#स्टेट बार काउंसिल
Explore tagged Tumblr posts
Text
झारखंड स्टेट बार काउंसिल का फैसला, 9-10 जनवरी को भी न्यायिक कार्य से अलग रहेंगे राज्यभर के अधिवक्ता
झारखंड स्टेट बार काउंसिल का फैसला, 9-10 जनवरी को भी न्यायिक कार्य से अलग रहेंगे राज्यभर के अधिवक्ता
रांची। झारखंड स्टेट बार काउंसिल सहित जिला एसोसिएशन की रविवार की बैठक में दो दिनो तक आंदोलन और बढ़ाने का निर्णय लिया गया है। इस निर्णय के आलोक में अब राज्य भर के अधिवक्ता न्यायिक कार्यवाही में 10 जनवरी तक भाग नहीं लेंगे। इसको लेकर झारखंड स्टेट बार काउंसिल के अध्यक्ष राजेंद्र कृष्णा ने सभी जिले के पदाधिकारियों को निर्णय से अवगत कराया है। मालूम हो कि राज्यभर के अधिवक्ता अपनी चार सूत्री मांगो के…
View On WordPress
0 notes
Text
jamshedpur bar association : झारखंड सरकार के अधिवक्ताओं को मिलने वाली तीन लाभ किन-किन अधिवक्ताओं को मिलेगी, यह जानें इस खबर में, जमशेदपुर बार एसोसिएशन के 1252 अधिवक्ता एडवोकेट वेलफेयर फंड ट्रस्टी कमेटी के सदस्य ही मेंबर बने हैं
जमशेदपुर : झारखंड राज्य के अधिवक्ताओं के लिए राज्य सरकार सरकार के द्वारा कैबिनेट में प्रस्तावित तीन लाभ को प्राप्त करने के लिए सर्वप्रथम अधिवक्ताओं को एडवोकेट्स वेलफेयर फंड ट्रस्टी कमेटी का सदस्य बनना अनिवार्य होगा अन्यथा उन्हें कोई लाभ नहीं दिया जायेगा।. इस बात की जानकारी स्टेट बार काउंसिल द्वारा पूर्व में नियुक्त की गई पांच सदस्यीय पेंशन सहायक कमेटी के सदस्य अधिवक्ता अक्षय कुमार झा ने दी हैं.…
0 notes
Text
रिजल्ट से पहले जानिए तीनों राज्यों की सियासत से जुड़े उ�� सभी सवालों के जवाब जो जरूरी हैं
नई दिल्ली: पूर्वोत्तर के तीन राज्यों में हुए चुनावों के परिणाम आज घोषित होंगे। इनमें त्रिपुरा, मेघालय और नगालैंड शामिल हैं। वोटों की गिनती सुबह आठ बजे से शुरू होगी। तीनों राज्यों को मिलाकर कुल 178 सीटें हैं। इन सीटों पर 811 उम्मीदवारों की किस्मत का फैसला होना है। ये चुनाव कई लिहाज से महत्वपूर्ण हैं। सबसे खास बात तो यह है कि 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले इनके नतीजे माहौल बनाएंगे। कई लोगों को पूर्वोत्तर के राज्यों का सियासी गुणा-गणित समझ में नहीं आता है। इस मुश्किल को हमने आसान किया है। रिजल्ट से पहले हम यहां आपको इन तीनों राज्यों की सियासत से जुड़े उन सभी सवालों के जवाब दे रहे हैं जिन्हें जानना आपके लिए जरूरी है। कब हुई तीनों राज्यों में वोटिंग? त्रिपुरा में 16 फरवरी को वोटिंग हुई थी। मेघालय और नगालैंड में 27 फरवरी को वोट पड़े थे। त्रिपुरा में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की सरकार है। मेघालय में नेशनल पीपुल्स पार्टी (NPP) सत्ता में है। नगालैंड में नॉर्थ ईस्ट डेमोक्रेटिक