#भारत कोविड वैक्सीन
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drcare4u · 2 months ago
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हार्ट अटैक से हो रही मौत के पीछे कोरोना वैक्सीन वजह नहीं- संसद में केंद्र का जवाब
कोरोना महामारी के प्रकोप के बाद भारत में अचानक हार्ट अटैक से होने वाली मौत की संख्या में काफी इजाफा हुआ है. लेकिन लोग इन मौतों की मुख्य वजह कोरोना वैक्सीन को मान रहे हैं. हालांकि केंद्र सरकार की ओर से साफ कर दिया गया है कि देश में अचानक हार्ट अटैक से हो रही मौत के पीछे कोविड वैक्सीन मुख्य वजह नहीं है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने कल मंगलवार को राज्यसभा में जानकारी देते हुए बताया कि…
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amelia55 · 3 months ago
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PM Modi News: अफ्रीकी देश डोमिनिका की सरकार ने भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) को अपने सर्वोच्च नागरिक सम्मान से सम्मानित करने का फैसला किया है पीएम मोदी को यह सम्मान डोमिनिका (Dominica) की सरकार ने भारत की ओर से उसे कोविड 19 के दौरान उपलब्ध कराई गई वैक्सीन डोज के कारण देने का निर्णय लिया है।
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rightnewshindi · 5 months ago
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मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन का बड़ा दावा, कहा, कोरोना महामारी के दौरान लगाई खराब वैक्सीन के कारण मर रहे लोग
Jharkhand News: झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने बुधवार को आरोप लगाया कि कोरोना महामारी के दौरान लगाई गई खराब कोविड-19 वैक्सीन के कारण लोग अब भी मर रहे हैं। उन्होंने दावा किया कि वैसे तो एक विशेष वैक्सीन को दुनियाभर में प्रतिबंधित कर दिया गया था, फिर भी भारत में उसकी आपूर्ति की जा रही थी और वह जनता को लगाई जा रही थी। सोरेन की यह टिप्पणी हाल ही में राज्य में आबकारी कांस्टेबल भर्ती के लिए…
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dainiksamachar · 9 months ago
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10 लाख लोगों में केवल सात...कोविशील्ड से कितना खतरा, क्या डरने की जरूरत है?
नई दिल्ली: एक बार फिर कोरोना की चर्चा शुरू है लेकिन वायरस नहीं बल्कि कोविड वैक्सीन की। पहले कोरोना से डर लगता था तो वहीं अब कोरोना वैक्सीन के नाम से अचानक लोगों को डर लगने लगा है। इस डर की शुरुआत हुई ब्रिटिश फार्मा कंपनी एस्ट्राजेनेका के एक खुलासे से। इस खुलासे के बाद कोरोना की वैक्सीन लेने वाले लोगों के मन में कई सवाल पैदा हो गए। वैक्सीन निर्माता ने कोर्ट में माना है कि दुर्लभ मामलों में थ्रोम्बोसाइटोपेनिया सिंड्रोम के साथ थ्रोम्बोसिस (TTS) का कारण बन सकता है। इससे खून के थक्के बन सकते हैं और प्लेटलेट काउंट कम हो जाता है। थ्रोम्बोसाइटोपेनिया के कई गंभीर मामलों में यह स्ट्रोक और हार्ट अटैक का कारण भी बन सकता है। इस खुलासे के बाद भारत में भी इसकी चर्चा शुरू हो गई। एस्ट्राजेनेका का जो फॉर्मूला था उसी से भारत में सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने बनाई। भारत में बड़े पैमाने पर ये वैक्सीन लगाई गई है। लोगों के मन में कई सवाल हैं और इन सवालों के बीच भारत में अधिकांश हेल्थ एक्सपर्ट यह