो लें।
इस विधि को हफ्ते में दो बार कर सकते हैं।
कैसे काम करता है:
विटामिन (ए, सी, ई), आयरन और जिंक जैसे पोषक तत्वों की कमी के कारण बाल झड़ने की समस्या होती है (10)। ऐसे में एवोकाडो और जैतून तेल का हेयर मास्क लगाना फायदेमंद साबित हो सकता है, क्योंकि एवोकाडो में ये सारे पोषक तत्व पर्याप्त मात्रा में पाए जाते हैं (12)। यह हेयर मास्क बालों को झड़ने से रोक कर उन्हें मुलायम बनाने में मदद कर सकता है।
5. जैतून तेल और केले का हेयर मास्क
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सामग्री:
एक पका हुआ केला
एक बड़ा चम्मच जैतून का तेल
शॉवर कैप
विधि:
केले को छिल कर अच्छी तरह से मैश कर लें।
अब इस पेस्ट को एक बाउल में निकालें और इसमें एक चम्मच जैतून तेल मिला लें।
अपने बालों को शैम्पू से धो लें और बालों को तौलिये से अच्छी तरह पोंछ लें।
अब हल्के गीले बालों ��र इस पेस्ट को लगाएं।
जब यह पेस्ट पूरे बालों पर अच्छी तरह लग जाए, तो अपने बालों को शॉवर कैप से ढक लें।
लगभग 20 मिनट बाद बालों को ठंडे पानी और शैम्पू से धो लें।
इस विधि को आप हफ्ते में एक बार कर सकते हैं।
कैसे काम करता है:
केले में एंटीऑक्सीडेंट गुण पाए जाते हैं (13)। एंटीऑक्सीडेंट बालों को फ्री-रेडिकल्स और सूरज की हानिकारक यूवी किरणों से बचाता है और उनकी प्राकृतिक चमक बरकरार रखने में मदद करता है (14)। साथ ही, इसमें भरपूर मात्रा में पोटैशियम पाया जाता है, जो बालों को बढ़ने में मदद करता है (15) (16)। इस प्रकार बालों के लिए जैतून तेल के फायदे केले के साथ मिल कर दोगुने हो जाते हैं।
6. जैतून का तेल और मेयोनीज हेयर मास्क
सामग्री:
एक चौथाई कप मेयोनीज
एक चम्मच जैतून का तेल
शॉवर कैप
विधि:
सभी सामग्रियों को अच्छी तरह से मिलाकर पेस्ट बना लें।
अपने बालों को शैम्पू से धो लें।
अब तौलिये से बालों को पोंछ लें और इस पेस्ट को लगाएं।
लगभग 30 मिनट के लिए बालों को शॉवर कैप से ढक लें।
अंत में बालों को ठंडे पानी और शैम्पू से धो लें।
इस विधि को आप हफ्ते में एक बार कर सकते हैं।
कैसे काम करता है:
मेयोनीज एक प्रकार का सॉस है, जिसे कई सामग्रियों को मिलाकर बनाया जाता है, जैसे – अंडा व सिरका आदि। इस वजह से इसमें इन सभी सामग्रियों के गुण पाए जाते हैं (17)। जैसे सिरके में एंटी इंफेक्टिव गुण पाए जाते हैं, जो स्कैल्प को संक्रमण से बचा सकते हैं (18)। इसके अलावा, इसमें फैटी एसिड पाए जाते है, जो आपके बालों का झड़ना कम करके उन्हें घना बनाने में मदद करते हैं (19)।
नोट: मेयोनीज का हेयर मास्क लगाने से पहले एक बार पैच टेस्ट जरूर कर लें। अगर आपको कोई भी जलन या खुजली होती है, तो तुरंत अपने बालों को धो लें।
आइए, अब आपको बताते हैं कि ये हेयर मास्क लगाते समय किन बातों का ध्यान रखना चाहिए।
सावधानियां – Caution
जैतून तेल के हेयर मास्क लगाने से आपके बालों को फायदा तो होगा, लेकिन कुछ अन्य बातों का ध्यान रखकर, आप इन फायदों को दोगुना कर सकते हैं।
अगर आपके बाल रूखे हैं, तो उनके लिए सल्फेट-फ्री शैम्पू का उपयोग करें। ये आपके बालों पर माइल्ड रहते हैं और उन्हें मुलायम बनाए रखते हैं।
बालों को हमेशा ठंडे पानी से धोएं। गर्म पानी से धोने से बालों की नमी खत्म हो सकती है।
धोने के बाद बालों को तौलिये से रगड़ कर न पोछें। इससे वे दो-मुंहे बनेंगे और टूटेंगे।
बालों को ब्लो-ड्राई करते समय ड्रायर को बालों से कम से कम 15 सेंटीमीटर दूर रखें। करीब से ब्लो-ड्राई करने से बाल रूखे हो सकते हैं।
हेयर मास्क लगाने से पहले बालों को शैम्पू कर के धो लें। ऐसा करने से उनकी सारी गंदगी निकल जाएगी और हेयर माक्स का पोषण जड़ों तक पहुंच पाएगा।
हमें यकीन है कि बालों के लिए जैतून के तेल के फायदे जानने के बाद आप इसे प्रयोग करके जरूर देखना चाहेंगे। जैतून तेल के हेयर मास्क से आपको वो सारे पोषक तत्व भी मिलेंगे, जो आपको सामान्य तेल से शायद न मिल सकें। तो अब आप पार्लर जाकर हजारों रुपए खर्च करना छोड़िए और बताए गए हेयर मास्क का उपयोग करके देखिए। आप हमें नीचे कमेंट बॉक्स में लिख कर बता सकते हैं कि आपके बालों के लिए सबसे ज्यादा फायदेमंद कौन-सा हेयर मास्क रहा।
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बालों के लिए अदरक के फायदे और घरेलू उपाय – Ginger For Hair Care in Hindi