अलायंस (NEDA) की सरकार है। त्रिपुरा में क्या है पार्टियों का गणित? त्रिपुरा में 60 विधानसभा सीटें हैं। राज्य में ��ीजेपी और इंडिजिनस पीपुल्स फ्रंट ऑफ त्रिपुरा (IPFT) का गठब��धन है। मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी ने कांग्रेस के साथ मिलकर इलेक्शन लड़ा है। मैदान में तृणमूल कांग्रेस, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी, रिवॉल्यूशनरी सोशलिस्ट पार्टी, टिपरा मोथा पार्टी, ऑल इंडिया फॉर्वर्ड ब्लॉक और सीपीआई (एम-एल) भी हैं। मेघालय में क्या है कैलकुलेशन? मेघालय में विधानसभा सीटें तो 60 हैं। लेकिन, काउंटिंग 59 सीटों के लिए होगी। राज्य में पूर्व मंत्री और यूडीपी कैंडिडेट एचडीआर लिंगदोह के निधन की वजह से सोहिओंग सीट पर वोटिंग स्थगित कर दी गई थी। प्रदेश में नेशनल पीपुल्स पार्टी, बीजेपी और कांग्रेस के अलावा तृणमूल कांग्रेस, पीपुल्स डेमोक्रेटिक फ्रंट, हिल स्टेट पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी, गारो नेशनल काउंसिल, वॉयस ऑफ द पीपुल पार्टी सरीखे दल मैदान में हैं। नगालैंड की सियासत कैसे घूमती है? त्रिपुरा और मेघालय की तरह नगालैंड में भी 60 सीटें हैं। हालांकि, मतगणना 59 के लिए होगी। राज्य में अकुलुतो सीट से बीजेपी कैंडिडेट काजेतो किनिमी निर्विरोध जीते थे। लिहाजा, 59 सीटों पर ही वोटिंग हुई थी। यहां नेशनलिस्ट डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव पार्टी (NDPP), बीजेपी, नगा पीपुल्स फ्रंट (NPF) के अलावा कांग्रेस, लोक जनशक्ति पार्टी (राम विलास), नैशनल पीपुल्स पार्टी (NPP), नैशनलिस्ट कांग्रेस पार्टी (NCP), रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया (अठावले), जेडीयू, आरजेडी और सीपीआई जैसी पार्टियों में टक्कर है। कहां कितनी वोटिंग हुई थी? तीनों ही राज्यों में मतदान प्रतिशत काफी अच्छा था। त्रिपुरा में 89.95 फीसदी, नगालैंड में 84 फीसदी और मेघालय में 76.27 फीसदी वोटिंग हुई थी। त्रिपुरा में किन कैंडिडेट पर रहेगी नजर? राज्य के प्रमुख उम्मीदवारों में सबसे पहला नाम सीएम माणिक साहा का है। उनके अलावा बीजेपी अध्यक्ष राजीव भट्टाचार्य, कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष बिराजीत सिन्हा, उन्हीं की पार्टी के नेता सुदीप रॉय और टीएमसी नेता राजीव बनर्जी पर भी नजर होगी। साहा बोरडोवली सीट से मैदान में हैं। राजीव बनमालीपुर से किस्मत आजमा रहे हैं। मेघालय में किन उम्मीदवारों पर रहेगा फोकस? राज्य में सबसे अधिक फोकस सीएम कॉनराड संगमा पर होगा। अन्य प्रमुख कैंडिडेट की लिस्ट में टीएमसी नेता मुकुल संगमा, मेघालय कांग्रेस अध्यक्ष विंसेंट पाला, मेघालय स्पीकर और यूडीपी अध्यक्ष मेटबाह लिंगदोह, सीएम संगमा के भाई जेम्स संगमा, डिप्टी सीएम प्रेस्टोन