मान रहे हैं कि यह केवल दुर्लभ मामलों में ही हो सकता है। भारत में भी यह मामला सुप्रीम कोर्ट में पहुंच गया है। एक वकील की ओर से सुप्रीम कोर्ट में अर्जी दाखिल की गई है कि वैक्सीन के साइड इफेक्ट की जांच के लिए मेडिकल एक्सपर्ट का पैनल बनाया जाए। वैक्सीन के कारण किसी भी रिस्क फैक्टर का परीक्षण करने का निर्देश दिया जाए और यह सब सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज की निगरानी ��ें किया जाना चाहिए। हालांकि देखा जाए तो सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने साल 2021 में इस टीके से होने वाले साइड इफेक्ट के बारे में अपनी साइट पर जानकारी दी है। सीरम इंस्टीट्यूट ने अपनी वेबसाइट पर अगस्त 2021 में कोविशील्ड टीका लगाने के बाद होने वाले साइड इफेक्ट की जानकारी दी है। कंपनी की ओर से कहा गया है कि थ्रोम्बोसाइटोपेनिया या प्लेट्सलेट की संख्या कम होने की वजह से ब्लड क्लाटिंग की समस्या हो सकती है। कंपनी ने कहा है कि यह एक लाख में से एक से भी कम लोगों में हो सकती है और कंपनी ने इसे बहुत ही दुर्लभ मामला बताया है। ICMR के पूर्व महानिदेशक डॉक्टर बलराम भार्गव ने कोविशील्ड वैक्सीन लगवाने वाले लोगों को लेकर कहा कि इसका साइड इफेक्ट टीका लेने के अधिकतम तीन से चार हफ्तों तक ही हो सकता है। वह भी केवल दुर्लभ मामलों में ही। भारत में कोविशील्ड के करोड़ों डोज लगाए गए हैं लेकिन न के बराबर मामलों में ही साइड इफेक्ट देखने को मिला। उनकी ओर से कहा गया है कि वैक्सीन लगवाने के दो-ढाई साल बाद साइड इफेक्ट का कोई खतरा नहीं है और इससे बेवजह डरने की जरूरत नहीं।ICMR के पूर्व वैज्ञानिक डॉ. रमन गंगाखेड़कर ने एक न्यूज चैनल से बात करते हुए कहा कि वैक्सीन के लॉन्च होने के 6 महीने के अंदर टीटीएस को एडेनोवायरस वेक्टर वैक्सीन के एक साइड इफेक्ट के रूप में पहचाना गया था। इस वैक्सीन की समझ में कोई नया चेंज नहीं है। उनकी ओर से कहा गया कि यह समझने की जरूरत है कि टीका लगवाने वाले दस लाख लोगों में केवल सात या आठ लोगों को ही खतरा है। मेडिकल एक्सपर्ट डॉ. राजीव जयदेवन ने कहा कि TTS रक्त वाहिकाओं में थक्का बना सकता है, लेकिन कुछ टीकों के इस्तेमाल के बाद इसका होना बेहद दुर्लभ होता है। जयदेवन केरल में नेशनल इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (IMA) कोविड टास्क फोर्स के सह-अध्यक्ष हैं। उन्होंने यह स्वीकार किया कि कोविड वैक्सीन ने कई मौतों को रोकने में मदद की है। न्यूज एजेंसी की रिपोर्ट के मुताबिक उन्होंने कहा, 'TTS का मतलब खून के थक्के बनने से है। कम प्लेटलेट काउंट के साथ दिमाग या अन्य रक्त वाहिकाओं में इससे थक्का बन सकता है।' http://dlvr.it/T6Jt7Y
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sharpbharat · 9 months ago
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covishield new information: कोविशील्ड,कोरोना वैक्सीन से ब्रेन स्ट्रॉक व हार्ट अटैक का खतरा, निर्माता ब्रिटिश कंपनी का कोर्ट में हलफनामा, 175 करोड़ लोंगो को लगे थे डोज, आईसीएमआर की विश्वसनीयता भी सवालों के घेरे में
नयी दिल्ली: ब्रिटेन की फार्मा कंपनी एस्ट्राजेनेका ने माना है कि कोविड-19 वैक्सीन से खतरनाक साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं. हालांकि ऐसा बहुत रेयर मामलों में ही होगा. एस्ट्राजेनेका का जो फॉर्मूला था उसी से भारत में सीरम इंस्टीट्यूट ने कोवीशील्ड नाम से वैक्सीन बनाई. ब्रिटिश मीडिया के अनुसार, एस्ट्राजेनेका पर आरोप है कि उनकी वैक्सीन से कई लोगों की मौत हो गई. वहीं कई अन्य को गंभीर बीमारियों का सामना करना…
