#भारतीय सेना में शामिल होने के लिए कैसे
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भारतीय सेना अग्निवीर फिजिकल भर्ती की तैयारी कैसे करें
भारतीय सेना में शामिल होने के लिए अग्निवीर फिजिकल भर्ती की तैयारी एक महत्वपूर्ण पहलू होता है। इस भर्ती में शामिल होने के लिए शारीरिक और मानसिक दृष्टि से तैयार रहना अत्यंत आवश्यक है। अग्निवीर भर्ती की तैयारी के लिए एक बढ़िया टाइम टेबल, नियमित अभ्यास, स्ट्रेस मैनेजमेंट, सही आहार, और मार्गदर्शन होना आवश्यक है जिससे कि आप अपने लक्ष्य तक पहुँच सकें।
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एनडीए परीक्षा की तैयारी कैसे करें?
unexpected एनडीए परीक्षा भारत में एक संयुक्त प्रवेश परीक्षा है जिसके माध्यम से उम्मीदवारों का चयन भारतीय सेना, नौसेना और वायु सेना में शामिल होने के लिए किया जाता है। यह परीक्षा साल में दो बार आयोजित की जाती है, एक बार अप्रैल-मई में और एक बार सितंबर-अक्टूबर में। एनडीए परीक्षा की तैयारी के लिए सबसे पहले यह आवश्यक है कि आप परीक्षा के सिलेबस और पैटर्न को अच्छी तरह से समझें। एक बार जब आप परीक्षा…
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प्राइवेटसिक्योरिटीएजेंसी (PSARA License) कैसेप्राप्तकरें
भारत में निजी सुरक्षा व्यवसाय शुरू करने से पहले Psara License लेना आवश्यक है | क्या अपने कभी सोचा है कि PSARA License कैसे लिया जाता है तो आज की वीडियो आपके लिये बहुत ही ज्यादा लाभ दायक है | आइये Psara license लेने की पूरी प्रक्रिया के बारे मे जानते है|
Psara license लेने पूरी प्रक्रिया
Psara License लेने के लिये सबसे पहले एक फॉर्म या कंपनी का निर्माण करना होगा | निजी सुरक्षा एजेंसी का मतलब एक एंटिटी है जो पुलिस के विकल्प के रूप में एक प्रतिष्ठान में सुरक्षा गार्ड और अन्य सेवाएं प्रदान करने के व्यवसाय मे शामिल हैं | निजी सुरक्षा एजेंसी के संचालन को निजी सुरक्षा एजेंसी विनियमन अधिनियम, 2005 के माध्यम से संचालित किया जाता है| जिसे प्राइवेट सिक्योरिटी एजेंसी रेगुलेशन एक्ट (Psara) के नाम से भी जाना जाता है | Psara अधिनियमित होने के बाद व्यवसाय शुरू करने से पहले एक सुरक्षा एजेंसी के लिए राज्य नियंत्रण प्राधिकरण से संबंधित लाइसेंस प्राप्त करना आवश्यक है | और गैर अनुपालन के मामले में कानून मे कड़े दंडात्मक नतीजा शामिल है | भारत में निजी सुरक्षा एजेंसी खोलने के लिये लाइसेंस के लिये आवेदन राज्य के लिये सक्षम प्राधिकारी यानि कॉम्पिटेंट अथॉरिटी को किया जाता है | Psara लाइसेंस किसी विशेष राज्य के एक या एक से अधिक जिले या पूरे राज्य मे संचालित करने के लिये जारी किया जाता है
Psara लाइसेंस के लिए आवेदन करने की पात्रता
Psara लाइसेंस के लिए कौन कौन आवेदन कर सकता है |
एक व्यक्ति
साझेदारी फर्म
सीमित देयता भागीदारी फर्म
एक व्यक्ति कंपनी
प्राइवेट लिमिटेड कंपनी
संबंधित राज्य के कॉम्पिटेंट अथॉरिटी को Psara License के लिये आवेदन कर सकते है |
निदेशक अधिकारी की पात्रता
आवेदक के पुलिस सत्यापन के लिये आवेदन कर्ता को भारतीय निवासी होना अनिवार्य है|
आयकर रिटर्न की एक प्रति पेश करने की ज़रूरत होती है | किसी भी अपराध के लिए दोषी नहीं होना चाहिए |
राष्ट्रीय हित खंड
ये लाइसेंस किसी ऐसे व्यक्ति को नहीं दिया जाता है यदि वह राष्ट्रीय सुरक्षा, लोक व्यवस्था की रक्षा के लिए किसी भी कानून के तहत प्रतिबंधित संगठन या एसोसिएशन के साथ संपर्क रखता हो |
आवेदक का नाम और उद्देश्य
एंटिटी के नाम में सुरक्षा, सेवा से संबंधित शब्द शामिल होने चाहिए | जो आवेदक के उद्देश्य का प्रतिनिधित्व करता हो |
कंपनी के मामले में, MOA में मुख्य उद्देश्यों में से एक के रूप मे सुरक्षा सेवाए प्रदान करना शामिल होना चाहिए |
प्रशिक्षण संस्था के साथ MOU
PSARA लाइसेंस के लिये आवेदक को प्रशिक्षण संस्थान या एक संगठन के साथ समझौता ज्ञापन में प्रवेश करना चाहिए | जिसे राज्य नियंत्रक प्राधिकरण द्वारा सुरक्षा गार्ड को प्रशिक्षण प्रदान करने के लिये अनुमोदित किया गया हो | पूर्व सैनिकों के लिये प्रशिक्षण आवश्यकता में छूट है |
Psara लाइसेंस प्राप्त करने की प्रक्रिया
अपनी योग्यता और दस्तावेजों की जांच करें | Psara लाइसेंस आवेदन करने का पहला चरण सभी आवश्यक दस्तावेज़ जैसे पैनकार्ड, टैन नंबर , GST , provident fund, ईएसआई , दुकान एवं प्रतिष्ठान अधिनियम के तहत स्थापना का रजिस्ट्रेशन और सभी निर्देशक का आयकर |
एक प्रशिक्षण संस्थान के साथ एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर
आवेदक अपने गार्ड और सुपरवाइजर को प्रशिक्षित करने के लिए एक मान्यता प्राप्त प्रशिक्षण संस्थान के एक समझौता ज्ञापन में प्रवेश करने के लिए होना चाहिए |
राज्य की कंट्रोलिंग अथॉरिटी में फाइलिंग
सहायक दस्तावेज के साथ भरे हुए पत्रों को नियंत्रित करने वाले प्राधिकरण मे जमा करने के बाद, आवेदन को सत्यापन के लिए संसाधित किया जाता है | पुलिस अधिकारी से अनापत्ति प्रमाण पत्र प्राप्त होने के बाद प्राधिकरण को लाइसेंस की मजूरी दे सकता है या किसी कारण के साथ अस्वीकृत कर सकता है |
Psara लाइसेंस की शर्त: -
Psara यह बताता है की प्रत्येक सुरक्षा एजेंसी सुरक्षा गार्ड के काम की निगरानी के लिए पर्यवेक्षक को जोड़ने की आवश्यकता है| पर्यवेक्षक को आवश्यक प्रशिक्षण और कौशल प्रदान करने के लिए सुरक्षा एजेंसी की आवश्यकता होती हैं | क़म से कम तीन साल के अनुभव के साथ सेना, नौसेना या वायुसेना के साथ एक व्यक्ति को पर्यवेक्षक को जोड़ते समय तरजीह दी जानी चाहिए | अधिनियम एक सुरक्षा गार्ड के लिए मापदंड, योग्यता को निर्धारित करता है |
Psara पंजीकरण के लिये आवश्यक दस्तावेज़: -
इन्ˌकॉपˈरेश्न् का प्रमाणपत्र और MOA
पंजीकृत कार्यालय का दस्तावेज़
प्रशिक्षण संस्थान के साथ समझौता ज्ञापन
सुरक्षा गार्ड के दस्तावेज़
निदेशक का पहचान पत्र और पता प्रमाण पत्र
प्रत्येक प्रोत्साहक का पैन कार्ड
प्रोत्साहक की दो तस्वीर
प्रत्येक निदेशक की आयकर
Psara पंजीकरण के लिए हमारे विशेषज्ञ से बात करें | यदि आप भी भविष्य में Psara पंजीकरण के लिए सोच रहे ��ै तो आज ही हमसे संपर्क करे हमारे फ़ोन नंबर है +91-7229903363 और अधिक जानकारी के लिये हमारी वेबसाइट www.gstnitbuddies.com पर विजिट करे |
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युवा भी बन सकते हैं नेवी में अधिकारी, इसलिए ये दिन मनाया जाता है
युवा भी बन सकते हैं नेवी में अधिकारी, इसलिए ये दिन मनाया जाता है
।भारतीय नौसेना दिवस: देश की रक्षा के लिए देश के हर नागरिक को सेना में जाने की इच्छ��� होती है। समय-समय पर सेना में काम करने के लिए भर्तियां चलती हैं देश की कोई भी सेना किसी से कम नहीं है। लेकिन आज का दिन कुछ खास है, आज नौसेना सेना दिवस के मौके पर जानिए कि कैसे आप नौसेना में करियर बना सकते हैं। इसके अलावा यहां जानें कि नौसेना क्यों मनाई जाती है। नेवी में अधिकारी बन सकते हैंनेवी में शामिल होने के लिए…
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भारतीय सेना नौकरियां: रेलवे डीलर के लिए भारतीय सेना में, पे-स्केल 1.77 लाख तक, लिखित परीक्षा नहीं होगी
भारतीय सेना नौकरियां: रेलवे डीलर के लिए भारतीय सेना में, पे-स्केल 1.77 लाख तक, लिखित परीक्षा नहीं होगी
हाइलाइट्स: भारतीय आर्मी में बीई व पाल ग्रेजुएट्स के लिए निकली वैकेंसी सेलेक्शन के लिए कोई लिखित परीक्षा नहीं होगी लेफ्टिनेंट के पद पर स्थायी कमीशन मिलेगा भारतीय मिलिट्री एकेडमी (IMA) में 49 सप्ताह की विल ट्रेनिंग मिलेगी भारतीय सेना नौकरियां इंजीनियरों के लिए: अगर आपने केएम की पढ़ाई की है, तो आप भारतीय सेना (भारतीय सेना) जवाइन कर सकते हैं। बीई / BR करने वाले युवाओं के लिए भारतीय आर्मी ने वैकेंसी…
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#sarkari naukri#आर्मी जॉब वैकेंसी#इंजीनियरों के लिए भारतीय सेना की रिक्ति#जॉब्स जंक्शन न्यूज हिंदी में#जॉब्स जंक्शन समाचार#जॉब्स जंक्शन हेडलाइंस#नवीनतम नौकरियां जंक्शन समाचार#भारतीय सेना#भारतीय सेना की भर्ती#भारतीय सेना टीजीसी रिक्ति 2021#भारतीय सेना नौकरियां#भारतीय सेना में नौकरी#भारतीय सेना में शामिल होने के लिए कैसे#संयुक्त जंक्शन समचहर#सरकारी नौकरी रिक्ति
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Army Recruitment 2022 : सेना में पुरुष और महिलाओं के लिए भर्ती, जानिए वैकेंसी डिटेल