तिनसोंग और मेघालय बीजेपी अध्यक्ष अर्नेस्ट मावरी शामिल हैं। नगालैंड के प्रमुख उम्मीदवार कौन हैं? राज्य के के प्रमुख कैंडिडेट की लिस्ट में ��हला नाम सीएम नेफ्यू रियो का है। उनके अलावा डिप्टी सीएम यानथुंगो पैटन, नगालैंड बीजेपी अध्यक्ष तेमजेन इम्ना अलॉन्ग, बीजेपी नेता एम जैकब झिमोमी, कांग्रेस नेता सेइविली चाचू और अकावी एन झिमोमी, एनडीपीपी नेता और दो बार सीएम रह चुके टीआर जेलियांग, जेडीयू नेता जे लानू लोंगचर, एनडीपीपी नेता हेकनी जखालू की सीट पर नजर रहेगी। http://dlvr.it/SkCypn
0 notes
Text
अधिवक्ता दिवस के अवसर पर एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट की मांग
सतना: देश के ��्रथम राष्ट्रपति भारत रत्न डॉ. राजेन्द्र प्रसाद जी के जन्मदिवस 3 दिसम्बर अधिवक्ता दिवस के रूप में पूरे देश में मनाया जाता है। जिला न्यायालय सतना मैं अधिवक्ताओं ने हर्षोल्लास के साथ केक काटकर अधिवक्ता दिवस जिला न्यायालय परिसर में मनाया, साथ ही एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट जल्द से जल्द लागू करने के लिए प्रधानमंत्री,विधि मंत्री, बार काउंसिल ऑफ इंडिया , मुख्यमंत्री मध्यप्रदेश शासन, एवं स्टेट…
View On WordPress
0 notes
Text
Bar Association elections in Ujjain will be held on 31 March, due to Corona, Bar Council extended tenure by one year | उज्जैन में बार एसोसिएशन के चुनाव 31 मार्च को होंगे, कोरोना के कारण बार काउंसिल ने एक साल कार्यकाल बढ़ा दिया था
Bar Association elections in Ujjain will be held on 31 March, due to Corona, Bar Council extended tenure by one year | उज्जैन में बार एसोसिएशन के चुनाव 31 मार्च को होंगे, कोरोना के कारण बार काउंसिल ने एक साल कार्यकाल बढ़ा दिया था
Hindi News Local Mp Ujjain Bar Association Elections In Ujjain Will Be Held On 31 March, Due To Corona, Bar Council Extended Tenure By One Year Ads से है परेशान? बिना Ads खबरों के लिए इनस्टॉल करें दैनिक भास्कर ऐप उज्जैनकुछ ही क्षण पहले कॉपी लिंक MP राज्य अधिवक्ता परिषद ने कहा- 15 अप्रैल तक नई कार्यकारिणी का गठन करें उज्जैन में बार एसोसिएशन के चुनाव 31 मार्च को होंगे। कोरोना महामारी के कारण…
View On WordPress
#BarAssociation#elections#epidemic#March#State Bar Council#Ujjain#उज्जैन में बार एसोसिएशन के चुनाव 31 मार्च को होंगे। कोरोना महामारी के कारण स्टेट बार काउंसिल ने
0 notes
Text
JSBCC निदेशक और भवन निर्माण के इंजीनियरों के खिलाफ JSB
JSBCC निदेशक और भवन निर्माण के इंजीनियरों के खिलाफ JSB