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gaange · 1 year ago
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Cancer Vaccine : Russia ने खोजा लिया कैंसर का इलाज
भारत के दोस्त रूस ने दुनिया के सबसे बड़े खतरे का इलाज निकाल लिया है। रूस ने ऐलान किया है कि उसने कैंसर जैसी लाइलाज बिमारी के लिए वैक्सीन बनाने पर वो काम कर रहा है और वो उसके बेहद करीब पहुँच चुका है। Cancer Vaccine का ऐलान किसी और ने नहीं बल्कि खुद रूस के राष्ट्रपति पुतिन ने किया है कि वैज्ञानिक इस पर काम कर रहे हैं और वो इसके अंतिम चरण में है। अपने संबोधन में राष्ट्रपति ने साफ कर दिया कि हम कैंसर की वैक्सीन और नई पीढ़ी की इम्युनो मॉड्यूलट्री दवाओं के निर्माण के बहुत करीब है। मॉस्को फोरम में अपने संबोधन में कहा कि मुझे उम्मीद है कि जल्द ही वैक्सीन लोगों के इलाज के लिए प्रभावी ढंग से इस्तेमाल हो सकेगी ,पुतिन ने ये नहीं बताया कि प्रस्तावित वैक्सीन किस तरह के कैंसर के इलाज में इस्तेमाल की जाएंगी। कैंसर का इलाज अपने आप में एक बहुत बड़ी कामयाबी है, कई देश और कंपनियां कैंसर के टीके पर काम कर रही है। ब्रिटेन की सरकार भी कैंसर के वैक्सीन के ट्रायल पर सालों से काम कर रही है। पिछले साल ब्रिटिश सरकार ने पर्सनलाइज्ड कैंसर के इलाज के लिए क्लिनिकल ट्रायल शुरू की थी और 2030 तक 10,000 मरीजों तक पहुंचने का टारगेट रखा है। Cancer Vaccine : Russia ने खोजा लिया कैंसर का इलाज ब्रिटेन जर्मनी की आयोएनटेक के साथ मिलकर ट्रायल कर रहा है। इसके अलावा फार्मास्यूटिकल्स कंपनी मॉडर्न और मार्क एंड कंपनी भी कैंसर की वैक्सीन बना रही है, जो कैंसर की मिडिल स्टेज में इस्तेमाल हो सकती है। मसलन रिसर्च के दौरान पता चला की 3 साल के इलाज के बाद सबसे घातक स्किन कैंसर की दोबारा होने या इससे मौत होने की संभावनाआधी हो गई। फिलहाल दुनिया के सामने कैंसर एक बहुत बड़ा खतरा हैं। WHO के मुताबिक वर्तमान में ह्यूमन पैपिलोमायरस के खिलाफ़ छः लाइसलैंड वैक्सीन मौजूद हैं जो सर्वाइकल कैंसर सहित कई कैंसर का कारण बनते हैं। साथ ही हेपेटाइटिस बी के खिलाफ़ भी टीके हैं जो लिवर कैंसर का कारण बनते हैं। आपको बता दें कि रूस जो ऐलान किया है उसके बाद पूरी दुनिया में सनसनी मची हुई है और सबसे पहले तब रूस ने कोविड 19 के दौरान स्पुतनिक भी वैक्सीन बनाई थी ,अब ये कहा जा रहा है की अगर ये वाकई में कैंसर के इलाज के रूस बेहद करीब है तो रूस ने वो बनाया है जिसकी जरूरत दुनिया को सबसे ज्यादा है । कैंसर दुनिया के सामने एक बड़ा खतरा है और दुनिया भर में होने वाली मौतों में कैंसर एक बड़ी वजह है। WHO की कैंसर एजेंसी इंटरनेशनल एजेंसी फॉर रिसर्च ऑन कैंसर के आंकड़े बता��े हैं की साल 2022 में लगभग 2,00,00,000 कैंसर के नए मामले सामने आए और कैंसर की वजह से 97,00,000 लोगों की मौत हुई है। अकेले भारत में 14,13,316 नए मामले दर्ज किए गए हैं, जिनमें महिला रोगियों का अनुपात अधिक है। देश में 1,92,000 नए मामलों के साथ स्तन कैंसर का अनुपात सबसे अधिक है । आकड़े बताते हैं कि प्रत्येक 5 में एक व्यक्ति को अपने जीवन काल में कैंसर हो जाता है , लगभग 9 में से एक पुरुष और 12 में से एक महिला की मौत हो जाती है । इससे आप अनुमान लगा सकते हैं कि कैंसर कितनी खतरनांक बीमारी है , फिलहाल रूस ने Cancer Vaccine को खोजने का ऐलान किया है अब देखना है कि कितना कारगर हो पाता है । Read the full article