Indian Army SSC Tech Recruitment 2022 : भारतीय सेना में शामिल को लेकर देश की सेवा करने का सपना देखने वालों युवाओं के लिए एक शानदार मौका आया है। भारतीय सेना ने शॉर्ट सर्विस कमीशन (एसएससी) के लिए पुरुष और महिलाओं से आवेदन आमंत्रित किए है। 59वें शॉर्ट सर्विस कमीशन (टेक) पुरुष (अक्टूबर 2022) और 30 वें शॉर्ट सर्विस कमीशन (टेक) महिला (अक्टूबर 2022) कोर्स के लिए ऑनलाइन आवेदन 08 मार्च 2022 से शुरू हो गई है। इच्छुक और योग्य अविवाहित पुरुष और अविवाहित महिला उम्मीदवार आधिकार���क वेबसाइट joinindianarmy.nic.in पर जाकर आवेदन कर सकते है। महत्वपूर्ण तिथियां एसएससी अधिकारी ऑनलाइन आवेदन जमा करने की शुरुआत : 08 मार्च 2022 एसएससी अधिकारी ऑनलाइन आवेदन जमा करने की अंतिम तिथि : 06 अप्रैल 2022
वैकेंसी डिटेल एसएससी के लिए कुल पदों की संख्या : 191 पद एसएससी टेक मेन 59वां कोर्स : 175 पद एसएससी टेक महिला 30वां कोर्स : 14 पद रक्षा कर्मियों की विधवाएं : 2 पद यह भी पढ़ें - DU Recruitment 2022: दिल्ली विश्वविद्यालय में नौकरी पाने का सुनहरा मौका, जानिए वैकेंसी डिटेल
भारतीय सेना एसएससी तकनीकी अधिकारी वेतन लेफ्टिनेंट लेवल 10 - 56,100 - 1,77,500 कप्तान स्तर 10बी - 61,300-1,93,900 प्रमुख स्तर 11 - 69,400-2,07,200 लेफ्टिनेंट कर्नल लेवल 12ए - 1,21,200-2,12,400 कर्नल लेवल 13 - 1,30,600-2,15,900 ब्रिगेडियर लेवल 13ए - 1,39,600-2,17,600 मेजर जनरल लेवल 14 - 1,44,200-2,18,200 लेफ्टिनेंट जनरल एचएजी स्केल लेवल 15 - 1,82,200-2,24,100 लेफ्टिनेंट जनरल एचएजी + स्केल लेवल 16 - 2,05,400-2,24,400 वीसीओएएस/सेना कमांडर/लेफ्टिनेंट जनरल (एनएफएसजी) - लेवल 17 2,25,000/- (फिक्स्ड) सीओएएस लेवल 18 - 2,50,000/- (फिक्स्ड) यह भी पढ़ें - Bank Recruitment 2022: बैंक में 250 पदों पर भर्ती, जानिए कैसे करें आवेदन
शैक्षिक योग्यता इंजीनियरिंग डिग्री रखने वाले उम्मीदवार आवेदन करने के पात्र हैं। इंजीनियरिंग डिग्री कोर्स के अंतिम वर्ष में पढ़ रहे उम्मीदवार भी आवेदन कर सकते हैं। उन्हें सभी सेमेस्टर/वर्षों की अंकतालिकाओं के साथ इंजीनियरिंग डिग्री परीक्षा उत्तीर्ण करने का प्रमाण प्रस्तुत करने और निर्धारित समय से पहले इंजीनियरिंग डिग्री प्रमाणपत्र प्रस्तुत करने में सक्षम होना चाहिए। भारतीय सशस्त्र बलों के रक्षा कर्मियों की विधवाओं के लिए शैक्षिक योग्यता, जिनकी हार्नेस में मृत्यु हो गई।
चयन मानदंड भारतीय सेना एसएससी तकनीकी अधिकारी के लिए उम्मीदवारों का चयन के आधार पर किया जाएगा। — आवेदनों की शॉर्टलिस्टिंग — एसएसबी साक्षात्कार (चरण I और II) — चिकित्सा परीक्षण
आयु सीमा जारी अधिसूचना के अनुसार, 01 अक्टूबर 2022 को 20 से 27 वर्ष (उम्मीदवारों का जन्म 02 अक्टूबर 1995 और 01 अक्टूबर 2002 के बीच हुआ है)।
भारतीय सेना एसएससी तकनीकी अधिकारी भर्ती 2022 के लिए आवेदन कैसे करें? — सबसे पहले भारतीय सेना की वेबसाइट joinindianarmy.nic.in पर जाएं। — होमपेज पर '���ंजीकरण लिंक' पर क्लिक करें। — नए पेज में उम्मीदवार अपना विवरण भरें। — इसके बाद ऑनलाइन आवेदन जमा करें। — ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया पूरी होने के बाद इसका प्रिंट-आउट लें।
from Patrika : India's Leading Hindi News Portal https://www.patrika.com/jobs/indian-army-ssc-tech-recruitment-2022-for-men-and-women-vacancies-7386789/
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गणतंत्र दिवस 2022: 26 जनवरी को क्यों चुना गया, महत्व और उत्सव का इतिहास
हर साल, ��ारत तीन सार्वजनिक समारोहों की सराहना करता है: 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस, 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस और 2 अक्टूबर को गांधी जयंती।
हर साल, भारत तीन सार्वजनिक समारोहों की सराहना करता है: 26 Jan Kyu Manaya Jata Hai , 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस और 2 अक्टूबर को गांधी जयंती।
राष्ट्र बुधवार को अपने 73वें गणतंत्र दिवस की सराहना करेगा, लेकिन COVID-19 महामारी को ध्यान में रखते हुए कुछ बदलावों के आलोक में।
हम गणतंत्र दिवस की ऐतिहासिक पृष्ठभूमि, इसके महत्व और हम इसकी प्रशंसा क्यों करते हैं, इसकी खोज कैसे करते हैं:
हम 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस क्यों मनाते हैं
इस तथ्य के बावजूद कि भारत ने 15 अगस्त, 1947 को स्वायत्तता हासिल कर ली थी, इसके नियम अभी तक भारत सरकार अधिनियम 1935 के सीमांत के मद्देनजर थे।
19 अगस्त, 1947 को, मसौदा समिति की व्यवस्था के लिए एक लक्ष्य पेश किया गया था जो एक संविधान का मसौदा तैयार करने के लिए भरोसेमंद था। डॉ बीआर अंबेडकर को इसके प्रशासक के रूप में चुना गया था।
26 जनवरी 1950 को, भारत सरकार अधिनियम (1935) की जगह लेते हुए, भारत का संविधान प्रभावी हो गया। अपने स्वयं के संविधान को अपनाकर, भारत 26 जनवरी को एक गणतंत्र में बदल गया।
उस दिन, डॉ राजेंद्र प्रसाद ने भारत के राष्ट्रपति के रूप में अपना प्रारंभिक कार्यकाल शुरू किया और संविधान सभा नए संविधान की क्षणिक व्यवस्था के तहत भारत की संसद में बदल गई।
15 अगस्त, 1947 को भारत के ब्रिटिश शासन से मुक्त होने से पहले, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (INC) ने 26 जनवरी, 1930 को "पूर्ण स्वराज" या पूर्ण स्व-शासन की घोषणा की।
जबकि भारत 15 अगस्त, 1947 को स्वतंत्र था, यह भारत सरकार अधिनियम 1935 के अनुसार पूरे समय देखरेख कर रहा था। 26 जनवरी, 1950 को संविधान के स्वागत के साथ ही यह एक गणतंत्र और पूरी तरह से आत्म-प्रधान बन गया।
गणतंत्र दिवस की कैसे होती है तारीफ
गणतंत्र दिवस के उत्सव 24 जनवरी से शुरू होते हैं। बहरहाल, इस साल इसकी शुरुआत एक दिन पहले 'पराक्रम दिवस' के साथ ह��ई, जो नेताजी सुभाष चंद्र बोस का जन्मोत्सव है।
राष्ट्रपति गणतंत्र दिवस से ठीक पहले देश का रुख करते हैं।
गणतंत्र दिवस का मुख्य उत्सव वर्ष के सबसे बड़े और सबसे महत्वपूर्ण जुलूसों के साथ शुरू होने से पहले, राज्य प्रमुख अमर जवान ज्योति पर एक वनस्पति माल्यार्पण करते हैं, जो भारत के शहीद सेनानियों की सराहना करने के लिए दो मिनट के मौन के बाद होता है।
राष्ट्रपति, राज्य के शीर्ष नेता और केंद्रीय आगंतुक के मंच पर पहुंचने के बाद, राष्ट्रगान जन गण मन बजाया जाता है।
तोपखाने की भारतीय सेना रेजिमेंट, उस समय, 21-हथियारों की सलामी देती है।
राष्ट्रपति उस समय, अशोक चक्र और कीर्ति चक्र जैसे महत्वपूर्ण सम्मान प्रदान करते हैं, जो सेना के व्यक्तियों को क्षेत्र में उनके असाधारण पराक्रम के लिए होते हैं और इसके अलावा सामान्य लोग जिन्होंने विभिन्न परिस्थितियों में निडरता के अपने विभिन्न प्रदर्शनों से खुद को अलग कर लिया है, या तो सैन्य, गैर सैन्य कर्मियों या आपदा की स्थितियों में।
इसके पीछे जुलूस निकलता है, जो राष्ट्रपति भवन के प्रवेश द्वार से शुरू होता है और राजपथ, इंडिया गेट से होते हुए लाल किले तक जाता है। जो भी हो, कोविड-19 के कारण, यह इस साल केवल नेशनल स्टेडियम तक जाएगा।
यह जुलूस भारतीय सेना, नौसेना और वायु सेना की विभिन्न रेजीमेंटों के साथ भारत की सुरक्षा क्षमता, सामाजिक और सामाजिक विरासत को दर्शाता है और उनके समूह वॉक पास्ट करते हैं।
राष्ट्रपति, जो भारतीय सशस्त्र बलों के कमांडर-इन-चीफ की तलहटी पर भी मजबूती से खड़ा होता है, शक्तियों द्वारा सलामी दी जाती है।
विभिन्न अर्ध-सैन्य शक्तियों और पुलिस शक्तियों के दल भी इसी तरह काफिले में भाग लेते हैं।
जुलूस में सशस्त्र बलों की बाइक इकाइयों और सामान्य सुरक्षा व्यवस्थाओं द्वारा एड्रेनालाईन जंकी क्रूजर सवारी क्षमताओं का प्रदर्शन भी शामिल है। भारतीय वायु सेना के विमानों और हेलीकॉप्टरों का फ्लाईपास्ट भी दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर देता है।
अलग-अलग राज्यों के ज्वलंत दृश्य अर्थात् उनके समाज भी गणतंत्र दिवस उत्सव के लिए आवश्यक हैं। दृश्य विभिन्न राज्यों के सत्यापन योग्य अवसरों, विरासत, संस्कृति, सुधार परियोजनाओं और प्राकृतिक जीवन को संबोधित करते हैं।
29 जनवरी को बीटिंग रिट्रीट के साथ गणतंत्र दिवस समारोह का समापन हुआ।
बीटिंग रिट्रीट सेना के तीन अंगों - थल सेना, नौसेना और वायु सेना के समूहों द्वारा किया जाता है।
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भाइयों का मिलन : कैसे अरविंद और अर्जुन ने हासिल किया रोइंग का ओलंपिक कोटा? Divya Sandesh
#Divyasandesh
भाइयों का मिलन : कैसे अरविंद और अर्जुन ने हासिल किया रोइंग का ओलंपिक कोटा?
