26-04-2024 “अव्यक्त-बापदादा” मधुबन प्रात: मुरली : “मीठे बच्चे - शरीर निर्वाह अर्थ कर्म करते हुए बेहद की उन्नति करो, जितना अच्छी रीति बेहद की पढ़ाई पढ़ेंगे, उतनी उन्नति होगी”
“निगेटिव सोचने का रास्ता बंद कर दो तो सफलता स्वरूप बन जायेंगे। - ओम् शान्ति।
प्रश्नः तुम बच्चे जो बेहद की पढ़ाई पढ़ रहे हो, इसमें सबसे ऊंच डिफीकल्ट सब्जेक्ट कौन-सी है?
उत्तर:- इस पढ़ाई में सबसे ऊंची सब्जेक्ट है भाई-भाई की दृष्टि पक्की करना। बाप ने ज्ञान का जो तीसरा नेत्र दिया है उस नेत्र से आत्मा भाई-भाई को देखो। जरा भी आंखे धोखा न दें। किसी भी देहधारी के नाम-रूप में बुद्धि न जाये। बुद्धि में जरा भी विकारी छी-छी सकंल्प न चलें। यह है मेहनत। इस सब्जेक्ट में पास होने वाले…
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अव्यक्त मुरली-0159 “रिफ़ाइन स्थिति की पहचान”रिवाइज: 12-06-72 मधुबन/BK DR...
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https://youtu.be/RerLEE_p2ws
❤️@MAHAPARIVARTAN❤️
🌺 Aaj Ki Murli 🌺
☘️ 22 Nov 2021 ☘️
🇲🇰 "साकार मुरली" ॐ शान्ति 🇲🇰
🌹☘️"बापदादा"' मधुबन☘️🌹
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╔═ ✺ ══════════════╗ !! जय श्री कृष्णा !! ╚══════════════ ✺ ═╝ शुभ संध्या अभिनंदन 20 नवंबर 2021 शनिवार कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के नीचे, एक दिन नाच रहे मधुबन में, मुरली बजा रहे छलिया कदम पेड़ पे चढ़के, कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के नीचे॥ एक दिन नाचे जमुना तट पे, चीर चुराए रहे रे छलिया कदम पेड़ पे चढ़के, कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के नीचे॥ एक दिन नाचे ग्वालों के संग में, माखन चुराए रहे रे छलिया चड़ छीके पे चढ़के, कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के नीचे॥ एक दिन नाचे काली देह पे, छम छम नाच रहे रे छलिया वो नागों के फन पर, कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के नीचे॥ एक दिन नाचे वृंदावन में, रास रचाए रहे रे छलिया वो राधा के संग में, कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के नीचे॥ एक दिन नाचे मीरा के संग में, अमृत पिला रहे रे छलिया कदम पेड़ के नीचे, कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के नीचे॥ ╔═ ✺ ══════════════╗ !! जय श्री राधे कृष्णा !! ╚══════════════ ✺ ═╝ 🦚🌈[ श्री भजन सरिता ]🦚🌈 🙏🌹🙏जय श्री राधे कृष्ण🙏🌹🙏 ●▬▬▬▬▬ஜ۩۞۩ஜ▬▬▬▬▬● 💐🌼🌺🛕[श्री भक्ति ग्रुप मंदिर]🛕🌺🌼💐 ●▬▬▬▬▬ஜ۩۞۩ஜ▬▬▬▬▬● (at श्री भजन सरिता) https://www.instagram.com/p/CWiW2uCIhUU/?utm_medium=tumblr
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!! जय श्री कृष्णा !!
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शुभ संध्या अभिनंदन
20 नवंबर 2021 शनिवार
कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के नीचे,
एक दिन नाच रहे मधुबन में,
मुरली बजा रहे छलिया कदम पेड़ पे
चढ़के,
कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के
नीचे॥
एक दिन नाचे जमुना तट पे,
चीर चुराए रहे रे छलिया कदम पेड़ पे
चढ़के,
कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के
नीचे॥
एक दिन नाचे ग्वालों के संग में,
माखन चुराए रहे रे छलिया चड़ छीके पे
चढ़के,
कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के
नीचे॥
एक दिन नाचे काली देह पे,
छम छम नाच रहे रे छलिया वो नागों के
फन पर,
कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के
नीचे॥
एक दिन नाचे वृंदावन में,
रास रचाए रहे रे छलिया वो राधा के संग
में,
कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के
नीचे॥
एक दिन नाचे मीरा के संग में,
अमृत पिला रहे रे छलिया कदम पेड़ के
नीचे,
कृष्ण नाच रहे छलिया कदम पेड़ के
नीचे॥
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!! जय श्री राधे कृष्णा !!