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wnewsguru · 1 year ago
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नाना पाटेकर ने 'बाजीराव मस्तानी' का गाना सुनकर क्यों किया इतना गुस्सा
नाना पाटेकर इन दिनों अपनी आने वाली फ़िल्म 'द वैक्सीन वॉर' को लेकर सुर्खियां बटोर रहे हैं। नाना पाटेकर लंबे समय के अंतराल के बाद फ़िल्मों में वापसी कर रहे हैं। फ़िल्म में डॉक्टर भार्गव की भूमिका निभाते नज़र आएंगे, जो भारत में स्वदेशी कोविड वैक्सीन बनाने के लिए ज़िम्मेदार हैं। अभिनेता ने फ़िल्म के ट्रेलर में महफ़िल लूट ली और दर्शक उन्हें फिर से स्क्रीन पर देखने के लिए उत्सुक हैं।
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satyakipehchaan · 2 years ago
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मोदी सरकार के कार्यकाल में कोविड-19 के समय भारत ने वैक्सीन मैत्री कार्यक्रम के अंतर्गत दुनिया के 101 देशों को स्वदेश में निर्मित कोविड वैक्सीन भेजकर उनकी सहायता की। @cpjoshibjp
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venkteshwara · 2 years ago
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’’विम्स’’ के 2022-23 बैच एम0बी0बी0एस0 के लिए ’’व्हाईट कोट सेरेमनी’’ का शानदार आयोजन। https://bit.ly/3GlZwPO मेडिकल स्टूडैन्टस को दिलायी गयी निस्वार्थ चिकित्सीय सेवाओ, मरीजो के शानदार उपचार एवं बेस्ट केयर की शपथ। देश में आधा दर्जन एम्स सहित आदरणीय प्रधानमंत्री जी द्वारा एक दर्जन से अधिक केन्द्रीय चिकित्सा संस्थानो एवं उत्तर प्रदेश में आदरणीय योगी जी द्वारा ’’वन डिस्ट्रिक्ट-वन मेडिकल काॅलेज’’ योजना से देश की स्वास्थय सेवाओ को लगे पंख- डाॅ0 सुधीर गिरि, चेयरमैन, वेंक्टेश्वरा समूह। विषम परिस्थितियों के साथ प्राकृतिक आपदाओ व कोविड जैसी वैश्विक महामारी में आपके द्वारा किये गये अभूतपूर्व स्वास्थय कार्यो ने बता दिया कि, क्यूँ आपको धरती का भगवान कहा जाता है- डाॅ0 राजीव त्यागी, प्रतिकुलाधिपति, श्री वेंक्टेश्वरा विश्वविद्यालय/संस्थान। संस्थान के एम0बी0बी0एस0 के नये एवं पुरातन छात्र-छात्राओ ने शानदार प्रस्तुतियां देकर ’’सेरेमनी एवं शपथ समारोह’’ को यादगार बना दिया। आज का दिन वेंक्टेश्वरा समूह के लिए बेहद खास रहा। वेंक्टेश्वरा समूूह के चिकित्सा शिक्षा संस्थान ’’वेंक्टेश्वरा इंस्टीट्यूट आॅफ मेडिकल साईंसेस (विम्स) के एम0बी0बी0एस0 (2022-2023) बैच के छात्र-छात्राओ के लिए संस्थान की ओर से ’’व्हाईट कोट सेरेमनी’’ का शानदार आयोजन किया गया, जिसमें संस्थान प्रबन्धन ने डीन मेडिकल एवं अन्य चिकित्सको ने मेडिकल स्टूडैन्टस को देश सेवा के साथ-साथ मरीजो से बेहतर उपचार एवं ’’निस्वार्थ बेस्ट केयर’’ की शपथ दिलायी। इस अवसर पर नये पुराने छात्र-छात्राओ ने शानदार रंगारंग कार्यक्रम प्रस्तुत कर समा बाँध दिया। श्री वेंक्टेश्वरा संस्थान के डाॅ0 सी0वी0 रमन सभागार में आयोजित ’’व्हाईट कोट सेरेमनी’’ का शुभारम्भ समूह चेयरमैन डाॅ0 सुधीर गिरि, प्रतिकुलाधिपति डाॅ0 राजीव त्यागी, वेंक्टेश्वरा समूह के चेयरमैन डाॅ0 सुधीर गिरि के प्रमुख सलाहकार डाॅ0 वी0पी0एस0 अरोडा, डाॅ0 संजीव भट् आदि ने सरस्वती माँ की प्रतिमा के सन्मुख दीप प्रज्जवलित करके किया। अपने सम्बोधन में उपस्थित