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#सुरक्षा जांच
mwsnewshindi · 2 years
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छुट्टी की भीड़ को कम करने के लिए मुंबई हवाईअड्डे ने यात्रियों के लिए जारी की सलाह: 'जल्दी आओ'
छुट्टी की भीड़ को कम करने के लिए मुंबई हवाईअड्डे ने यात्रियों के लिए जारी की सलाह: ‘जल्दी आओ’
यह पहला छुट्टियों का मौसम है जब कोविड-19 का डर डैमोकल्स की तलवार की तरह सिर पर नहीं लटक रहा है। जबकि लोग छुट्टी पर जाने के लिए उत्साहित हैं, मुंबई हवाईअड्डे पर सर्पीली कतारें, आप्रवासन संबंधी परेशानियां, सुरक्षा जांच के साथ अराजकता चरम पर है। छत्रपति शिवाजी महाराज इंटरनेशनल एयरपोर्ट (CSMIA) ने सोशल मीडिया पर दिसंबर के महीने में यात्रा करने वाले यात्रियों को एक एडवाइजरी जारी की है, जो छुट्टियों के…
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trendingwatch · 2 years
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2024 तक सभी राज्यों में एनआईए की मौजूदगी
2024 तक सभी राज्यों में एनआईए की मौजूदगी
द्वारा एक्सप्रेस समाचार सेवा फरीदाबाद: केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने गुरुवार को यहां कहा कि इसके दूरगामी परिणाम क्या हो सकते हैं, राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) 2024 तक सभी राज्यों में शाखाएं खोलेगी, इसके अलावा “अतिरिक्त-क्षेत्रीय अधिकार” प्राप्त करेगी। आंतरिक सुरक्षा पर गृह मंत्रियों के दो दिवसीय चिंतन शिविर का उद्घाटन करते हुए शाह ने कहा कि उनका मंत्रालय आपराधिक प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) और…
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indlivebulletin · 3 days
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Jammu Kashmir 2nd Phase Election जम्मू-कश्मीर में दूसरे चरण के मतदान से पहले सुरक्षा कड़ी हुई
जम्मू-कश्मीर में 25 सितंबर को विधानसभा चुनाव के दूसरे चरण के लिए मतदान होना है। मतदान से पहले राजौरी जिले में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है। जम्मू कश्मीर में दूसरे चरण के चुनाव से पहले सुरक्षा उपायों के तहत कई इलाकों में सुरक्षाकर्मियों को तैनात किया गया है। सुरक्षा की दृष्टि से वाहनों की जांच की जा रही है।   विधानसभा चुनाव के दूसरे चरण में जम्मू-कश्मीर के छह जिलों की 26 विधानसभा सीटों पर…
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visitthelegallab · 6 days
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वे युक्तियाँ जिनके माध्यम से प्राथमिकी दर्ज कराया जाना सुलभ है।
अन्य सरकारी सेवाप्रदायी संस्थानों जैसे अस्पताल, पोस्टऑफिस, बिजली ऑफिस की तरह ही थाना भी एक सेवा प्रदायी संस्था है। यह संस्था भी लोगों की सेवा एवं सुरक्षा के लिए सरकार द्वारा बनाई गई है। जिस प्रकार कोई व्यक्ति पोस्ट ऑफिस जाकर कोई पत्र रजिस्ट्री कराना चाहे और पोस्ट मास्टर रजिस्ट्री के लिए इनकार नहीं कर सकता, उसी तरह थाना भी है, जहां कोई पीड़ित/सूचक अपनी व्यथा/शिकायत लेकर जाता है तो थानाध्यक्ष उसे सुनने एवं आवश्यक कारवाई करने से इंकार नहीं कर सकता है।
आज पुलिस विभाग में वरीय स्तर से इसे लागू करने का हर संभव प्रयास किया जा रहा है, लेकिन आज भी कुछ थानाध्यक्ष इसे शतप्रतिशत लागू करने में आनाकानी कर रहे है। हालांकि नए कानून आने के बाद कोई थानांध्यक्ष इस प्रकार का रवैया अपनाता है तो उसको विभागीय दंड का भागी भी होना पड़ेगा।  फिर भी कुछ थानेदार अपनी मनमानी करने से बाज नहीं आ रहे है। आज इस आलेख के माध्यम से यही समझने का प्रयास करेंगे कि कोई थानेदार अपनी मनमानी रवैया अपनाता है, और एफआईआर लिखने/दर्ज करने से मना करता है, या टालमटोल करता है, तो उस स्थिति में एफआईआर लिखने/दर्ज कराने का कौन सा युक्ति सुलभ होगा उसकी बिन्दुवार चर्चा की जा रही है। 
भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 173(1) में एफआइआर दर्ज कराने की प्रक्रिया का प्रावधान दिया गया है, जहां एफआइआर दो तरीकों से दर्ज कराया जा सकता है। पहला लिखित या मौखिक रूप से थाना पर उपस्थित होकर दूसरा इलेक्ट्रॉनिक माध्यम जैसे ई मेल या अन्य इलेक्ट्रॉनिक माध्यमों से।   
