Tumgik
#भेदिया
Text
SOS, उ भेस में बाड़ी । भेस में एगो ऊ भेदिया बा । बाहर आवत, बाहर आवत, बाहर आवत बाड़न । एगो पालतू लइकी, हमरा से बस इहे पूछत बाड़S । डार्लिंग ई कवनो मजाक नइखे, ई लाइकेंथ्रोपी ह । चाँद के अब जाग गईल बा, आँख खुलल बा । हमरा देह के तृष्णा बा, अइसन भूखल के खियावे । हम सोम्मार से सोम्मार आ शुक्रवार से सुक्क के आपन समर्पित करत रहलीं । हमरा के एकरा पर राखे खातिर पर्याप्त प्रतिशोध भा सभ्य प्रोत्साहन ना मिलल । हमरा बस थोड़े गाली महसूस होखे लागल बा जइसे कवनो आफिस में कॉफी मशीन । त हम कहीं आरामदायक जाके हमरा के एगो प्रेमी ले आके रउवा सब के इ बात बता देब । कोठरी में एगो ऊ भेदिया बा । खोल के आजाद कर दीं । तहरा कोठरी में एगो ऊ भेदिया बा । बाहर निकले दीं, जवना से ई सांस ले सके । एगो बार के पार बइठल, अपना शिकार के ठीक निहारत रहे । अब तक त बढ़िया चलत बा, उ आपन राह पावे वाली बाड़ी। निशाचर जीव एतना विवेकी नइखे । चाँद हमार टीचर ह, आ हम ओकर स्टूडेंट हईं । अकेले आदमी के पता लगावे खातिर हम हमरा पर एगो खास रडार लगा लिहले रहीं । आ फायर डिपार्टमेंट के हॉटलाइन, बाद में मुसीबत में पड़े के स्थिति में । प्यारा छोट डिवो ना खोजत रहे ।
0 notes
manaschintan · 1 year
Text
मानस चिंतन,सलाह,दसमुख कहा मरमु तेहिं सुना। पुनि पुनि कालनेमि सिरु धुना।।
कालनेमि की रावण को सलाह- रावण का एक भेदिया दूत वानरी सेना मे प्रविष्ट हो गया। उसने यह सब बाते देखी सुनी,  उसने रावण  को  जाकर सब भेद बता  दिया कि सूर्योदय के पहिले यदि संजीवनी बूटी  मिल जाय तो लक्ष्मण जी सकते हैं। अतः हनुमान  जी बूटी को  लेने चल पडे, रावण ने देखा कि इस समय कालनेमि (नेमि =चक्र ,घेरा) का काम है। इसके जैसा ऐसा मायावी लंका  मे कोई नहीं है। पर इस समय उसका झुकाव निवृत्ति की ओर  है। वह इच्छापूर्वक (प्रवंचन=धोखेवाजी ,ठगी)कर्म  में प्रवृत्त नही होगा। यदि मे स्वयं उसके पास जाऊँ तभी कालनेमि इस काम को कर सकता है। अत. रावण  स्वयं उठकर कालनेमि के पास गये। अपने स्वार्थ के लिए जब किसी के बलि की आवश्यकता होती है तब रावण स्वयं  उसके पास जाता है। स्वार्थ साधने में रावण अभिमान को स्थान  ही नहीं देते है  मारीच के पास भी इसी भाँति गया  था। रावण ने वही भेद कालनेमि से कहा जो दूत से सुना था। मरम यह कि तुम हनुमान जी का रास्ता रोको। हनुमान को पहाड़ तक रात में ना जाने  पावे  बस इतने ही मे शत्रु की  पराजय निश्चित है। रावण से कालनेमि ने मर्म  सुना, और अपना सिर बार बार पीटने लगा लगा  और बोला कि जब सिंहिका की माया हनुमानजी पर  न चली तब मेरी माया  क्या चलेगी । अवश्य ही मेरा मरण होगा; यह समझकर उसे अत्यन्त ढुःख हुआ इसी से सिर पीटने लगा और बोला  तुम्हारे देखते जिसने नगर जला दिया उसके रास्ते को कौन  रोक सकता है।कालनेमि ने रावण से कहा है कि मेरे प्राण न बचेंगे जैसे मारीच के नही बचे थे हनुमान का रास्ता कौन रोक सकता है ? इस कार्य  में मृत्यु तो (ध्रुव =अटल, अचल) है। कार्य होना नहीं है। भाव यह कि स्वयं आप भी नही रोक सकते तो मेरी क्या गिनती है? दसमुख पद से जनाया कि अभिमान पूर्वक सब हाल कहा मानों दसों मुखों से कहा है । यथा-