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बालों के लिए अदरक के फायदे और घरेलू उपाय – Ginger For Hair Care in Hindi
Somendra Singh Hyderabd040-395603080 August 26, 2019
दूसरों के खूबसूरत और स्वस्थ बाल देखने के बाद आप सोचते होंगे कि इनके जैसे बाल मेरे पास क्यों नहीं हैं। ऐसा बालों का ठीक से ख्याल न रखने या फिर पर्याप्त पोषक तत्व न मिलने के कारण होता है। अगर आप भी अपने बालों को स्वस्थ रखना चाहते हैं, तो इस लेख को अंत तक जरूर पढ़िए। स्टाइलक्रेज के इस लेख में हम आपको बालों की देखभाल के लिए ऐसे खाद्य पदार्थ के बारे में बता रहे हैं, जो बालों से जुड़ी कई समस्याओं को ठीक करने की क्षमता रखता है। हम बात कर रहे हैं अदरक की। इस लेख में जानिए अदरक का बालों के लिए उपयोग कैसे करें, जिससे आपके बाल स्वस्थ और खूबसूरत दिखें।
सबसे पहले यह जानना जरूरी है कि बालों के लिए अदरक किस प्रकार फायदेमंद है।
विषय सूची
बालों के लिए अदरक के फायदे – Benefits of Ginger for Hair in Hindi
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बालों के लिए अदरक के फायदे निम्नलिखित रूप में देखे जा सकते हैं –
1. बालों के स्वास्थ्य के लिए
बालों को स्वस्थ रखने के लिए अदरक के फायदे देखे जा सकते हैं। अदरक में सिलिकॉन नामक कार्बनिक यौगिक पाया जाता है। एक वैज्ञानिक अध्ययन के अनुसार, सिलिकॉन बालों को स्वस्थ बनाए रखने में मदद कर सकता है (1)।
2. बालों को झड़ने से रोकने के लिए
जिंक और मैग्नीशियम जैसे पोषक तत्वों की कमी से बालों के झड़ने की समस्या उत्पन्न हो सकती है। यहां अदरक की अहम भूमिका देखी जा सकती है। अदरक जिंक और मैग्नीशियम से समृद्ध होता है और शरीर में इन दोनों पोषक तत्वों की पूर्ति अदरक का सेवन कर की जा सकती है (2) (3) (4)।
3. रूसी को कम करने के लिए
रूसी को खत्म करने के लिए अदरक का लाभकारी प्रभाव देखा जा सकता है। अदरक में जिंक पाया जाता है और एक वैज्ञानिक अध्ययन के अनुसार, जिंक युक्त शैम्पू का इस्तेमाल करने से रूसी की समस्या में सुधार किया जा सकता है (2), (5)।
4. बालों का रूखापन दूर करे
बालों का रूखापन दूर करने में भी अदरक के फायदे देखे जा सकते हैं। दरअसल, अदरक में जिंक की मात्रा पाई जाती है और एक वैज्ञानिक अध्ययन के अनुसार, मौखिक रूप में जिंक का सेवन करने से बालों का रूखापन दूर हो सकता है (6)। हालांकि, इस पर अभी और शोध की आवश्यकता है।
5. रक्त प्रवाह बढ़ाकर
अदरक का उपयोग रक्त प्रवाह बढ़ाने में भी किया जा सकता है। दरअसल, अदरक में जिंजरोल नामक तत्व पाया जाता है, जो रक्त प्रवाह में बढ़ाने में सुधार कर सकता है (7)। बढ़ा हुआ रक्त का प्रवाह बालों के लिए फायदेमंद हो सकता है। हालांकि, इस विषय पर अभी और वैज्ञानिक शोध की आवश्यकता है।
6. बालों के लिए कंडीशनर के रूप में
कंडीशनर का इस्तेमाल बालों से गंदगी हटाकर उसे मुलायम बनाने के लिए किया जाता है। बालों के लिए कंडीशनर के रूप में अदरक का भी इस्तेमाल किया जा सकता है। हालांकि, अभी इस पर पर्याप्त वैज्ञानिक प्रमाण की आवश्यकता है। इसलिए, कंडिशनर के रूप में अदरक के इस्तेमाल को अपनाने से पहले एक बार डॉक्टरी सलाह अवश्य लें।
अभी आपने बालों के लि��� अदरक के फायदे के बारे में पढ़ा, अब हम बता रहे हैं कि अदरक का उपयोग कैसे किया जा सकता है।
बालों को बढ़ाने के लिए अदरक का उपयोग – Ginger (Adrak) for Hair Growth in Hindi
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बालों को बढ़ाने के लिए अदरक का प्रयोग इस प्रकार किया जा सकता है।
सामग्री:
अदरक के 2-3 छोटे टुकड़े
एक छोटी ओखली
इस्तेमाल करने का तरीका:
सबसे पहले अदरक को धो लें।
अब इसे ओखली में डालकर अच्छी तरह कूट लें।
जब तक इसका रस न निकलने लगे, तब तक कूटते रहें।
अब एक कटोरी लें और अदरक को हल्के हाथों से दबाते हुए अदरक का रस छन्नी के सहारे कटोरी में निकाल लें।
अब बालों की जड़ों में इस रस को लगाएं।
इस प्रक्रिया को हफ्ते में दो बार दोहराया जा सकता है।
कैसे है लाभदायक:
अदरक का उपयोग बालों के लिए काफी फायदेमंद हो सकता है। विशेषज्ञों द्वारा किए गए एक शोध के अनुसार यह बताया गया है कि अदरक का रस बालों का झड़ना कम कर सकता है और बालों के विकास में मदद भी कर सकता है (8)।