अक्सर यह देखने को मिलता है कि जो भी शिकायते पीड़ित द्वारा थाना पर उपस्थित होकर लिखित या मौखिक रूप से दी  जाती है, थाना द्वारा उसकी प्राप्ति प्रति नहीं दी जाती है या कारवाई नहीं की जाती हैं। उस स्थिति में भारतीय नागरिक सुरक्षा  संहिता में प्रावधानित इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से प्राथमिकी दर्ज कराने का वैकल्पिक सुलभ तरीका उपलब्ध हो गया है।  
वैसे थानेदार जो शिकायत की प्राप्ति नहीं देते, या करवाई करना नहीं चाहते, उनके लिए भारतीय नागरिक सुरक्षा  संहिता में प्रावधानित इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से शिकायत करने का तरीक़ा बढ़िया उपाय है। आपको ऐसे किसी थाने में शिकायत करनी हो तो सबसे पहले आप अपनी शिकायत संबंधित थाने के व्हाट्स नंबर पर अग्रिम भेज दे। नए प्रावधान के अनुसार आपको तीन दिनों के अंदर उस आवेदन पर हस्ताक्षर बनाना है, आप दो घंटे बाद ही थाना  जाकर अपना हस्ताक्षर बना दे। चुकी आपने इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से अपना आवेदन भेजा है, यहां आपको प्राप्ति की पहले जैसी आवश्यकता नहीं होगी। आपका मेसेज ही अपने आप में एक इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्य के रूप में एक रिकॉर्ड है। आपकी शिकायत को विधिक एफ आई आर का स्वरूप देने में थाना द्वारा जांच के नाम पर ज़्यादा से ज़्यादा 14 दिनों तक लंबित रखा जा सकता है अगर शिकायत पत्र में वर्णित घटना किसी भी दृष्टिकोण से संदिग्ध प्रतीत होता है तो।  परंतु यहाँ भी जाँच के लिए सर्वप्रथम थानाध्यक्ष को कम से कम पुलिस उपाधीक्षक स्तर के पदाधिकारी से पूर्व अनुमति लेना अनिवार्य होगा।
14 दिनों के बाद भी आपका एफ आई आर दर्ज नही किया जाता तो थानेदार को कारण बताना होगा किन परिस्थितियों में आपका एफ आई आर दर्ज नहीं किया गया। 14 दिनों के बाद आपको कारण भी नहीं बताया जा रहा है, और एफ आई आर की कॉपी भी नही दी जा रही है तब आप संबंधित थाने की शिकायत संबंधित जिले के पुलिस अधीक्षक से कर सकते है। पुलिस अधीक्षक को थाना में प्राप्ति साक्ष्य के रूप में इलेक्ट्रॉनिक रिकॉर्ड व्हाट्सएप मैसेज दिखा सकते है। पुलिस अधीक्षक इसकी जांच कराकर आवश्यक कारवाई का निर्देश देंगे। 
पुलिस अधीक्षक के स्तर से भी समाधान नहीं हुआ या आप पुलिस अधीक्षक के निर्णय से संतुष्ट नहीं हैं तब आप न्यायालय में मजिस्ट्रेट के समक्ष धारा 175 भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता के तहत आवेदन कर सकते हैं। न्यायायिक दंडाधिकारी संबंधित थाना को मामले की जांच करने और एफआईआर दर्ज करने का निर्देश जारी कर सकता हैं। 
इसके अतिरिक्त आप अपने अधिकारों की रक्षा के लिए माननीय उच्च न्यायालय में रिट याचिका दायर कर सकते हैं। 
लोकायुक्त या मानवाधिकार आयोग में शिकायत  - आप लोकायुक्त या राज्य मानवाधिकार आयोग में भी थानेदार के विरुद्ध शिकायत दर्ज कर सकते हैं।
 इसे उदाहरण के माध्यम से ऐसे समझते है-
यदि A नाम के व्यक्ति के साथ कोई अपराध घटित  होता है और पुलिस उसकी शिकायत दर्ज नहीं कर रही है, तो A निम्नलिखित कदम उठा सकता हैं:
1. पहले, वह पुलिस अधीक्षक को लिखित शिकायत करेगा और उनसे एफआईआर दर्ज कराने का अनुरोध करेगा।
2. अगर पुलिस अधीक्षक भी कोई कार्रवाई नहीं करते, तो A न्यायायिक दंडाधिकारी के पास अपनी शिकायत उपस्थापित करेगा तदनुसार न्यायायिक दंडाधिकारी धारा 175 भार���ीय नागरिक सुरक्षा संहित  के तहत उक्त शिकायत पत्र को संबंधित थाना को जांच/प्राथमिकी दर्ज करने हेतु आदेशित करेंगे।
3. इसके अलावा, A माननीय उच्च न्यायालय में रिट याचिका दायर कर सकता है, जिसमें वह पुलिस को एफआईआर दर्ज करने का आदेश देने का अनुरोध करेगा।
4. A अपनी शिकायत लेकर लोकायुक्त / राज्य मानवाधिकार आयोग के पास भी जा सकता है।
इन प्रक्रियाओं के माध्यम से, कोई व्यक्ति थाना को प्राथमिकी (एफआईआर) दर्ज करने के लिए बाध्य कर सकता हैं और न्याय प्राप्त कर सकता हैं। लोक कल्याणकारी राज्य में जनता की  हितों एवं सुरक्षा को सर्वोपरि माना गया है। सिर्फ जागरूक होने या जागरूकता की उत्प्रेरणा समाज को देने की आवश्यकता है। 