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एक राधा एक मीरा EK RASHA EK MEERA LYRICS - Lata Mangeshkar
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Ek Radha Ek Meera Lyrics in Hindi and English from the movie Ram Teri Ganga Maili, sung by Lata Mangeshkar, lyrics is written by Ravindra Jain and music created by Ravindra Jain. Starring Rajiv Kapoor, Mandakini, Raza Murad.
Song: Ek Radha Ek Meera Lyrics
Movie: Ram Teri Ganga Maili
Singer: Lata Mangeshkar
Music: Ravindra Jain
Lyrics: Ravindra Jain
Director: Raj Kapoor
Producer: Randhir Kapoor
Music Label:: Saregama India Ltd.
Ek Radha Ek Meera Lyrics in Hindi
एक राधा, एक मीरा दोनों ने श्याम को चाहा
अंतर क्या दोनों की चाह में बोलो
अंतर क्या दोनों की चाह में बोलो
एक प्रेम दीवानी, एक दरस दीवानी
एक प्रेम दीवानी, एक दरस दीवानी
एक राधा, एक मीरा दोनों ने श्याम को चाहा
अंतर क्या दोनों की चाह में बोलो
अंतर क्या दोनों की चाह में बोलो
एक प्रेम दीवानी, एक दरस दीवानी
एक प्रेम दीवानी, एक दरस दीवानी
राधा ने मधुबन में ढूँढा
मीरा ने मन में पाया
राधा जिसे खो बैठी वो गोविन्द
मीरा हाथ बिक आया
एक मुरली, एक पायल, एक पगली, एक घायल
अंतर क्या दोनों की प्रीत में बोलो
अंतर क्या दोनों की प्रीत में बोलो
एक सूरत लुभानी, एक मूरत लुभानी
एक सूरत लुभानी, एक मूरत लुभानी
एक प्रेम दीवानी, एक दरस दीवानी
मीरा के प्रभु गिरिधर नागर
राधा के मनमोहन
सा गा मा पा धा
पा धा मा पा रे मा गा
धा रे सा नि धा रे रे गा मा
गा पा मा पा धा पा सा नी सा रे
आ..
मीरा के प्रभु गिरिधर नागर
राधा के मनमोहन
राधा नित श्रृंगार करे, और मीरा बन गयी जोगन
एक रानी एक दासी, दोनों हरि प्रेम की प्यासी
अंतर क्या दोनों की तृप्ति में बोलो
अंतर क्या दोनों की तृप्ति में बोलो
एक जीत न मानी, एक हार न मानी
एक जीत न मानी, एक हार न मानी
एक राधा, एक मीरा दोनों ने श्याम को चाहा
अंतर क्या दोनों की चाह में बोलो
अंतर क्या दोनों की चाह में बोलो
एक प्रेम दीवानी, एक दरस दीवानी
एक प्रेम दीवानी, एक दरस दीवानी
एक प्रेम दीवानी, एक दरस दीवानी
Ek Radha Ek Meera Lyrics in English
Ek Radha, Ek Meera Dono Ne Shyam Ko Chaha
Antar Kya Dono Ki Chah Mein Bolo
Antar Kya Dono Ki Chah Mein Bolo
Ek Prem Deewani, Ek Daras Deewani
Ek Prem Deewani, Ek Daras Deewani
Ek Radha, Ek Meera Dono Ne Shyam Ko Chaha
Antar Kya Dono Ki Chah Mein Bolo
Antar Kya Dono Ki Chah Mein Bolo
Ek Prem Deewani, Ek Daras Deewani
Ek Prem Deewani, Ek Daras Deewani
Radha Ne Madhuban Mein Dhoondha
Meera Ne Mann Me Paya
Radha Jise Kho Baithi Wo Govind
Mira Hath Bik Aaya
Ek Murli, Ek Payal, Ek Pagli, Ek Ghayal
Antar Kya Dono Ki Preet Mein Bolo
Antar Kya Dono Ki Preet Mein Bolo
Ek Surat Lubhani, Ek Murat Lubhani
Ek Surat Lubhani, Ek Murat Lubhani
Ek Prem Deewani, Ek Daras Deewani
Meera Ke Prabhu Giridhar Naagar
Radha Ke Manmohan
Sa Ga Ma Pa Dha
Pa Dha Ma Pa Re Ma Ga
Dha Re Sa Ni Dha Re Re Ga Ma
Ga Pa Ma Pa Dha Pa Sa Ni Sa Re
Aa..
