#बेसन की कढ़ी
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Kadhi recipe in hindi - कढ़ी बनाने की विधि
वैसे तो हम लोग रोज़ ही दाल सब्जियां खाते हैं लेकिं कभी कभी कुछ अलग खाने का मन होता है तो हम कढी बना सकते है वेजिटेरियन हो या नॉन वेजिटेरियन हो सभी को कढी बहुत ही पसंद है यह बेसन और प्याज के पकोड़े से और बेसन के ही ग्रेवी से तैयार किया जाता है । read more
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मीरा कपूर की लविंग लंच की भरमार थी डेलिश घर का खाना (देखें तस्वीर)
मीरा कपूर की लविंग लंच की भरमार थी डेलिश घर का खाना (देखें तस्वीर)
मीरा कपूर का दिलकश लंच आपको मदहोश कर देगा!छवि @ चमत्कार.कपूर द्वारा इंस्टाग्राम घर का खान या घर का बना खाना अपने आप में एक उग्र प्रशंसक है। घर पर तैयार किए जाने वाले खाने के बारे में कुछ ऐसा ही सुकूनदायक और स्वादिष्ट है। ताजा सामग्री और परिवार के व्यंजनों के साथ, घर का बना भोजन एक पौष्टिक और पूर्ण भोजन के लिए बनाता है। करिश्मा कपूर से लेकर विक्की कौशल, घर का बना साधारण भोजन या घर का खान निश्चित…
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#घर का खान#घर का बना खाना#चमत्कार कपूर#चमत्कार कपूर इंस्टाग्राम पोस्ट#दम आलू#दाल तड़का#बेसन की कढ़ी#भरवां परांठा#मटर परांठा#मीरा कपूर आहार#मीरा कपूर खाना#मीरा कपूर खाना बनाना
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एक कढ़ी रेसिपी जो एक पारिवारिक विरासत रेसिपी है और सुपर स्वादिष्ट लगती है। यह शानदार कढ़ी पकोड़ा प्याज पकोड़ा के साथ पारंपरिक पंजाबी कढ़ी बनाने की मेरी सास की क़ीमती रेसिपी है। यहाँ कुरकुरे प्याज के पकोड़े एक मसालेदार, नमकीन, खट्टी दही की चटनी में डुबोए गए हैं। एक ऐसी रेसिपी जो वह युगों से बनाती आ रही हैं और हम सभी को पसंद आती हैं।कढ़ी रेसिपी के बारे में हिंदी शब्द "कढ़ी" एक दही की चटनी को दर्शाता है जिसे काफी समय से धीरे-���ीरे पकाया जाता है। "पकोड़ा" शब्द का अर्थ है बेसन (बेसन) से बने पकोड़े। इस रेसिपी में, प्याज़, बेसन और सीज़निंग के साथ बने नमकीन, मसालेदार बैटर के साथ पकोड़े बनाए जाते हैं। उत्तर और पश्चिमी भारतीय व्यंजनों में कढ़ी बनाने की कई वैरायटी हैं। भले ही इसमें डाले गए मसाले या हर्ब्स अलग हों, लेकिन दही की चटनी ज्यादा��र बेसन से गाढ़ी होती है (इसे हिंदी में बेसन कहते हैं)�� kadhi pakora recipe,kadhi pakora,kadhi pakoda recipe,punjabi kadhi pakora recipe,kadhi recipe,pakoda kadhi recipe,punjabi kadhi pakora,kadhi,kadhi pakoda,pakoda kadhi,pakoda kadhi recipe in hindi,kadhi recipe in hindi,kadhi pakora banane ka tarika,how to make kadhi pakora,kadhi pakora recipe in hindi,punjabi kadhi pakoda recipe,punjabi kadhi,kadhi pakora recipe pakistani,pakora kadhi recipe,kadi pakoda,pakora,punjabi kadhi pakoda,kadhi chawal by Foodey Tube