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rightnewshindi · 6 days
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कानपुर में रोहिंग्या की अवैध बस्तियों पर चला प्रशासन का बुलडोजर, 50 से ज्यादा अवैध कब्जे ध्वस्त
कानपुर में रोहिंग्या की अवैध बस्तियों पर चला प्रशासन का बुलडोजर, 50 से ज्यादा अवैध कब्जे ध्वस्त #news #viral #trending #update #newspaper #breakingnews #currentaffairs #dailynews #newsletter #newspapers #newsupdate #People #Media #info #Journalism #Press
Uttar Pradesh News: कानपुर जिले में गुरुवार को रेलवे ट्रैक के किनारे रोहिंग्या की अवैध बस्तियों पर प्रशासन का बुलडोजर चलने से इलाके में हड़कंप मच गया. इस कार्रवाई में 50 से अधिक कच्चे-पक्के अवैध कब्जों को ध्वस्त कर दिया गया. यह कदम साबरमती एक्सप्रेस हादसा और कालिंदी एक्सप्रेस को पलटाने की साजिश के मामलों की जांच के बीच उठाया गया, जिससे रेलवे ट्रैक की सुरक्षा को मजबूत किया जा सके.दरअसल, एक दिन…
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realtimesmedia · 7 days
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कांग्रेस का छत्तीसगढ़ बंद कल, बिगड़ती कानून व्यवस्था को लेकर विरोध
रायपुर, छत्तीसगढ़ में बिगड़ती कानून व्यवस्था और कवर्धा में पुलिस की बर्बरता के चलते प्रशांत साहू की हत्या की जांच की मांग को लेकर कांग्रेस पार्टी ने 21 सितंबर, शनिवार को राज्यव्यापी बंद का आह्वान किया है। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने कहा है कि यह बंद सभी की सुरक्षा के लिए है और सभी को इस बंद का समर्थन करना चाहिए। उन्होंने अपील की है कि लोग एक दिन के लिए अपना व्यवसाय और कार्य रोककर इस बंद…
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sushengupta · 17 days
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Sushen Mohan Gupta की ऑटो्ट्रॉनिक्स इनोवेशन कारों में मोबाइल वर्कस्पेस के लिए
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ऑटो्ट्रॉनिक्स इनोवेशन
सुशेन मोहन गुप्ता, जो ऑटो्ट्रॉनिक्स के क्षेत्र में एक अग्रणी हैं, मानते हैं कि इलेक्ट्रॉनिक्स और ऑटोमेशन का एकीकरण ऑटोमोटिव प्रौद्योगिकी में एक नए युग की शुरुआत का संकेत है।
ऑटो्ट्रॉनिक्स, जो ऑटोमोटिव और इलेक्ट्रॉनिक्स का संयोजन है, एक महत्वपूर्ण ताकत के रूप में उभरा है जो वाहनों के भविष्य को आकार दे रहा है। इस क्षेत्र में सबसे दिलचस्प विकासों में से एक है कारों को मोबाइल वर्कस्पेस में बदलना।
यह ब्लॉग ऑटो्ट्रॉनिक्स और मोबाइल वर्कस्पेस के उदय के बीच आपसी संबंध की जांच करता है, जिसमें प्रौद्योगिकी की जटिलताएं, लाभ और यात्रा और उत्पादकता के भविष्य के लिए इसके प्रभावों का अन्वेषण किया गया है।
ऑटो्ट्रॉनिक्स का उदय: ऑटोमोटिव और इलेक्ट्रॉनिक्स का मिलन
ऑटो्ट्रॉनिक्स ऑटोमोटिव उद्योग में एक पैरेडाइम शिफ्ट का प्रतिनिधित्व करता है, जहां पारंपरिक मैकेनिकल घटक को उन्नत इलेक्ट्रॉनिक्स के साथ सहज रूप से मिलाया गया है ताकि वाहन के प्रदर्शन, सुरक्षा और उपयोगकर्ता अनुभव को बढ़ाया जा सके। सेंसर, माइक्रोकंट्रोलर और कम्युनिकेशन सिस्टम को एकीकृत करने से स्मार्ट कारों का जन्म हुआ है जो स्वायत्त ड्राइविंग से लेकर रियल-टाइम डेटा विश्लेषण तक जटिल कार्यों को निष्पादित कर सकती हैं।
ऑटो्ट्रॉनिक्स का शब्द मैकेनिक्स और इलेक्ट्रॉनिक्स के मिलन को संक्षेप में व्यक्त करता है। ऑटो्ट्रॉनिक्स वाहनों के आधुनिकीकरण के पीछे प्रेरक शक्ति है, जिसमें अडैप्टिव क्रूज़ कंट्रोल से लेकर टकराव से बचाव प्रणालियाँ शामिल हैं।
मोबाइल वर्कस्पेस: कारों में उत्पादकता को फिर से परिभाषित करना
कारों में मोबाइल वर्कस्पेस का विचार उन वाहनों को सिर्फ परिवहन के साधन से अधिक बनाने की प्रवृत्ति का विस्तार है। यह कारों को एक बहु-कार्यात्मक वातावरण के रूप में कल्पना करता है जहाँ यात्री आसानी से काम और अवकाश के बीच संक्रम�� कर सकते हैं। यह परिवर्तन उन्नत संचार प्रौद्योगिकियों, मनोरंजन प्रणालियों और एर्गोनोमिक डिज़ाइन के एकीकरण के माध्यम से संभव होता है जो यात्रियों की आवश्यकताओं को पूरा करते हैं। आइए देखें कैसे!