Meera Ke Prabhu Giridhar Naagar
Radha Ke Manmohan
Radha Nit Shringar Kare, Aur Meera Ban Gayi Jogan
Ek Rani Ek Dasi, Dono Hari Prem Ki Pyasi
Antar Kya Dono Ki Tripti Mein Bolo
Antar Kya Dono Ki Tripti Mein Bolo
Ek Jeet Na Maani, Haar Na Maani
Ek Jeet Na Maani, Haar Na Maani
Ek Radha, Ek Meera Dono Ne Shyam Ko Chaha
Antar Kya Dono Ki Chah Mein Bolo
Antar Kya Dono Ki Chah Mein Bolo
Ek Prem Deewani, Ek Daras Deewani
Ek Prem Deewani, Ek Daras Deewani
More Krishna Bhajan
गोविन्द बोलो Govind Bolo
फूलों में सज रहे हैं Phoolon Mein Saj Rahe Hain
Kabhi Ram Banke Kabhi Shayam Banke
Krishna Krishna Hai
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19-04-2024 “अव्यक्त-बापदादा” मधुबन प्रात: मुरली : “मीठे बच्चे - बाप आये हैं सारी दुनिया का हाहाकार मिटाकर जयजयकार करने - पुरानी दुनिया में है हाहाकार, नई दुनिया में है जयजयकार”
“बापदादा के राइट हैण्ड बनो, लेफ्ट हैण्ड नहीं।" - ओम् शान्ति।
प्रश्नः कौन-सा ईश्वरीय नियम है जो गरीब ही बाप का पूरा वर्सा लेते, साहूकार नहीं ले पाते?
उत्तर:- ईश्वरीय नियम है – पूरा बेगर बनो, जो कुछ भी है उसे भूल जाओ। तो गरीब बच्चे सहज ही भूल जाते हैं परन्तु साहूकार जो अपने को स्वर्ग में समझते हैं उनकी बुद्धि में कुछ भूलता नहीं इसलिए जिनको धन, दौलत, मित्र, सम्बन्धी याद रहते वह सच्चे योगी बन ही नहीं सकते हैं। उन्हें स्वर्ग में ऊंच पद नहीं मिल सकता।
गीत:-…
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17-02-2024 “अव्यक्त-बापदादा” मधुबन प्रात: मुरली : “मीठे बच्चे - यह बना-बनाया नाटक है, इस नाटक से एक भी आत्मा छूट नहीं सकती, मोक्ष किसी को मिल नहीं सकता”
“विघ्न रूप नहीं, विघ्न-विनाशक बनो।" - ओम् शान्ति।
प्रश्नः ऊंचे ते ऊंचा पतित-पावन बाप भोलानाथ कैसे है?
उत्तर:- तुम बच्चे उन्हें चावल मुट्ठी दे महल ले लेते हो, इसलिए ही बाप को भोलानाथ कहा जाता है। तुम कहते हो शिवबाबा हमारा बेटा है, वह बेटा ऐसा है जो कभी कुछ लेता नहीं, सदा ही देता है। भक्ति में कहते हैं जो जैसा कर्म करता है वैसा फल पाता है। परन्तु भक्ति में तो अल्पकाल का मिलता। ज्ञान में समझ से करते इसलिये सदाकाल का मिलता है।
गीत:- हमें उन राहों…
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17-02-2024 “अव्यक्त-बापदादा” मधुबन प्रात: मुरली : “मीठे बच्चे – तुम्हें याद के बल से पावन बन ऊंच पद पाना है”
भगवानुवाच: “मीठे बच्चे – तुम्हें याद के बल से पावन बन ऊंच पद पाना है” - ओम् शान्ति!
प्रश्नः बाप रूहानी सर्जन है, वह तुम्हें कौन-सा धीरज देने आये हैं?
उत्तर:- जैसे वह सर्जन रोगी को धीरज देते हैं कि अभी बीमारी ठीक हो जायेगी, ऐसे रूहानी सर्जन भी तुम बच्चों को धीरज देते हैं – बच्चे, तुम माया की बीमारी से घबराओ नहीं, सर्जन दवा देते हैं तो यह बीमारियां सब बाहर निकलेंगी, जो ख्यालात अज्ञान में भी नहीं आये होंगे, आयेंगे। लेकिन तुम्हें सब सहन करना है। थोड़ा मेहनत करो, तुम्हारे अब सुख के…
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17-02-2024 ”Avyakt-BapDada” Madhuban Morning Murli: “Sweet children – You have to become pure with the power of remembrance and claim a high status.”
“You are children of the great Father and so do not allow your hearts to shrink or be afraid in trivial matters.” - Om Shanti.
Question:- The Father is the spiritual Surgeon. What type of patience has He come to give you?
Answer:- “Just as those surgeons reassure their patients and give them patience, saying that they will soon get better, in the same way, the spiritual Surgeon also reassures you children: Children, don’t be afraid of any illness of Maya. The Surgeon is giving you the medicine so that all of those…
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09-10-2022 “अव्यक्त-बापदादा” मधुबन प्रात: मुरली : “भविष्य विश्व-राज्य का आधार - संगमयुग का स्वराज्य”
स्लोगन:- “नाज़ुक परिस्थितियों में घबराने के बजाए उनसे पाठ पढ़कर स्वयं को परिपक्व बना लो। “ - ओम् शान्ति।
शिव भगवानुवाच: “भविष्य विश्व-राज्य का आधार – संगमयुग का स्वराज्य”
गीत:- “जीवन के दाता” – “Bestower Of Life” – BK Song
गीत:- “जीवन के दाता” – “Bestower Of Life” – BK Song.