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Curd recipe kadhi pakoda curd rice dahi chole dahi aloo raita gujarati kadhi in hindi neer
Curd recipe kadhi pakoda curd rice dahi chole dahi aloo raita gujarati kadhi in hindi neer
कढ़ी पकोड़ा (Kadhi Pakoda) – हर भारतीय घर में कढ़ी बनाने की परंपरा है. ज्यादातर घरों में कढ़ी को पकोड़ा डालकर तैयार किया जाता है. दही से बनने वाली ये एक स्वादिष्ट फूड रेसिपी है. इसे बनाने के लिए दही के साथ बेसन और अन्य मसालों का इस्तेमाल भी किया जाता है. Source link
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कढ़ी खाने से बढ़ता है हीमोग्लोबिन, सेहत से जुड़े ये भी हैं फायदे
कढ़ी खाने से बढ़ता है हीमोग्लोबिन, सेहत से जुड़े ये भी हैं फायदे
Besan Kadhi Benefits : बेसन की कढ़ी (Besan Kadhi) आपने कई बार खाई होगी. वैसे तो गाजर की कढ़ी, कुल्फे की कढ़ी, आलू की कढ़ी और बूंदी की कढ़ी जैसी कई और तरह की कढ़ी खाना भी लोग पसंद करते हैं. लेकिन सबसे ज्यादा पसंद की जाती है बेसन पकौड़ा कढ़ी. देश के कई राज्यों में बेसन की कढ़ी को शुभ मानते हुए कई त्योहारों और शादी-विवाह में भी बनाया और खाया जाता है. इसमें मुख्य तौर पर बेसन और दही का इस्तेमाल किया जाता…
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कैसे बेसन की कढ़ी आपके वजन को कम करने में मदद कर सकती है
बेसन की कढ़ी कई उत्तर भारतीय घरों में एक शुभ भोजन माना जाता है। इतना ही नहीं क्योंकि इसका पारंपरिक महत्व है, बेसन की कढ़ी को इसके अलग स्वाद और सुगंध के लिए बहुत से लोग पसंद करते हैं। यह विटामिन और खनिजों से भरा हुआ है और शारीरिक कार्यों और विकास में सुधार करने में मदद करता है। पकवान प्रोटीन, कैल्शियम और फास्फोरस में समृद्ध है। अगर आप कढ़ी प्रेमी हैं, तो यहां आपके लिए कुछ अच्छी खबर है। यहाँ बेसन…
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#Divyasandesh
Daily Recipe : कड़ाके की ठंड के बीच यदि बटर डला हुआ टमाटर सूप मिल जाए तो कहने की क्या...! आपको यदि टोमेटो सूप अच्छा नहीं लगता तो इसे फेंकें नहीं टोमेटो करी रेसिपी ऐसे बना लें
इंटरनेट डेस्क। सर्दियों में टमाटर सूप हर किसी को पसंद है। बटर डालने के बाद तो इसका टेस्ट और भाता है। सूप पीना जहां फायदेमंद होता है वहीं कई लोगों को टमाटर सूप का टेस्ट कुछ मीठा-सा लगता है इसलिए उन्हें टमाटर सूप पसंद नहीं आता। आज रविवार के लिए स्पेशनल रेसिपी में हम आपको टोमेटो करी रेसिपी बता रहे है। जिसे आप सूप की तरह पी भी सकते हैं और कुछ सब्जियां या फिर पनीर डालकर सब्जी की तरह बनाकर रोटी और चावल के साथ भी खा सकते हैं।
तो आइये जानते हैं टोमेटो करी रेसिपी के बारे में….