नई दिल्ली। राजस्थान निवासी अर्जुन लाल जाट और उत्तर प���रदेश के अरविंद सिंह 2016 तक ओलंपिक खेलों से पूरी तरह अनजान थे। इसमें हिस्सा लेना तो दूर की बात है। आज रोइंग की यह भारतीय जोड़ी टोक्यो ओलंपिक के लिए क्वालीफाई कर चुकी है। अर्जुन और अरविंद ने एशिया-ओसेनिया ओलंपिक और पैरालम्पिक कांटीनेंटल क्वालीफाईंग इवेंट में रजत पदक हासिल करते हुए टोक्यो का टिकट कटाया।
अर्जुन ने ओलंपिक डॉट कॉम को बताया, हमने टोक्यो ओलंपिक के बाद बहुत अधिक नहीं सोचा था, लेकिन हम अक्टूबर 2020 से इसके लिए प्रशिक्षण ले रहे हैं और सिर्फ अपना सर्वश्रेष्ठ देना चाहते हैं।
टोक्यो खाड़ी में फॉरेस्ट वाटरवे पर क्वालीफिकेशन इवेंट के दौरान अरविंद और अर्जुन टोक्यो 2020 के लिए जगह पक्की करने वाले 14-सदस्यीय दल में एकमात्र भारतीय थे। हल्के डबल स्कल्स में प्रतिस्पर्धा करते हुए इस जोड़ी ने 6:36.92 के समय 2000 मीटर की दूरी तय की और नाओकी फ्रूता और मित्सुओ निशिमुरा की जापानी टीम से 2.22 सेकंड पहले फिनिश लाइन पार कर ली।
2018 एशियाई खेलों में अर्जुन और अरविंद रिजर्व भारतीय थे, जब रोहित कुमार और भगवान सिंह की टीम ने भारत के लिए लाइट डबल स्कल्स में कांस्य पदक जीता था। खबरों की भरमार वाले इस युग में उनकी सफलता दबी रह गई।
एक साल बाद जब टीम ने एशियाई चैंपियनशिप के लिए दक्षिण कोरिया के चुंगजू की यात्रा की तो दोनो भाइयों की जोड़ी पहली पसंद थी। उन्होंने पिछले दो संस्करणों में एक पदक के साथ आने वाली टीम को फाइनल में पहुंचाकर एक रजत पदक अपने नाम किया।
अरविंद कहते हैं, हम उनसे (रोइंग की बड़ी टीमों) से डरते थे और सोचते थे कि वो हमें कितनी लीगों से हराएंगे, लेकिन हमने दक्षिण कोरिया में एक रजत पदक जीता। इससे हमारे आत्मविश्वास को मजबूत करने में मदद मिली।
जहां अर्जुन राजस्थान के नायबास गांव से हैं, वहीं अरविंद उत्तर प्रदेश के एक छोटे से गांव खबड़ा से हैं, लेकिन दोनों बड़े होकर अपने माता-पिता को अपने मामूली खेतों की ओर बढ़ने में मदद करने लगे। ग्रामीण भारत के बहुत से युवाओं की तरह दोनों सुरक्षित नौकरी के लिए सेना में शामिल हो गए। उन दोनों को नौकरी के दौरान ही रोइंग में लाया गया था।
अप्रैल 2016 में अपनी ट्रेनिंग पूरी करने वाले 24 वर्षीय अरविंद ने कहा, ईमानदारी से कहूं तो मैं सेना में शामिल होने से पहले खेल के बारे में ज्यादा नहीं जानता था। गांव के लोग थोड़ा बहुत खेलते थे और क्रिके�� या कुछ एथलेटिक स्पर्धाओं में भाग लेते हैं, लेकिन मेरे सेना के प्रशिक्षण के बाद मैं रोइंग शिविर में शामिल हो गया और धीरे-धीरे खेल में दिलचस्पी लेने लगा।
राजस्थान निवासी पूर्व भारतीय ओलंपियन बजरंग लाल ने रोइंग के बारे में जानने वाले 25 वर्षीय अर्जुन ने कहा, सेना में शामिल होने से पहले मुझे खेल में कोई दिलचस्पी नहीं थी। 2016 में जब मैंने रोइंग शुरू की तो मैंने सुना कि रोवर्स ओलंपिक में जाते हैं।
यह खबर भी पढ़ें: इस मंदिर में लोग प्रसाद नहीं बल्कि चढ़ाते हैं खून, फिर भक्तों की लगती है भीड़
रोइंग में लीग पर लीग बिल्कुल निरसता भरी होती है, लेकिन दिल से करने पर यह अच्छी लगती है। इसके लिए आपको मजबूत पैर और हाथ और बड़े दिल की जरूरत होती है। अर्जुन कहते हैं, हां, शुरूआत में कई बार मैं बहुत थक जाता था, लेकिन मुझे पता था कि मुझे इसे करते रहना होगा।
यह 2017 में अर्जुन और अरविंद ने सेना में शामिल होने का फैसला किया। दोनों का वजन लगभग 72.5 किलोग्राम था, जो कि एक अधिकतम रोवर है जो हल्के डबल स्कल्स श्रेणी में आ सकते थे, लेकिन टीम का औसत 70 किलोग्राम से अधिक नहीं हो सकता।
ह्लचूंकि हम दोनों 72.5 के आसपास थे, हमने महसूस किया कि उन अतिरिक्त 2-3 किलोग्राम को गिराने में बहुत अधिक प्रयास नहीं करना पड़ेगा। इस तरह हमने इवेंट में एक साथ रोइंग शुरू कर दी।
एशियाई क्वालीफाइंग इवेंट उसी स्थान पर हुआ जो टोक्यो ओलंपिक में रोइंग इवेंट की मेजबानी करेगा, लेकिन दुनिया के साथ अभी भी महामारी का मुकाबला करने के लिए वहां कोई धूमधाम या उत्साह नहीं था। अर्जुन कहते हैं, हम क्लब से होटल और फिर क्लब वापस जाते हैं।
उज्बेकिस्तान जैसी मजबूत टीमों से दूसरे स्थान पर और आगे रहते वाले यह जोड़ी बिना किसी खेल के माहौल में फली-फूली है।
अरविंद कहते हैं, इसके बाद कोई जश्न नहीं था। बस हमने अपने परिवारों से बात की और उन्हें हम पर गर्व है, लेकिन हम ओलंपिक में पदक जीतने के बाद ही जश्न मनाएंगे।”
18 मई से वो पुणे में आर्मी स्पोर्ट्स इंस्टीट्यूट में प्रशिक्षण प्राप्त करेंगे और ओलंपिक में पदक जीतने के अपने नए सपने को पूरा करने पर काम करेंगे।
–आईएएनएस
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1.बीटेक के छात्र शुभम सिन्हा ने 4थी रैंक हासिल की (BTech Student Shubham Sinha Ranked 4th)-
(1.)बीटेक के छात्र शुभम सिन्हा ने 4थी रैंक हासिल की (BTech Student Shubham Sinha Ranked 4th)।
(2.)हालांकि शुभम सिन्हा को कई बार असफलता का सामना करना पड़ा परंतु उसने लक्ष्य का पीछा करना नहीं छोड़ा।
(3.)शुभम सिन्हा का बचपन से ही रक्षा सेवा में जाने का पैशन था।अब इस सपने के पूरा होने पर शुभम सिन्हा खुश है।
(4.)शुभम सिन्हा (पटना, बिहार) ने यूपीएससी सीडीएस 2 (इलेक्ट्रॉनिक एंड कम्युनिकेशन इंजीनियरिंग) शॉर्ट सर्विस कमीशन (तकनीकी-सैन्य) परीक्षा में ऑल इंडिया में चौथा रैंक, भारतीय नौसेना एकेडमी में 19वीं एवं भारतीय सैन्य अकादमी में 48वां स्थान प्राप्त किया है।
(5.)उनका यह सपना पूरा हुआ है और वे अगले महीने देहरादून स्थित मिलिट्री एकेडमी में ट्रेनिंग के लिए जा रहे हैं।ट्रेनिंग के बाद वे भारतीय सेना में लेफ्टिनेंट का पद संभालेंगे।
(6.)शुभम सिन्हा 3 अक्टूबर को मिलिट्री एकेडमी को ज्वाइन करेंगे।वहां डेढ़ साल की ट्रेनिंग के बाद वे लेफ्टिनेंट के तौर पर भारतीय सेना में शामिल होंगे।शुभम सिन्हा टीम वर्क में विश्वास करते हैं।उनकी कोशिश रहेगी कि सबको साथ लेकर चले।उनका भरोसा और सम्मान हासिल कर सकें।
(7.)भारतीय रक्षा सेवा के लिए खुद को शारीरिक एवं मानसिक रूप से कैसे तैयार किया इसके लिए शुभम सिन्हा का मानना है कभी भी मन से हार नहीं माननी चाहिए।गिव अप नहीं करना चाहिए।
(8.)शुभम सिन्हा ने इतनी विफलताएं देखी लेकिन कभी खुद को हारने नहीं दिया।मेडिटेशन के द्वारा नकारात्मकता से दूर रहे।
(9.)मानसिक रूप से खुद को तैयार किया। इसमें अभिभावकों का भी सहयोग मिला।
(10.)हालांकि अभिभावक चाहते थे कि सिविल सर्विस में जाए लेकिन उन्होंने हर प्रकार से उत्साहवर्धन किया जबकि शुभम सिन्हा के परिवार में किसी की भी सैन्य पृष्ठभूमि नहीं रही है।
(11.)शुभम सिन्हा का पक्का निश्चय था कि उन्हें क्या करना है?