छात्र-छात्राओ को सम्बोधित करते हुए समूह चेयरमैन डाॅ0 सुधीर गिरि ने कहा कि आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के देश को एक दर्जन केन्द्रीय स्वास्थय संस्थान एवं प्रदेश में आदरणीय  मुख्यमंत्री की ’’वन डिस्ट्रिक्ट-वन मेडिकल काॅलेज योजना’’ से देश की स्वास्थय सेवाओ को नये पंख लगे है। आज भारत पूरी दुनिया को चिकित्सा उपकरण, वैक्सीन एवं अन्य चिकित्सीय सेवाये प्रदान कर रहा है। ये बढ़ते भारत की एवं बुलन्द भारत की बुलन्द तस्वीर है।
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newsadda360 · 2 years ago
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इंट्रानेजल वैक्सीन: भारत ने कोरोना की विश्व की पहली इंट्रानेजल वैक्सीन (iNCOVACC) लॉन्च की।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया,विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री जितेंद्र सिंह ने 26 जनवरी, 2023 को हैदराबाद स्थित वैक्सीन डेवलपर भारत बायोटेक इंटरनेशनल लिमिटेड (BBIL) द्वारा निर्मित अपनी तरह की पहली इंट्रानेजल कोविड वैक्सीन iNCOVACC...see more
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crazynewsindia · 2 years ago
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आई टी के क्षेत्र में भारत ने अमेरिका की सिलिकॉन वैली को भी पिछड़ा : अनुराग
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    • बजट में कैपिटल एक्सपेंडिचर 10 लाख करोड़ निर्धारित किया गया है इससे 33% सीधी नौकरियां देश के युवाओं को प्राप्त होने जा रही है • जी 20 की अध्यक्षता भारत कर रहा है और इसको लेकर पूरे देश में 55 स्थानों पर 200 से अधिक बैठके होने जा रही है जिसमें से कुछ बैठके हिमाचल के धर्मशाला में भी होगी   ऊना, केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने भाजपा कार्यसमिति को संबोधित करते हुए कहा की आज से 9 साल पूर्व जब कांग्रेस की सरकार केंद्र में सत्ता में थी तो 12% महंगाई दर था, पूरे देश में भ्रष्टाचार का बोलबाला था और देश नीतिगत पक्षाघात की ओर अग्रसर था। तब भाजपा ने नरेंद्र मोदी को देश के प्रधानमंत्री के रूप में चुनावी रण में उतारा और उन्होंने संकल्प लिया की वह ना खाएंगे, ना खाने देंगे और तब से अब तक भाजपा की केंद्र सरकार पर किसी भी प्रकार का भ्रष्टाचार का आरोप नहीं लग पाया है।   कांग्रेस के नेता केवल झूठे आरोप प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की छवि पर चिपकाने का प्रयास करते है पर उनके सभी प्रयास फेल हो जाते है। केंद्र की मजबूत सरकार ने कोविड के कठिन समय में देश में 220 करोड़ कोरोना वैक्सीन जनता को मुफ्त में लगाई, 28 महीने तक 80 करोड़ गरीबों को अनाज मुफ्त में देने का कार्य किया और इसके लिए 4 लाख करोड़ रुपए केंद्र सरकार ने खर्चे किया। भाजपा अंत्योदय को ध्यान में रखकर काम करती है और अंतिम पंक्ति में जो व्यक्ति खड़ा होता है उसकी सहायता के लिए योजना बनाती है।   आज यूनाइटेड स्टेट्स जैसे देश महंगाई से जूझ रहे हैं और वहां की महंगाई दर 8.3% है और भारत की महंगाई दर आज 5.7% है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश की अर्थव्यवस्था 7% की दर से बढ़ने जा रही है, भारत में अगर कांग्रेस साशनका�� के समय के साथ तुलना की जाए तो फॉरेन डायरेक्ट इन्वेस्टमेंट 2 गुना से भी ज्यादा बढ़ गई है और आज देश में 90 हजार स्टार्टअप चल रहे हैं।   