कनेक्टिविटी और संचार: ऑटो्ट्रॉनिक्स वाहन के भीतर कनेक्टिविटी को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। 5G प्रौद्योगिकी के आगमन के साथ, कारें सहज संचार के केंद्र के रूप में विकसित हो रही हैं। यात्री अब अपने उपकरणों को वाहन के नेटवर्क से जोड़ सकते हैं, जिससे रियल-टाइम सहयोग, वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग और क्लाउड-आधारित एप्लिकेशनों तक पहुंच संभव हो जाती है। यह कनेक्टिविटी न केवल उत्पादकता को बढ़ाती है बल्कि कार को डिजिटल वर्कस्पेस का विस्तार भी बनाती है।
इन्फोटेनमेंट सिस्टम: उन्नत इन्फोटेनमेंट सिस्टम को एकीकृत करना मोबाइल वर्कस्पेस का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। उच्च-रिज़ॉल्यूशन टचस्क्रीन, वॉइस-एक्टिवेटेड कंट्रोल्स और ऑगमेंटेड रियलिटी डिस्प्ले उपयोगकर्ता के अनुकूल वातावरण में योगदान करते हैं। चाहे ईमेल चेक करना हो, वर्चुअल मीटिंग्स में भाग लेना हो, या मल्टीमीडिया कंटेंट का आनंद लेना हो, यात्री विभिन्न गतिविधियों में शामिल हो सकते हैं बिना सुरक्षा या सुविधा से समझौता किए।
एर्गोनोमिक डिज़ाइन: ऑटो्ट्रॉनिक्स कारों के आंतरिक डिज़ाइन को एर्गोनोमिक और आरामदायक मोबाइल वर्कस्पेस बनाने के लिए प्रभावित करता है। समायोज्य सीटें, एंबियंट लाइटिंग और सहज नियंत्रण एक उत्पादकता-उन्मुख वातावरण में योगदान करते हैं। कुछ कार निर्माता तो यहां तक कि कार्य सतहों और परिवर्तनीय सीटिंग व्यवस्थाओं के एकीकरण की जांच कर रहे हैं ताकि कार के स्थान की लचीलापन को बढ़ाया जा सके।
कारों में मोबाइल वर्कस्पेस के लाभ
ऑटो्ट्रॉनिक्स और मोबाइल वर्कस्पेस का मिश्रण कई लाभ लाता है जो केवल सुविधा से परे हैं। ये लाभ लोगों की यात्रा के समय को देखने और उपयोग करने के तरीके को फिर से आकार देने के लिए तैयार हैं।
बढ़ी हुई उत्पादकतामोबाइल वर्कस्पेस यात्रियों को यात्रा के समय का उत्पादकता से उपयोग करने में सक्षम बनाते हैं। चाहे ईमेल का उत्तर देना हो, दस्तावेज़ों की समीक्षा करनी हो, या वर्चुअल मीटिंग्स में भाग लेना हो, लोग अपने सड़क पर बिताए गए समय का सर्वोत्तम उपयोग कर सकते हैं। यह बढ़ी हुई उत्पादकता कार्य-जीवन संतुलन और कुल नौकरी संतोष पर गहरा प्रभाव डाल सकती है।
सुरक्षा में सुधारऑटो्ट्रॉनिक्स का एकीकरण यह सुनिश्चित करता है कि कार में उत्पादकता सुरक्षा से समझौता नहीं करती। एडवांस्ड ड्राइवर-असिस्टेंस सिस्टम, जैसे लेन-कीपिंग असिस्टेंस और टकराव से बचाव, विचलित ड्राइविंग से जुड़े जोखिमों को कम करते हैं। जैसे-जैसे स्वायत्त ड्राइविंग प्रौद्योगिकी प्रगति करती है, सुरक्षा पर ध्यान और भी स्पष्ट हो जाएगा, जिससे मोबाइल वर्कस्पेस एक सुरक्षित और व्यवहार्य विकल्प बन जाएगा।
दैनिक जीवन के साथ सहज एकीकरणमोबाइल वर्कस्पेस का विकास आधुनिक जीवनशैली के साथ मेल खाता है, जहां काम और व्यक्तिगत जीवन के बीच की सीमाएँ धीरे-धीरे धुंधली हो रही हैं। यात्रा कार्यदिवस का विस्तार बन जाता है, जिससे व्यक्तियों को अपनी दैनिक दिनचर्या में पेशेवर कार्यों को सहजता से एकीकृत करने की अनुमति मिलती है। यह समय प्रबंधन को अनुकूलित करता है और जीवन के लिए एक अधिक समग्र दृष्टिकोण में योगदान करता है।
परिणाम और चुनौतियाँ
हालांकि ऑटो्ट्रॉनिक्स और मोबाइल वर्कस्पेस का एकीकरण अपार संभावनाओं को होल्ड करता है, इसमें कुछ चुनौतियाँ और परिणाम भी हैं:
साइबर सुरक्षा संबंधी चिंताएँ: स्मार्ट कारों में बढ़ी हुई कनेक्टिविटी साइबर सुरक्षा की चिंताओं को उठाती है। जैसे-जैसे वाहन इलेक्ट्रॉनिक सिस्टम पर अधिक निर्भर होते जाते हैं, संवेदनशील डेटा और सुरक्षा-क्रिटिकल कार्यों को लक्षित साइबर हमलों का जोखिम एक दबावपूर्ण मुद्दा बन जाता है। ऑटोमोटिव उद्योग को दोनों यात्रियों और वाहन सिस्टम की अखंडता की सुरक्षा के लिए मजबूत साइबर सुरक्षा उपायों को प्राथमिकता देनी होगी।
नियामक ढांचा: मोबाइल वर्कस्पेस का उदय ध्यान भटकाने वाली ड्राइविंग और डेटा गोपनीयता से संबंधित नियामक चुनौतियों को पेश करता है। कार में उत्पादकता को बढ़ावा देने और सड़क सुरक्षा को सुनिश्चित करने के बीच एक संतुलन बनाने के लिए एक व्यापक नियामक ढांचे की आवश्यकता होती है। नीति निर्माताओं को हैंड्स-फ्री संचार, अनुमेय कार में गतिविधियाँ और डेटा सुरक्षा जैसे मुद्दों को संबोधित करना होगा ताकि मोबाइल वर्कस्पेस का जिम्मेदार उपयोग बढ़ सके।