(12.) इंजीनियरिंग कॉलेज में प्लेसमेंट के दौरान उन्हें अच्छी कंपनियों के ऑफर आए थे।लेकिन उन्होंने बड़ी सैलरी पैकेज को चुनने की बजाए डिफेंस सेवा में जाने का निर्णय लिया।
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#BTech Student Shubham Sinha Ranked 4th in UPSC CDS 2#Engineering student secured fourth rank in UPSC CDS 2#Engineering Student Who Ranked 4th In UPSC CDS 2#Engineering student secured fourth rank#Engineering Student Who Ranked 4th#Tips for success
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भारत में निजी सुरक्षा व्यवसाय शुरू करने से पहले Psara License लेना आवश्यक है | क्या अपने कभी सोचा है कि PSARA License कैसे लिया जाता है तो आज की वीडियो आपके लिये बहुत ही ज्यादा लाभ दायक है | आइये Psara license लेने की पूरी प्रक्रिया के बारे मे जानते है|
Psara license लेने पूरी प्रक्रिया
Psara License लेने के लिये सबसे पहले एक फॉर्म या कंपनी का निर्माण करना होगा | निजी सुरक्षा एजेंसी का मतलब एक एंटिटी है जो पुलिस के विकल्प के रूप में एक प्रतिष्ठान में सुरक्षा गार्ड और अन्य सेवाएं प्रदान करने के व्यवसाय मे शामिल हैं | निजी सुरक्षा एजेंसी के संचालन को निजी सुरक्षा एजेंसी विनियमन अधिनियम, 2005 के माध्यम से संचालित किया जाता है| जिसे प्राइवेट सिक्योरिटी एजेंसी रेगुलेशन एक्ट (Psara) के नाम से भी जाना जाता है | Psara अधिनियमित होने के बाद व्यवसाय शुरू करने से पहले एक सुरक्षा एजेंसी के लिए राज्य नियंत्रण प्राधिकरण से संबंधित लाइसेंस प्राप्त करना आवश्यक है | और गैर अनुपालन के मामले में कानून मे कड़े दंडात्मक नतीजा शामिल है | भारत में निजी सुरक्षा एजेंसी खोलने के लिये लाइसेंस के लिये आवेदन राज्य के लिये सक्षम प्राधिकारी यानि कॉम्पिटेंट अथॉरिटी को किया जाता है | Psara लाइसेंस किसी विशेष राज्य के एक या एक से अधिक जिले या पूरे राज्य मे संचालित करने के लिये जारी किया जाता है
Psara लाइसेंस के लिए आवेदन करने की पात्रता
Psara लाइसेंस के लिए कौन कौन आवेदन कर सकता है |
एक व्यक्ति
साझेदारी फर्म
सीमित देयता भागीदारी फर्म
एक व्यक्ति कंपनी
प्राइवेट लिमिटेड कंपनी
संबंधित राज्य के कॉम्पिटेंट अथॉरिटी को Psara License के लिये आवेदन कर सकते है |
निदेशक अधिकारी की पात्रता
आवेदक के पुलिस सत्यापन के लिये आवेदन कर्ता को भारतीय निवासी होना अनिवार्य है|
आयकर रिटर्न की एक प्रति पेश करने की ज़रूरत होती है | किसी भी अपराध के लिए दोषी नहीं होना चाहिए |
राष्ट्रीय हित खंड
ये लाइसेंस किसी ऐसे व्यक्ति को नहीं दिया जाता है यदि वह राष्ट्रीय सुरक्षा, लोक व्यवस्था की रक्षा के लिए किसी भी कानून के तहत प्रतिबंधित संगठन या एसोसिएशन के साथ संपर्क रखता हो |
आवेदक का नाम और उद्देश्य
एंटिटी के नाम में सुरक्षा, सेवा से संबंधित शब्द शामिल होने चाहिए | जो आवेदक के उद्देश्य का प्रतिनिधित्व करता हो |
कंपनी के मामले में, MOA में मुख्य उद्देश्यों में से एक के रूप मे सुरक्षा सेवाए प्रदान करना शामिल होना चाहिए |
प्रशिक्षण संस्था के साथ MOU
PSARA लाइसेंस के लिये आवेदक को प्रशिक्षण संस्थान या एक संगठन के साथ समझौता ज्ञापन में प्रवेश करना चाहिए | जिसे राज्य नियंत्रक प्राधिकरण द्वारा सुरक्षा गार्ड को प्रशिक्षण प्रदान करने के लिये अनुमोदित किया गया हो | पूर्व सैनिकों के लिये प्रशिक्षण आवश्यकता में छूट है |
Psara लाइसेंस प्राप्त करने की प्रक्रिया
अपनी योग्यता और दस्तावेजों की जांच करें | Psara लाइसेंस आवेदन करने का पहला चरण सभी आवश्यक दस्तावेज़ जैसे पैनकार्ड, टैन नंबर , GST , provident fund, ईएसआई , दुकान एवं प्रतिष्ठान अधिनियम के तहत स्थापना का रजिस्ट्रेशन और सभी निर्देशक का आयकर |
एक प्रशिक्षण संस्थान के साथ एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर
आवेदक अपने गार्ड और सुपरवाइजर को प्रशिक्षित करने के लिए एक मान्यता प्राप्त प्रशिक्षण संस्थान के एक समझौता ज्ञापन में प्रवेश करने के लिए होना चाहिए |
राज्य की कंट्रोलिंग अथॉरिटी में फाइलिंग
सहायक दस्तावेज के साथ भरे हुए पत्रों को नियंत्रित करने वाले प्राधिकरण मे जमा करने के बाद, आवेदन को सत्यापन के लिए संसाधित किया जाता है | पुलिस अधिकारी से अनापत्ति प्रमाण पत्र प्राप्त होने के बाद प्राधिकरण को लाइसेंस की मजूरी दे सकता है या किसी कारण के साथ अस्वीकृत कर सकता है |
Psara लाइसेंस की शर्त: -
Psara यह बताता है की प्रत्येक सुरक्षा एजेंसी सुरक्षा गार्ड के काम की निगरानी के लिए पर्यवेक्षक को जोड़ने की आवश्यकता है| पर्यवेक्षक को आवश्यक प्रशिक्षण और कौशल प्रदान करने के लिए सुरक्षा एजेंसी की आवश्यकता होती हैं | क़म से कम तीन साल के अनुभव के साथ सेना, नौसेना या वायुसेना के साथ एक व्यक्ति को पर्यवेक्षक को जोड़ते समय तरजीह दी जानी चाहिए | अधिनियम एक सुरक्षा गार्ड के लिए मापदंड, योग्यता को निर्धारित करता है |
Psara पंजीकरण के लिये आवश्यक दस्तावेज़: -
इन्ˌकॉपˈरेश्न् का प्रमाणपत्र और MOA
पंजीकृत कार्यालय का दस्तावेज़
प्रशिक्षण संस्थान के साथ समझौता ज्ञापन
सुरक्षा गार्ड के दस्तावेज़
निदेशक का पहचान पत्र और पता प्रमाण पत्र
प्रत्येक प्रोत्साहक का पैन कार्ड
प्रोत्साहक की दो तस्वीर
प्रत्येक निदेशक की आयकर
Psara पंजीकरण के लिए हमारे विशेषज्ञ से बात करें | यदि आप भी भविष्य में Psara पंजीकरण के लिए सोच रहे है तो आज ही हमसे संपर्क करे हमारे फ़ोन नंबर है +91-7229903363 और अधिक जानकारी के लिये हमारी वेबसाइट www.gstnitbuddies.com पर विजिट करे |
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Covid 19 Current Affairs Question in Hindi
कोरोना वायरस से जुड़े 50 महत्वपूर्ण प्रशन हिन्दी में – Covid 19 Current Affairs Question in Hindi
इस वेबसाइट का आशय यह है कि आपको हमेशा वर्तमान जानकारी मिलती रहेगी जिससे आपको आगामी परीक्षा में समर्थन मिलेगा,
यदि आप किसी Government Job की तैयारी कर रहे हैं, तो आपके लिए सबसे ज्यादा ज़रूरी है कि आपको Current Affairs की Knowledge हो, आपको ये जानकारी हो कि आपके राज्य में, देश में या विदेश में क्या हो रहा है, आपकी सरकार कौन से अभियान और योजनायें शुरू कर रही है.
कौन से नियम और कानून बनाये गये हैं, उनमें क्या बदलाव किये जा रहे हैं, देश की अर्थव्यवस्था कैसी चल रही है, राजनीति में क्या हो रहा है, हमारे देश में कौन सी नई New Tecnology आई है, विज्ञान में कौन से नए आविष्कार हो रहे हैं, हमारे देश की सेना में कौन सी Exercise चलाई जा रही हैं, आदि के बारे में जानकारी होना अति आवश्क है,
हम आपको इस वेबसाइट के माध्यम से आने वाली UPSC, IAS, PCS, Banking, IBPS, Railway, Clerk, PO, UPPSC, RPSC, BPSC, MPPSC, TNPSC, MPSC, KPSC SSC EXAM, EXAM , HSSC EXAM, RSSC EXAM, PSSC EXAM, NDA EXAM, BANK EXAM और अन्य सरकारी प्रतियोगिता परीक्षाओं के लिए हर रोज नई कर्रेंट अफेयर्स and GK की लेटेस्ट अपडेट देंगे जो आपको आने वाली सरकारी नोंकरी में सायता करेगी,
1. कोरोना किस प्रकार से फैलने वाली बीमारी है?
A. जीवाणु द्वारा
B. विषाणु द्वारा
C. दोनों
D. फफूंद द्वारा
Ans. विषाणु द्वारा
2. कोरोना वायरस का पहला केश किस वर्ष मिला था?
A. 2017
B. 2018
C. 2019
D. 2020
Ans. 2019
3. कोरोना वायरस का नाम किस भाषा से लिया गया है?
A. हिन्दी
B. अँग्रेजी
C. लैटिन
D. चीनी
Ans. लैटिन
4. कोरोना वायरस का पहला केश किस देश मे मिला था?
A. अमेरिका
B. रूस
C. इटली
D. चीन
Ans. चीन
5. कोरोना वायरस का पूरा नाम क्या है?
A. 2019 नॉवेल कोरोना
B. 2019-nCoV
C. दोनों
D. क्राउन
Ans. दोनों
6. कोरोनावायरस किस बीमारी का कारण होता है?
A. मर्स
B. सार्स
C. A और B दोनों
D. इनमें से कोई नहीं
Ans. अ और ब दोनों
7. कोविड-19 के लिए कौन- सा वायरस जिम्मेदार है?
A. एन1एच1
B. इ��ोला
C. सार्स-कोव 2
D. निडोवायरस
Ans. सार्स-कोव 2
8. कोरोनावायरस के लक्षण क्या है?
A. बुखार
B. खांसी
C. सांस लेने में तकलीफ
D. उपर्युक्त सभी
Ans. उपर्युक्त सभी
9. इस वायरस का नाम कोरोनावायरस कैसे पड़ा?
A. क्राउन जैसा स्ट्रचर होने के कारण
B. पत्ती जैसा आकार होने के कारण
C. ईंटों जैसी सतह होने के कारण
D. इनमें से कोई नहीं
Ans. क्राउन जैसा स्ट्रचर होने के कारण
10. WHO के द्वारा कोरोना वायरस को क्या नाम दिया है?
A. क्राउन
B. COVID-19
C. 2019-nCoV
D. सभी
Ans. COVID-19
11. कोरोना से पीड़ित व्यक्ति के शरीर मे क्या-क्या बदलाव आते है?
A. निमोनिया
B. खांसी
C. जुकाम, बुखार
D. सभी
Ans. सभी
12. कोरोना वायरस का सबसे अधिक प्रभाव किस मौसम मे रहता है?
A. सर्दी
B. गर्मी
C. बरसात
D. सभी मौसम मे बराबर
Ans. सर्दी
13. कोरोना किस प्रकार का वायरस है?
A. डीएनए
B. आरएनए
C. दोनों
D. इनमे से कोई नहीं
Ans. आरएनए
14. कोरोना वायरस दो मुख्य वायरस कौन से है?