सामग्री 6 टमाटर 1 टेबल स्पून बेसन 2 कढ़ी प���्ता 250 ग्राम मूंग दाल 1 टी स्पून जीरा 3 लौंग 2 बड़ी इलायची दो स्टिक दालचीनी 3 हरी मिर्च, टुकड़ों में कटा हुआ 1 टी स्पून अदरक, टुकड़ों में कटा हुआ 1 टी स्पून लहसुन , टुकड़ों में कटा हुआ 1 कप मटर 1 आलू (छोटे पीस में कटी हुई) आधी लौकी 1 गाजर, टुकड़ों में कटा हुआ 4 भिंड़ी 2 टी स्पून गरम मसाला पाउडर 2 टी स्पून धनिया पाउडर स्वादानुसार नमक
टोमेटो करी बनाने का तरीका कुकर में टमाटर और मूंग दाल को एक साथ मिक्स करें। उसमें नमक और हरी मिर्च भी डालें। करीब तीन सीटी आने दें। ठंडा होने के लिए साइड रख दें। इसके बाद इसका पेस्ट तैयार कर लें। एक पैन में तेल गर्म करें। उसमें जीरा, कढ़ी पत्ता, लौंग, इलायची, दालचीनी, अदरक और लहसुन डालकर भून लें। इसके बाद इसमें बेसन डालें। ध्यान रहे, आपको बेसन डालते समय मिक्सचर को लगातार चलाते रहना है।
इस तब तक चलाएं, जब तक बेसन भूरे रंग का न हो जाए और अच्छी तरह भुन न जाए। इसके बाद इसमें मटर, आलू, भिंड़ी, लौकी और गाजर डालें। थोड़ा पानी डालकर टमाटर और मूंग का पेस्ट डालें। मिक्सचर में एक बार उबाल आने दें। इसके बाद इसमें गरम मसाला, धनिया पाउडर, हल्दी और नमक डालें। थोड़ी देर के लिए मिक्सचर को पकने दें। गर्मा-गर्म चावल के साथ सर्व करें।
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इंडियन कुकिंग टिप्स: कैसे बनाएं 'बेसन की कढ़ी' 'खट्टा' या खट्टी की सही मात्रा https://tinyurl.com/y2fwjnj2 #39खटट39 #39बसन #इडयन #क #ककग #कढ39 #कस #खटट #टपस #बनए #मतर #य #सह
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क्विक रेसिपी: माइक्रोवेव में बेसन की कढ़ी कैसे बनाएं, एक ट्विस्ट के साथ स्वादिष्ट रेसिपी!
क्विक रेसिपी: माइक्रोवेव में बेसन की कढ़ी कैसे बनाएं, एक ट्विस्ट के साथ स्वादिष्ट रेसिपी!
हाइलाइट कढ़ी बेसन और दही के साथ बनाई जाती है टैंगी कढ़ी को आमतौर पर चावल के साथ बनाया जाता है कढ़ी-पकोड़ा भारत में एक लोकप्रिय नुस्खा है यदि हम एक आधुनिक रसोई आविष्कार में शून्य थे, जिसके लिए हम हमेशा आभारी रहेंगे, तो यह माइक्रोवेव होना चाहिए, और जो हमेशा चल रहे हैं वे शायद इस पर हमें सहमत होंगे। इसने खाना पकाने को आसान बना दिया है, और नए-नए शौक और नौसिखियों को उम्मीद है कि वे अंत में तले हुए…
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Want to lose weight, then must add besan ki kadhi in your diet. Know other benefits as well - Weight Loss: फैट से फिट बनने के लिए डाइट में शामिल करें बेसन की कढ़ी, जानिये- वजन कम करने में कैसे है हेल्पफुल
Want to lose weight, then must add besan ki kadhi in your diet. Know other benefits as well – Weight Loss: फैट से फिट बनने के लिए डाइट में शामिल करें बेसन की कढ़ी, जानिये- वजन कम करने में कैसे है हेल्पफुल