Ranchi: झारखंड स्टेट बिल्डिंग कंस्ट्रक्शन कॉरपोरेशन (JSBCC) के प्रभारी कार्यपालक निदेशक संजय कुमार सिंह और भवन निर्माण के अभियंताओं के खिलाफ झारखंड हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया गया है. हाईकोर्ट के अधिवक्ता और स्टेट बार काउंसिल के सदस्य राम सुभग सिंह ने उक्त लोगों के विरुद्ध हाईकोर्ट में जनहित याचिका (PIL) दायर की है. जिसमें उन्होंने कई गंभीर आरोप लगाते हुए जांच कराने की मांग की है. इसे पढ़ें-बिहार…
View On WordPress
0 notes
Text
पाकिस्तान: पाकिस्तान की अंतरिक्ष योजनाओं को मिला 'चीनी बढ़ावा'
पाकिस्तान: पाकिस्तान की अंतरिक्ष योजनाओं को मिला ‘चीनी बढ़ावा’
चीन शुक्रवार को के साथ अंतरिक्ष सहयोग को बढ़ावा देने की योजना की घोषणा की पाकिस्तान, a . के विकास सहित अंतरिक्ष केंद्र और अधिक का शुभारंभ उपग्रहों अपने सभी मौसम सहयोगी के लिए। चीन के बढ़ते अंतरिक्ष उद्योग के लिए भविष्य की विस्तार योजनाओं की रूपरेखा, स्टेट काउंसिल या केंद्रीय मंत्रिमंडल द्वारा जारी “चीन के अंतरिक्ष कार्यक्रम: ए 2021 परिप्रेक्ष्य” नामक एक श्वेत पत्र में पाकिस्तान कई बार आता है,…
View On WordPress
1 note
·
View note
Text
राज्य के 33 हजार अधिवक्ता न्यायिक कार्यों से रहे दूर
राज्य के 33 हजार अधिवक्ता न्यायिक कार्यों से रहे दूर
रांची। झारखंड स्टेट बार काउंसिल के आह्वान पर शुक्रवार को राज्यभर के 33 हजार अधिवक्ता कोर्ट फीस सहित अन्य मांगों को लेकर न्यायिक कार्यों से अलग रहे। इस कारण हाई कोर्ट सहित राज्य के अधीनस्थ न्यायालयों में मामले की सुनवाई प्रभावित हुई। शनिवार को भी अधिवक्ता न्यायिक कार्य नहीं करेंगे। इस संबंध में झारखंड स्टेट बार काउंसिल के अध्यक्ष राजेंद्र कृष्ण ने कहा कि राज्यभर के अधिवक्ता शुक्रवार को न्यायिक…
View On WordPress
0 notes
Text
Jamshedpur bar association : जमशेदपुर बार एसोसिएशन की नयी कमिटी को दिया गया सर्टिफिकेट, कई लोगों ने लिया हिस्सा
जमशेदपुर : जमशेदपुर जिला बार एसोसिएशन के नव निर्वाचित पदाधिकारी एवं कार्यकारिणी सदस्यों को सर्टिफिकेट प्रदान किया गया. जमशेदपुर जिला बार एसोसिएशन के नवनिर्वाचित सदस्यों को शुक्रवार शाम स्थानीय धालभूम क्लब में चुनाव पदाधिकारी एवं झारखंड स्टेट बार काउंसिल के वाइस चेयरमैन राजेश शुक्ल एवं रामसुभक सिंह के उपस्थिति में सर्टिफिकेट प्रदान किया गया. बार के अध्यक्ष रथीन्द्र नाथ दास, उपाध्याय बलाइ पंडा को…
0 notes
Text
किसी-न-किसी बहाने वकील करते रहते हैं हड़ताल, अब कड़ाई के मूड में बार काउंसिल Divya Sandesh
#Divyasandesh
किसी-न-किसी बहाने वकील करते रहते हैं हड़ताल, अब कड़ाई के मूड में बार काउंसिल
नई दिल्ली () कम करने और हड़ताल के लिए सोशल मीडिया के माध्यम से दूसरों को भड़काने वाले वकीलों के खिलाफ कार्रवाई के नियम बनाने के लिए राज्यों के बार काउंसिलों के मीटिंग बुलाई है। बीसीआई ने इसकी जानकारी सुप्रीम कोर्ट को दी। बीसीआई के अध्यक्ष एवं वरिष्ठ अधिवक्ता मनन कुमार मिश्रा ने न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति एम आर शाह की पीठ को बताया कि उन्होंने 4 सितंबर को सभी राज्य विधिज्ञ परिषदों की बैठक बुलाई है।