A. MERS-CoV, SES-CoV
B. SARA-CoV , SES-CoV
C. MERS-CoV, SARA-CoV
D. SES-CoV.MEC-CoV
Ans. MERS-CoV, SARA-CoV
15. अभी तक किस देश मे कोरोना वायरस के कारण सबसे ज्यादा मृत्यु हुई है?
A. चीन
B. ईरान
C. अमेरिका
D. इटली
Ans. अमेरिका
16. कोरोना वायरस से पीड़ित व्यक्ति मे कितने दिनों बाद इसके लक्षण दिखाई देते है?
A. 2 दिन से 14 दिन
B. 7 दिन से 14 दिन
C. 10 दिन से 20 दिन
D. 14 दिन से 18 दिन
Ans. 2 दिन से 14 दिन
17. COVID-1 के नाम से किस वायरस को जाना जाता है?
A. कोरोना
B. SARS
C. MERS
D. सभी को
Ans. SARS
18. कोरोना वायरस के प्रकोप के कारण किस संस्था द्वारा ग्लोबल इमरजेंसी लागू की गई है?
A. यूनिसेफ
B. डबल्यूएचओ
C. युनेस्को
D. सभी
Ans. डबल्यूएचओ
19. कोरोना वाइरस से लड़ने के लिए डबल्यूएचओ ने कितनी धनराशी दान दी है?
A. 600 मिलियन डॉलर
B. 650 मिलियन डॉलर
C. 675 मिलियन डॉलर
D. 700 मिलियन डॉलर
Ans. 675 मिलियन डॉलर
20. कोरोना वाइरस से लड़ने के लिए ADB (एशियन डेवेलपमेंट बैंक) ने कितनी धनराशी दान दी है?
A. 2 मिलियन डॉलर
B. 60 मिलियन डॉलर
C. 67 मिलियन डॉलर
D. 70 मिलियन डॉलर
Ans. 2 मिलियन डॉलर
21. कोरोना वाइरस से लड़ने के लिए भारत ने कितनी धनराशी दान दी है?
A. 2 मिलियन डॉलर
B. 6 मिलियन डॉलर
C. 1 मिलियन डॉलर
D. 7 मिलियन डॉलर
Ans. 1 मिलियन डॉलर
22. किस राज्य सरकार ने म्यांमार,चीन और दक्षिण पूर्व एशिया देशों से डिब्बा बांध खाद्य पदार्थों के आयात पर प्रतिबंध लगा दिया है?
A. उत्तर प्रदेश
B. उत्तराखंड
C. मिजोरम
D. मणिपुर
Ans. मणिपुर
23. कोरोना वायरस के खतरे मे भारत किस स्थान पर है?
A. 10 वें
B. 29 वें
C. 23 वें
D. 20 वें
Ans. 23 वें
24. कोरोना वायरस से निपटने के लिए किस देश ने टास्क फोर्स का गठन किया है?
A. भारत
B. चीन
C. इटली
D. ईरान
Ans. भारत
25. क्या चिकन, मीट, अंडा खाने से कोरोना वायरस का संक्रमण होता है?
Ans. अभी तक ऐसा कोई प्रमाण नहीं है, जिसमें कहा जाए कि यह नॉनवेज खाने से फैल रहा है।
26. कोरोना वायरस से निपटने के लिए भारत मे जनता कर्फ़्यू किस तिथि को हुआ था?
A. 21 मार्च – 2020
B. 22 मार्च – 2020
C. 23 मार्च – 2020
D. 24 मार्च – 2020
Ans. 22 मार्च – 2020
27. कोरोना वायरस पर स्वास्थ्य मंत्रालय ने निम्न मे से कौन सी ई-मेल आईडी उपलब्ध कराई है?
Ans. [email protected]
28. गोमूत्र पीने, अदरक, काली मिर्च, लहसुन, गर्म पानी आदि का इस्ते माल करने से कोरोना का वायरस मर जाएगा। इस पर क्या कहेंगे?
Ans. सोशल मीडिया में फैलाई जा रहीं ये सभी जानकारियां महज भ्रांतियां हैं। इन सबसे न तो कोरोना वायरस का संक्रमण रुकेगा और न ही यह ठीक करने की दवा है। अदरक, लहसुन, काली मिर्च से गले में वायरस मर जाएगा, इसका अभी तक कोई प्रमाण नहीं है।
29. कोरोना वाइरस से जुड़ी जानकारी के लिए स्वास्थ्य मंत्रालय ने कौन सा नया हेल्पलाइन नंबर जारी किया है?
A. 102
B. 1098
C. 1075
D. 1198
Ans. 1075
30. आस्ट्रेलिया मे कोरोना वायरस की वैक्सीन किस भारतीय वैज्ञानिक की अगुआई मे तैयार की जा रही है?
A. ऋषभ सिंह
B. एसएस वासन
C. के एल कालेकर
D. सभी
Ans. एसएस वासन
31. चाइना के वुहान शहर मे फसे 324 भारतीयों को किस विमान से बाहर निकाला गया था
A. एयर इंडिया
B. विस्तारा
C. पवन हंस
D. इंडिगो
Ans. एयर इंडिया
33. कोविड-19 के वैक्सीन के लिए हाल ही में मनुष्यों पर पहला परिक्षण कहां पर शुरू हुआ है,
A. रूस
B. अमेरिका
C. जापान
D. भारत
Ans. अमेरिका
33. अभी हाल ही में कोरोना वायरस ट्रैकर किसने लांच किया है
A. माइक्रोसॉफ्ट
B. मक्रोवेब
C. मक्रोवोर्ल्ड
नेटफ्लेसी
Ans. माइक्रोसॉफ्ट
34. कोरोना वायरस से लड़ने के लिए स्वच्छ हाथों की शक्ति को बढ़ावा देने के लिए सेफहैंड़स चुनौती की शुरूआत किसने की है
A. WHO
B. DWO
C. MON
D. ESRO
Ans. WHO
35. किसने कोविड-19 महामारी से संबंधित जानकारी के लिए एक वेबसाइट लांच की है
A. SAARC आपदा प्रबंधन केंद्र
B. AAWER आपदा प्रबंधन केंद्र
C. WQRST आपदा प्रबंधन केंद्र
D. GHTUO आपदा प्रबंधन केंद्र
Ans. SAARC आपदा प्रबंधन केंद्र
36. मणिपुर विश्वविद्यालय के रसायन विज्ञान विभाग ने कोरोना वायरस के मद्देनजर इथाईल अल्कोहल आधारित हैंड सैनिटाइजर की कितनी बोतलें बनाई है,
A. 500
B. 600
C. 400
D. 300
Ans. 500
37. किस बैंक ने IND – COVID इमर्जेंसी क्रेडिट लाइन की घोषणा की है
A.INDIA BANK
B.SBI BANK
C.PNB BANK
D.ICICI BANK
Ans. इंडियन बैंक
38. भारत में कोरोना वायरस से पहले मृत्यु किस राज्य में हुई थी?
A. कर्नाटक
B. हरयाणा
C. पंजाब
D. उतर्��र्देश
Ans. कर्नाटक
39. सूक्ष्मदर्शी (Microscope) द्वारा देखने पर कोरोना वायरस की संरचना किसके समान दिखाई देती है?
A. मुकुट के समान
B. मछर के समान
C. चीटी के समान
D. फुल के समान
Ans. मुकुट के समान
40. हाल ही मे किस देश ने कपड़ों के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया है?
A. नेपाल
B. भूटान
C. अमेरिका
D. भारत
Ans. भारत
41. कोरोना वायरस क्या है?
A. यह वायरस का एक बड़ा परिवार जैसा है.
B. यह निडोवायरस के परिवार से संबंधित है.
C. A और B दोनों सही हैं
D. केवल Aसही है।
Ans. A और B दोनों सही हैं
16 August 2020 Today Current Affairs in Hindi 16 अगस्त 2020 आज की ताज़ा कर्रेंट अफेयर्स
42. 11 फरवरी, 2020 को विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने इस बीमारी के लिए एक आधिकारिक नाम की घोषणा की है जो कि 2019 नॉवेल कोरोना वायरस के प्रकोप का कारण बन रही है? इस बिमारी का नया नाम क्या है?
A. COVID-19
B. COVn-19
C. COnV-20
D. COnVID-19
Ans. COVID -19
43. नॉवेल कोरोनो वायरस के पहले मामले की पहचान कहां हुई थी?
A. बीजिंग
B. शंघाई
C. वुहान
D. तिआनजिन
Ans. वुहान
44. कोरोना वायरस निम्नलिखित में से किस बीमारी से संबंधित है?
A. MERS
B. SARS
C. A और B दोनों
D. न तो A और न ही B
Ans. C. A और B दोनों – ( MERS Middle East Respiratory Syndrome और SARS Severe Acute Respiratory Syndrome )
45. कोरोना वायरस का नाम कहां से पड़ा?
A. crown-like projection जैसे अनुमानों के कारण.
B. leaf-like projection जैसे अनुमानों के कारण.
C. ईंटों की उनकी सतह संरचना के कारण.
D. उपरोक्त में से कोई नहीं
Ans. crown-like projection जैसे अनुमानों के कारण
46. कोरोना वायरस से बचने के लिए कौन सी सावधानियां बरतने की जरूरत है?
A. छींक आने पर अपनी नाक और मुंह ढक कर रखें.
B. अपने आहार में अधिक लहसुन शामिल करें.
C. एंटीबायोटिक्स उपचार के लिए अपने डॉक्टर से मिलें.
D. हर घंटे के बाद अपने हाथ धोएं.
Ans. छींक आने पर अपनी नाक और मुंह ढक कर रखें
47. सैनिटाइजर के कई ब्रांड बाज़ार में उपलब्ध हैं। लोगों में भ्रमित हैं कि कौन सा लें कौन सा न लें। इस समस्या का समाधान कैसे हो सकता है?
Ans. उनको पहले देखना चाहिए कि बॉटल पर एल्कोउहल बेस्डं लिखा है या नहीं, क्योंकि एल्को हल बेस्डक सैनिटाइजर वायरस को मार देता है।
48. कोरोना वायरस से बचाव कैसे करें, क्या-क्या सावधानियां बरतें?
Ans. अगर किसी को ज़ुकाम, नज़ला, खांसी है तो वह अपनी खांसी को ढके या फिर अपनी बाज़ू में खांसे। टिश्यूि या रुमाल का प्रयोग करे।
49. गांव में एल्कोहल बेस्ड सैनिटाइजर उपलब्धइ नहीं र��ता है। ऐसी सिचुवेशन में किस तरह से हमें हाथ साफ करना चाहिए?
Ans. जरूरी नहीं है कि आपके पास सैनिटाइजर हो। साबुन से अगर अच्छे से हाथ धोएं, वही बहुत है। साबुन से हाथ धोना सेनइटाइजर से बेहतर है।
50. हाथ साफ करने के लिए सैनिटाइजर का इस्तेमाल कब करें?