Weight Loss Tips:आज के समय में हर कोई अपने वजन को लेकर चिंतित रहता है। स्वस्थ जीवन गुजारने के लिए लोगों का फिट रहना बहुत जरूरी है। वजनदार लोगों की तुलना में फिट लोग कई बीमारियों से दूर रहते हैं। वेट लॉस करने के लिए लोग कई तरीके अपनाते हैं। तरह-तरह के व्यायाम के साथ ही डाइटिंग और मेडिकल सप्लीमेंट्स के इस्तेमाल से भी नहीं चूकते। पर क्या कभी आपने सोचा है कि किचन में बनने वाला कोई स्वादिष्ट पकवान…
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सब्जियाँ और दालें हम रोजाना ही खाते हैं पर जब कुछ अलग खाने को मन करता है तो हम कढ़ी बनाते हैं तो आज मैं वैशाली कहाले आपके लिए आज मटर, बेसन और दही की कढ़ी रेसिपी लेकर आई हूँ | https://www.youtube.com/watch?v=ubqDqWaoKjA तो देखिये यह टेस्टी और स्वादिष्ट हरी मटर की कढ़ी (Hari matar ki kadhi recipe in hindi). #kadhiRecipe #Matarkadhi #kadhi (at Vaishali Food Recipes) https://www.instagram.com/p/B8LO4ysl4vY/?igshid=opv872eam188
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Pakoda kadhi recipe
कड़ी एक ऐसी रेसिपी है जिसे सभी लोग अलग अलग तरह से बनाते हैं कुछ लोग इसे मीठी पसंद करते हैं तो कहीं लोग तेज खटाई वाले खड़ी का ही एक वेरिएशन है पकोड़े वाली कढ़ी तो चलिए आज हम पकोड़े वाली कढ़ी बनाने की रेसिपी देखते हैं। पकोड़े वाली कढ़ी के लिए सबसे पहले हम पकोड़े तैयार करेंगे उसके बाद बेसन और दही का घोल बनाकर कढ़ी तैयार कर कर उसमें यह पकोड़े डालेंगे तो चलिए देखते हैं इसकी सामग्री
पकोड़े के लिए…
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ग्वार फली के फायदे और नुकसान – Guar Gum (Cluster Beans) Benefits and Side Effects in Hindi
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ग्वार फली के फायदे और नुकसान – Guar Gum (Cluster Beans) Benefits and Side Effects in Hindi
ग्वार फली के फायदे और नुकसान – Guar Gum (Cluster Beans) Benefits and Side Effects in Hindi Saral Jain Hyderabd040-395603080 December 26, 2019
सब्जियां स्वाद के साथ-साथ सेहत के लिए भी गुणकारी होती हैं। ऐसी ही एक सब्जी है, ग्वार फली, जो हरे रंग की फली होती है। यह लेगुमिनोसे (Leguminosae) परिवार से संबंध रखती है। इसका वैज्ञानिक नाम सिआमोप्सिस टेट्रागोनोलोबा (Cyamopsis tetragonoloba) है। इसका उपयोग सब्जी बनाने के अलावा औषधीय गुणों के कारण स्वास्थ्य के लिए भी किया जाता है। इसमें कई प्रकार के पोषक तत्व पाए जाते हैं और ये पोषक तत्व मधुमेह, कोलेस्ट्राॅल व हृदय की बीमारी जैसी कई समस्याओं से बचाने या फिर उनके लक्षणों को कम करने में मदद कर सकते हैं (1)। यही वजह है कि स्टाइलक्रेज के इस लेख में हम विस्तार से ग्वार फली और इसके लाभ के बारे में बता रहे है��।
चलिए, सबसे पहले बात करते हैं ग्वार फली के फायदे के बारे में।
विषय सूची