“ओम् शान्ति”
शिव भगवानुवाच : – आज विश्व-रचता बापदादा अपने सर्व स्वराज्य अधिकारी बच्चों को देख रहे हैं। इस वर्तमान संगमयुग के स्वराज्य अधिकारी और भविष्य में विश्व-राज्य अधिकारी बनते हो क्योंकि स्वराज्य से ही विश्व के राज्य का…
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21-12-2023 “अव्यक्त-बापदादा” मधुबन प्रात: मुरली : “मीठे बच्चे – शिवबाबा के सिवाए तुम्हारा यहाँ कुछ भी नहीं”
"हर आत्मा के संबंध-सम्पर्क में आते कभी चित के अन्दर यह प्रश>> उत्पन्न न हो कि यह ऐसा क्यों करता वा क्यों कहता, यह बात ऐसे नहीं, ऐसे होनी चाहिए। जो इन प्रश्नों से पार रहते हैं वही सदा प्रसन्नचित रहते हैं।"- ओम् शान्ति।
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23-9-2023 “अव्यक्त-बापदादा” मधुबन प्रात: मुरली : “मीठे बच्चे – आत्मा और परमात्मा का यथार्थ ज्ञान तुम्हारे पास है”
शिव भगवानुवाच : “मीठे बच्चे - आत्मा और परमात्मा का यथार्थ ज्ञान तुम्हारे पास है, इसलिए तुम्हें ललकार करनी है, तुम हो शिव शक्तियां"- ओम् शान्ति।
शिव भगवानुवाच : “मीठे बच्चे – आत्मा और परमात्मा का यथार्थ ज्ञान तुम्हारे पास है, इसलिए तुम्हें ललकार करनी है, तुम हो शिव शक्तियां”
प्रश्नः सबसे ऊंची मंज़िल कौन सी है, जिसका ही तुम बच्चे पुरुषार्थ कर रहे हो?
उत्तर:- निरन्तर याद में रहना – यह है सबसे ऊंची मंजिल। याद से ही कर्मभोग चुक्तू हो कर्मातीत अवस्था होगी। जिस मात–पिता से अपार सुख मिल रहे हैं, उनके लिये बच्चे कहते – बाबा, आपकी याद भूल जाती…
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16-4-2023 – ”अव्यक्त-बापदादा” मधुबन मुरली. रिवाइज: 3-04-1994: “सन्तुष्टताकाआधार - सम्बन्ध सम्पत्तिऔरसेहत (तन्दुरुस्ती)”
स्लोगन:- “स्लोगन:- मनन शक्ति के अनुभवी बनो तो ज्ञान धन बढता रहेगा। “ - ओम् शान्ति।
शिव भगवानुवाच: “सन्तुष्टता का आधार – सम्बन्ध सम्पत्ति और सेहत (तन्दुरुस्ती)”
गीत:- “हम खुश नसीब कितने…”-
Shiv God Supreem, परमपिता परमात्मा शिव
“ओम् शान्ति”
आज दिलाराम बाप अपने सदा सन्तुष्ट रहने वाली सन्तुष्ट आत्माओं व सन्तुष्ट मणियों को देख रहे हैं। ये रूहानी मणियों की चमक सारे दरबार को चमका रही है। सन्तोषी आत्मायें स्वयं को भी प्रिय और सर्व को भी प्रिय और बाप को तो प्रिय हैं ही। तो ऐसे हो…
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15-4-2023 “अव्यक्त-बापदादा” मधुबन प्रात: मुरली : “मीठे बच्चे – एक दो को खुशी की खुराक खिलाते रहो”
स्लोगन:- “जहाँ एकता और एकाग्रता की शक्ति है वहाँ सफलता सहज प्राप्त होती है।“ - ओम् शान्ति।
शिव भगवानुवाच : “एक दो को खुशी की खुराक खिलाते रहो, सदा खुशमौज़ में रहना और खुशी बांटना, यही है जब-रदस्त खातिरी करना”
प्रश्नः अपनी ऊंची अवस्था बनाने की विधि क्या है? किन मुख्य बातों का ध्यान रखना है?
उत्तर:- ऊंची अवस्था बनानी है तो ..
नष्टोमोहा बनने की हिम्मत रखनी है।
अपना चार्ट रखना है कि बाबा को याद करते समय उनसे क्या–क्या बातें की? कितना समय याद किया?
नींद को जीतने वाला बनना है।
पुराने…
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