दसमुख सकल कथा तेहि आगें। कही सहित अभिमान अभागें॥
दसमुख कहा मरमु तेहिं सुना। पुनि पुनि कालनेमि सिरु धुना।।
कालनेमि रावण से बोले-
Tumblr media
0 notes
sanskartut · 2 years
Text
Tu Mera Koi Na Hoke Bhi Kuch Lage Lyrics In Hindi
Tu Mera Koi Na Hoke Bhi Kuch Lage Lyrics In Hindi Tu Mera Koi Na Lyrics Arijit Singh | Tu Mere Koi Na Hoke Bhi Kuch Laage Lyrics Bhediya Tu Mera Koi Na Hoke Bhi Kuch Lage Lyrics: Tu Mera Koi Na Hoke Bhi Kuch Lage Lyrics In Hindi आखिरकार प्रतीक्षित वरुण धवन और कृति सनोन स्टारर फिल्म भेदिया का एक और खूबसूरत गाना रिलीज हो गया है, जिसका शीर्षक है तू मेरा कोई ना होके भी कुछ लागे, जिसे अरिजीत सिंह…
Tumblr media
View On WordPress
0 notes
hindie24bollywood · 2 years
Text
'भेड़िया' में वरुण धवन और कृति सेनन का जलवा
‘भेड़िया’ में वरुण धवन और कृति सेनन का जलवा
भेड़िया अवलोकन, अश्विनी कुमार: वरुण धवन और कृति सेनन ने फिल्म भेदिया में कांड किया है। वहीं इस फिल्म को देखने से पहले इसका रिव्यू पढ़ना जरूरी है। 1- जंगल को बचाना होगा। 2- नॉर्थ ईस्ट के लोगों के साथ भेदभाव खत्म करना होगा। 3- लोगों और जानवरों के बीच संबंध को स्पष्ट करने के लिए। 4- लोगों की कहानियों और जंगल की मान्यताओं को परिभाषित किया जाना चाहिए। 5- वर्ल्ड क्लास वीएफएक्स को साबित करने की जरूरत…
Tumblr media
View On WordPress
0 notes
sabkuchgyan · 2 years
Text
वरुण धवन के करियर में खतरे की घंटी बजा चुके हैं भेदिया, इक्कीस समेत इन फिल्मों से रिलीज होगी तगड़ा झटका
वरुण धवन के करियर में खतरे की घंटी बजा चुके हैं भेदिया, इक्कीस समेत इन फिल्मों से रिलीज होगी तगड़ा झटका
कभी बड़े निर्माता-निर्देशक रहे करण जौहर के चाहने वाले डेविड धवन के बेटे वरुण का करियर फिल्म ‘भेड़िया’ की असफलता के बाद ऐसे मोड़ पर पहुंच गया है, जहां से उनकी राह बेहद कठिन हो गई है. ‘भेड़िया’ के प्रोड्यूसर दिनेश विजान ने उन्हें अपनी अगली फिल्म ‘इक्कीस’ से बाहर का रास्ता दिखा दिया है। करण जौहर की अपनी कंपनी की फिल्म ‘मिस्टर लेले’ बंद हो चुकी है और उनकी एक और फिल्म शुद्धि भी अधर में है। भेडिया के…
Tumblr media
View On WordPress
0 notes
trendingwatch · 2 years
Text
भेड़िया: वरुण धवन एक थिएटर में प्रशंसकों से घिरे हुए हैं। तस्वीरें देखें:
भेड़िया: वरुण धवन एक थिएटर में प्रशंसकों से घिरे हुए हैं। तस्वीरें देखें:
भेदिया ने पिछले शुक्रवार को सिनेमाघरों में दस्तक दी। वरुण धवन और कृति सनोन अभिनीत, अमर कौशिक निर्देशित एक क्रिएचर हॉरर-कॉमेडी है, जिसे कुछ शानदार समीक्षाएं मिलीं। इसकी रिलीज के बाद, वरुण धवन ने मुंबई में एक थिएटर का दौरा किया जहां उन्होंने प्रशंसकों के साथ बातचीत की। और उनकी प्रतिक्रिया अनमोल थी। वरुण धवन को ग्राफिक प्रिंट टी-शर्ट के ऊपर लेयर्ड ब्लैक लेदर जैकेट में क्लिक किया गया था। उन्होंने…
Tumblr media
View On WordPress
0 notes
mayindianews · 2 years
Text
10 बार वरुण ने अपना स्टाइल गेम बढ़ाया
10 बार वरुण ने अपना स्टाइल गेम बढ़ाया
‘भेदिया’ के प्रमोशन के दौरान वरुण धवन का फंकी अंदाज का खेल Source link
Tumblr media
View On WordPress
0 notes
telnews-in · 2 years
Text
ये तो ब्लॉकबस्टर है- वरुण धवन और कृति सेनन की 'भेड़िया' का ट्रेलर देख फैंस इम्प्रैस
ये तो ब्लॉकबस्टर है- वरुण धवन और कृति सेनन की ‘भेड़िया’ का ट्रेलर देख फैंस इम्प्रैस
वरुण धवन और कृति सेनन स्टारर फिल्म ‘भेदिया’ का ट्रेलर रिलीज हो गया है और यह बेहद आकर्षक है. इस फिल्म में वरुण धवन एक भेड़िये की भूमिका निभा रहे हैं। मेकर्स पिछले कुछ दिनों से फिल्म के कलाकारों के फर्स्ट लुक पोस्टर जारी कर रहे हैं। हाल ही में फिल्म ‘भेदिया’ का टीजर रिलीज किया गया है और अब इस फिल्म का ट्रेलर रिलीज कर दिया गया है.भेदिया में आपको वरुण धवन के डरावने और कातिलाना लुक के अलावा दमदार…
Tumblr media
View On WordPress
0 notes
indra-s-mann-blog · 5 years
Video
vimeo
History of Policing, SWAT, and SWATI.
This is a video I made about the history of policing.  My family is military/ruling cast in Sri Lanka, India, and Indonesia.  Other side of my family is more diplomatic.  Both do science research and other business or arts.
1 note · View note
parichaytimes · 3 years
Text
'शहजादा' की शूटिंग के बाद बिजी नोट पर नए साल की शुरुआत करेंगी कृति सेनन; 'गणपथ' के लिए तीव्र एक्शन दृश्यों के लिए यूके जाने के लिए पूरी तरह तैयार - टाइम्स ऑफ इंडिया
‘शहजादा’ की शूटिंग के बाद बिजी नोट पर नए साल की शुरुआत करेंगी कृति सेनन; ‘गणपथ’ के लिए तीव्र एक्शन दृश्यों के लिए यूके जाने के लिए पूरी तरह तैयार – टाइम्स ऑफ इंडिया
अभिनेत्री कृति सनोन अपने ठोस प्रदर्शन से महामारी के दौरान अपने प्रशंसकों का मनोरंजन करने में कामयाब रही। वह कई प्रोजेक्ट्स की शूटिंग में बिजी हैं। ‘ के शेड्यूल से वापस आने के बादशहज़ादा‘ अभी हाल ही में शूट हुई एक्ट्रेस फिर से टेक ऑफ करने के लिए तैयार हैं। अभिनेत्री के एक करीबी सूत्र ने साझा किया, “कृति बिना किसी ब्रेक के अभी-अभी चल रही हैं। वह न केवल सेट पर जा रही हैं, बल्कि एक शहर से दूसरे शहर…