ग्वार फली के फायदे – Benefits of Guar Gum (Cluster Beans) in Hindi
ग्वार फली के गुण के कारण यह सेहत के लिए काफी फायदेमंद है। इससे होने वाले कुछ प्रमुख फायदों के बारे में नीचे विस्तार से बताया जा रहा है।
1. अच्छे पाचन के लिए ग्वार फली खाने के फायदे
ग्वार फली का सेवन पाचन संबंधी कई समस्याओं को दूर क��ने में फायदेमंद हो सकता है। एनसीबीआई (नेशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इंफार्मेशन) की वेबसाइट पर प्रकाशित एक शोध के अनुसार, ग्वार फली में पाया जाने वाला फाइबर कब्ज और दस्त की समस्या को कम करने में मदद कर सकता है। इसके अलावा, इर्रिटेबल बॉवल सिंड्रोम यानी बड़ी आंत से संबंधित परेशानी के लक्षणों को दूर करने में लाभदायक हो सकता है। इस प्रकार ग्वार फली अच्छे पाचन के लिए कारगर हो सकती है (2)। इसका सेवन सलाद और सब्जी के रूप में किया जा सकता है।
2. ब्लड शुगर को नियंत्रित करने के लिए ग्वार फली के फायदे
ब्लड शुगर को नियंत्रित करने के लिए भी ग्वार फली फायदेमंद हो सकती है। दरअसल, रक्त में शुगर की मात्रा अधिक होने से मधुमेह यानी डायबिटीज की समस्या भी हो सकती है। ऐसे में ब्लड शुगर को नियंत्रित करना जरूरी हो जाता है। एनसीबीआई की ओर से प्रकाशित एक शोध के अनुसार, ग्वार फली के सेवन से न सिर्फ रक्त में शुगर का स्तर कम होता है, बल्कि मधुमेह भी नियंत्रित हो सकता है। इस रिसर्च के दौरान मधुमेह रोगियों को 10 ग्राम ग्वार को पानी में घोलकर भोजन से पहले दिया गया। इसके परिणामस्वरूप 3 हफ्ते बाद मधुमेह रोगियों के रक्त में मौजूद शुगर के स्तर में कमी पाई गई। ग्वार फली के पाउडर को पानी में घोलकर या फिर सब्जी बनाकर आहार में शामिल किया जा सकता है (3)।
3. कोलेस्ट्रॉल को कम करने के लिए ग्वार फली के फायदे
कोलेस्ट्रॉल के स्तर को नियंत्रित करने के लिए ग्वार फली एक अच्छा विकल्प हो सकता है। शोध में पाया गया है कि इसमें मौजूद फाइबर रक्त में कोलेस्ट्रॉल के स्तर को नियंत्रित करने में मदद करता है। इसके अलावा, ग्वार फली में हाइपोलिपिडेमिक गुण भी होते हैं, जो रक्त में लिपिड यानी वसा की मात्रा को कम करके कोलेस्ट्रॉल को बढ़ने से रोक सकते हैं। रिसर्च के अनुसार, प्रतिदिन 15 ग्राम ग्वार फली का सेवन करने से टोटल कोलेस्ट्रॉल के साथ ही हानिकारक कोलेस्ट्रॉल (LDL) और ट्राइग्लिसराइड्स (एक तरह का वसा) के स्तर को कम करने में मदद मिल सकती है (4) (5)। इसका सेवन पानी में उबाल कर काढ़े के रूप में किया जा सकता है।
4. वजन को कम करने के लिए ग्वार फली खाने के फायदे