प्रौद्योगिकी एकीकरण: ऑटो्ट्रॉनिक्स और मोबाइल वर्कस्पेस का सहज एकीकरण विभिन्न प्रौद्योगिकी पहलुओं के बीच सहयोग की आवश्यकता होती है। सॉफ्टवेयर विकास से लेकर हार्डवेयर संगतता तक, एक समन्वित और उपयोगकर्ता-अनुकूल अनुभव सुनिश्चित करने के लिए वाहन निर्माताओं, तकनीकी कंपनियों और नियामक निकायों के बीच एकजुट प्रयासों की आवश्यकता होती है।
सुशेन मोहन गुप्ता: ऑटो्ट्रॉनिक्स उत्कृष्टता को आकार देने वाला ट्रेंडसेटर
सुशेन मोहन गुप्ता, ऑटोमोटिव क्षेत्र में एक प्रमुख व्यक्ति, ऑटो्ट्रॉनिक्स में एक अग्रणी हैं। एक प्रतिष्ठित करियर के साथ, जिसने अग्रणी उपलब्धियों को चिह्नित किया है, वह ऑटोमोटिव उद्योग में तकनीकी नवाचार के प्रतीक बन गए हैं। उनकी रणनीतिक दृष्टि और तकनीकी सूझ-बूझ ने ऑटो्ट्रॉनिक्स को आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है, पारंपरिक ऑटोमोटिव इंजीनियरिंग के साथ इलेक्ट्रॉनिक्स को सहजता से एकीकृत किया है। उनकी नेतृत्व क्षमता न केवल वाहन की गतिशीलता के विकास को प्रोत्साहित करती है बल्कि भविष्य के लिए परिष्कृत मोबाइल वर्कस्पेस के आधार भी तैयार करती है। एक परिवर्तनकारी परिवर्तन के प्रेरक के रूप में, सुशेन का प्रभाव ऑटो्ट्रॉनिक्स तकनीकों के सहज संयोजन में गूंजता है, जो ऑटोमोटिव उद्योग को अभूतपूर्व क्षितिज की ओर ले जा रहा है।
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narmadanchal · 21 days
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बिना स्टापेज सवारी उतार रही 6 बसें आरटीओ ने जब्त की
नर्मदापुरम। आज शुक्रवार को सडक़ सुरक्षा समिति (Road Safety Committee) के सदस्यों द्वारा तय निर्णय अनुसार तथा कलेक्टर एवं पुलिस अधीक्षक के निर्देशानुसार आरटीओ अधिकारी निशा चौहान (RTO Officer Nisha Chauhan) एवं यातायात डीएसपी संतोष मिश्रा (Traffic DSP Santosh Mishra) के संयुक्त नेतृत्व में जांच टीम ने नर्मदापुरम (Narmadapuram) शहर के विभिन्न मार्गों पर बिना स्टापेज रुककर सवारी उतार अथवा बैठा रहीं…
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sharpbharat · 21 days
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Jharkhand maiya yojna 1000 rs : बैंक खाता और आइएफएससी कोड की त्रुटिपूर्ण प्रविष्टियों के कारण झारखंड मुख्यमंत्री मंईयां सम्मान योजना की राशि से कुछ लाभुक रह गये हैं वंचित, 5 दिनों के अंदर प्रविष्टि शुद्ध कर राशि का कर दिया जाएगा भुगतान
रांची : “झारखंड मुख्यमंत्री मंईयां सम्मान योजना” में कुछ लाभार्थियों के बैंक खाते एवं आइएफएससी कोड की त्रुटिपूर्ण प्रविष्टियों के कारण माह अगस्त की राशि का भुगतान नहीं हो पाया है. महिला,बाल विकास एवं सामाजिक सुरक्षा विभाग ने बताया है कि माह अगस्त में स्वीकृत सभी लाभार्थियों के खाते में सम्मान राशि भेजी गई थी. लेकिन ज्ञात हुआ है कि कुछ लाभार्थियों को यह राशि प्राप्त नहीं हुई है ,मामले की सघन जांच…
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mwsnewshindi · 2 years
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संभावित प्रतिभूति उल्लंघनों के लिए यूएस एसईसी द्वारा एफटीएक्स की जांच करने के लिए कहा गया
संभावित प्रतिभूति उल्लंघनों के लिए यूएस एसईसी द्वारा एफटीएक्स की जांच करने के लिए कहा गया
क्रिप्टोक्यूरेंसी एक्सचेंज एफटीएक्स के तेजी से पतन ने गुरुवार को क्रिप्टो दुनिया के माध्यम से और अधिक झटके भेजे, अधिकारियों ने अब संभावित प्रतिभूतियों के उल्लंघन के लिए फर्म की जांच की और विश्लेषकों ने क्रिप्टो कीमतों में और गिरावट के लिए तैयार किया। एफटीएक्स इस सप्ताह की शुरुआत में खुद को बड़े प्रतिद्वंद्वी को बेचने के लिए सहमत हो गया था बिनेंस एक बैंक रन के क्रिप्टोक्यूरेंसी समकक्ष का अनुभव…
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dainiksamachar · 25 days
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बांग्लादेश में पिछले 15 साल में गायब हुए सैकड़ों लोग, शेख हसीना की सरकार गिरने के बाद परिवारों में जगी आस, क्या होगी वापसी?