View On WordPress
0 notes
insolubleworld · 3 years
Text
अमिताभ बच्चन ने अंधेरी में अपना डुप्लेक्स फ्लैट कृति सनोन को प्रति माह ₹ 10 लाख में किराए पर दिया - टाइम्स ऑफ इंडिया
अमिताभ बच्चन ने अंधेरी में अपना डुप्लेक्स फ्लैट कृति सनोन को प्रति माह ₹ 10 लाख में किराए पर दिया – टाइम्स ऑफ इंडिया
कृति सनोन हाल ही में सुर्खियां बटोर रही हैं क्योंकि उन्होंने मुंबई के अंधेरी में मेगास्टार अमिताभ बच्चन का डुप्लेक्स घर किराए पर लिया था। मनी कंट्रोल की एक रिपोर्ट के अनुसार, अभिनेत्री को दो साल के लिए प्रति माह ₹10 लाख का भुगतान करना होगा। हां, आपने इसे सही सुना। रिपोर्ट में आगे कहा गया है कि फ्लैट 27वीं और 28वीं मंजिल पर है। यह अंधेरी वेस्ट में लोखंडवाला रोड पर अल्टेंटिस बिल्डिंग में स्थित है।…
View On WordPress
0 notes
hbadigitech · 3 years
Text
वरुण धवन का नवीनतम धोखा भोजन हमें बड़ी लालसा दे रहा है
वरुण धवन का नवीनतम धोखा भोजन हमें बड़ी लालसा दे रहा है
यदि आपने अभी-अभी स्वस्थ आहार लेना शुरू किया है, तो आप जानते हैं कि अपने दैनिक भोजन में परिवर्तन करना कितना कठिन है। स्वस्थ विकल्प, उच्च प्रोटीन व्यंजनों को खोजने से लेकर रोजाना व्यायाम करने तक, ये चीजें शुरुआत में भारी पड़ सकती हैं। हालाँकि, समय के साथ जैसे-जैसे हम इस दिनचर्या में ढल जाते हैं, हमारे लिए इन परिवर्तनों को संभालना आसान होता जाता है। लेकिन कभी-कभी, हमारी लालसा हावी हो जाती है, और हम…
Tumblr media
View On WordPress
0 notes
newsreporters24 · 3 years
Text
Varun Dhawan's Latest Cheat Meal Is Giving Us Major Cravings
Varun Dhawan's Latest Cheat Meal Is Giving Us Major Cravings
यदि आपने अभी-अभी स्वस्थ आहार लेना शुरू किया है, तो आप जानते हैं कि अपने दैनिक भोजन में परिवर्तन करना कितना कठिन है। स्वस्थ विकल्प, उच्च प्रोटीन व्यंजनों को खोजने से लेकर रोजाना व्यायाम करने तक, ये चीजें शुरुआत में भारी पड़ सकती हैं। हालाँकि, समय के साथ जैसे-जैसे हम इस दिनचर्या में ढल जाते हैं, हमारे लिए इन परिवर्तनों को संभालना आसान होता जाता है। लेकिन कभी-कभी, हमारी लालसा हावी हो जाती है, और हम…
Tumblr media
View On WordPress
0 notes
studycarewithgsbrar · 2 years
Text
वरुण धवन ने फैंस से किया सरप्राइज सॉन्ग का वादा; मौसम के करीब आते ही दाढ़ी बढ़ा लेते हैं 'भेदिया' अपरिभाषित मूवी समाचार - टाइम्स ऑफ इंडिया
वरुण धवन ने फैंस से किया सरप्राइज सॉन्ग का वादा; मौसम के करीब आते ही दाढ़ी बढ़ा लेते हैं ‘भेदिया’ अपरिभाषित मूवी समाचार – टाइम्स ऑफ इंडिया