Ans. अगर आप सफर कर रहे हैं, तो मजबूरी है कि आप सैनिटाइजर का प्रयोग करें, लेकिन अगर आप ऐसी जगह पर हैं, जहां पानी और साबुन उपलब्धक है, तो उसका ही इस्ते,माल करना चाहिए,
यदि आप अधिक जानकारी चाहते हैं, तो आप हमारे, YouTube, Facebook और Instagram पर जा सकते हैं, सभी लिंक नीचे दिए गए हैं, धन्यवाद,
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✿➤ { Aaj Ki Current } – Channel Link –
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दुनिया में कोरोना संक्रमितों का आंकड़ा 4 करोड़ से ज्यादा हो गया है। इधर, देश में सरकार ने कोरोना संक्रमण को लेकर ठंड में ज्यादा सावधानी बरतने की हिदायत दी है। बहरहाल, शुरू करते हैं मॉर्निंग न्यूज ब्रीफ...
आज इन 3 इवेंट्स पर रहेगी नजर
1. अबु धाबीः IPL में आज चेन्नई और राजस्थान आमने-सामने होंगे। टॉस शाम 7 बजे और मैच साढ़े 7 बजे शुरू होगा। दौड़ में बने रहने के लिए दोनों ही टीमों के लिए इस मैच में जीत जरूरी है।
2. महाराष्ट्रः लॉकडाउन के बाद आज से एक बार फिर मुंबई मेट्रो पटरी पर दौड़ेगी।
3. उत्तर प्रदेशः राज्य में बढ़ते अपराधों के खिलाफ आज समाजवादी पार्टी का ��ड़ा प्रदर्शन। वहीं, 9वीं और 12वीं कक्षाओं के स्टूडेंट्स के लिए स्कूल खोले जाएंगे।
अब कल की 7 महत्वपूर्ण खबरें
1. सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल ब्रह्मोस टेस्ट में खरी उतरी
भारत की सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल ब्रह्मोस ने टेस्ट का एक और स्टेज पार कर लिया। रविवार सुबह चेन्नई में इसे नेवी के स्टील्थ डेस्ट्रॉयर जहाज (इसे दुश्मन का रडार नहीं पकड़ सकता) आईएनएस चेन्नई से फायर किया गया। इसने अरब महासागर में एक टारगेट पर सटीक निशाना लगाया। इसकी रफ्तार करीब 3,457 किमी प्रति घंटे है। यह 400 किमी की रेंज तक निशाना लगा सकती है।
-पढ़ें पूरी खबर
2. ठंड में कोरोना की दूसरी लहर आने की आशंका
देश में कोरोना का पीक गुजर चुका है। सरकार ने रविवार को इसका अधिकारिक ऐलान कर दिया। साथ ही ठंड में ज्यादा सावधानी बरतने की हिदायत भी दी। 17 सितंबर को देश में सबसे ज्यादा एक्टिव केस 10.17 लाख थे, इसके बाद से इसमें लगातार गिरावट आ रही है और ये 7.83 लाख तक पहुंच चुके हैं। लेकिन ठंड में कोरोना की दूसरी लहर आने से इनकार नहीं किया जा सकता।
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3. तेलंगाना में 4 दिन में दूसरी बार तेज बारिश
हैदराबाद में फिर भारी बारिश हुई। अगले दो दिन तेज बारिश हो सकती है। शनिवार शाम 6 बजे शुरू हुई बारिश रविवार सुबह तक जारी रही। बारिश के बाद कई इलाकों में सड़कों पर पानी भर गया। ट्रैफिक जाम हो गया। शहर के बालानगर इलाके की झील ओवरफ्लो हो गई। मेडचल मलकजगिरी के सिंगापुर टाउनशिप और उप्पल के पास बंडलगुडा में 15 सेमी से ज्यादा बारिश रिकॉर्ड हुई।
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4. पायल घोष का नया दावा, कहा- मैंने इरफान को सबकुछ बताया था
अनुराग कश्यप पर रेप का आरोप लगाने वाली पायल घोष का कहना है कि उन्होंने फिल्ममेकर के बारे में क्रिकेटर इरफान पठान से बात की थी। ��क्ट्रेस ने ट्वीट किया, "मैंने इरफान पठान को एकदम यह तो नहीं बताया था कि मिस्टर कश्यप ने मेरा रेप किया है, लेकिन मैंने उनसे हुई बातचीत के बारे में सबकुछ बताया था। यह जानने के बाद भी वे चुप हैं। कभी वे मेरे अच्छे दोस्त होने का दावा करते थे।"
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5. 370 रद्द करने के फैसले को चुनौती देने साथ आए कश्मीर के नेता
पीडीपी चीफ महबूबा 14 महीने बाद नजरबंदी से रिहा हुईं। इसके बाद जम्मू-कश्मीर की सभी प्रमुख राजनीतिक पार्टियों ने 15 अक्टूबर को पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला के घर पर बैठक की। मकसद था संविधान के अनुच्छेद 370 को रीस्टोर करना और जम्मू-कश्मीर को केंद्र शासित प्रदेश से फिर पहले की तरह राज्य बनाना। नया संगठन बना पीपुल्स अलायंस फॉर गुपकार डिक्लेरेशन। मगर क्यों?
-पढ़ें पूरी खबर
6. सड़क किनारे अचार बेचकर करोड़पति बनीं कृष्णा यादव
बात आज से करीब 30 साल पुरानी है। बुलंदशहर में रहने वाली कृष्णा यादव का परिवार मुश्किल में था। पति ने गाड़ी का बिजनेस शुरू किया था, जो चला नहीं। हालात बिगड़े तो घर को बेचना पड़ा। ये तब हुआ जब कृष्णा के तीन छोटे-छोटे बच्चे थे। आज कृष्णा यादव चार कंपनियों की मालकिन हैं, जिनका सालाना टर्नओवर 4 करोड़ रुपए से भी ज्यादा है। जानिए आखिर उन्होंने कैसे ये सब किया?
-पढ़ें पूरी खबर
7. चुनावी कार्टून: चुनावी हनुमान ने सीना चीरा तो दिखे मोदी
इस हफ्ते बिहार में चुनावी बुखार अपने चरम पर होगा। लेकिन, बीता हफ्ता भी चुनावी बयानों के कारण चर्चा में रहा। किसी ने बिहार को कश्मीर बनने का डर दिखाया तो किसी ने खुद को मोदी का हनुमान बताया। कोई बिहार में विकास नहीं होने का कारण समुद्र से खोज लाया। नेता जी लोगों के चिर युवा होने का राज भी सा��ने आया। इन सब को हमारे कार्टूनिस्ट मंसूर ने कुछ ऐसे देखा....
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अब 19 अक्टूबर का इतिहास
1932: फोर्ड मोटर कंपनी के मालिक हेनरी फोर्ड ने रेडियो पर अपना पहला भाषण दिया।
1950: मदर टेरेसा ने कोलकाता (भारत) में मिशनरी ऑफ चैरिटीज की स्थापना की।
1970: भारत में निर्मित पहला मिग-21 विमान भारतीय वायु सेना में शामिल किया गया।
आखिर में जिक्र मशहूर किताब ‘गुलिवर की यात्राएं’ के लेखक जोनाथन स्विफ्ट का। आज ही के दिन 1745 में जोनाथन का देहांत हुआ था। पढ़िए उन्हीं की कही एक बात...
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नवरात्रि का तीसरा दिन माता चंद्रघंटा को समर्पित है। इनके मस्तक पर घंटे के आकार का अर्धचंद्र है, इसी कारण इन्हें चंद्रघंटा देवी कहा जाता है। यह शक्ति माता का शिवदूती स्वरूप है।
स्वरूप
देवी के इस चंद्रघंटा स्वरूप का वाहन सिंह है। इस दस हाथ माने गए हैं और यह खड्ग आदि विभिन्न अस्त्र और शस्त्र से सुसज्जित हैं।
महत्त्व
असुरों के साथ युद्ध में देवी चंद्रघंटा ने घंटे की टंकार से असुरों का नाश कर दिया था। नवरात्रि के तृतीय दिन इनका पूजन किया जाता है। इनके पूजन से साधक को तीसरे मणिपुर चक्र के जाग्रत होने वाली सिद्धियां स्वत: प्राप्त हो जाती हैं। सांसारिक कष्टों से मुक्ति मिलती है। इससे स्पष्टता, आत्मविश्वास और सही निर्णय लेने की योग्यता जैसे मणियों सरीखे गुण प्राप्त होते हैं।
पूरा देश 14 फरवरी 2019 को पुलवामा के आतंकी हमले को कभी नहीं भूल सकता और न भूलेगा उसके जवाब में 26 फरवरी को पाकिस्तान में घुसकर भारतीय वायुसेना का बालाकोट हमला। ठीक अगले दिन पाकिस्तानी वायुसेना ने बराबरी करने की कोशिश तो की, मगर विंग कमांडर अभिनंदन वर्धमान और उनके साथियों ने उसे पूरी तरह नाकाम कर दिया। विंग कमांडर अभिनंदन ने अपने मिग-21 से कैसे पाकिस्तान के आधुनिक एफ-16 को मार गिराया, यह किसी से छुपा नहीं। मगर, अभिनंदन की इस कामयाबी के पीछे उनकी फ्लाइट कंट्रोलर स्क्वाड्रन लीडर मिंटी अग्रवाल की सबसे खास भूमिका थी। मिंटी तो मिशन बालाकोट का अंजाम देने वाली भारतीय वायुसेना की टीम का भी हिस्सा थीं।
कहते हैं कि माता चंद्रघंटा की आराधना से साधक योग साधना के तीसरे मणिपुर चक्र में प्रविष्ट होता है। इससे सही निर्णय लेने का गुण प्राप्त होता है। पाकिस्तानी वायुसेना के हमले के दौरान ऐसे ही सही निर्णय लिए थे स्क्वाड्रन लीडर मिंटी अग्रवाल ने। अभिनंदन आसमान ने अपने मिग से पाकिस्तानी विमानों को छका रहे थे तो रडार की मदद से जमीन से उन्हें सही सूचनाएं दे रही थीं, स्क्वाड्रन लीडर मिंटी। इस जबरदस्त भूमिका के लिए उन्हें युद्ध सेवा मेडल से सम्मानित किया गया। मिंटी यह मेडल पाने वाली देश की पहली महिला हैं।
हमें पता था हमला होगा, उस दिन भीषण युद्ध जैसे थे हालात
स्क्वाड्रन लीडर मिंटी ने 27 फरवरी को पाकिस्तानी दुस्साहस को याद करते हुए बताती हैं, “हम जानते थे कि दुश्मन जवाबी हमला करने की कोशिश जरूर करेगा। भीषण युद्ध के हालात थे। वहां दुश्मन के कई विमान थे और हमारे युद्धक विमान पूरी तरह से उनका मुकाबला कर रहे थे। अभिनंदन और मेरे बीच टू वे कम्युनिकेशन था। मैं उन्हें हवाई हालात के बारे में बता रही थी। मैं उन्हें दुश्मन जहाज की पोजिशन के बारे में बता रही थी। मैंने 26 फरवरी और और 27 फरवरी, दोनों मिशन्स में हिस्सा लिया। “