आज देश डिजिटल इकोनामी की ओर बढ़ रहा है चाहे वह चाय वाला हो या रेडी फड़ी वाला, सब गूगल पर के माध्यम से व्यापार कर रहे हैं। देश में 12 लाख 62 हजार करोड़ की डिजिटल ट्रांजैक्शंस रिकॉर्ड हुई है। आज हमारे देश की विश्वसनीयता पूरे विश्व में बढ़ रही है। आज भारत का कोविद वैक्सीन का सर्टिफिकेट डिजिटली फोन पर उपलब्ध है और बाकी देशों का आज भी कागज पर है इस मामले में , आज भारत में अमेरिका की सिलिकॉन वैली को भी पीछे छोड़ दिया है।   कांग्रेस केंद्र में भी केवल प्रदेश सरकारों की बात करती है पर केंद्रीय मुद्दों पर बात नहीं कर पाती, कांग्रेस पार्टी ने अपने शासनकाल में केवल जनता को गुमराह करने का कार्य किया था। मोदी सरकार ने 3.50 करोड़ पक्के मकान गरीबों को स्वीकृत किए थे जिसमें से 2 करोड से ज्यादा बन कर गरीबों को दे दिए गए हैं। आज प्रधानमंत्री आवास योजना का बजट 66% बढ़ा दिया गया है यह दिखाता है कि मोदी सरकार गरीबों से किए गए वादे को लेकर संकल्पित रूप से कार्य कर रही है।   आज बजट में कैपिटल एक्सपेंडिचर 10 लाख करोड़ निर्धारित किया गया है इससे 33% सीधी नौकरियां देश के युवाओं को प्राप्त होने जा रही है। किसानों के लिए 20 लाख करोड़ के किसान क्रेडिट कार्ड का प्रावधान इस बजट में किया गया है इससे किसानों को बहुत लाभ होगा।   प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एक दमदार नेता है जब से जम्मू कश्मीर में धारा 370 और 35ए को हटाया गया है तब से प्रतिवर्ष दो करोड़ पर्यटक जम्मू कश्मीर की सैर करने जा रहे है।   जी 20 की अध्यक्षता भारत कर रहा है और इसको लेकर पूरे देश में 55 स्थानों पर 200 से अधिक बैठके होने जा रही है जिसमें से कुछ बैठके हिमाचल के धर्मशाला में भी होगी इसके साथ-साथ शंघाई कोऑपरेशन ऑर्गेनाइजेशन की अध्यक्षता भी भारत कर रहा है। यह हमारे लिए गर्व की बाथ है।   केंद्र सरकार ने एक ऐतिहासिक निर्णय लिया है कॉविड के समय कई ठेके ऐसे वितरित किए गए थे जिनका काम पूरा नहीं हो पाया और उनके 95% पैसे फंस गए थे, अब केंद्र सरकार उन ठेकेदारों को 95% पैसा वापस करने जा रही है।   देश में 2024 लोकसभा चुनावों के लिए 400 दिन रह गई और हम एक बार फिर केंद्र में एक मजबूत सरकार बनाने जा रहे और हिमाचल प्रदेश में सभी चारों सीटों को एक बार फिर भाजपा जीतेगी। Read the full article
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lok-shakti · 3 years ago
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पहला वास्तविक-विश्व अध्ययन: कोवैक्सिन प्रभावशीलता 50%
पहला वास्तविक-विश्व अध्ययन: कोवैक्सिन प्रभावशीलता 50%
Covaxin की दो खुराक में रोगसूचक कोविड -19 के खिलाफ 50 प्रतिशत प्रभावशीलता है, भारत में विकसित टीके की प्रभावशीलता का पहला वास्तविक-विश्व मूल्यांकन बताता है। द लैंसेट इंफेक्शियस डिजीज जर्नल में प्रकाशित इस अध्ययन में एम्स, नई दिल्ली में 2,714 अस्पताल कर्मियों का आकलन किया गया, जो इस साल 15 अप्रैल से 15 मई के बीच कोरोना वायरस के लिए आरटी-पीसीआर परीक्षण के लक्षण वाले और आरटी-पीसीआर परीक्षण से गु��रे…
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journalistcafe · 4 years ago
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भारत ने बनाया नया रिकॉर्ड, अब तक 40 करोड़ से ज्यादा लोगों को लगी वैक्सीन की डोज
भारत ने बनाया नया रिकॉर्ड, अब तक 40 करोड़ से ज्यादा लोगों को लगी वैक्सीन की डोज