अधिक वजन और माेटापा कई समस्याओं का कारण हो सकता है, जिसमें उच्च रक्तचाप, कोलेस्ट्रॉल, मधुमेह और हृदय संबंधी समस्याएं शामिल हैं। ग्वार फली का सेवन वजन को कम करके उससे होने वाली समस्याओं को दूर कर सकता है। इसमें मौजूद फाइबर वजन को नियंत्रित करने के साथ ही मोटापे को कम करने में कारगर को सकता है। शोध में पाया गया है कि ग्वार फली के सेवन के बाद बार-बार कुछ खाने की इच्छा नहीं होती। इसकी ��जह से ओवर इटिंग से ब��ा जा सकता है, जो सीधे तौर पर मोटापे को कम करने में मदद कर सकती है। इसके अलावा, ग्वार फली पचने में भी समय लेती है, जिस कारण लंब समय तक भूख लगने का एहसास नहीं होता। इसकी मदद से वजन नियंत्रित करने में मदद मिल सकती है और मोटापा कम हो सकता है (6)। भूख कम करने के लिए इसका सेवन सलाद के रूप में कर सकते हैं।
5. स्वस्थ हृदय के लिए ग्वार फली के फायदे
ग्वार फली का सेवन करने से हृदय को भी स्वस्थ रखा जा सकता है। इसमें पाया जाने वाला फाइबर कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित कर हृदय को स्वस्थ रखने में मदद कर सकता है (1)। यह न सिर्फ हानिकारक कोलेस्ट्रॉल को कम कर सकता है, बल्कि इससे होने वाली हृदय संबंधी बीमारियों और हृदय रोग के जोखिम कारक जैसे कि डायबिटीज, मोटापे और अन्य स्वास्थ्य समस्याओं को भी कम करने में फायदेमंद हो सकता है (7)। इसका सेवन सब्जी के रूप में किया जा सकता है।
ग्वार फली के फायदे के बाद इसमें मौजूद पोषक तत्वाें के बारे में जानना भी जरूरी है, जिसके बारे में हम नीचे विस्तार से बता रहे हैं।
ग्वार फली के पोषक तत्व – Cluster Beans (Gawar Phali) Nutritional Value in Hindi
ग्वार फली में पाए जाने वाले पोषक तत्व व उनकी मात्रा इस प्रकार हैं (8):
पोषक तत्व मात्रा प्रति 100 ग्राम पानी 15 g कैलोरी 332 kcal ऊर्जा 1390 KJ प्रोटीन 4.6 g कुल फैट 0.5 g कार्बोहाइड्रेट 77.3 g फाइबर 77.3 g मिनरल्स कैल्शियम 294 mg सोडियम 125 mg लिपिड्स फैटी एसिड टोटल सैचुरेटेड 0.06 g फैटी एसिड टोटल मोनोअनसैचुरेटेड 0.22 g फैटी एसिड टोटल पोलीअनसैचुरेटेड 0.07 g
ग्वार फली के पोषक तत्वों के बाद हम इसके उपयोग के बारे में बता रहे हैं।
ग्वार फली का उपयोग – How to Use Guar Gum (Gawar Phali) in Hindi
ग्वार फली का उपयोग खाद्य पदार्थों में किया जाता है। यहां पर हम इसके कुछ प्रमुख उपयोग के बारे में बता रहे हैं।
ग्वार फली का ज्यादातर उपयोग सब्जी बनाने के लिए किया जा सकता है।
ग्वार फली को बेसन के साथ मिलाकर बेसनी ग्वार फली बनाई जा सकती है।
ग्वार फली की कढ़ी भी बनाई जा सकती है।
इसे उबालकर सलाद में मिक्स करके खाया जा सकता है।
बच्चों की मनपसंद जैली को भी ग्वार फली का पाउडर इस्तेमाल करके बना सकते हैं।
ग्वार फली के पाउडर का उपयोग ग्लुटेन फ्री ब्रेड बनाने के लिए कर सकते हैं।
आईसक्रीम बनाने के लिए भी ग्वार फली के पाउडर का उपयोग किया जा सकता है।
ग्वार फली को पानी में उबालकर काढ़े के रूप में ��ेवन किया जा सकता है।
मात्रा: प्रति दिन 30 ग्राम ग्वार फली का सेवन किया जा सकता है (9)। वहीं, अगर किसी को स्वास्थ्य संबंधी कोई परेशानी है, तो ग्वार फली को आहार में शामिल करने और इसकी सही मात्रा के संबंध में डॉक्टर से संपर्क करना जरूरी है।
ग्वार फली खाने के फायदे और उपयोग के बाद हम ग्वार फली के नुकसान के बारे में बता रहे हैं।