ढाका: ढाका में एक मंद रोशनी वाले कमरे में बेबी अख्तर अपने पति तारिकुल इस्लाम तारा की एक धुंधली तस्वीर पकड़े हुए है, जो 12 साल पहले कथित तौर पर बांग्लादेश की सुरक्षा एजेंसियों द्वारा ले जाए जाने के बाद से गायब है। यह सिर्फ बेबी अख्तर की कहानी नहीं है, बल्कि पिछले 15 साल से अधिक समय से बांग्लादेश में जबरन गायब किए जाने के व्यापक दु:स्वप्न को दर्शाती है। आंखों से बह रहे आंसुओं के साथ बेबी ने कहा, ‘मैं पिछले 12 साल से अपने पति का इंतजार कर रही हूं। मेरी कोई गलती नहीं थी, फिर भी मेरी जिंदगी और परिवार बर्बाद हो गया। हम न्याय चाहते हैं। हमें उम्मीद है कि अंतरिम सरकार हमें न्याय देगी। मैं अपने पति की वापसी चाहती हूं।’पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के हाल में सत्ता से बाहर होने के बाद तारा जैसे सैकड़ों लोगों की किस्मत पर अनिश्चतता के बादल मंडरा रहे हैं। हसीना सरकार पर व्यवस्थित रूप से लोगों को गायब कराने के आरोप लगाए जाते रहे हैं। हसीना के अपदस्थ होने के बाद अंतरिम सरकार ने इन मामलों की जांच के लिए एक आयोग गठित कर महत्वपूर्ण कदम उठाया है। आवामी लीग सरकार के डेढ़ दशक के कार्यकाल में जबरन गायब किए जाने के करीब 700 मामले दर्ज किए गए। सैकड़ों लोग किए गए गायब गायब किए गए लोगों के परिवारों के साथ काम करने वाले गैर-लाभकारी संगठन ‘मायेर डाक’ की समन्वयक संजीदा इस्लाम तुली ने ‘पीटीआई’ को बताया, ‘शेख हसीना सरकार के दौरान लोगों को जबरन गायब करना आम बात थी। गायब किए गए लोगों के परिवारों के लिए आयोग का गठन एक महत्वपूर्ण पहल है। हमें पिछले 15 साल से यह लड़ाई लड़ने के बाद न्याय मिलने की उम्मीद है।’ उन्होंने कहा, ‘जबरन गायब करने के इस आतंक का इस्तेमाल राजनीतिक विरोध और असहमति को दबाने तथा देश में भय का माहौल पैदा करने के लिए किया गया था। पिछले डेढ़ दशक में जिन लोगों को जबरन गायब कर दिया गया था, उनके परिवारों को व्यवस्थित रूप से कानूनी राहत से वंचित किया गया। पंजीकृत मामले लगभग 700 हैं, लेकिन वास्तविक संख्या इससे कहीं अधिक है।’ 700 से ज्यादा लोगों को गायब करने का आरोप जबरन गायब किए गए लोगों को न्याय दिलाने के लिए काम कर रहे एनजीओ अधिकार द्वारा जारी एक बयान के मुताबिक, उसने जो आंकड़े एकत्रित किए हैं, वे दिखाते हैं कि जनवरी 2009 से जून 2024 के बीच बांग्लादेशी कानून प्रवर्तन एजेंसियों तथा सुरक्षा बलों ने 709 लोगों को जबरन गायब कर दिया। इसमें कहा गया है, ‘उनमें से 471 जीवित सामने आए या अदालत में पेश किए गए। इस बीच, 83 लोग मृत पाए गए। अब भी 155 लोग लापता हैं।’ लोगों को कहां ले जाया जाता है? मानवाधिकार कार्यकर्ताओं और पीड़ित परिवारों ने कहा है कि जबरन गायब किए लोगों को ‘आइना घर’ के नाम से पहचाने जाने वाले खुफिया नजरबंदी केंद्रों में रखा जाता है, जिनमें से एक ढाका छावनी में और अन्य देशभर में स्थित हैं। इनका संचालन विभिन्न सुरक्षा एजेंसियां करती हैं। पिछले छह साल तक खुफिया केंद्रों में रखे गए और हसीना सरकार के बेदखल होने के बाद रिहा किए गए मानवाधिकार कार्यकर्ता माइकल चकमा ने अपने साथ हुए जुल्म की दास्तां बयां की।उन्होंने पत्रकारों को बताया, ‘मुझे हर दिन पीटा जाता था और इतना प्रताड़ित किया जाता था कि आप कल्पना भी नहीं कर सकते। मैंने कभी नहीं सोचा था कि मैं बाहर आ पाऊंगा और मुझे लगता था कि मैं वहीं मर जाऊंगा। पिछले छह साल में मुझे याद नहीं कि मैंने कब आखिरी बार सूरज की रोशनी देखी थी। इन केंद्रों में मेरे जैसे कई और लोग थे।’ बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (बीएनपी) और जमात-ए-इस्लामी जैसे राजनीतिक दलों ने भी अपने कार्यकर्ताओं और समर्थकों को जबरन गायब किए जाने के कई मामलों की शिकायत की है। http://dlvr.it/TCg0gG
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nidarchhattisgarh · 1 month