ऊपर बालों के विकास में अदरक का उपयोग जानने के बाद अब आपको अदरक के हेयर मास्क के बारे में जानकारी दी जा रही है।
अदरक के हेयर मास्क – Ginger Hair Masks In Hindi
अदरक का बालों के लिए उपयोग हेयर मास्क के रूप में इस प्रकार किया जाता है।
1. अदरक और एसेंशियल ऑयल
सामग्री:
अदरक के 2 छोटे टुकड़े
2 छोटे चम्मच जैतून का तेल
इस्तेमाल करने का तरीका:
सबसे पहले अदरक को बारीक पीस लें, जिससे पेस्ट बन जाए।
अब इसमें जैतून के तेल को हल्का गर्म करके डालें।
फिर इसे अच्छी तरह से मिला लें।
इसके बाद यह पेस्ट बालों में लगाएं।
इसे आधे घंटे तक लगा रहने दें, फिर इसे ठंडे पानी से धो लें।
इस प्रक्रिया को हफ्ते में एक बार किया जा सकता है।
कैसे है लाभदायक:
बालों के लिए अदरक का रस और जैतून तेल के तेल का मास्क बालों की सेहत सुधारने का काम कर सकता है। जैसा कि हमने अभी आपको ऊपर बताया कि अदरक का रस बालों के विकास के लिए फायदेमंद है (9)। वहीं, जैतून के तेल में एंटीबैक्टीरियल और एंटीफंगल गुण होते हैं, जो आपके स्कैल्प को इन्फेक्शन से बचाते हैं। जैतून का तेल स्कैल्प को पोषण देता है, जो न केवल आपके बालों को मजबूत करता है, बल्कि स्कैल्प की रक्षा करता है और बालों की इलास्टिसिटी बनाए रखने में मदद करता है (10)।
2. अदरक और नींबू तेल का हेयर मास्क
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सामग्री:
अदरक का रस एक बड़ा चम्मच
नींबू का तेल एक छोटा चम्मच
इस्तेमाल करने का तरीका:
एक कटोरी लें और इसमें अदरक का रस डालें।
अब ऊपर से नींबू का तेल डालें।
इसे उंगली के सहारे से मिला लें।
अब इस मिश्रण को बालों की जड़ों तक लगाकर हल्के हाथों से मालिश करें।
इसे पांच मिनट तक लगा रहने दें।
बालों को अब शैम्पू से धो लें।
इस उपाय को हफ्ते में एक बार किया जा सकता है।
कैसे है लाभदायक:
अदरक का रस और नींबू का तेल भी बालों के स्वास्थ्य के लिए असरकारक है। नींबू के तेल में पीनेन (pinene), कैम्फीन (Camphene), सैबिनीन (sabinene) जैसे कई आवश्यक तत्व पाए जाते हैं। नींबू तेल में मौजूद यही गुण बालों की सफाई के रूप में प्रयोग किए जाते हैं (11)।
3. अदरक का पेस्ट बालों को बढ़ाने के लिए
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सामग्री:
अदरक के दो-तीन छोटे टुकड़े
नारियल के तेल की दो बूंदें
इस्तेमाल करने का तरीका:
अदरक को धोकर पीस लें और इसका पेस्ट तैयार कर लें।
अब इस पेस्ट को एक कटोरी में रख लें।
फिर इस पेस्ट में नारियल के तेल को मिला लें।
अब बालों में इस पेस्ट को लगाकर 5 मिनट तक लगा रहने दें।
इसके बाद बालों को शैम्पू से धो लें।
आप इस प्रक्रिया को हफ्ते में एक बार दोहरा सकते हैं।
कैसे है लाभदायक:
बालों के लिए अदरक का उपयोग पेस्ट के रूप में भी किया जा सकता है। अदरक में बालों को स्वस्थ बनाए रखने के लिए सिलिकन नामक पोषक तत्व पाया जाता है (1)। यह तत्व बालों को स्वस्थ रखने का काम कर सकता है। बालों को संवारने के लिए प्री-वॉश और पोस्ट-वॉश के रूप में नारियल का तेल प्रयोग करने पर एक वैज्ञानिक अध्ययन किया गया है। इस अध्ययन के अनुसार नारियल का तेल एकमात्र ऐसा तेल है, जो बालों में प्रोटीन की हानि को कम कर सकता है (12)।
4. अदरक और सहजन
सामग्री:
अदरक का रस एक चम्मच
सहजन का तेल 3-4 बूंदें
इस्तेमाल करने का तरीका:
एक कटोरी लें।
अब इसमें अदरक का रस डालें।
फिर इसमें सहजन का तेल डालें।
इसके बाद मिश्रण को बालों की जड़ों में लगाकर हल्के हाथों से मसाज करें और आधे घंटे के लिए छोड़ दें।
अब बालों को शैम्पू से धो लें।
इस प्रक्रिया को हफ्ते में एक बार किया जा सकता है।
कैसे है लाभदायक:
सहजन और अदरक का संयुक्त उपयोग बालों को मजबूत बना सकता है। अदरक के फायदे बालों के लिए तो होते ही हैं, जिसकी जानकारी इस लेख में ऊपर बालों के लिए अदरक के फायदे वाले भाग में दी जा चुकी है। वहीं, सहजन का तेल भी बालों के लिए लाभकारी माना जाता है। एक वैज्ञानिक अध्ययन के अनुसार, सहजन का तेल स्कैल्प की नमी में सुधार करने, बालों को मजबूत करने के साथ-साथ एंटी डैंड्रफ के रूप में काम कर सकता है। इसके अलावा, यह दो मुंहे बालों की समस्या से भी बचाव कर सकता है (13)।