वरुण धवन नेटिज़न्स काफी आकर्षित हैं और प्रशंसक उन्हें उनकी फिल्मों के अलावा उनके सोशल मीडिया पोस्ट के लिए प्यार करते हैं। अभिनेता, जिनकी पिछली फिल्म ‘जुग जग जियो’ ने बॉक्स-ऑफिस पर 78 करोड़ से अधिक की कमाई की थी, अब अपनी फिल्म की रिलीज के लिए तैयार हैं।पागल‘नवंबर में। वरुण ने आज सुबह अपनी इंस्टाग्राम स्टोरी पर अपने प्रशंसकों के साथ साझा किया, “जैसा कि आप देख सकते हैं कि दाढ़ी वापस बढ़ रही है,…
Tumblr media
View On WordPress
0 notes
karanaram · 3 years
Text
🚩 अंग्रेजों के छक्के छुड़ाने वाली झलकारीबाई की जयंती को भूल गए देशवासी...22 नवम्बर 2021
🚩 महान वीरांगना झलकारीबाई को भी याद करने का दिन 22 नवम्बर है जिनकी वीरता किसी भी मायने में झाँसी की रानी लक्ष्मीबाई से कम नहीं थी, पर अफसोस उन्हें इतिहास और हमारे हृदयों में वो स्थान नहीं मिल पाया जो मिलना चाहिए था। महान वीरांगना थी झलकारीबाई जो झाँसी की रानी लक्ष्मीबाई की नियमित सेना में, महिला शाखा दुर्गा दल की सेनापति थीं। 22 नवंबर 1830 को झांसी के पास के भोजला गाँव में एक निर्धन कोली परिवार में सदोवर सिंह और जमुना देवी के घर में जन्मी झलकारी को कोई औपचारिक शिक्षा तो प्राप्त नहीं हो पाई, लेकिन उन्होंने घुड़सवारी और हथियारों का प्रयोग करने में महारत हासिल करके खुद को एक अच्छे योद्धा के रूप में विकसित कर लिया। उनकी बहादुरी ही झाँसी की सेना के सिपाही पूरन कोरी से उनके विवाह का माध्यम बनी जो अपनी वीरता के लिए पूरे झाँसी में प्रसिद्ध थे।
Tumblr media
🚩 एक बार गौरी पूजा के अवसर पर झलकारी गाँव की अन्य महिलाओं के साथ महारानी को सम्मान देने झाँसी के किले में गयीं, वहाँ रानी लक्ष्मीबाई उन्हें देख कर अवाक रह गयीं क्योंकि झलकारी बिल्कुल रानी लक्ष्मीबाई की तरह दिखती थीं (दोनों के रूप में आलौकिक समानता थी)। अन्य औरतों से झलकारी की बहादुरी के किस्से सुनकर रानी लक्ष्मीबाई बहुत प्रभावित हुईं। रानी ने झलकारी को दुर्गा सेना में शामिल करने का आदेश दिया। झलकारी ने यहाँ अन्य महिलाओं के साथ बंदूक चलाना, तोप चलाना और तलवारबाजी का प्रशिक्षण लिया।
🚩 यह वह समय था जब झांसी की सेना को किसी भी ब्रिटिश दुस्साहस का सामना करने के लिए मजबूत बनाया जा रहा था। चूँकि वे रानी लक्ष्मीबाई की हमशक्ल भी थीं इस कारण शत्रु को धोखा देने के लिए वे रानी के वेश में भी युद्ध करती थीं। अपने अंतिम समय में भी वे रानी के वेश में युद्ध करते हुए अंग्रेज़ों के हाथों पकड़ी गयीं और रानी को किले से भाग निकलने का अवसर मिल गया। कहा जाता है कि झलकारी बाई का पति पूरन किले की रक्षा करते हुए शहीद हो गया लेकिन झलकारी ने बजाय अपने पति की मृत्यु का शोक मनाने के, ब्रिटिशों को धोखा देने की एक योजना बनाई।