पाकिस्तानी व��मानों के उड़ान भरते ही मिंटी ने भारतीय पायलटों को दे दी थी सूचना
मिंटी ने पाक के एफ-16 विमानों की हलचल देखते ही भारतीयों बेसों पर तैनात मिग-21 बाइसन, मिराज और सुखोई विमानों को अलर्ट कर दिया था। जब विंग कमांडर अभिनंदन एफ-16 गिराने के दौरान एलओसी पार कर गए तो मिंटी ने उन्हें तुरंत लौटने के लिए कहा। हालांकि, पाकिस्तान की ओर से कम्युनिकेशन जैम किए जाने की वजह से अभिनंदन उनके निर्देश नहीं सुन पाए। उनके मिग-21 बाइसन में एंटी जैमिंग तकनीक नहीं थी। इस ऑपरेशन के बाद सुरक्षा कारणों से मिंटी का नाम गोपनीय रखा गया था।
हरियाणवी छोरी को बचपन से ही था वर्दी का शौक
मिंटी मूलत: हरियाणा के अंबाला शहर की रहने वाली हैं। चार बहन-भाइयों में वह सबसे छोटी हैं। बड़े भाई अरविंद बताते हैं कि मिंटी बचपन से ही पढ़ाई में तेज थीं। उन्होंने 2004 में एयरफोर्स पब्लिक स्कूल से 12वीं पास करने के बाद मेडिकल स्ट्रीम से बीएससी किया। वहीं, 2011 में एसएससी के माध्यम से एयरफोर्स में शामिल हुईं। एयर डिफेंस कॉलेज में वह मेरिट में आईं, जिसके चलते उन्हें एयर फाइटर कंट्रोलर विंग में तैनाती मिली। मिंटी के पति राहुल अग्रवाल बैंकर हैं। भाई अरिवंद का कहना है सेना की वर्दी को लेकर उनके मन में शुरू से ही आकर्षण था। जब वह सातवीं कक्षा में थीं, तो मां का देहांत हो गया। बावजूद इसके अपने परिवार की मदद से मिंटी ने देश में युद्ध सेवा मेडल हासिल करने वाली पहली महिला बनकर इतिहास रच दिया।
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Maa Chandraghanta Navratri 2020 Day 3 Devi Puja Significance and Importance | Facts On Haryana Minty agarwal
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Indian Air Force Day 2020 : रॉयल इंडियन एयरफोर्स कैसे बना इंडियन एयरफोर्स, जानें कुछ खास बातें
चैतन्य भारत न्यूज हर साल 8 अक्टूबर को वायुसेना दिवस (Air Force Day) मनाया जाता है। यह दिन हमारे देश के लिए दिन-रात एक कर देने वाले और देश के नाम अपनी जान कुर्बान करने वाले वायुसेना के जवानों को सलाम करने का होता है। इस बार 88वां वायुसेना दिवस मनाया जा रहा है। भारतीय वायुसेना की साल 1932 में 8 अक्टूबर को स्थापना की गई थी। इसलिए इस दिन को वायुसेना दिवस के रूप में मनाया जाता है। (adsbygoogle = window.adsbygoogle || ).push({}); भारतीय वायुसेना भारतीय सशस्त्र सेना का एक अंग है जो वायु युद्ध, वायु सुरक्षा और वायु चौकसी का महत्वपूर्ण काम देश के लिए करती है। आजादी (1950 में पूर्ण गणतंत्र घोषित होने) से पहले इसे रॉयल इंडियन एयरफोर्स के नाम से जाना जाता था और 1945 के द्वितीय विश्वयुद्ध में इसने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। आजादी (1950 में पूर्ण गणतंत्र घोषित होने) के बाद इसमें से 'रॉयल' शब्द हटाकर सिर्फ Indian Air Force कर दिया गया। भारतीय वायुसेना से जुड़ी कुछ खास बातें भारतीय वायुसेना दुनिया की चौथी सबसे बड़ी वायुसेना है। भारतीय वायुसेना के पास कुल मिलाकर 170000 जवान और 1350 लड़ाकू विमान हैं जो इसे दुनिया की चौथी सबसे बड़ी वायुसेना होने का दर्जा दिलाती हैं। दुनियाभर में सिर्फ अमेरिका, चीन और ��ूस के पास भारत से बड़ी वायुसेना मौजूद है। ताकत के मामले में भी वायुसेना किसी भी देश से पीछे नहीं है। दुनियाभर में भारतीय वायुसेना सातवीं सबसे शक्तिशाली सेना मानी जाती है। भारतीय वायुसेना के 60 से ज्यादा एयरबेस हैं जोकि भारत के हर कोने में स्थित हैं। वायुसेना का वेस्टर्न कमांड सबसे बड़ा एयर कमांड है जहां 16 एयरबेस स्टेशन मौजूद हैं। सियाचिन ग्लेशियर पर मौजूद एयरफोर्स स्टेशन भारतीय एयरफोर्स का सबसे उंचाई पर मौजूद एयरबेस है जोकि जमीन से 22000 फीट की उंचाई पर मौजूद है। तजाकिस्तान के पास फर्कहोर एयरबेस स्टेशन भारत का पहला ऐसा एयरफोर्स स्टेशन है जोकि विदेशी जमीन पर मौजूद है। साल 1990 में पहली बार महिलाओं को भी सशस्त्र बल में शामिल किया गया, लेकिन उन्हें शार्ट सर्विस कमीशन ऑफिसर के तौर पर सिर्फ 14 से 15 साल तक ही सर्विस दी गई। इसके अलावा महिलाओं को समुंद्र में होने वाली लड़ाईयों में जाने की या फिर गोलीबारी करने वाले दल में शामिल होने की इजाजत नहीं दी गई थी। साल 1990 में ही पहली बार चॉपर और ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट उड़ाने वाले दल में महिलाओं को शामिल किया गया। इंडियन एयरफोर्स के लडाकू पायलट विंग में शामिल होने के लिए तीन चरणों से होकर गुजरना पड़ता है। ट्रेनिंग इन तीन चरणों से होकर गुजरती है। पहले स्टेज में एयरफोर्स अकादमी दुंगदीगुल हैदराबाद में 6 महीने में कम से कम 55 घंटों का स्विस पिलाटुस पी-7 बेसिक ट्रेनिंग एयरक्राफ्ट उड़ाने का अनुभव होना चाहिए। दूसरे स्टेज में तेलंगाना के हकीमपेट में 6 महीने के भीतर 87 घंटे तक किरेन एयरक्राफ्ट उड़ाने का अनुभव होना चाहिए। तीसरे स्टेज में बिदर या कलाईकांडु में एक साल के भीतर 145 घंटे तक हाक एडवांस्ड ट्रेनर जेट उड़ाने का अनुभव होना चाहिए। ये भी पढ़े... चीन से तनाव के बीच वायुसेना प्रमुख का बड़ा बयान, कहा- भारत दोनों मोर्चों पर जंग समेत किसी भी संघर्ष के लिए तैयार, हमारी क्षमताओं ने विरोधियों को चौंकाया वायुसेना में शामिल हुआ दुश्मनों का ‘काल’ राफेल विमान, इन 10 बिंदुओं में जानिए इसकी खासियत AirForce Day : दुनिया को फिर अपनी ताकत दिखा रही भारतीय वायुसेना, पीएम मोदी ने वीडियो शेयर कर दी सलामी Read the full article
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चीन की बढ़ती हवाई गतिविधियों को लेकर अलर्ट भारतीय वायुसेना ने उड़ाए लड़ाकू गश्ती विमान
भारत और चीन की सीमा से लगे लद्दाख के लेह जिले में पैंगोंग झील (फाइल फोटो)
नई दिल्ली:
भारतीय वायु सेना न केवल तिब्बत पर चीनी हवाई गतिविधि की निगरानी कर रही है, बल्कि इसने लद्दाख में कई स्थानों पर चीनी घुसपैठ की रिपोर्टों के बाद लड़ाकू हवाई गश्त भी तेज कर दी है. हालांकि वायुसेना प्रमुख आरकेएस भदौरिया ने स्पष्ट किया है कि पिछले कुछ महीनों में चीनी लड़ाकू विमानों द्वारा भारतीय वायुक्षेत्र में किसी तरह की घुसपैठ नहीं की गई है. उन्होंने कहा, “हम किसी भी स्थिति में उड़ान भरते हैं और किसी भी स्थिति का जवाब देते हैं – इसमें लड़ाकू वायु गश्त भी शामिल होती है.”
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अगर तिब्बत के पठार पर, जहां चीन बेहद ऊंचाई पर स्थित कई सैन्य हवाई अड्डों का संचालन करता है, वहां किसी भी तरह की हवाई गतिविधि का पता चलता है तो लड़ाकू वायु गश्ती विमान पूरी तरह से सशस्त्र इंटरसेप्टर में तब्दील हो सकते हैं.
वायुसेना प्रमुख ने कहा, ”यह स्पष्ट होना चाहिए कि हम किसी भी परिस्थिति का जवाब देने के लिए अच्छी तरह तैयार हैं और उपयुक्त रूप से तैनात भी हैं. मैं देश को आश्वस्त करना चाहता हूं कि हम गालवान घाटी के ‘बलिदान’ को व्यर्थ नहीं होने देंगे.” वायुसेना प्रमुख हैदरबाद के नजदीक स्थित वायुसेना अकादमी में संयुक्त स्नातक परेड को संबोधित कर रहे थे.
लेह के आसमान में अपाचे लड़ाकू हेलीकॉप्टर और उन्नत MiG-29s लड़ाकू विमानों की तस्वीरें सामने आने के एक दिन बाद वायुसेना प्रमुख की यह टिप्पणी आई है. व्यापक रूप से दुनिया में सबसे उन्नत लड़ाकू हेलीकॉप्टर माना जाने वाला अपाचे, एक टैंक किलर है और लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा पर चीन द्वारा टैंकों की तैनाती की खबरों के बीच इसे वायुसेना में शामिल किया गया था.
भारतीय वायु सेना के सभी मिग -29 लड़ाकू विमानों को अब एक नए रडार और एवियोनिक्स के साथ अपग्रेड किया गया है और अब ये दुनिया में कहीं भी रूसी लड़ाकू विमानों के सबसे परिष्कृत वेरिएंट में से हैं. भारतीय वायुसेना ने लद्दाख में अपने नए चिनूक परिवहन हेलीकॉप्टरों को भी तैनात किया है. चिनूक को M-777 आर्टिलरी गन को लाने-ले जाने ��े लिए डिज़ाइन किया गया है, जो लद्दाख में दूर-दराज के इलाकों में हथियारों को जल्दी से पहुंचाने की एक प्रमुख क्षमता है.
कश्मीर और लद्दाख में स्थित वायुसेना के ठिकानों का दो दिवसीय दौरा कर हैदराबाद के करीब डंडिगल पहुंचे वायुसेना प्रमुख ने कहा, भारतीय वायुसेना उस क्षेत्र में चीनी हवाई गतिविधियों पर कड़ी नजर रख रही थी जो पिछले कुछ महीनों में बढ़ी हैं. चीन गर्मियों में प्रशिक्षण के लिए उस इलाके में विमानों की तैनाती करता है लेकिन इस साल विमानों की संख्या ज्यादा है और मई के बाद ये और बढ़े हैं.’
