#karva chauth ki kahani
Explore tagged Tumblr posts
pudhuulagam · 1 year ago
Text
Karwa chauth vrat katha: करवा चौथ पर पढ़ें साहूकार के सात लड़के वाली यह पौराणिक Karwa chauth संपूर्णकथा
Karva Chauth vrat ki kahani in hindi:करवा चौथ पर चंद्र दर्शन सेपहलेव्रत की कहानी पढ़ी जाती है। कुछ लोग व्रत की कथा दोपहर 12 बजेके बाद पढ़ लेतेहैंऔर कुछ लोग व्रत की कथा शाम को चंद्र दर्शऩ सेपहले कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चन्द्रोदय व्यापिनी चतुर्थी के दिन करवा चौथ का व्रत किया जाता है। इस साल यह व्रत 1 नवंबर को रखा जाएगा। पति के दीर्घायुएवं अखण्ड सौभाग्य के लिए, इस दिन भालचन्द्र गणेश जी की…
Tumblr media
View On WordPress
0 notes
animation-stories · 2 years ago
Video
youtube
करवा चौथ व्रत कथा 2022 | Karwa Chauth Vrat Katha | Amrit Kahaniya | Bhak...
0 notes
smunnitvdharmikstories · 3 years ago
Video
youtube
करवा चौथ की कहानी || Karva chauth Ki Kahani || Karva chauth ki katha
0 notes
technicallypinkheart · 3 years ago
Photo
Tumblr media
इस त्यौहार को महिला अपने पति की लम्बी उम्र के लिए मनाती है। ये त्यौहार पुरे भारत में और भारत के बाहार रह रहे भारतीये महिलाये मनाती है इसे बड़ी श्रद्धा के साथ मनाया जाता है। ये त्यौहार महिलाओ के लिए बहुत ही खास त्यौहार महा जाता है। इस त्यौहार का इंतजार महिला बड़ी बेसब्री से करती है See more
INDIAN ALL FESTIVAL
POPULAR DAY
0 notes
jyotishgher · 2 years ago
Text
Karwa Chauth Vrat Katha: व्रत के दिन जरूर सुनें करवा माता की ये कथा, मिलेगा पतिव्रता का वरदान
Karwa Chauth Vrat Katha: व्रत के दिन जरूर सुनें करवा माता की ये कथा, मिलेगा पतिव्रता का वरदान
कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की तिथि में यह व्रत मनाया जाता है. पूरे दिन अपने पति के लिए निर्जला रहकर पत्नियां ये व्रत रखती हैं और उनकी लंबी उम्र की कामना भी करती हैं. मिट्टी के करवे पर मौली बांधकर रोली से एक स्वास्तिक बनाकर उसपर रोली से तेरह बिन्दियां लगाकर चन्द्रमा को अर्घ्य देती हैं. इससे पहले इस व्रत की कथा सुनी जाती है, यह कथा सुनने से ही यह व्रत पूरा होता है, आईए जानते हैं यह व्रत की कहानी क्या है
कैसे सुनें कथा महिलाएं व्रत के दिन हाथ में गेहूं के तेरह दानें लेकर कहानी कहती हैं और कुछ सुनती हैं. कहानी सुनने के बाद कुछ गेहूं के दानें लोटे में डालते हैं और कुछ दानें साड़ी के पल्ले में बांध लेती हैं.रात को चांद को देखकर लोटे का जल सूरज को देती हैं. एक थाली में फल, मिठाई, चावल भरा हुआ खांड का करवा और रुपए रखकर बायना निकालकर अपनी सासू मां या फिर घर की बड़ी बहू यानी जेठानी या भाभी को देती हैं.
क्या है पूरी कहानी?-1
हिन्दू धर्म के अनुसार कार्तिक महीने में पूर्णिमा के चौथ दिन करवा चौथ वाला त्योहार मनाया जाता है। इस दिन सुहागिन महिलाओं द्वारा अपने पति की लंबी लंबी उम्र की कामना के साथ निर्जला व्रत रखती हैं। इस दिन श्याम को करवा चौथ कथा की कहानी पढ़ते कर शाम के समय चंद्रमा निकलने के बाद वे चंद्रमा को अर्घ्य देती हैं और पति का तिलक आदि करने के बाद पति के हाथों से पानी पीकर ��पना व्रत खोलती हैं।
इस दिन भगवान शिव, गणेश जी और स्कन्द यानि कार्तिकेय के साथ बनी गौरी के चित्र की सभी उपचारों के साथ पूजा की जाती है। कहते हैं कि Karva Chauth Vrat Katha करने से जीवन में पति का साथ हमेशा बना रहता है। साथ ही, सौभाग्य की प्राप्ति और जीवन में सुख-शांति बनी रहती है।
Chauth Mata ki Kahani in Hindi PDF | करवाचौथ व्रत की कथा (कहानी)
एक साहूकार के एक पुत्री और सात पुत्र थे। करवा चौथ के दिन साहूकार की पत्नी, बेटी और बहुओं ने व्रत रखा। रात्रि को साहूकार के पुत्र भोजन करने लगे तो उन्होंने अपनी वहन से भोजन करने के लिए कहा। बहन वोली- “भाई! अभी चन्द्रमा नहीं निकला है, उसके निकलने पर मैं अर्घ्य देकर भोजन करूँगी।” इस पर भाइयों ने नगर से बाहर जाकर अग्नि जला दी और छलनी ले जाकर उसमें से प्रकाश दिखाते हुए बहन से कहा- “वहन! चन्द्रमा निकल आया है, अर्घ्य देकर भोजन कर लो।”