🚩 जब किले का पतन निश्चित हो गया तो रानी के सेनापतियों और झलकारी बाई ने उन्हें कुछ सैनिकों के साथ किला छोड़कर भागने की सलाह दी। योजनानुसार महारानी लक्ष्मीबाई एवं झलकारी दोनों पृथक-पृथक द्वार से किले के बाहर निकलीं। झलकारी ने तामझाम अधिक पहन रखा था जिस कारण शत्रु ने उन्हें ही रानी समझा और उन्हें ही घेरने का प्रयत्न किया। रानी अपने घोड़े पर बैठ अपने कुछ विश्वस्त सैनिकों के साथ झांसी से दूर निकल गई। शत्रु सेना से घिरी झलकारी भयंकर युद्ध करने लगी। एक भेदिए ने पहचान लिया और उसने भेद खोलने का प्रयत्न किया। वह भेद खोले, इसके पूर्व ही झलकारी ने उसे अपनी गोली का निशाना बनाया। दुर्भाग्य से वह गोली एक ब्रिटिश सैनिक को लगी और वह गिरकर मर गया । वह भेदिया तो बच गया पर झलकारी घेर ली गईं।
🚩 ब्रिटिश शिविर में पहुँचने पर उसने चिल्लाकर कहा कि वो जनरल ह्यूरोज़ से मिलना चाहती है। रोज़ और उसके सैनिक प्रसन्न थे कि न सिर्फ उन्होंने झांसी पर कब्जा कर लिया है बल्कि जीवित रानी भी उनके कब्ज़े में है। जनरल ह्यूरोज़, जो उसे रानी ही समझ रहा था, ने झलकारी बाई से पूछा कि उसके साथ क्या किया जाना चाहिए? तो उसने दृढ़ता के साथ कहा, मुझे फाँसी दो। एक अन्य ब्रिटिश अफसर ने कहा- “मुझे तो यह स्त्री पगली मालूम पड़ती है।” जनरल रोज ने इसका तत्काल उत्तर देते हुए कहा- “यदि भारत की एक प्रतिशत नारियाँ इसी प्रकार पागल हो जाएँ तो हम अंग्रेजों को सब कुछ छोड़कर यहाँ से चले जाना होगा।”
🚩 उधर डोली में बैठी झलकारी बाई को देखकर फिरंगी दल भौंचक्का रह गया । रानी आ गई, झांसी की रानी ने समर्पण कर दिया है, जैसी चर्चा हर सैनिक कर रहा था। डोली जैसे ही सेना के बीच पहुंची, गद्दार दूल्हाजू ने शोर मचा दिया कि अरे यह रानी नहीं है झलकारी है। उसके बताने पर पता चला कि यह रानी लक्ष्मीबाई नहीं बल्कि महिला सेना की सेनापति झलकारी बाई है जो अंग्रेजी सेना को धोखा देने के लिए रानी लक्ष्मीबाई बन कर लड़ रही है। ब्रिटिश सेनापति रोज ने झलकारी को डपटते हुए कहा- “आपने रानी बनकर हमको धोखा दिया है और महारानी लक्ष्मीबाई को यहाँ से निकालने में मदद की है। आपने हमारे एक सैनिक की भी जान ली है। मैं भी आपके प्राण लूँगा।”
🚩 झलकारी ने गर्व से उत्तर देते हुए कहा- “मार दे गोली, मैं प्रस्तुत हूँ।” सैनिक डोली पर झपटे कि झलकारी तुरन्त घोड़े पर सवार हो गई। तलवार म्यान से बाहर निकाल कर मारकाट करने लगी। ह्यूरोज जमीन पर गिर पड़ा, घबराकर बोला बहादुर औरत शाबास। जिस रानी की नौकरानी इतनी बहादुर है वह रानी कैसी होगी। झलकारी बाई ने बढ़ती हुई अंग्रेज सेना को रोका और द्रुतगति से मारकाट करने लगी। काफी संघर्ष के बाद जनरल रोज ने झलकारी को एक तम्बू में कैद कर लिया। इसके आगे इस विषय पर कुछ मतभेद है कि झलकारी बाई का अंत कैसे हुआ।