5. अदरक, खीरा, नारियल तेल और तुलसी तेल से बना हेयर मास्क
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सामग्री:
अदरक का पेस्ट 2 चम्मच
नारियल के तेल की 4 बूंदें
तुलसी के तेल की 4 बूंदें
आधा चम्मच खीरे का पेस्ट
इस्तेमाल करने का तरीका:
एक कटोरी में अदरक का पेस्ट लें और उसमें खीरे का पेस्ट मिलाएं।
अब इस पेस्ट में नारियल और तुलसी का तेल मिक्स करें।
फिर चम्मच के सहारे सामग्री को अच्छी तरह से मिला लें।
इसके बाद यह मिश्रण बालों में लगाकर 10 मिनट के लिए छोड़ दें।
फिर इसे शैम्पू से धो लें।
इस विधि को सप्ताह में एक बार इस्तेमाल किया जा सकता है।
कैसे है लाभदायक:
अदरक बालों के लिए फायदेमंद है, यह तो आपको पता ही है। वहीं, खीरे में मैग्नीशियम एस्कोर्बिल फॉस्फेट (विटामिन सी का घुलनशील रूप) पाया जाता है, जो बालों के विकास में मदद कर सकता है (14), (15)। वहीं, तुलसी के तेल में फैटी एसिड पाया जाता है, जो बालों को संवारने और गंजेपन की स्थिति को सुधारने में मदद कर सकता है (16), (17)। नारियल तेल की बात की जाए, तो इसमें बालों को नुकसान से बचाए जाने का गुण पाया जाता है और बालों के लिए बनाए जाने वाले प्रोडक्ट में इसका इस्तेमाल भी किया जाता है (18)।
6. अदरक और प्याज बालों को बढ़ाने के लिए
सामग्री:
2 चम्मच अदरक का रस
एक छोटा चम्मच प्याज का रस
इस्तेमाल करने का तरीका:
एक कटोरी में अदरक का रस डालें।
अब इसमें प्याज का रस मिला लें।
फिर इसे हल्के हाथों से बालों की जड़ों में लगाएं।
10 मिनट तक लगा रहने के बाद बालों को पानी से धो लें।
इस प्रक्रिया को सप्ताह में दो बार, तीन दिन के अंतर पर दोहरा सकते हैं।
कैसे है लाभदायक:
अदरक का रस बालों के लिए उपयोगी होता है (19), जबकि प्याज का रस भी बालों के लिए फायदेमंद साबित हो सकता है। एक वैज्ञानिक अध्ययन के अनुसार, यह देखा गया है कि प्याज का रस बालों के फिर से विकास के संबंध में काफी अधिक प्रभावी हो सकता है और यह एलोपेसिया ( बाल झड़ने की एक गंभीर समस्या) के इलाज में भी काम आ सकता है (20)।
7. अदरक और लहसुन का हेयर मास्क
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सामग्री:
अदरक का रस एक चम्मच
लहसुन का अर्क एक छोटा चम्मच
इस्तेमाल करने का तरीका:
अदरक के रस में लहसुन का अर्क मिलाएं।
इस मिश्रण को हल्के हाथों से बालों की जड़ों तक लगाएं।
इसे 10 से 15 मिनट तक लगा रहने दें और फिर शैम्पू से बालों को धो लें।
इस मास्क को हफ्ते में एक बार इस्तेमाल कर सकते हैं।
कैसे है लाभदायक:
अदरक का उपयोग बालों को रूसी से बचाने का काम कर सकता है, क्योंकि अदरक एक एंटी-फंगल एजेंट के रूप में काम करता है। इसकी वजह से इसका उपयोग बालों को डैंड्रफ फ्री बनाने वाले शैम्पू में प्रयोग किया जाता है (21)। विशेषज्ञों के द्वारा किए गए एक वैज्ञानिक शोध में यह पाया गया है कि लहसुन का अर्क बालों के स्वास्थ्य को बढ़ावा देने के साथ-साथ बालों को झड़ने से भी रोकता है (22)।
लेख के अगले भाग में अदरक के हेयर मास्क से जुड़ी कुछ सावधानियों के बारे में बता रहे हैं।
सावधानियां :
बालों के लिए अदरक इस्तेमाल करते समय निम्नलिखित सावधानियां बरतने की जरूरत हो सकती है :
अगर आपका स्कैल्प संवेदनशील है, तो अदरक का हेयर मास्क लगाने से पहले डॉक्टर से सलाह अवश्य लें।
अदरक का हेयर मास्क अधिक उपयोग न करें, नहीं तो इसमें मौजूद जिन्जेरॉल बालों के विकास को रोक भी सकता है (23)।
आपने इस लेख में पढ़ा कि अदरक का पोषण देकर कैसे बालों की विभिन्न समस्याओं को ठीक कर सकता है। हालांकि, इसका सेवन निश्चित मात्रा और उपयोग की एक समय सीमा का ध्यान रखते हुए किया जाए, तो यह बालों के लिए काम आ सकता है। एक जरूरी बात, अगर इसके उपयोग के दौरान आपको कोई भी समस्या हो, तो तुरंत डॉक्टर से सलाह लें। हम उम्मीद करते हैं कि आपको यह लेख पसंद आया होगा। अगर आप इस लेख से संबंधित कोई परामर्श लेना चाहते हैं, तो नीचे दिए गए कॉमेंट बॉक्स के जरिए हम तक अपना सवाल जरूर पहुंचाएं।
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Somendra Singh
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Source: https://www.stylecraze.com/hindi/baalo-ke-liye-adrak-ke-fayde-in-hindi/