NDTV ने भी पहले रिपोर्ट दिखाई थी कि कैसे चीन इस इलाके में लगातार अपने आधारभूत ढांचे को मजबूत कर रहा है जिसमें तिब्बत का नगारी बेस भी शामिल है और जो पैंगोंग लेक के पास ही स्थित है जहां अक्सर चीनी घुसपैठ होती है. सैटेलाइट से प्राप्त तस्वीरों में साफ दिखता है कि अप्रैल से मई के बीच वहां मौजूदा रनवे के समानांतर दूसरा ट्रैक बनाया गया है और साथ ही कई अन्य काम भी किए गए हैं.
गालवान में हमारे जवानों का बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा : वायुसेना प्रमुख
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हावड़ा ब्रिज के अनसुने तथ्य Howrah bridge facts in Hindi
तीन-चौथाई सदी से कोलकाता की पहचान बना हावड़ा ब्रिज यानी रवींद्र सेतु अपने इस लंबे सफर के दौरान कई ऐतिहासिक घटनाओं का मूक गवाह रहा है.
हावड़ा ब्रिज के अनसुने तथ्य Howrah bridge facts in Hindi
यदि किसी ने कोलकाता का उल्लेख किया है,तो पहली चीज जो दिमाग में आती है वह है हावड़ा ब्रिज। कोलकाता भ्रमण के लिस्ट में जो सबसे प्रमुख स्थान होता है,वह हावड़ा ब्रिज ही है।यह ब्रिज कई कारणों से पर्यटकों को आकर्षित करता है।इसके कई रोचक तथ्य हैं, जिन्हें सुनना और पढ़ना पसंद किया जाता है।यहां, हम आपको हावड़ा ब्रिज के बारे में 9 आश्चर्यजनक एवं ज्ञानवर्धक जानकारियाँ देंगे जो शायद बहुत कम लोग ही जानते होंगे!
1. हावड़ा ब्रिज एक कैंटिलीवर पुल है जो पश्चिम बंगाल में हुगली नदी पर बनाया गया है। यह ब्रैकट ब्रिज एक कैंटिलीवर का उपयोग करके बनाया गया है, सामान्यतः कोई भी ब्रिज कई खम्बों पर टिका होता है लेकिन यह एक ऐसा पुल है जो केवल चार खम्बों पर टिका हुआ है, दो नदी के इस तरफ और दो नदी के उस तरफ।
2. इस पुल के निर्माण के लिए तत्कालीन बंगाल सरकार के द्वारा एक एक्ट पारित किया गया,जिसे HOWRAH BRIDGE ACT, 1926 नाम से जाना जाता है।
3. बहुत कम लोगो को ये जानकारी होंगी के द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान जापानियों द्वारा इस ब्रिज को नष्ट करने की कोशिश की गयी थी, हालांकि उन्हें सफलता नहीं मिल पायी।
Old Photo Of Howrah Bridge
3. 14 जून 1965 को महान राष्ट्रीय कवि गुरुदेव रवींद्रनाथ टैगोर के नाम पर पुल का नाम बदलकर रवींद्र सेतु रखा गया। हालांकि, यह अभी भी हावड़ा ब्रिज के रूप में अधिक लोकप्रिय है।
4. इस पुल से प्रतिदिन लगभग 100000 वाहन एवं लगभग 150000 पैदल यात्री हुगली नदी को पार करते है, जो पश्चिम बंगाल के दो प्रमुख शहरों कोलकाता एवं हावड़ा को जोड़ता है।
5. पुल का उपयोग करने वाला पहला वाहन "ट्राम" था।
6. इसके निर्माण के समय, यह तीसरा सबसे लंबा कैंटिलीवर पुल था। अब, यह दुनिया में अपने प्रकार का आठवाँ सबसे लंबा पुल है।
7. कोलकाता पोर्ट ट्रस्ट को प्रत्येक वर्ष पक्षिओं के मल एवं पैदल यात्रिओं के थूकने से ब्रिज को होने वाली क्षति एवं गन्दगी की सफाई के लिए लगभग 5 लाख रूपये खर्च करने पड़ते है, साथ ही पुल को पेंट करने में लगभग 6.5 मिलियन और 26,500 लीटर पेंट की आवश्यकता होती है।
8. हावड़ा ब्रिज के निर्माण में 26,500 टन स्टील की खपत हुई थी,जिसकी आपूर्ति टाटा स्टील द्वारा की गई थी।
9. आपको को जानकर हैरानी होगी कि हावड़ा ब्रिज ने लगभग हर दौर के फिल्म निर्माताओं को आकर्षित किया है। इसने कई हिंदी, मलयालम, बंगाली, तमिल, अंग्रेजी इत्यादि फिल्मों में अभिनय किया है। यहाँ शूट की गई फ़िल्मों में हावड़ा ब्रिज ,गुंडे, बर्फी, लव आज-कल, तमिल फ़िल्म आधार, मलयालम फ़िल्म कलकत्ता न्यूज़, रोलैंड जोफ़े की अंग्रेज़ी भाषा की फ़िल्म सिटी ऑफ़ जॉय शामिल है, लिस्ट बहुत लम्बी है।
Howrah Bridge In Night
पश्चिम बंगाल के लोगों में इस पुल का एक विशेष महत्व है, साथ ही यह पुरे विश्व में अपनी बनावट के लिए विख्यात है। यह हमारी जिम्मेदारी है कि इस पुल को स्वस्छ एवं सुरक्षित रखने में प्रशासन की सहायता करे।
कैसे बना हावड़ा ब्रिज
कोलकाता और हावड़ा के बीच हुगली नदी पर पहले कोई ब्रिज नहीं था. नदी पार करने के लिए नाव ही एकमात्र जरिया थी.
बंगाल सरकार की ओर से वर्ष 1871 में हावड़ा ब्रिज अधिनियम पारित होने के बाद वर्ष 1874 में सर ब्रेडफोर्ड लेसली ने नदी पर पीपे के पुल का निर्माण कराया था.
साल 1874 में 22 लाख रुपये की लागत से नदी पर पीपे का एक पुल बनाया गया जिसकी लंबाई 1528 फीट और चौड़ाई 62 फीट थी.
हावड़ा ब्रिज के अनसुने तथ्य Howrah bridge facts in Hindi
फिर 1906 में हावड़ा स्टेशन बनने के बाद धीरे-धीरे ट्रैफिक और लोगों की आवाजाही बढ़ने लगी.
तब इस पुल की जगह एक फ्लोटिंग ब्रिज यानी तैरता हुआ पुल बनाने का फैसला किया गया.
लेकिन तब तक पहला विश्वयुद्ध शुरू हो चुका था. इस वजह से काम शुरू नहीं हुआ.
साल 1922 में न्यू हावड़ा ब्रिज कमीशन का गठन करने के कुछ साल बाद इसके लिए निविदाएं आमंत्रित की गईं.
हावड़ा ब्रिज के अनसुने तथ्य Howrah bridge facts in Hindi
तब जर्मनी की एक फर्म ने सबसे कम दर की निविदा जमा की थी.
लेकिन तब जर्मनी और ग्रेट ब्रिटेन के आपसी संबंधों में भारी तनाव रहने की वजह से जर्मन की फर्म को ठेका नहीं दिया गया.
बाद में वह काम ब्रेथवेट, बर्न एंड जोसेप कंस्ट्रक्शन कंपनी को सौंपा गया. इसके लिए ब्रिज निर्माण अधिनियम में संशोधन किया गया.
दोनों पायों के बीच 1500 फीट की दूरी
इस कैंटरलीवर ब्रिज को बनाने में 26 हजार 500 टन स्टील का इस्तेमाल किया गया है. इसमें से 23 हजार पांच सौ टन स्टील की सप्लाई टाटा स्टील ने की थी.
हावड़ा ब्रिज के अनसुने तथ्य Howrah bridge facts in Hindi
तैयार होने के बाद यह दुनिया में अपनी तरह का तीसरा सबसे लंबा ब्रिज था. पूरा ब्रिज महज नदी के दोनों किनारों पर बने 280 फीट ऊंचे दो पायों पर टिका है.
इसके दोनों पायों के बीच की दूरी डेढ़ हजार फीट है. नदी में कहीं कोई पाया नहीं है.
इसकी खासियत यह है कि इसके निर्माण में स्टील की प्लेटों को को जोड़ने के लिए नट-बोल्ट की बजाय धातु की बनी कीलों यानी रिवेट्स का इस्तेमाल किया गया है.
द्वितीय विश्वयुद्ध के दौरान जापानी सेना ने इस ब्रिज को नष्ट करने के लिए भारी बमबारी की ��ी. लेकिन संयोग से ब्रिज को कोई नुकसान नहीं पहुंचा.
हावड़ा ब्रिज के अनसुने तथ्य Howrah bridge facts in Hindi
अब इससे रोजाना लगभग सवा लाख वाहन और पांच लाख से ज्यादा पैदल यात्री गुजरते हैं. ब्रिज बनने के बाद इस पर पहली बार एक ट्राम गुजरी थी.
लेकिन वर्ष 1993 में ट्रैफिक काफी बढ़ जाने के बाद ब्रिज पर ट्रामों की आवाजाही बंद कर दी गई थी. 75 साल पूरे होने पर एक कॉफी टेबल बुक भी प्रकाशित की गई.
इसमें ब्रिज के जन्म से लेकर अब तक के सफर को तस्वीरों के जरिए उकेरा गया है.
यह ब्रिज बीते खासकर डेढ़ दशकों के दौरान कई हादसों और तकनीकी समस्याओं का भी शिकार रहा है.
साल 2005 में एमवी मणि नामक एक मालवाहक जहाज का मस्तूल इसके ढांचे में फंस गया था. इससे ढांचे को काफी नुकसान पहुंचा था.
उस नुकसान की मरम्मत के लिए कोलकाता पोर्ट ट्रस्ट ने इस ब्रिज के निर्माण के दौरान सलाहकार रहे इंग्लैंड के रेंडल, पाल्मर एंड ट्रिटान लिमिटेड से भी सहायता ले थी.
हावड़ा ब्रिज के अनसुने तथ्य Howrah bridge facts in Hindi
पोर्ट ट्रस्ट को वर्ष 2011 के दौरान एक अजीब समस्या से जूझना पड़ा था.
तब एक अध्ययन से यह बात सामने आई थी कि तंबाकू थूकने की वजह से ब्रिज के पायों की मोटाई कम हो रही है.
तब स्टील के पायों को नीचे फाइबर ग्लास से ढंकने पर लगभग 20 लाख रुपये खर्च हुए थे.
पोर्ट ट्रस्ट के अध्यक्ष विनीत कुमार कहते हैं, "सामान्य तौर पर इस ढांचे का जीवन सौ से डेढ़ सौ साल तक होना चाहिए. लेकिन बीते 75 वर्षों के दौरान इससे गुजरने वाला ट्रैफिक कई गुना बढ़ गया है. इसलिए इसकी नियमित जांच जरूरी है."
हावड़ा ब्रिज के अनसुने तथ्य Howrah bridge facts in Hindi
वह बताते हैं कि जल्दी ही भारतीय तकनीकी संस्थान (आईआईटी) के विशेषज्ञों की एक टीम ब्रिज की स्थिति का अध्ययन करेगी.
उस रिपोर्ट के आधार पर मरम्मत और रखरखाव का फैसला किया जाएगा.
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