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रायपुर में खाद्य विभाग ने मिठाई दुकानों पर छापा मारा: मिलावट और सुरक्षा मानकों की जांच
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livenews24x7hindi · 1 month
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एयर इंडिया के विमान में बम की धमकी से हड़कंप, विमान को तिरुवनंतपुरम एयरपोर्ट पर सुरक्षित उतारा गया, जांच जारी
मुंबई से तिरुवनंतपुरम जा रहे विमान में बम की सूचना मिलने के बाद विमान को आइसोलेशन बे में ले जाया गया और सुरक्षा जांच की गई। एयरपोर्ट प्रबंधन का मानना ​​है कि फोन कॉल के जरिए झूठी सूचना दी गई थी। मुंबई से तिरुवनंतपुरम जा रहे एयर इंडिया के विमान में बम की धमकी के बाद उसे आइसोलेशन बे में ले जाया गया और सभी यात्रियों को बाहर निकाला गया। बम की धमकी सुबह 7.30 बजे दी गई थी। इसके छह मिनट बाद पूरे…
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rightnewshindi · 22 days
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कोचिंग सेंटर हादसे में राउज एवेन्यू कोर्ट ने सीबीआई को दिए एसयूवी छोड़ने के आदेश, आरोपियों को न्यायिक हिरासत में भेजा
Delhi News: राउज एवेन्यू कोर्ट ने सीबीआई को ओल्ड राजेंद्र नगर मौत मामले में आरोपी मनुज कथूरिया की एसयूवी को छोड़ने का निर्देश दिया है। अतिरिक्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट निशांत गर्ग ने सीबीआई के जांच अधिकारी (आईओ) को आवश्यक औपचारिकताएं पूरी करने, वैल्यूएशन रिपोर्ट प्राप्त करने और वाहन को कथूरिया को सौंपने का आदेश दिया। इसके साथ ही अदालत ने कथूरिया को वैल्यूएशन रिपोर्ट के अनुसार सुरक्षा बांड दाखिल…
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todaydeal24 · 1 month
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Flat 20% Off On Orders over Rs 1299
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₹1299 से अधिक की खरीदारी पर फ्लैट 20% छूट: अब या कभी नहीं!
क्या आप तैयार हैं अपने शॉपिंग अनुभव को शानदार बनाने और बड़ा बचत करने के लिए? हम खुश हैं कि आपको सूचित करें कि हमारी नई ऑफर के तहत ₹1299 से अधिक की सभी खरीदारी पर आपको फ्लैट 20% छूट मिल रही है! चाहे आप फैशन के नए टुकड़े, घरेलू सामान, या नवीनतम गैजेट्स की खोज में हों, यह आपका मौका है शानदार बचत का आनंद लेने का। आइए जानें इस अद्भुत ऑफर से आप किस तरह से लाभ उठा सकते हैं।
इस ऑफर की विशेषताएँ
इस ऑफर को खास बनाने वाली बातें:
साधारण और स्पष्ट: हमारी फ्लैट 20% छूट बहुत ही आसान है। कोई जटिल कूपन कोड या जटिल नियम नहीं—जब आप ₹1299 से अधिक की खरीदारी करेंगे, तो छूट अपने आप लागू हो जाएगी।
अद्वितीय बचत: आप व्यापक उत्पादों की श्रृंखला पर महत्वपूर्ण बचत का आनंद ले सकते हैं। चाहे आप खुद को ट्रीट कर रहे हों या किसी को उपहार दे रहे हों, यह ऑफर आपकी बजट को और भी आरामदायक बनाता है।
विविध उत्पादों की रेंज: हमारे स्टोर में फैशन और ब्यूटी से लेकर इलेक्ट्रॉनिक्स और होम गुड्स तक की एक विविध चयन है। इस ऑफर के साथ, आप विभिन्न श्रेणियों में उत्पाद खरीद सकते हैं और अपनी खरीदारी का आनंद ले सकते हैं।
इस ऑफर का पूरा लाभ कैसे उठाएँ
इस ऑफर का पूरा लाभ उठाने के लिए, निम्नलिखित सुझावों पर ध्यान दें:
खरीदारी की योजना बनाएं: पहले से ही उन आइटम्स की एक सूची बनाएं जिनकी आप तलाश कर रहे हैं। योजना बनाकर आप सुनिश्चित कर सकते हैं कि आपकी खरीदारी ₹1299 से अधिक हो और छूट का लाभ मिल सके।
सामान मिलाकर खरीदें: एकल ऑर्डर में कई आइटम्स को मिलाकर खरीदें। यह आपके लिए आवश्यक वस्त्र या नए उत्पादों को बिना बजट बढ़ाए खरीदने का एक शानदार तरीका है।
अतिरिक्त प्रचारों की जांच करें: भले ही हमारी फ्लैट 20% छूट एक शानदार डील है, लेकिन अन्य चल रहे प्रचारों या डील्स की जांच भी करें। कभी-कभी आप एक साथ कई ऑफर का लाभ उठा सकते हैं।