ग्वार फली के नुकसान – Side Effects of Guar Gum (Cluster Beans) in Hindi
ग्वार फली का अधिक मात्रा में सेवन कई प्रकार से नुकसानदायक हो सकता है। ग्वार फली खाने के नुकसान कुछ इस प्रकार हैं:
ग्वार फली के अधिक सेवन से गैस्ट्रिक की समस्या हो सकती है (10)।
जिन्हें दस्त की समस्या हो, उन्हें भी इसके सेवन से बचना चाहिए (10)।
ग्वार फली में फाइबर की अच्छी मात्रा पाई जाती है (8)। फाइबर का अधिक सेवन गैस, सूजन, और पेट में मरोड़ होने का कारण बन सकता है (11)।
किसी भी तरह की एलर्जिक रिएक्शन हो सकता है (12)।
जी-मिचलाना (12)।
गैस्ट्रोइंटस्टाइनल संबंधी समस्या (12)।
इस लेख में हमने विस्तार से ग्वार फली के गुण के बारे में बताया हैं। साथ ही ग्वार फली के फायदे के साथ-साथ कुछ नुकसान भी हैं। ऐसे में अगर आप इसके सेवन के बारे में सोच रहे हैं, तो इस लेख को पढ़कर इसके फायदे और नुकसान दोनों को समझकर ही इसे अपने आहार में शामिल करें। ग्वार फली खाने के फायदे, उपयोग और ग्वार फली के नुकसान से संबंधित इस लेख को पढ़ने के बाद भी अगर आपके जहन में कुछ सवाल हों, तो उसे कमेंट बॉक्स के माध्यम से हम तक पहुंचा सकते हैं। साथ ही यह आर्टिकल आपके लिए किस प्रकार से फायदेमंद रहा यह बताना न भूलें।
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Saral Jain
सरल जैन ने श्री रामानन्दाचार्य संस्कृत विश्वविद्यालय, राजस्थान से संस्कृत और जैन ��र्शन में बीए और डॉ. सी. वी. रमन विश्वविद्यालय, छत्तीसगढ़ से पत्रकारिता में बीए किया है। सरल को इलेक्ट्रानिक मीडिया का लगभग 8 वर्षों का एवं प्रिंट मीडिया का एक साल का अनुभव है। इन्होंने 3 साल तक टीवी चैनल के कई कार्यक्रमों में एंकर की भूमिका भी निभाई है। इन्हें फोटोग्राफी, वीडियोग्राफी, एडवंचर व वाइल्ड लाइफ शूट, कैंपिंग व घूमना पसंद है। सरल जैन संस्कृत, हिंदी, अंग्रेजी, गुजराती, मराठी व कन्नड़ भाषाओं के जानकार हैं।
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Source: https://www.stylecraze.com/hindi/guar-fali-ke-fayde-aur-nuksan-in-hindi/
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रात को दही खाना चाहिए या नहीं
दही अच्छे बैक्टीरिया का एक बहुत ही अच्छा स्रोत है जो पाचन में भी सहायक है। यह आपके दांतों और हड्डियों के लिए अच्छी होती है। लेकिन अधिकांश खाद्य पदार्थों के साथ, कुछ नियम हैं जिनका आपको दही लेने के लिए पालन करने की आवश्यकता है। आपने कई बार सुना होगा कि रात को दही खाने से बचें। यहां कुछ नियम बताये गए हैं जिनके बारे में जानना है ज़रूरी -
रात में दही न खाएं, खासकर यदि आपको खाँसी और ठंडे ��ोने का खतरा हो। आयुर्वेद के अनुसार रात में दही का सेवन अच्छा नहीं है क्योंकि इससे बलगम का विकास होता है। लेकिन अगर आप दही के बिना नहीं कर सकते हैं, तो इसके बजाय छाछ को चुनें।