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खरबूजा के 24 फायदे, उपयोग और नुकसान – Muskmelon Benefits, Uses and Side Effects in Hindi
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खरबूजा के 24 फायदे, उपयोग और नुकसान – Muskmelon Benefits, Uses and Side Effects in Hindi
Bhupendra Verma Hyderabd040-395603080 August 20, 2019
खरबूजा एक मौसमी फल है, जो गर्मियों के दिनों में आता है। खरबूजे का वैज्ञानिक नाम कुकुमिस मेलो है, जो कि कुकुरबिटेसी (Cucurbitaceae) के परिवार से संबंधित है। गर्मियों में इसका सेवन आपके लिए लाभदायक होता है, क्योंकि इसमें पौष्टिक तत्व के साथ-साथ पानी की अच्छी मात्रा पाई जाती है। यह गर्मी में अधिक प्यास लगने की समस्या को दूर करता है और आपके शरीर में हाइड्रेशन के स्तर को बनाए रखता है। हम इस लेख में खरबूजा खाने के फायदे और नुकसान के साथ-साथ खरबूजे के बीज के फायदे की भी जानकारी देंगे।
विषय सूची
खरबूजा के फायदे – Benefits of Muskmelon in Hindi
खरबूजे का सेवन शरीर के लिए किस प्रकार फायदेमंद हो सकता है, आइए जानते हैं।
1. वजन कम करने में
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खरबूजा के फायदे में सबसे पहले वजन के बारे में बात करेंगे। फाइबर युक्त आहार का सेवन आपके वजन को कम करने का काम करता है। फाइबर खाने को पचाने के साथ-साथ भूख को शांत रखने का भी काम करता है। वहीं, खरबूजा फाइबर का अच्छा स्रोत है। इसलिए, खरबूजे को वजन कम करने के लिए लाभदायक कहा जा सकता है (1) (2)।
2. कैंसर को रोकने के लिए
खरबूजे के सेवन कई तरह की बीमारियों को दूर रखने में मददगार साबित हो सकता है। इनमें से एक कैंसर जैसी घातक बीमारी भी हो सकती है, क्योंकि खरबूजे में एंटी-कैंसर के गुण पाए जाते हैं। इसलिए, कह सकते है कि खरबूजे का सेवन कर कैंसर की समस्या से बचा जा सकता हैं (3)।
3. आंखों के लिए
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खरबूजे का सेवन आपके लिए अनेक प्रकार से लाभकारी हो सकता है। उन्हीं में से एक लाभ है, आंखों की रोशनी बढ़ाना। दरअसल, खरबूजे में विटामिन-ए भरपूर मात्रा में पाया जाता है। जो आंखों के लिए बेहद फायदेमंद माना जाता है (4)।
4. मधुमेह के लिए
खरबूजे का सेवन मधुमेह के लिए अधिक उपयोगी सिद्ध हो सकता है। खरबूजे में ऑक्सीकाइन पाया जाता है, जो रक्त में शुगर के स्तर को संतुलित करने में मददगार हो सकता है। यह ऑक्सिडेटिव स्ट्रेस को भी दूर रखने का काम करता है (5)।
5. फेफड़ों के लिए
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खरबूजा एक पौष्टिक फल है, जिसके लाभ से ज्यादातर लोग परिचित हैं। खरबूजा बीटा-कैरोटीन से समृद्ध होता है, जो लंग्स कैंसर पर प्रभावी असर दिखा सकता है (6)। इसके अलावा, बीटा-कैरोटीन अधिक एक्सरसाइज से होने वाले अस्थमा पर भी सकारात्मक प्रभाव छोड़ सकता है (7)।
6. गर्भवती के लिए लाभदायक
खरबूजा गर्भावस्था में लाभदायक हो सकता है। प्रेगनेंसी के दौरान खरबूजा शरीर में पोषक तत्वों की पूर्ति कर सकता है और इसमें पाया जाने वाला फोलिक एसिड, न्यूरल ट्यूब (शिशु के मस्तिष्क और रीढ़ की हड्डियों से जुड़ी समस्या) से बचाव का काम कर सकता है (8)।
7. इम्यून के लिए
खरबूजे का सेवन आपके इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाने का काम कर सकता है। इसमें विटामिन सी की अधिकता पाई जाती है, जो एक कारगर एंटीऑक्सीडेंट है। यह आपके इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाता है और बीमारियों को आपसे दूर रखने में मदद कर सकता है (9)।
8. मासिक धर्म के दर्द से राहत
खरबूजा खाने के फायदे तो सभी जानते हैं, लेकिन खरबूजे के बीज के फायदे से बहुत कम लोग वाकिफ होंगे। मासिक धर्म के कारण होने वाले दर्द को कम करने के लिए खरबूज��� का बीज मददगार साबित हो सकता है। खरबूजे के बीज को पीसकर सामान मात्रा में शक्कर मिलाकर खाने से इस दौरान होने वाले दर्द से राहत मिल सकती है। शोध में रोजाना तीन दिन तक मिश्रण की छह ग्राम मात्रा दी जाने की सलाह दी गई है (10)।
9. धूम्रपान छोड़ने के लिए