भारत ने कोरोना टीकाकरण में नया रिकॉर्ड बनाया है। भारत में अब तक कोरोना वैक्सीन की 40 करोड़ से ज्यादा डोज लग चुकी है। कोरोना टीकाकरण के मामले में चीन के बाद दूसरे नंबर पर भारत है। चीन के अलावा किसी भी देश में अब तक इतनी बड़ी संख्या में वैक्सीन नहीं लगी है। ये भी पढ़ें- गठबंधन पर प्रियंका गांधी का खुला ऑफर, बोलीं- BJP को हराना हमारा लक्ष्य, किसी से भी कर लेंगे गठजोड़ स्वास्थ मंत्रालय के ताजा…
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dainiksamachar · 2 years ago
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खांसी है कि जाती ही नहीं... फ्लू अटैक से पूरा देश परेशान, जानें लक्षण, कारण और निदान
नई दिल्ली: देश इन्फ्लुएंजा की चपेट में आ गया है। हालत यह है कि करीब-करीब हर चौथे-पांचवें व्यक्ति को खांसी की शिकायत है। चिंता की बात यह है कि इस समस्या से जल्दी निजात नहीं मिल पा रही है। जिसे भी खांसी पकड़ती है, वह कई दिनों तक जूझता रहता है। कई लोगों के तो सप्ताह दर सप्ताह बीत रहे हैं हैं, खांसी छूट ही नहीं रही है। खांसी भी ऐसी-वैसी नहीं, ऐसा लगता है खांसते-खांसते फेफड़ा ना फट जाए। कलेजे और पेट में दर्द उठ जाता है। रातभर रह-रहकर खांसी उठती रहती है और नींद गायब। इतना जोर-जोर से खांसते हैं कि घर वालों की नींद में भी खलल पड़ जाती है। लेकिन ऐसा हो क्यों रहा है? डॉक्टर्स इसके जवाब में बताते हैं कि कोविड के कारण लोगों की बीमारियों से लड़ने की क्षमता यानी इम्यूनिटी लेवल घट गई है। इस कारण इन्फ्लुएंजा ए वायरस (H3N2) हावी हो जा रहा है। इसे () भी कहते हैं। देश में स्प्रिंग इन्फ्लुएंजा का कहर दिल्ली एम्स के पूर्व डॉक्टर जीसी खिलनानी ने कहा कि बीते दो महीनों में इन्फ्लुएंजा इन्फेक्शन के केस तेजी से बढ़े हैं। उन्होंने कहा, 'हर दूसरा आदमी बुखार, कफ, गला बैठने और सांस उखड़ने की समस्या से परेशान है।' उन्होंने आगे बताया, 'जिन्हें खांसी की शिकायत हो रही है, उनमें कई लोगों को छींकें आ रही हैं, कुछ को नहीं। वो जांच करवाते हैं तो एच3एन2 वायरस अटैक का पता चलता है।' पश्चिमी देश भी सितंबर से जनवरी तक इसी दौर से गुजरे थे। वहां विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, कई देशों में तो कोविड से पहले जैसी हालत हो गई जब इन्फ्लुएंजा का भयकंर प्रकोप हुआ करता था। सितंबर से जनवरी के बीच पश्चिम के कई देश इन्फ्लुएंजा A(H1N1)pdm09, A(H3N2) और इन्फ्लुएंजा B वायरस की चपेट में आ गए। ज्यादातर देशों में इन्फ्लुएंजा ए वायरस का ही ज्यादा प्रकोप ��ेखा गया। ये हैं फ्लू के लक्षणयूएस सेंटर्स फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (CDC) के मुताबिक, के कारण श्वसन प्रणाली प्रभावित होती है। इससे मामूली या फिर गंभीर बीमारी हो सकती है और कई बार तो मृत्यु तक हो सकती है। भारत में यूं तो हर वर्ष फ्लू की वैक्सीन लगवाने की जरूरत होती है, लेकिन लोग इस तरफ कभी ध्यान नहीं देते हैं। भारत में इन्फ्लुएंजा का प्रकोप मॉनसून सीजन में जून से सितंबर के बीच होता है। फिर यह नवंबर और फरवरी के बीच दोबारा फैलता है।डॉक्टर बताते हैं कि उनके पास आने वाले मरीज जो समस्याएं बता रहे हैं उनके मुताबिक इन्फ्लुएंजा से पीड़ित व्यक्ति में ये लक्षण देखे जा रहे हैं...