यदि आप दिन के दौरान दही खा रहे हैं, तो इसे बिना चीनी के खाएं। लेकिन अगर आप रात में दही खा रहे हैं, तो चीनी या कुछ काली मिर्च मिलाएं। यह पाचन में सहायता करेगा और आपके पाचन तंत्र को शांत करेगा।
कभी भी गर्म दही नहीं खाएं।
रात में अपने आहार में दही को शामिल करने के लिए जानिए कुछ टिप्स :
1. दही चावल : उबले हुए चावल के साथ कुछ दही मिलाएं। उसमें थोड़ा नमक और काली मिर्च का पाउडर मिलाएँ। आप अच्छा स्वाद लाने के लिए कढ़ी पत्ते और कुछ लाल मिर्च के साथ तड़का लगा सकते हैं।
2. दही चीनी : अगर आपको मीठा खाना पसंद है तो आपको यह संयोजन पसंद आएगा। आप दही में कुछ चीनी मिलाकर उसका सेवन करें। रात के खाने के बाद इसका सेवन आपके पेट को शांत करेगा और इससे सभी एसिड को बेअसर हो जायेंगे।
3. छाछ : रात को खाने के बाद छाछ एक और स्वस्थ पेय है। यह न केवल आपके पेट को ठंडक देगा बल्कि कोलन में बैक्टीरिया को बदलता है और जिसके कई अन्य स्वास्थ्य लाभ हैं।
4. लस्सी : लस्सी छाछ का एक मीठा रूप है जो केवल अधिक क्रीमयुक्त और चीनी से परिपूर्ण होती है।
5. कढ़ी : कढ़ी एक पारंपरिक नुस्खा है जिसे बेसन, नमक और छाछ के मिश्रण से तैयार किया जाता है। और इस मिश्रण को कुछ मिर्च, करी पत्तियों और जीरे के साथ तला जाता है। यह करी आम तौर पर चावल या चपाती के साथ खाई जाती है।
6. फ्रूट सलाद : केले, सेब, अनार आदि फलों को काटकर कुछ दही में मिलाएं और एक स्वस्थ मिठाई का आनंद लें। (और पढ़ें - अनार के फायदे)
7. रायता : रायता एक आम भारतीय साइड डिश है। टमाटर, प्याज, खीरा, कद्दू, कटी हुई हरी मिर्च जैसे विभिन्न सब्जियों को मिलाकर इसे तैयार किया जाता है। (और पढ़ें - खाने के बाद दही का सेवन क्यों है फायदेमंद?)
from myUpchar.com के स्वास्थ्य संबंधी लेख via https://www.myupchar.com/healthy-foods/dairy/can-we-eat-curd-at-night-in-hindi
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Rajasthani Besan Ki Kadhi is a very popular North Indian dish and is best served with Rice and roti. Besan Kadhi Recipe is a quick and easy recipe you can make. It is most delicious and tasty Kadhi made with Besan and yoghurt.
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5 समर स्पेशल लाइट मील आइडियाज़ फ्रॉम अक्रॉस इंडिया
5 समर स्पेशल लाइट मील आइडियाज़ फ्रॉम अक्रॉस इंडिया
हाइलाइट
टो दाल के रूप में जानी जाने वाली यह डिश ज्यादातर बंगालियों के लिए आराम देती है
इमली के चावल को पुलिहोरा या पुलियोडराय भी कहा जाता है
आमरस कढ़ी आम की प्यूरी, छाछ, बेसन, मसालों का सही मिश्रण है
ग्रीष्मकाल हम पर है और पसीना, सूरज जलता है और कई अन्य मुद्दों से कोई राहत नहीं है जो मौसम साथ लाता है। चिलचिलाती गर्मी हर एक दिन हमारी त्वचा के नीचे हो रही है। तो आप खुद को ठंडा करने के लिए क्य���…
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