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एक वैज्ञानिक अध्ययन के अनुसार, धूम्रपान करने वाले लोगों में बीटा-कैरोटीन और विटामिन सी की कमी हो सकती है। इन पोषक तत्वों की कमी कैंसर और ह्रदय से जुड़ी समस्याओं का कारण बन सकती है। ऐसे में खरबूजा का सेवन धूम्रपान से होने वाले इस पोषक तत्वों की कमी को पूरा करने का काम कर सकता है, जिससे दिल का दौरा और स्ट्रोक के जोखिम से बचाव हो सकता है (11)। हालांकि, इस विषय पर अभी और शोध की आवश्यकता है।
10. दांत दर्द
दांत दर्द की समस्या में भी खरबूजा के फायदे देखे जा सकते हैं। खरबूजे में विटामिन भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं और एक वैज्ञानिक शोध के अनुसार, विटामिन दांत दर्द से छुटकारा दिलाने का काम कर सकते हैं (12), (2)। वहीं, विटामिन सी दांतों के इलाज में हिलिंग को बढ़ावा देने का काम कर सकता है (13) (2)।
11. ह्रदय के लिए खरबूजे के फायदे
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खरबूजे का सेवन इसलिए लाभदायक हो सकता है, क्योंकि इसमें विटामिन ए व विटामिन सी के साथ-साथ बीटा कैरोटीन और पोटैशियम जैसे तत्व भी पाए जाते हैं। बता दें कि इनमें बीटा कैरोटीन एक पॉवरफुल एंटीऑक्सीडेंट है, जो इम्यून सिस्टम को मजबूत करने का काम करता है। खरबूजे में मौजूद यही एंटीऑक्सीडेंट कैंसर, दिल का दौरा व ह्रदय रोग जैसी घातक बीमारियों से निपटने का काम कर सकता है (14)।
12. तनाव मुक्ति के लिए
तनाव से राहत दिलाने के लिए विटामिन-बी 6 और मैग्नीशियम सहायता कर सकता हैं (15)। एक वैज्ञानिक शोध से यह पता चला है कि खरबूजे में विटामिन-बी6 और मैग्नीशियम की अच्छी मात्रा पाई जाती है। जो तनाव मुक्त करने में सहायता कर सकते हैं (2)।
13. खरबूजे के फायदे पाचन के लिए
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खरबूजे के फायदे की बात की जाए, तो पाचन क्रिया में सुधार के लिए भी इसे इस्तेमाल में लाया जा सकता है। बता दें कि विशेषज्ञों के मुताबिक खाने में फाइबर की मात्रा पाचन तंत्र की प्रक्रिया को बेहतर बनाने में लाभदायक मानी जाती है। वहीं, खरबूजे में फाइबर की अधिक मात्रा पाई जाती है, जो पाचन क्रिया को बेहतर बनाने में सक्षम है (16)।
14. अनिद्रा के लिए
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शारीरिक और मानसिक तनाव अनिद्रा जैसी समस्या का कारण बन सकता है, जो कई गंभीर बीमारियों को बुलावा दे सकती है। ऐसे में खरबूजे का सेवन आपके लिए लाभदायक साबित हो सकता है, क्योंकि इसमें मैग्नीशियम की अच्छी मात्रा पाई जाती है, जो सुकून की नींद दिलाने में सक्षम है (17) (2)।
15. खरबूजा बीज के औषधीय गुण
खरबूजे के बीज में अनेक तरह के औषधीय गुण होते हैं, जो आपके लिए फायदेमंद हो सकते हैं। मासिक धर्म के समय इसे पीस कर खाने से दर्द से राहत मिल सकती है (10)। इसके अलावा, खरबूजे के बीज से बना तेल एक्जीमा जैसी त्वचा समस्या के लिए भी फायदेमंद हो सकता है (18)।
16. गठिया की समस्या के लिए
खरबूजा गठिया की समस्या से राहत दिलाने में भी आपके लिए फायदेमंद हो सकता है। एक वैज्ञानिक शोध के अनुसार, शरीर में विटामिन सी की कमी गठिया का कारण बन सकती है। यहां खरबूजे की एक अहम भूमिका देखी जा सकती है, क्योंकि खरबूजे में विटामिन सी भरपूर मात्रा में पाया जाता है (2),(19)।
17. खरबूजा की चाय के औषधीय गुण
खरबूजे में पाए जाने वाले पौष्टिक तत्व उससे बनने वाली चाय में भी मौजूद होते हैं (2)। यह तत्व कई बीमारियों से लड़ने में साबित हो सकते हैं। जैसे जिंक और विटामिन सी बालों के लिए (20), मैग्नीशियम अनिद्रा के लिए (17) और फाइबर वजन कम करने के लिए फायदेमंद हो सकता है (1)।
18. गुर्दे की पथरी के लिए
एक शोध में देखा गया कि पथरी की समस्या को दूर करने के लिए सिट्रिक एसिड फायदेमंद होता है। खरबूजे में साइट्रेट और कैल्शियम पाए जाते हैं, जो ऑक्सालेट क्रिस्टल को बढ़ने से रोकने का काम करते हैं। इससे पथरी के विकास को रोका जा सकता है। कई लोगों के यूरिन में कम साइट्रेट की कमी होती है। ऐसे में उन्हें साइट्रिक एसिड युक्त खाद्य पदार्थ देना चाहिए, जो पथरी से राहत देने में सहायक हो सकता है (21)।
ऊपर स्वास्थ्य के लिए खरबूजे के फायदे जाने, अब लेख के इस भाग में त्वचा के लिए इसके फायदे जानिए।
त्वचा के लिए खरबूजा के फायदे – Skin Benefits of Muskmelon in Hindi