BCI ने सुप्रीम कोर्ट को बताई यह बात मिश्रा ने कहा, ‘हम 4 सितंबर को सभी राज्य विधिज्ञ परिषदों एवं संघों की बैठक करेंगे तथा इसमे हम वकीलों की हड़ताल कम करने के लिए नियम बनाने और हड़ताल के लिए अन्य लोगों को सोशल मीडिया के जरिए भड़काने वाले वकीलों के खिलाफ कार्रवाई करने का प्रस्ताव रखेंगे।’ पीठ ने मिश्रा का अभ्यावेदन (Representation) दर्ज किया और कहा कि वह बीसीआई के इस कदम की सराहना करती है। शीर्ष अदालत ने मिश्रा के अनुरोध पर मामले की आगे की सुनवाई सितंबर के तीसरे सप्ताह के लिए स्थगित कर दी।
सुनवाई की शुरुआत में मिश्रा ने न्यायालय के पिछले साल के आदेश के अनुपालन में कोरोना वायरस वैश्विक महामारी फैलने के कारण देरी होने और पहले सुझाव नहीं देने के लिए माफी मांगी। उच��चतम न्यायालय ने 26 जुलाई को कहा था कि उसने पिछले साल 28 फरवरी को अपना फैसला सुनाया था और बीसीआई एवं स्टेट बार काउंसिलों को वकीलों के काम से अनुपस्थित रहने और हड़ताल करने की समस्या से निपटने के लिए ठोस सुझाव देने का निर्देश दिया था।
वकीलों की चलती रहती है हड़ताल शीर्ष अदालत ने पिछले साल 28 फरवरी को उत्तराखंड जिला अदालतों में वकीलों द्वारा ‘पाकिस्तान में बम विस्फोट’, और ‘नेपाल में भूकंप’ जैसे कारणों से 35 साल तक हर शनिवार को हड़ताल करने पर नाराजगी जताई थी। उसने सप्ताहिक हड़ताल जारी रखने वाले वकीलों के खिलाफ अवमानना की कार्रवाई से संबंधित कार्रवाई करने की चेतावनी दी थी। न्यायालय ने इस हड़ताल को अवैध बताते हुए वकीलों द्वारा हड़ताल करने/काम पर नहीं आने की समस्या से निपटने के लिए आगे की कार्रवाई संबंधी सुझावों के लिए बीसीआई और सभी राज्य विधिज्ञ परिषदों से छह सप्ताह के भीतर जवाब मांगा था।
वकीलों की हड़ताल का मुद्दा उत्तराखंड हाई कोर्ट के एक फैसले के खिलाफ दायर अपील पर सुनवाई के दौरान सामने आया था। इस फैसले में उच्च न्यायालय ने देहरादून और हरिद्वार तथा ऊधम सिंह नगर के अधिकतर हिस्सों में प्रत्येक शनिवार को वकीलों की हड़ताल या अदालत के बहिष्कार को अवैध करार दिया था। पीठ ने उच्च न्यायालय के आदेश को पूरी तरह न्यायोचित बताते हुये कहा था कि यह स्वत: ही अवमानना कार्यवाही शुरू करने का उचित मामला है।
विधि आयोग की रिपोर्ट का हवाला हाई कोर्ट ने 25 सितंबर, 2019 को अपने फैसले में विधि आयोग की 266वीं रिपोर्ट का भी हवाला दिया था। इस रिपोर्ट में आयोग ने वकीलों की हड़ताल की वजह से कार्य दिवसों (Working Days) के नुकसान के आंकड़ों का विश्लेषण करने के बाद कहा था कि इससे अदालतों का कामकाज प्रभावित होता है और लंबित मुकदमों की संख्या बढ़ाने में यह योगदान करते हैं।