🚩 वृंदावनलाल वर्मा, जिन्होंने पहली बार झलकारीबाई का उल्लेख उनकी “झांसी की रानी” पुस्तक में किया था, के अनुसार रानी और झलकारीबाई के संभ्रम का खुलासा होने के बाद ह्यूरोज ने झलकारीबाई को मुक्त कर दिया था। उनके अनुसार झलकारी बाई का देहांत एक लंबी उम्र जीने के बाद हुआ था (उनके अनुसार उन्होंने खुद झलकारीबाई के नाती से जानकारी ली थी)। बद्री नारायण अपनी 'Women heroes and Dalit assertion in north India: culture, identity and politics' नाम की किताब में वर्माजी से सहमत दिखते हैं। इस किंवदंती के अनुसार जनरल ह्यूरोज झलकारी का साहस और उसकी नेतृत्व क्षमता से बहुत प्रभावित हुआ और उसने झलकारी बाई को रिहा कर दिया था पर वो अंग्रेज जिन्होंने लाखों निर्दोष मनुष्यों और अनगिनत क्रांतिकारियों को क्रूर तरीकों से मारा था उनसे इस काम की आशा की ही नहीं जा सकती अतः यह केवल एक कयास मात्र लगता है।
🚩 दूसरे पक्ष के कुछ इतिहासकारों का कहना है कि उन्हें अंग्रेजों द्वारा फाँसी दे दी गई, वहीं कुछ का कहना है कि उनका जीवन अंग्रेजों की कैद में समाप्त हुआ। इसके विपरीत कुछ इतिहासकार मानते हैं कि झलकारी इस युद्ध के दौरान वीरगति को प्राप्त हुई जो कि सही मालूम पड़ता है। श्रीकृष्ण सरल ने अपनी 'Indian revolutionaries: a comprehensive study', 1757-1961, Volume- 1 पुस्तक में उनकी मृत्यु लड़ाई के दौरान हुई थी, ऐसा वर्णित किया है। अखिल भारतीय युवा कोली राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. नरेशचन्द्र कोली के अनुसार 4 अप्रैल 1857 को झलकारी बाई ने वीरगति प्राप्त की।
🚩 झलकारी बाई की गाथा आज भी बुंदेलखंड की लोकगाथाओं और लोकगीतों में सुनी जा सकती है। वीरांगना झलकारी बाई का सबसे पहले उल्लेख बुन्देलखण्ड के सुप्रसिद्ध साहित्यिक इतिहासकार वृन्दावन लाल वर्मा ने अपने उपन्यास लक्ष्मीबाई में किया था जिसके बाद में धीरे-धीरे अनेक विद्वानों, साहित्यकारों, इतिहासकारों ने झलकारी के स्वतन्त्रता संग्राम के योगदान का उद्घाटित किया। अरुणाचल प्रदेश के राज्यपाल (21-10-1993 से 16-05-1999 तक) और श्री माता प्रसाद ने झलकारी बाई की जीवनी की रचना की है। इसके अलावा चोखेलाल वर्मा ने उनके जीवन पर एक वृहद काव्य लिखा है, मोहनदास नैमिशराय ने उनकी जीवनी को पुस्तकाकार दिया है और भवानी शंकर विषारद ने उनके जीवन परिचय को लिपिबद्ध किया है।
🚩 झलकारी बाई का विस्तृत इतिहास भारत सरकार के सूचना एवं प्रसारण के प्रकाशन विभाग ने झलकारी बाई शीर्षक से ही प्रकाशित किया है। झांसी के इतिहासकारों में से अधिकतर ने वीरांगना झलकारी बाई को नियमित स्वतन्त्रता संग्राम के इतिहास में सम्मिलित नहीं किया किन्तु बुन्देली के सुप्रसिद्ध गीतकार महाकवि अवधेश ने झलकारी बाई शीर्षक से एक नाटक लिखकर वीरांगना झलकारीबाई की ऐतिहासिकता प्रमाणित की है।