खरबूजा का सेवन आपके त्वचा के लिए अनेक तरह से फायदेमंद हो सकता है।
1. त्वचा को हाइड्रेट करने के लिए
खरबूजा का सेवन आपके त्वचा को ही नहीं, बल्कि पूरे शरीर को भी हाइड्रेट करने का काम करता है, क्योंकि इसमें पानी के अच्छी मात्रा पाई जाती है, जो आपके लिए लाभदायक है (2)।
कैसे करें उपयोग :
खरबूजे को खाने से शरीर में पानी की कमी को पूरा किया जा सकता है। इसका सकारात्मक प्रभाव त्वचा पर भी पड़ता है।
इसके अलावा, आप खरबूजे के गूदे को त्वचा पर भी लगा सकते हैं।
2. त्वचा को पुनर्जीवित करने के लिए
त्वचा को पुनर्जीवित करने के लिए भी खरबूजे के फायदे देखे जा सकते हैं। खरबूजा विटामिन सी का अच्छा स्रोत है और विटामिन सी सूखी त्वचा पर प्रभावी रूप से काम करता है। इससे अलावा, विटामिन सी त्वचा में कोलेजन को बढ़ावा देने का काम करता है (22) (2)। इसके लिए आप खरबूज का पेस्ट बना सकते हैं, जिसकी विधि हम नीचे बता रहे हैं :
सामग्री:
खरबूजे का गूदा दो चम्मच
ओटमील एक चम्मच
दही एक चम्मच
कैसे करें उपयोग :
सभी सामग्रियों को मिलाकर पेस्ट बना लें।
इस पेस्ट को त्वचा पर लगाएं और कुछ देर हल्की मसाज करें।
थोड़ी देर बाद गुनगुने पानी से त्वचा को धो लें।
हफ्ते में दो से तीन बार इस प्रक्रिया को दोहराया जा सकता है।
3. बढ़ते उम्र के प्रभाव के लिए
एक शोध के अनुसार खरबूजे में एंटीऑक्सीडेंट के गुण देखे गए हैं, जो त्वचा के लिए लाभदायक हो सकता है। एक दूसरे शोध में देखा गया है कि एंटीऑक्सीडेंट त्वचा में झुरिर्यों को बढ़ने से रोकने का काम कर सकता है। इसलिए, ऐसा माना जा सकता है कि खरबूजे का सेवन बढ़ती उम्र के प्रभाव को कम करने में सहायक हो सकता है (23) (24)।
कैसे करें उपयोग :
रोज सुबह सीमित मात्रा में खरबूजे का सेवन किया जा सकता है।
इसके अलावा, खरबूजे का पेस्ट भी इस्तेमाल कर सकते हैं। पेस्ट बनाने की विधि हमने ऊपर बताई है।
4. एक्जिमा और अन्य त्वचा के बीमारियों के लिए
खरबूजे बीज के तेल में एंटी बैक्टीरियल, एंटीऑक्सीडेंट, एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण पाए जाते हैं। जो एक्जिमा और अन्य त्वचा संबंधी बीमारियों को दूर रखने में मददगार हो सकते हैं (25)। इसमें पाए जाने वाले एंटीऑक्सीडेंट रक्त के संचार में सहायता करता है, जो एंटी एक्जिमा की तरह काम करता है। इसलिए खरबूजे का सेवन त्वचा के लिए लाभकारी माना जा सकता है।
कैसे करें उपयोग
खरबूजे के बीज से निकले तेल की कुछ बूंदों को एक्जीमा से प्रभावित त्वचा पर लगाया जा सकता है।
आप खरबूजे के गूदे का मैश करके पेस्ट बना लें और उसे एक्जिमा से प्रभावित त्वचा पर लगा सकते हैं।
ऊपर त्वचा के लिए खरबूज के फायदे पढ़े, अब आगे बालों के इसके फायदे जानेंगे।
बालों के लिए खरबूजा के फायदे – Hair Benefits of Muskmelon in Hindi
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खरबूजे का इस्तेमाल बालों के उपचार के लिए भी किया जा सकता है। माना जाता है कि खरबूजे में पाए जाने वाले कुछ खास पोषक तत्व बालों से संबंधित कई समस्याओं को दूर करने में सहायक साबित हो सकते हैं। आइए, उनमें से कुछ समस्याओं के बारे में जानते हैं।
1. बालों की मजबूती
एक रिसर्च में पाया गया है कि खरबूजे में जिंक, नियासिन, आयरन और विटामिन सी पाए जाते हैं। जो बाल झड़ने की समस्या को दूर करने में सहायक हो सकते हैं। साथ ही यह बालों को मजबूत करने का भी काम कर सकते हैं (26) (2)।
कैसे करें उपयोग :
आवश्यकतानुसार खरबूजे के गूदे का पेस्ट बनाएं।
फिर उसे बालों पर अच्छी तरह लगा लें।
कुछ समय बाद बालों को शैम्पू से धो लें।
2. कंडीशनर के रूप में
वैज्ञानिकों द्वारा खरबूजे को लेकर एक शोध किया गया, जिसमें बीहेनिक एसिड (Behenic acid) की मौजूदगी का पता चला है। बता दें बीहेनिक एसिड का उपयोग कंडीशनर और मॉइस्चराइजर में किया जाता है, जो बालों को मुलायम और मॉइस्चराइज करने का काम करता है (27)।
कैसे करें उपयोग :
आवश्यकतानुसार खरबूजे के गुदे को मैश कर लें।
नहाने से 15 मिनट पहले इसे बालों पर लगाएं।
नहाने के दौरान बालों को शैंपू से धो लें।
इस लेख के आगे भाग में हम खरबूजे में पाए जाने वाले पौष्टिक तत्वों की जानकारी देंगे।
खरबूजा के पौष्टिक तत्व – Muskmelon Nutritional Value in Hindi