उत्तराखंड के बारे में उच्च न्यायालय द्वारा विधि आयोग को भेजी गयी सूचना के अनुसार 2012-2016 के दौरान देहरादून जिले में वकील 455 दिन हड़ताल पर रहे जबकि हरिद्वार में 515 दिन वकीलों की हड़ताल रही। विधि आयोग की रिपोर्ट का जिक्र करते हुये उच्च न्यायालय ने अपने फैसले में कहा था कि स्थानीय मुद्दे से लेकर राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर के ऐसे मुद्दों पर वकील अदालतों से अनुपस्थित रहते हैं जिनका अदालत के कामकाज से कोई संबंध ही नहीं होता है।
35 साल से जारी है साप्ताहिक हड़ताल! उच्च न्यायालय ने कहा था कि उदाहरण के लिए पाकिस्तान के स्कूल में बम विस्फोट, श्रीलंका के संविधान में संशोधन, अंतर्राज्यीय जल विवाद, किसी वकील पर हमला या उसकी हत्या, नेपाल में भूकंप, अधिवक्ताओं के नजदीकी रिश्तेदार के निधन पर शोक व्यक्त करने और यहां तक कि भारी बारिश और कव�� सम्मेलनों जैसे मुद्दे भी अदालत की कार्यवाही के बहिष्कार की वजह बनती रही हैं।
हाई कोर्ट ने अपने फैसले में इस तथ्य का जिक्र किया कि पश्चिमी उत्तर प्रदेश में पिछले 35 साल से शनिवार को अदालत की कार्यवाही का बहिष्कार करके विरोध करने का सिलसिला चल रहा है। उत्तर प्रदेश के पुनर्गठन के बाद 9 नवंबर, 2000 को उत्तराखंड प्रदेश के सृजन से पहले ये तीनों जिले उत्तर प्रदेश का हिस्सा थे।
0 notes
Text
Jila Adhiwaqta Sangh Begusarai: वशिष्ठ बनें अध्यक्ष प्रमोद महासचिव मनोनीत
Jila Adhiwaqta Sangh Begusarai: वशिष्ठ बनें अध्यक्ष प्रमोद महासचिव मनोनीत
राकेश यादव, बछवाड़ा/बेगूसराय Jila Adhiwaqta Sangh Begusarai (���िला अधिवक्ता संघ बेगूसराय) की नई कमेटी का गठन बिहार स्टेट बार काउंसिल के द्वारा किया है। बिहार राज्य बार काउंसिल नें पत्रांक 1052/21 जारी करते हुए इसकी औपचारिक रूप से घोषणा भी कर दी है। तेरह सदस्यीय नई कमेटी में अधिवक्ता वशिष्ठ कुमार अम्बष्ठ को संघ का अध्यक्ष बनाया, जबकि प्रमोद कुमार को संघ का महासचिव बनाया गया है। नई कमेटी में…
View On WordPress
0 notes
Text
पाठ्यक्रम में बदलाव किया गया, जोड़ा गया, तेलंगाना सरकार के कॉलेजों में बड़ी भीड़ देखी गई
पाठ्यक्रम में बदलाव किया गया, जोड़ा गया, तेलंगाना सरकार के कॉलेजों में बड़ी भीड़ देखी गई
तेलंगाना के सरकारी कॉलेजों में इस साल स्नातक पाठ्यक्रमों की पेशकश करने वाले प्रवेश आवेदनों की भारी भीड़ देखी जा रही है, अधिकारियों का कहना है कि पहली बार, राज्य भर में इन कॉलेजों की 100 प्रतिशत सीटें भरने की संभावना है। तेलंगाना स्टेट काउंसिल ऑफ हायर एजुकेशन (TSCHE) के अनुसार, कोविद -19 महामारी, पाठ्यक्रमों का पुनर्गठन और नए लोगों की शुरूआत इस साल सरकार द्वारा संचालित डिग्री कॉलेजों में अधिक…