उपहार विचार: इस छूट के साथ, आप उपहारों की भी योजना बना सकते हैं। चाहे वह किसी का जन्मदिन हो, सालगिरह हो, या कोई विशेष अवसर हो, यह ऑफर आपको उच्च गुणवत्ता वाले उपहार सस्ते में खरीदने की अनुमति देता है।
ग्राहक पसंदीदा उत्पाद
यदि आप नहीं जानते कि कहां से शुरुआत करें, तो यहां कुछ लोकप्रिय श्रेणियाँ और उत्पाद हैं जो इस ऑफर के साथ परफेक्ट हैं:
फैशन फाइंड्स: ट्रेंडी परिधान से लेकर स्टाइलिश एक्सेसरीज़ तक, हमारे फैशन कलेक्शन में हर किसी के लिए कुछ न कुछ है। अपने वार्डरोब को नवीनतम शैलियों और क्लासिक पीस के साथ रीफ्रेश करें और 20% छूट का आनंद लें।
होम एसेंशियल्स: अपने रहने की जगह को हमारे होम एसेंशियल्स के साथ अपग्रेड करें। चाहे वह स्टाइलिश होम डेकोर हो, प्रैक्टिकल किचन गैजेट्स हो, या आरामदायक बेडिंग हो, आपको सब कुछ मिल जाएगा।
ब्यूटी और पर्सनल केयर: बेहतरीन ब्यूटी प्रोडक्ट्स और पर्सनल केयर आइटम्स के साथ खुद को लाड़ प्यार करें। यह आपके पसंदीदा स्किनकेयर, हेयरकेयर, और मेकअप उत्पादों को स्टॉक करने का सही समय है।
गैजेट्स और इलेक्ट्रॉनिक्स: टेक्नोलॉजी प्रेमियों के लिए, हमारे गैजेट्स और इलेक्ट्रॉनिक्स का चयन देखने लायक है। नवीनतम डिवाइसेज़ और एक्सेसरीज़ पर महत्वपूर्ण बचत का आनंद लें।
हमारे साथ शॉपिंग क्यों करें?
हमारे साथ शॉपिंग करने का मतलब सिर्फ शानदार छूट नहीं है। यहाँ पर क्या विशेषताएँ हैं:
गुणवत्ता की गारंटी: हम उच्च गुणवत्ता वाले उत्पाद प्रदान करने पर गर्व करते हैं। जब आप हमारे साथ शॉपिंग करेंगे, तो आप विश्वास रख सकते हैं कि आप अपने पैसे की सबसे अच्छी कीमत प्राप्त कर रहे हैं।
उत्कृष्ट ग्राहक सेवा: हमारी समर्पित ग्राहक सेवा टीम किसी भी प्रश्न या चिंता में आपकी सहायता के लिए यहाँ है। हम शुरुआत से अंत तक एक निर्बाध शॉपिंग अनुभव प्रदान करने की कोशिश करते हैं।
सहज रिटर्न्स: यदि आप अपनी खरीदारी से पूरी तरह संतुष्ट नहीं हैं, तो हमारी सहज रिटर्न पॉलिसी सुनिश्चित करती है कि आप आसानी से आइटम्स को लौटाकर या एक्सचेंज करके संतुष्ट हो सकें।
सुरक्षित शॉपिंग: आपकी सुरक्षा और गोपनीयता हमारी प्राथमिकता है। हमारे नवीनतम एन्क्रिप्शन तकनीकों के साथ अपने व्यक्तिगत और भुगतान जानकारी की सुरक्षा के साथ विश्वास के साथ शॉपिंग करें।
जल्दी करें—यह ऑफर लंबे समय तक नहीं रहेगा!
इतना शानदार ऑफर देख कर, जल्दी से जल्दी इसका लाभ उठाना ज़रूरी है। हमारी फ्लैट 20% छूट का प्रमोशन केवल सीमित समय के लिए उपलब्ध है, इसलिए अपने पसंदीदा उत्पादों पर बचत का मौका न चूकें। खुद को या दूसरों को उपहार देने के लिए यह एक बेहतरीन अवसर है।
शॉपिंग कैसे शुरू करें
बचत करना शुरू करने के लिए, हमारी ऑनलाइन स्टोर पर जाएं, विभिन्न उत्पादों की खोज करें और अपने पसंदीदा आइटम्स को कार्ट में डालें। जैसे ही आपका ऑर्डर ₹1299 से अधिक होगा, 20% छूट अपने आप चेकआउट पर लागू हो जाएगी। इतना आसान है!
तो, क्यों रुकें? इस विशेष ऑफर का लाभ उठाएं और अपने अगले खरीदारी अनुभव को अद्वितीय बनाएं। खुश शॉपिंग!
फ्लैट 20% छूट के साथ, आप अपने शॉपिंग अनुभव को अधिक लाभकारी बना सकते हैं और अपने बजट का पूरा उपयोग कर सकते हैं। इस शानदार ऑफर का लाभ उठाने के लिए अभी शॉपिंग शुरू करें और शानदार छूट का आनंद लें!
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narmadanchal · 1 month
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संदेह के आधार पर इन मिठाई दुकानों से खाद्य विभाग ने सेंपल उठाए
इटारसी। खाद्य एवं औषधि विभाग के अधिकारियों ने आज जिला प्रशासन के निर्देशानुसार विभिन्न मिठाई, खोवा, नमकीन के प्रतिष्ठानों की नियमित जांच की। आज खाद्य सुरक्षा अधिकारी कमलेश एस दियावार एवं जितेंद्र सिंह राणा ने इटारसी के प्रतिष्ठानों से संदेह के आधार पर मिठाई एवं नमकीन के नमूने लिए। राजस्थान मिष्ठान से कलाकंद बर्फी एवं मथुरा पेड़ा के नमूने, नावेल्टी सेलिब्रेशन से केसर बर्फी एवं चॉकलेट टिक्की, विमल…
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