खरबूजे में अनेक तरह के पौष्टिक तत्व पाए जाते हैं, जिनके बारे में हम नीचे दिए चार्ट की सहायता से जान सकते हैं (2)।
पोषक मात्रा प्रति 100 ग्राम पानी 90 .15g ऊर्जा 34kcal प्रोटीन 0.84g टोटल लिपिड (फैट) 0.19 g कार्बोहाइड्रेट 8.16g फाइबर,टोटल डाइटरी 0.9 g शुगर, टोटल 7.86g मिनरल कैल्शियम Ca 9 mg आयरन ,Fe 0.21mg मैग्नीशियम ,mg 12mg फास्फोरस ,P 15 mg पोटेशियम,K 267mg सोडियम ,Na 16 mg जिंक ,Zn 0.18mg विटामिन विटामिन सी ,टोटल एस्कॉर्बिक एसिड 36.7 mg थियामिन 0.041mg राइबोफ्लेविन 0.019 mg नियासिन 0.734mg विटामिन बी-6 0.072mg फोलेट,DFE 21 µg विटामिन बी -12 0.00µg विटामिन ए,RAE 169µg विटामिन ए,।U 3382 ।U विटामिन ए(अल्फा-टोकोफेरोल) 0.05mg विटामिन डी (डी 2 +डी 3) 0.0 µg विटामिन डी 0 ।U विटामिन के 2.5 µg लिपिड फैटी एसिड, टोटल सैचुरेटेड 0.051 g फैटी एसिड, टोटल मोनोअनसैचुरेटेड 0.003 g फैटी एसिड, टोटल पॉलीसैचुरेटेड 0.081 g फैटी एसिड, टोटल ट्रांस 0.000g कोलेस्ट्रॉल 0 mg
इस लेख के आगे भाग में खरबूजा का चयन कैसे करें और लंबे समय तक इसे सुरक्षित कैसे रखें, इसकी जानकारी देंगे।
खरबूजा का चयन कैसे करें और लंबे समय तक सुरक्षित कैसे रखें?
खरजूबे को सीधा सब्जी मंडी से लेना अच्छा होगा, क्योंकि मंडी में रोजाना ताजे फल आते हैं।
खरबूजा खरीदते समय ध्यान रहे कि यह अधिक नरम न हो।
खरबूजा लेते समय ध्यान रखें कि उसके बाहरी भाग में किसी भी तरह का दाग व कटे-फटे का निशान न हो।
ऑर्गेनिक तरीके से उगाए हुए खरबूजा मिले, तो उसे लेना अच्छा होगा।
सुरक्षित कैसे रखें :
कच्चे खरबूजे को स्टोर करने से लिए सबसे पहले उसे पेपर बैग में रखें और फिर इसे कमरे के तापमान में रख दें। जब तक खरबूजा पक न जाए, इसे ऐसे ही रहने दें। जब आपको लगे की खरबूजा पक चुका है, तो इसे फ्रिज में रख दें।
पके हुए खरबूजे को दूसरे फलों से दूर ही रखें, क्योंकि बाकी फलों के कारण इसके पकने की गति तेज हो सकती है।
पके हुए खरबूजे को लगभग 5 दिन तक फ्रिज में स्टोर किया जा सकता है।
लेख के आगे के भाग में खरबूजे का उपयोग कैसे किया जा सकता है, इसकी जानकारी दी जाएगी।
खरबूजा का उपयोग – How to Use Muskmelon in Hindi
खरबूजे को सामान्य रूप से सीधे खाने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है।
खरबूजे की स्मूदी बनाकर भी सेवन किया जा सकता है।
आप खरबूजे को अन्य फलों के साथ सलाद के रूप में भी खा सकते हैं।
कब खाएं :
खरबूजे को खाने का कोई निश्चित समय न��ीं है। इसे गर्मियों में कभी भी खाया जा सकता है। आजकल खरबूजे सर्दियों में भी मिलते हैं, लेकिन जिन्हें सर्दी-जुकाम जल्दी होता है, उन्हें इसका सेवन नहींं करना चाहिए।
कितना खा सकते हैं :
आप इच्छानुसार खरबूजे को खा सकते हैं, लेकिन खाने की मात्रा सीमित रखें, वरना इसके नीचे बताए जा रहे दुष्प्रभावों का सामना करना पड़ सकता है।
खरबूजा के नुकसान – Side Effects of Muskmelon in Hindi
खरबूजे खाने के फायदे तो अनेक हैं, लेकिन इसे खाने से कुछ नुकसान भी हो सकते हैं। इस संबंध में हम कुछ बिंदुओं की सहायता से जान सकते हैं।
खरबूजा के अधिक मात्रा में सेवन करने से एलर्जी हो सकती है (28)।
कुछ लोगों को खरबूजे के सेवन से सर्दी और खांसी भी हो सकती है, क्योंकि यह ठंडा होता है, लेकिन इस पर अभी और शोध की आवश्यकता है।
खरबूजा फाइबर युक्त होता है और फाइबर की अत्यधिक मात्रा गैस और पेट में सूजन का कारण बन सकती है (2) (29)।
अब तो आप खरबूजे के उपयोग और उसके फायदे के बारे में अच्छे से जान ही गए होंगे। साथ ही आपको इस बात की भी जानकारी हो गई होगी कि इसका उपयोग किन बीमारियों में लाभदायक सिद्ध हो सकता है। वहीं, लेख में आपको इससे संबंधित घरेलू उपयोग और तरीकों के बारे में भी बताया गया है। साथ ही इसके चयन और इसे लंबे समय तक सुरक्षित रखने के बारे में भी विस्तार से जानकारी दी गई है। इसलिए, अगर आप भी इसे नियमित प्रयोग करने का मन बना रहे हैं, तो पहले लेख में दी गई सभी जानकारियों को अच्छे से पढ़ लें। बाद में इसके इस्तेमाल के तरीकों को अपनाएं।
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Bhupendra Verma
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