View On WordPress
#इंडियन एक्सप्रेस न्यूज़#कॉलेज प्रवेश#कोविड महामारी#तेलंगाना समाचार#तेलंगाना सरकारी कॉलेज#स्नातक के अंतर्गत का पाठ्यक्रम#हैदराबाद समाचार
0 notes
Text
Indian Army JAG 2021 Recruitment: भारतीय सेना में नौकरी पाने का सुनहरा मौका, जल्द करें अप्लाई
Indian Army JAG 2021 Recruitment:
भारतीय सेना ने JAG प्रवेश योजना 27 वें पाठ्यक्रम (अक्टूबर 2021), लघु सेवा आयोग (NT) पाठ्यक्रम के लिए एक अधिसूचना जारी की है। जिसके तहत अविवाहित पुरुष एंव महिला उम्मीदवार इसके लिए आवेदन कर सकते है आवेदन की प्रक्रिया 06 मई से 04 जून 2021 तक भारतीय सेना की आधिकारिक वेबसाइट (joinindianarmy.nic.in) पर जारी रहेगी।
Read More:- Kerala PSC Recruitment 2021: शिक्षक, क्लर्क, एई, सहित 250 पदों पर भर्ती
महत्वपूर्ण तीथि:-
भारतीय सेना जेएजी के लिए ऑनलाइन आवेदन जमा करने की तीथि: 06 मई 2021 दोपहर 3 बजे से
आवेदन जमा करने की अंतिम तिथि: 04 जून 2021 दोपहर 3 बजे तक
Read More:- DSHM DHFW Delhi Recruitment 2021: ANM और मेडिकल ऑफिसर पदों के लिए निकली भर्ती
भारतीय सेना JAG रिक्ति विवरण
पुरुष - 6 पद
महिला - 2 पद
शैक्षिक योग्यता:
JAG 2021 कोर्स के लिए वे ही लोग आवेदन कर सकते है जिनके पास लॉ में ग्रेजुएट की डिग्री हो। इसके साथ ही उम्मीदवारों को बार काउंसिल ऑफ इंडिया / स्टेट के साथ एक वकील के रूप में पंजीकरण के लिए योग्य होना चाहिए। उम्मीदवार को बार काउंसिल ऑफ इंडिया द्वारा मान्यता प्राप्त कॉलेज / विश्वविद्यालय से होना चाहिए।
चयन प्रक्रिया
इन पदों पर आवेदन करने के लिए उम्मीदवारों का चयन उनकी शैक्षणिक योग्यता के अनुसार होगा। जिन उम्मीदवार को शॉर्टलिस्ट किया जाएगा वे ही एसएसबी इंटरव्यू में जाने के पात्र होगें। उम्मीदवारों का चयन दो चरण के माध्यम से होगा। जो लोग चरण I में सफल होंगे वे चरण II में जाएंगे। जो लोग चरण I में विफल होते हैं, उन्हें उसी दिन बाहर कर दिया जाएगा। एसएसबी साक्षात्कार की अवधि पांच दिनों की है और चयन प्रक्रिया की पूर्ण जानकारी आधिकारिक वेबसाइट www.joinindianarmy.nic.in पर उपलब्ध है।
from Patrika : India's Leading Hindi News Portal https://www.patrika.com/jobs/indian-army-jag-2021-recruitment-notification-out-6833670/
0 notes
Text
हाईकोर्ट में रो पड़े बार काउंसिल के चेयरमैन: बोले- वकीलों को ऑक्सीजन नहीं मिली तो वे मर जाएंगे; कोर्ट ने कहा- सोचा नहीं था कि ये दिन देखने पड़ेंगे
हाईकोर्ट में रो पड़े बार काउंसिल के चेयरमैन: बोले- वकीलों को ऑक्सीजन नहीं मिली तो वे मर जाएंगे; कोर्ट ने कहा- सोचा नहीं था कि ये दिन देखने पड़ेंगे