🚩 वीरांगना झलकारी बाई के प्रथम स्वतन्त्रता संग्राम में दिये गये योगदान से देश का अधिकतर जनमानस तो परिचित नहीं है किन्तु एक नकारात्मक घटना ने उन्हें कम से कम बुंदेलखंड क्षेत्र में जन-जन से परिचित करा दिया। हुआ यों कि मार्च 2010 में आगरा के दो प्रकाशकों- चेतना प्रकाशन और कुमार पब्लिकेशन ने बुन्देलखण्ड विश्वविद्यालय, झांसी के पाठ्यक्रम के अनुसार एक पुस्तक प्रकाशित की जिसमें उन्होंने बहुविकल्पीय प्रश्नों में वीरांगना झलकारी को नर्तकी की श्रेणी में प्रकाशित कर वीरांगना को अपमानित करने का प्रयास किया।
🚩 इन दोनों प्रकाशनों का राजनैतिक व्यक्तियों, सामाजिक संगठनों, बुद्धजीवियों, साहित्यकारों, पत्रकारों ने कड़ा विरोध किया और प्रकाशक के विरोध में समाज के विभिन्न क्षेत्रों से व्यक्त किये गये आक्रोश से स्वयंसिद्ध हो गया कि राष्ट्र के लिए त्याग और बलिदान की मिसाल पेश करने वाली वीरांगना को नर्तकी की श्रेणी में रखना केवल वीरांगना झलकारीबाई का ही अपमान नहीं था बल्कि झांसी की रानी लक्ष्मीबाई, भारतीय स्वतन्त्रता संग्राम और देश की आजादी के लिए प्राण न्यौछावर करने वाले शहीदों का घोर अपमान था। लोगों का गुस्सा तब शान्त हुआ जब झांसी के मण्डलायुक्त के आदेश पर प्रकाशक के विरूद्ध मुकदमा पंजीकृत हो गया। वीरांगना झलकारी बाई के बारे में इस प्रकार की अपमान जनक टिप्पणी प्रकाशित करने के पहले भले ही आम जनमानस उनके योगदान को न जानता रहा हो किन्तु उस समय से समाज के सजग पाठक अवश्य परिचित हो गये हैं।
🚩 यूँ तो भारत सरकार ने 22 जुलाई 2001 में झलकारी बाई के सम्मान में एक डाक टिकट जारी किया है था परन्तु कड़वा सच यही है कि हम कृतघ्नों ने अपने इन महान पूर्वजों को बिसरा दिया और ख़ास तौर पर उन्हें जिनका सम्बन्ध तथाकथित उच्च वर्ग से नहीं था। हमें अपनी इस गलती को सुधारना चाहिए और इन महान आत्माओं को उचित स्थान देना चाहिए। त्याग और बलिदान की अनूठी मिसाल पेश करने वाली वीरांगना झलकारीबाई को शत शत नमन एवं विनम्र श्रद्धांजलि।
🚩 राष्ट्रकवि मैथिलीशरण गुप्त ने झलकारी की बहादुरी को निम्न प्रकार पंक्तिबद्ध किया है-
जा कर रण में ललकारी थी, वह तो झाँसी की झलकारी थी।
गोरों से लड़ना सिखा गई, है इतिहास में झलक रही,
वह भारत की ही नारी थी।
1 note · View note
sabkuchgyan · 2 years
Text
दृश्यम-2 को सिर्फ एक ह��्ता बचा है जानिए कितनी है सुपरहिट बनने की गुंजाइश?
दृश्यम-2 को सिर्फ एक हफ्ता बचा है जानिए कितनी है सुपरहिट बनने की गुंजाइश?
अजय देवगन और अक्षय खन्ना स्टारर दृष्टि 2 लगातार चर्चा में है। दृश्यम-2 फिल्म 18 नवंबर को सिनेमाघरों में रिलीज होने जा रही है. फिल्म का पहले दिन का कलेक्शन भले ही शानदार हो लेकिन कहानी में ट्विस्ट यह है कि फिल्म को कमाई के लिए सिर्फ एक हफ्ता ही मिल सकता है। उसके बाद फिल्म के लिए पैसे कमाना थोड़ा मुश्किल होगा। अजय देवगन के पास एक सप्ताह का समय है दरअसल, वरुण धवन और कृति सेनन स्टारर ‘भेदिया’ फिल्म…
Tumblr media
View On WordPress
0 notes