○ बुखार○ कंपकंपी○ गले में खरास○ खांसी○ जुकाम और छींक○ थकान○ मांसपेशियों और शरीर में जकड़न इम्यूनिटी घटने का असर जर्नल ऑफ अमेरिकन मेडिकल असोसिएशन (JAMA) ने फरवरी के शुरुआती दिनों में एक स्टडी पब्लिश हुई। इसमें कहा गया है कि इन्फ्लुएंजा के इतना ज्यादा प्रकोप का कारण लोगों में इम्यूनिटी का घटना और फ्लू वैक्सिनेशन प्रोग्राम में आई सुस्ती है। इसमें कहा गया है, 'कोविड-19 महामारी के कारण इन्फ्लुएंजा वायरस का संक्रमण पूरी दुनिया में घट गया था।' इसमें कहा गया है कि 2021-2022 में इन्फ्लूएंजा के मौसम के दौरान इन्फ्लूएंजा वायरस के संक्रमण के प्रति संवेदनशीलता में वृद्धि हो सकती है। ऐसा इन्फ्लुएंजा संक्रमण की कम दरों से शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता घटने और संक्रमण फैलाते वायरस में एंटीजेनिक बदलावों के कारण हुआ है। कैसे हो बचाव?डॉ. खिलनानी कहते हैं कि फ्लू की चपेट में आनसे बचने का सर्वोत्तम उपाय है भीड़भाड़ से दूर रहना। उन्होंने कहा कि जब लोग बीमार पड़ने लगें तो समझ जाान चाहिए कि फ्लू अटैक होने लगा है। ऐसे में अच्छे से हाथ धोने, स्वच्छ हवा में सांस लेने, फ्लू वैक्सीन लेने, बाहर निकलने पर पॉल्युशन मास्क पहनने जैसी अच्छी आदतों का पालन करें। साथ ही, सर्द-गर्म से बचने के लिए धूप से लौटकर तुरंत स्नान करने, एसी या तेज फंखे की हवा लेने, गटागट ठंडा पानी पीने से बचें। एक्सपर्ट डॉक्टर निखिल मोदी कहते हैं कि लोग मास्क पहनकर फ्लू के अटैक से खुद को बचा सकते हैं। उन्होंने कहा, 'अगर फ्लू की चपेट में आ जाएं तो घर में ही भाप लेना और गारगल करना शुरू कर दें। फिर जितना जल्द हो सके डॉक्टर से संपर्क करें ताकि बीमारी गंभीर रूप धारण नहीं कर सके। इसके साथ ही लोगों को अपनी इम्यूनिटी बढ़ाने पर ध्यान देना चाहिए।' http://dlvr.it/SkDtRB
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krazyshoppy · 2 years ago
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कोरोना मामलों में राहत! बीते 24 घंटे में आए 5 हजार से कम नए मामले, 18 की गई जान
कोरोना मामलों में राहत! बीते 24 घंटे में आए 5 हजार से कम नए मामले, 18 की गई जान
Corona virus in India: भारत में कोरोना (Corona) के मामलों में अब गिरावट दर्ज की जा रही है. इसी क्रम में भारत में पिछले 24 घंटों में कोरोना वायरस के 4 हजार 858 नए मामले दर्ज हुए. देश में संक्रमितों की कुल संख्या 4 करोड़ 45 लाख 39 हजार हो गई, जबकि ठीक होने वाले मरीजों की संख्या बढ़कर 4 करोड़ 39 लाख 62 हजार हो गई ह��. वही दूसरी ओर कोरोना के टीके लगवाने की संख्या में 13 लाख 59 हजार 361 का इजाफा हुआ…
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trendingwatch · 2 years ago
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भारत बायोटेक ने भारत के पहले इंट्रानैसल कोविड वैक्सीन के लिए परीक्षण पूरा किया, कहते हैं कि यह सुरक्षित है, इम्युनोजेनिक
भारत बायोटेक ने भारत के पहले इंट्रानैसल कोविड वैक्सीन के लिए परीक्षण पूरा किया, कहते हैं कि यह सुरक्षित है, इम्युनोजेनिक
द्वारा एक्सप्रेस समाचार सेवा हैदराबाद: शहर स्थित भारत बायोटेक ने सोमवार को घोषणा की कि उसने BBV154 इंट्रानैसल कोविड वैक्सीन के लिए तीसरे चरण के परीक्षणों ��र बूस्टर खुराक के लिए नैदानिक ​​​​विकास पूरा कर लिया है। एडेनोवायरल इंट्रानैसल वैक्सीन BBV154 भारत में मानव परीक्षणों से गुजरने वाला अपनी तरह का पहला कोविड -19 वैक्सीन है। फार्मा कंपनी ने एक बयान में कहा, “बीबीवी154 नियंत्रित नैदानिक…
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