बहन अपनी भाभियों को भी बुला लाई कि तुम भी चन्द्रमा को अर्घ्य दे लो, किन्तु वे अपने पतियों की करतूत जानती थीं। उन्होंने कहा- “वाईजी! अभी चन्द्रमा नहीं निकला है। तुम्हारे भाई चालाकी करते हुए अग्नि का प्रकाश छलनी से दिखा रहे हैं।” किन्तु बहन ने भाभियों की बात पर ध्यान नहीं दिया और भाइयों द्वारा दिखाए प्रकाश को ही अर्घ्य देकर भोजन कर लिया। इस प्रकार व्रत भंग होने से गणेश जी उससे रुष्ट हो गए। इसके बाद उसका पति सख्त बीमार हो गया और जो कुछ घर में था, उसकी बीमारी में लग गया। साहूकार की पुत्री को जब अपने ���ोष का पता लगा तो वह पश्चातप से भर उठी।
गणेश जी से क्षमा-प्रार्थना करने के बाद उसने पुनः विधि-विधान से चतुर्थी का व्रत करना आरम्भ कर दिया। श्रद्धानुसार सवका आदर सत्कार करते हुए, सबसे आशीर्वाद लेने में ही उसने मन को लगा दिया। इस प्रकार उसके श्रद्धाभक्ति सहित कर्म को देख गणेश जी उस पर प्रसन्न हो गए। उन्होंने उसके पति को जीवनदान दे उसे बीमारी से मुक्त करने के पश्चात् धन-सम्पत्ति से युक्त कर दिया। इस प्रकार जो कोई छल-कपट से रहित श्रद्धाभक्तिपूर्वक चतुर्थी का व्रत करेगा, वह सव प्रकार से सुखी होते हुए कष्ट-कंटकों से मुक्त हो जाएगा।
https://www.jyotishgher.in/
कहानी?-2
धार्मिक कथा के अनुसार एक गांव में करवा देवी अपने पति के साथ तुंगभद्रा नदी के पास रहती थी. एक दिन करवा के पति स्ना�� के लिए नदी में गए तो मगरम��्छ ने उनका पैर पकड़ लिया और अंदर की ओर खींचने लगा. रक्षा के लिए उसने अपनी पत्नी को पुकारा. पति को मृत्यु के मुंह में जाता देख करवा ने एक कच्चे धागे से मगरमच्छ को पेड़ से बांध दिया.
पतिव्रत पत्नी करवा के जाल में मगरमच्छ ऐसा बंधा की हिलना भी मुश्किल हो गया. पति की हालात बहुत नाजुक थी. इसके बाद करवा देवी ने यमराज को पुकारा और पति की रक्षा कर जीवनदान और मगरमच्छ को मृत्यु देने का आग्रह किया. यमराज ने कहा अभी मगरमच्छ की आयु शेष है लेकिन तुम्हारे पति के यमलोक जाने का समय आ चुका है. करवा क्रोधित हो गई और ऐसा न करने पर यमराज को श्राप देने की चेतावनी दे दी.
करवा देवी ने दिया जीवनदान (Karwa Chauth Vrat Katha in Hindi)
यमराज ने करवा देवी के सतीत्व से प्रभावित होकर उसके पति की आयु में वृद्धि कर दी और उसे जीवनदान दे दिया. वहीं मगरमच्छ को यमलोक भेज दिया. कहते हैं इस घटना के दिन कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि थी. मान्यता है इस दिन जो सुहागिनें पत्नी धर्म निभाते हुए निर्जला व्रत कर सच्चे मन से करवा माता की पूजा करती हैं उन्हें अखंड सौभाग्यवती का वरदान मिलता है. उसके बाद से ही करवा चौथ व्रत की परंपरा शुरू हो गई. इसके बाद गणेश जी की भी कथा और कहानी सुनी जाती है
0 notes
dharmyaatra · 4 years ago
Link
हम हर वर्ष करवाचौथ का व्रत बड़ी ही धूमधाम के साथ रखते हैं जो एक पति-पत्नी के रिश्ते को मजबूती प्रदान करता हैं लेकिन इसके पीछे कौनसी कथा जुड़ी हुई हैं व इसे मनाने के पीछे क्या उद्देश्य हैं? आज हम आपके साथ वही साँझा करेंगे।
0 notes
rajsattaexpresss-blog · 6 years ago
Text
Karwa Chauth 2018: 27 अक्टूबर को है व्रत, यहां जानें क्या है करवा चौथ की कहानी
Karwa Chauth 2018: 27 अक्टूबर को है व्रत, यहां जानें क्या है करवा चौथ की कहानी
करवा चौथ 2018: इस बार सुहागिनों का व्रत करवा चौथ शनिवार यानि 27 अक्टूबर को मनाया जाएगा. इस दिन सुहागिनें निराहार और निर्जन व्रत रखती हैं.  करवा चौथ का व्रत हिंदू कैलेडंर के कार्तिक महीने की कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाया जाता है. महिलाएं ये व्रत अपने पति की लंबी आयु के लिए रखती है. महिलाएं इस व्रत को निर्जला रखती हैं और शाम को चंद्रमा को अर्घ्य देकर ही व्रत खोलती हैं. इस व्रत की मान्यता है…
View On WordPress
0 notes
animation-stories · 2 years ago
Video
youtube
करवा चौथ की कहानियाँ | Hindi Kahani | Moral Stories | Saas Vs Bahu | Hin...
0 notes
smunnitvdharmikstories · 4 years ago
Text
Watch "करवा चौथ की कथा || Karwa Chauth ki katha | Karva Chauth Vrat Katha | karva chauth ki kahani" on YouTube
youtube
0 notes