Hindi News National Delhi Coronavirus News; Bar Council Chairman Ramesh Gupta Getting Oxygen, Hospital Beds Calls Ads से है परेशान? बिना Ads खबरों के लिए इनस्टॉल करें दैनिक भास्कर ऐप नई दिल्ली3 घंटे पहले कॉपी लिंक दिल्ली में कोरोना से हालात बेहद डरावने होते जा रहे हैं। दिल्ली हाईकोर्ट में इस मुद्दे पर शुक्रवार को सुनवाई हुई। इस दौरान स्टेट बार काउंसिल के चेयरमैन और सीनियर वकील रमेश गुप्ता रो…
View On WordPress
#Chairman of Bar Council of Delhi#Delhi Coronavirus#Delhi Coronavirus News#Senior Advocate Ramesh Gupta
0 notes
Photo
बिहार बार काउंसिल के चेयरमैन शशि शेखर किशोर के असामयिक निधन होने पर आज दिनांक 22 अप्रैल 2021 को बिहार युवा अधिवक्ता कल्याण समिति शाखा भोजपुर के तत्वावधान में एडवोकेट एसोसिएशन आरा के प्रांगण में शोक सभा का आयोजन किया गया जिसकी अध्यक्षता अजीत रंजन कुमार ने किया इस शोक सभा में बिहार स्टेट बार काउंसिल पटना के को चेयरमैन शशी शेखर कुमार के असामयिक निधन पर 2 मिनट का मौन धारण कर ईश्वर से उनकी आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना की गई उनके जीवन आदर्श पर प्रकाश डालते हुए आरा बार एसोसिएशन के सहायक सचिव प्रमोद राय अधिवक्ता ने कहा कि वे एक मृदुभाषी संघर्षशील अधिवक्ताओं के कल्याणकारी योजनाओं को लागू करने हेतु सतत प्रयत्नशील रहते थे वे गरीब कमजोर तबकों के व्यक्तियों को सस्ता सुलभ न्याय दिलाने का सदैव कार्य करते रहे उनके निधन से न्यायिक जगत को अपूरणीय क्षति हुई है शोक सभा में शामिल अधिवक्ताओं में अमरेश कुमार अधिवक्ता अशोक चौधरी अधिवक्ता संतोष कुमार अधिवक्ता संजीव कुमार अधिवक्ता मनोज कुमार अधिवक्ता अबू सुफियान, राजकिरण केसरी अधिवक्ता, अवधेश कुमार सिंह अधिवक्ता ,अजय कुमार अधिवक्ता, महेंद्र प्रसाद सिन्हा अधिवक्ता, कृष्ण मोहन सिंह अधिवक्ता ,राजीव रंजन कुमार ,वीरेंद्र कुमार उर्फ पप्पू जी आदि थे (at आरा जिला भोजपुर) https://www.instagram.com/p/CN-DvJdj9R1/?igshid=whw41pcdhf4a
0 notes
Text
झारखंड स्टेट बार कांउसिल के आह्वान पर चार सूत्री मांगो के समर्थन में 6 से न्यायिक कार्य में हिस्सा नहीं लेंगे अधिवक्ता
झारखंड स्टेट बार कांउसिल के आह्वान पर चार सूत्री मांगो के समर्थन में 6 से न्यायिक कार्य में हिस्सा नहीं लेंगे अधिवक्ता
रांची । झारखंड स्टेट बार कांउसिल के आह्वान पर राज्य भर के अधिवक्ता अपने 4 सूत्री मांगो के समर्थन में 6 जनवरी से न्यायिक कार्य में हिस्सा नहीं लेंगे। बार कांउसिल के अध्यक्ष राजेंद्र कृष्ण ने जानकारी देते हुए बताया कि काउंसिल की ओर से सभी जिला बार एसोसिएशन को इस आशय का पत्र भेजकर सूचित किया गया है। उन्हेांने बताया कि पहले चरण में दो दिन 6-7 जनवरी को आंदोलन के पश्चात रांची में कांउसिल की बैठक…
View On WordPress
0 notes